इंडियन नेशनल थियेटर द्वारा ‘वर्षा ऋतु संगीत संध्या’ कार्यक्रम आयोजित

संगीतमयी ‘वर्षा ऋतु संगीत संध्या’ के कार्यक्रम में आनंदित हो उठे श्रोतागण

डेमोक्रेटिक फ्रंट संवाददाता, चंडीगढ़ – 09 अगस्त :

इंडियन नेशनल थियेटर द्वारा शास्त्रीय संगीत कार्यक्रम ‘वर्षा ऋ तु संगीत संध्या’ का आयोजन किया गया। जिसका उद्देश्य वर्षा के आगमन को हर्षोल्लास से मनाना है। यह कार्यक्रम दुर्गादास फाउंडेशन के सहयोग से सेक्टर 26 स्थित स्ट्रॉबेरी फील्डस हाई स्कूल के सभागार में आयोजित किया गया था।

इस शास्त्रीय संगीत कार्यक्रम में जाने माने शास्त्रीय संगीत के प्रख्यात ख्याल गायक मधुप मुद्गल (पद्मश्री) ने अपने गायन की प्रस्तुति देकर श्रोताओं को मंत्र मुग्ध कर दिया।

मधुप मुद्गल (पद्मश्री) ने कार्यक्रम की शुरूआत राग मियां मल्हार से की जिसमें उन्होंने सर्वप्रथम विलंबित एक ताल में निबद्ध रचना करीम नाम तेरो जो कि पंडित कुमार गंधर्व जी द्वारा रचित थी प्रस्तुत की। जिसके पश्चात उन्होंने जायो रे बदरा, तीन ताल में निबद्ध छोटा ख्याल श्रोताओं के समक्ष प्रस्तुत किया। उन्होंने मल्हार के प्रकार जैसे गौड़ मल्हार, मेघ मल्हार, सुर मल्हार व अन्यों रागों की प्रस्तुतियां देकर उपस्थित श्रोताओं को मंत्र मुग्ध कर दिया। 

मधुप मुद्गल (पद्मश्री) एक प्रख्यात शास्त्रीय संगीतकार हैं। वह अपने ख्याल और भजन गायन के लिए अत्यंत लोकप्रिय है। मधुप मुद्गल का जन्म नई दिल्ली में ग्वालियर घराने के प्रसिद्ध शास्त्रीय संगीतकार प्रोफेसर विनय चंद्र मौदगल्य (पद्मश्री)  के यहाँ हुआ। उनके पिता ने 1939 में प्लाजा सिनेमा, कनॉट प्लेस के पास अपने घर से गंधर्व महाविद्यालय, नई दिल्ली की शुरुआत की। प्रोफेसर विनय चंद्र मौद्गल्य को आज विजया मुले की एनीमेशन फिल्म एक अनेक और एकता में हिंद देश के निवासी गीत के बोल के लिए सबसे ज्यादा याद किया जाता है, जिसने सर्वश्रेष्ठ शैक्षिक फिल्म का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार जीता। मधुप एक संगीतमय माहौल में पले-बढ़े, जहां पं. ओंकारनाथ ठाकुर, अली अकबर खान, कुमार गंधर्व जैसे महान संगीतकारों की बैठक नियमित रूप से हुआ करती थीं। आप 1995 में अपने पिता द्वारा स्थापित गंधर्व महाविद्यालय, दिल्ली के प्राचार्य के रूप में संगीत प्रशिक्षिण क्षेत्र में अत्यंत महत्वपूर्ण कार्य निभा रहे हैं  आपको 2006 में भारत सरकार से प्रतिष्ठित पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया तथा 2018 में उन्हें संगीत नाटक अकादमी द्वारा पुरस्कृत किया गया।

कार्यक्रम के दौरान  मधुप मुद्गल (पद्मश्री)  के साथ हारमोनियम  पर डॉ अराविंद थट्टे तथा तबला  पर खरग सिंह ने बखूबी संगत की, जबकि उनकी सुपुत्री सावनी मुद्गल, विवेक भोला, कुशल शर्मा ने मुखर समर्थन (वोकल स्पोर्ट) व तानपुरा पर संगत की।

सिर्फ छोटी मछलियों पर छोटी-मोटी कार्रवाई कर घोटालेबाज मगरमच्छों को बचा रही है सरकार- हुड्डा

घोटालों को छिपाने के लिए एसआईटी के नाम पर खेल करती है बीजेपी-जेजेपी सरकार- हुड्डा

एसआईटी यानी सीटिंग इनवेस्टिगेशन ऑन टेबल- हुड्डा

डेमोक्रेटिक फ्रंट संवाददाता, चंडीगढ़ – 09 अगस्त :

पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने आज विधानसभा में अवैध खनन समेत तमाम घोटालों पर गठबंधन सरकार से जवाब मांगा। उन्होंने कहा कि ये सरकार एसआईटी के नाम पर खेल कर रही है। ना किसी पर कार्रवाई होती और ना ही किसी को सजा दिलवाई जाती। बड़े-बड़े घोटालों में छोटी मोटी मछलियों पर महज दिखावे की कार्रवाई करके बड़े-बड़े घोटालेबाज मगरमच्छों को बचा लिया जाता है। अब तक सरकार ने अवैध खनन से लेकर रजिस्ट्री, शराब समेत कई मामलों में जांच की बात तो कही। लेकिन, आज तक जांच की कोई रिपोर्ट सामने नहीं आई। इसलिए इस सरकार में एसआईटी का मतलब स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम नहीं, बल्कि सीटिंग इन्वेस्टिगेशन ऑन टेबल हो गया है।

भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने अवैध खनन पर जारी चर्चा के दौरान बोलते हुए कहा कि 1 जनवरी को डाडम में हुए हादसे के बाद उन्होंने खुद मौके का दौरा किया था। यहां स्पष्ट देखने को मिला कि माफिया ने पूरी तरह बेखौफ होकर अवैध खनन को अंजाम दिया है। इस हादसे में 5 मजदूरों की मौत हो गई थी। सरकार ने एसआईटी द्वारा जांच करवाने का भरोसा दिलाया था। लेकिन, इतने महीने बाद भी आज तक उसकी जांच रिपोर्ट सामने नहीं आई। इससे सरकार की मंशा स्पष्ट पता चलती है।

हुड्डा ने बयान जारी करके कहा कि मौजूदा सरकार के दौरान प्रदेश में ताबड़तोड़ घोटाले हो रहे हैं। अमृत योजना घोटाला से लेकर सफाई, नौकरियों की खरीद-फरोख्त, पेपर लीक, बिजली मीटर खरीद, धान खरीद, बाजरा खरीद, रोडवेज किलोमीटर स्कीम, रजिस्ट्री, शराब, यमुना के रेत और अरावली की पहाड़ियों का अवैध खनन समेत अनगिनत घोटाले हो चुके हैं। लेकिन किसी भी मामले में सरकारी की जांच अंजाम तक नहीं पहुंची।

विश्व स्तनपान सप्ताह

बच्चे के लिए सबसे महत्वपूर्ण मां का दूध, बीमारियों से सुरक्षा प्रदान करता है: डॉ सुनील अग्रवाल


डेमोक्रेटिक फ्रंट संवाददाता, चंडीगढ़ – 09 अगस्त :

मातृत्व एक परिवर्तनकारी अनुभव है और एक महिला के जीवन में नया अर्थ लाता है। मां के दूध में आवश्यक प्रोटीन, वसा, विटामिन और कार्बोहाइड्रेट होते हैं, जो बच्चे को संक्रमण और बीमारी से बचाते हैं।

स्तनपान की प्रथा को प्रोत्साहित करने के लिए विश्व भर में हर साल 1-7 अगस्त से विश्व स्तनपान सप्ताह मनाया जाता है। विश्व स्तनपान सप्ताह-2022 का विषय “स्टेप अप फ़ॉर ब्रैस्ट फीडिंग:एजुकेट एंड सपोर्ट” है।

माँ के दूध के लाभ और स्तनपान करने वाले शिशुओं के महत्व के बारे में डॉ सुनील कुमार अग्रवाल, नियोनेटोलॉजिस्ट, फोर्टिस अस्पताल मोहाली, एक एडवाइजरी जारी की।इस मुद्दे पर चर्चा करते हुए, डॉ अग्रवाल ने कहा, “स्तनपान सर्वोपरि है और इसे बच्चे के लिए पहला टीका माना जाता है। शिशुओं की प्रतिरोधक क्षमता कम होती है और उनमें संक्रमण का खतरा होता है। मां के दूध में आवश्यक पोषक तत्व होते हैं जो कई बीमारियों के खिलाफ एक बाधा के रूप में कार्य करते हैं और आदर्श पोषण प्रदान करते हैं। स्तनपान एंटीबॉडी प्रदान करता है और प्रतिरक्षा को बढ़ाता है, बच्चे के स्वस्थ वजन को बढ़ावा देता है, टाइप I और II डायबिटीज के जोखिम को कम करता है, कैंसर, लिम्फोमा, एलर्जी, एक्जिमा और अस्थमा की संभावना को कम करता है। स्तनपान कराने वाले शिशुओं को दस्त, सर्दी और फ्लू से पीड़ित होने की संभावना कम होती है। यह अभ्यास एक मां और बच्चे के बीच भावनात्मक जुड़ाव बनाने में भी मदद करता है।”

शिशुओं के लिए कितना फायदेमंद है?

यह बताते हुए कि मां का दूध आसानी से पचने योग्य है, डॉ अग्रवाल ने कहा, “नवजात शिशुओं को पहले महीने के दौरान प्रति दिन लगभग 8-12 बार मां का दूध दिया जाना चाहिए। विश्व स्वास्थ्य संगठन की सलाह है कि मां का दूध जन्म के पहले घंटे के भीतर शुरू कर देना चाहिए, और फिर जीवन के पहले छह महीनों के लिए विशेष रूप से दिया जाना चाहिए। इसके बाद दो साल और उससे अधिक समय तक उचित पूरक खाद्य पदार्थों के साथ स्तनपान जारी रखा जाना चाहिए।”

यह माताओं की मदद कैसे करता है?

स्तनपान कराने वाले बच्चे न केवल स्तनपान कराने वाली माताओं की भलाई में सुधार करते हैं, बल्कि रूमेटोइड गठिया और ल्यूपस के अलावा स्तन कैंसर, उच्च रक्तचाप, मधुमेह, हृदय रोग, गर्भाशय कैंसर और डिम्बग्रंथि के कैंसर जैसी बीमारियों के विकास के जोखिम को भी कम करते हैं।

हरियाणा विधानसभा का घेराव करने जा रहे नवीन जयहिंद को समर्थकों सहित पकड़ा

डेमोक्रेटिक फ्रंट संवाददाता, चंडीगढ़ – 09 अगस्त :

रियाणा स्टेट फार्मेसी काउंसिल में भ्रष्टाचार पर कार्रवाई के लिए नवीन जयहिंद ने अपने समर्थकों सहित हरियाणा विधानसभा का घेराव करने की कोशिश की, तो चंडीगढ़ पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया। कई घंटे तक नवीन जयहिंद सहित उन्हें समर्थकों को चंडीगढ़ सेक्टर 3 पुलिस थाने मेें बिठाकर रखा और देर शाम तक वह पुलिस थाने में हिरासत में रहे। नवीन जयहिंद ने कहा कि फार्मेसी काउंसिल में भ्रष्टाचार की जड़ प्रधान धनेश अदलखा को बचाने के लिए सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग किया जा रहा है। मामले में मुख्य शिकायतकर्ता राजेश कौशिक ने बताया कि मैंने काउसिंल में व्याप्त भ्रष्टाचार का खुलासा किया। एक दलाल और काउंसिल का उपप्रधान सोहन लाल कंसल रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़े गए। हरियाणा राज्य चौकसी ब्यूरो ने मामले में प्रधान धनेश अदलखा और रजिस्ट्रार राजकुमार वर्मा के खिलाफ भ्रष्टाचार की विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया, लेकिन मामले में धनेश अदलखा और राजकुमार वर्मा को आज तक गिरफ्तार नहीं किया गया।

विधानसभा की तरफ कूच कर रहे आम आदमी पार्टी के नेता नवीन जयहिंद, रजेशा कौशिक जझझर, नवीन भूखड़, श्याम शर्मा, पवन (हांसी) को गिरफ्तार कर विधानसभा के सामने सेक्टर 3 चंडीगढ़ थाने में ले गए। राजेश कौशिक ने बताया कि उनके साथ फरयादी पवन जिसने डिप्लोमा इन फार्मेसी की रजिस्ट्रेशन हेतु हरियाणा स्टेट फार्मेसी कॉउंसिल में आवेदन किया था, लंबे समय तक रजिस्ट्रेशन न होने पर माननीय पंजाब हरियाणा कोर्ट में गुहार लगाई थी। न्यायधीश ने काउंसिल को आदेश दिए थे कि 45 दिन के अन्दर रजिस्ट्रेशन कर दें। बकौल पवन चेयरमैन धनेश अधलखा ने हाइ्रकोर्ट के आदेशों की कापी ही फाड़ दी। इतना ही नही 45 दिनों का समय निकल जाने के बाद भी रजिस्ट्रेशन नहीं की, जिससे दुखी होकर जहां अवमानना का मामला न्यायालय में विचाराधीन है। पवन ने हताश होकर आत्महत्या का प्रयास भी किया था। पवन व अन्य साथियों का कहना है कि जब विश्व भर में कहीं से भी शिक्षा ग्रहण करने का अधिकार है, तो काउंसिल प्रधान धनेश अदलखा नियमों से भी ऊपर है,जो प्रत्येक पढऩे वाले को फर्जी बता कर जीवन बर्बाद कर रहा है। हजारों आवेदकों के रजिस्ट्रेशन नवीकरण लंबित पड़े हैं।

2 जुलाई 2022 को विजिलेंस ने भ्रष्टाचार के मामले में एक दलाल को रंगे हाथों दबोचा और उसके बाद काउंसिल के उपप्रधान सोहन लाल कंसल को भी गिरफ्तार किया। एफआईआर में धनेश अदलखा व रजिस्ट्रार राजकुमार का भी नाम है, जो अभी तक पुलिस की गिरफ्त में नहीं किया। राज्य के स्वास्थ्य एवं गृह मंत्री अनिल विज ने एफआईआर में नाम आने पर उन्हें तुरन्त प्रभाव से सस्पेंड करने की सिफारिश की थी तथा काम बाधित न हो, अंतरिम व्यवस्था भी की। जिस पर मुख्यमंत्री ने अभी तक हस्ताक्षर ना कर फार्मासिस्टों के हकों पर पानी  फेरते हुए भ्रष्टाचारियों को बचाने में कोई कोशिश नहीं की।

शिशु गृह पंचकूला की नन्ही परी को मिला नया आशियाना

  • अडॉप्शन लेने वाले परिवार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ का नारा किया साकार
  • नन्ही परी करेगी परिवार का नाम रोशन- रंजीता मेहता

डेमोक्रेटिक संवाददाता, चंडीगढ़ – 9 अगस्त :

एक नन्ही परी, जिसे अपनों ने बेगाना कर दिया, लेकिन उन्हें आसरा दिया हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद द्वारा संचालित शिशुगृह पंचकूला ने, जहां इस नन्हीं बच्ची का लालन पालन हुआ। अब इस नन्ही परी को अपना नया परिवार मिला है। जहां पर उसे अपने परिवार के रूप में वे सब खुशियां मिलेंगी, जो खुशियां परिवार न होने पर कोई भी महसूस करती। गुरुग्राम की एक समृद्ध दंपति अपने परिवार में इस नन्ही परी को पाकर बेहद भावुक नजर आई और उन्होंने कहा कि वह नन्ही परी को उडऩे को खुला आसमान देंगे, ताकि वे जिंदगी में जो मुकाम पाना चाहे, वह उसे मिले और उनके सपनों को पूरा करने का कार्य करे।

हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद द्वारा संचालित शिशुगृह पंचकूला में आयोजित अडॉप्शन सेरेमनी कार्यक्रम में हरियाणा हयूमन राइटस कमिश्न के माननीय सदस्य दीप भाटिया मुख्य अतिथि के रूप में पहुंचे। उन्होंने बच्ची को उनके नए परिवार को सौंप उनके उज्जवल भविष्य की कामना की और परिषद की मानद महासचिव रंजीता मेहता और पूरे स्टाफ को नेक कार्य करने के लिए सराहा। मानद महासचिव रंजीता मेहता ने कहा कि नन्ही परी को नया परिवार मिला है और उन्हें पूरा विश्वास है कि वह नए परिवार को खुशहाली से भर देगी। उन्होंने कहा कि हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद द्वारा संचालित शिशुगृह में उन सभी बेआसरा बच्चों का लालन-पालन परिवार के रूप में किया जाता है। जिन्हें अपनों ने बेगाना कर दिया। अडॉप्शन की लंबी प्रक्रिया के बाद उन बच्चों को नया परिवार मिलता है। रंजीता मेहता ने कहा कि केंद्र द्वारा संचालित अडॉप्शन एजेंसी कारा के तहत सारी प्रक्रिया अॅनलाइन होती है और उस प्रक्रिया उपरांत ही किसी भी बच्चे को अडॉप्शन में दिया जाता है। इस अवसर पर अधिकारी व अन्य स्टाफ उपस्थित रहे।

राज्यपाल ने किया वर्चुअल क्लास रूमों का आनलाइन उद्घाटन


डेमोक्रेटिक संवाददाता, चंडीगढ़ – 9 अगस्त :

हरियाणा के राज्यपाल और हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद के प्रधान बंडारू दत्तात्रेय ने हरियाणा राज भवन से वर्चुअल क्लास रूमों का आनलाइन उदघाटन किया और संचालन करके प्रदेश भर के अनाश्रित, गरीब एवं राजकीय विद्यालयों के छात्रों को एक ही जैसी गुणवत्ता की कम्पटीशन की तैयारी के लिए शिक्षा क्षेत्र में एक अनोखी सौगात दी।

बंडारु दत्तात्रेय ने इन बच्चों को आहवान किया कि ऐसे अनोखे वर्चुअल क्लास रूम प्रोजेक्ट में पढ़कर विभिन्न प्रतियोगिताओं की तैयारी करके अपने सपनों को पंख लगाएं और इंजीनियर डॉक्टर इत्यादि बने। उद्घाटन समारोह में हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद की मानद महासचिव रंजीता मेहता ने सभी बच्चों से अपील की है कि वह इन क्लास रूमों के माध्यम से अपने मुकाम को हासिल करें और एक नई उड़ान भरें। रंजीता मेहता ने बताया कि हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद् चंडीगढ़ ने होंडा इंडिया धारूहेड़ा , गुरुग्राम की सीएसआर पालिसी के अंतर्गत रियल टाइम इंटेरक्टिव वर्चुअल क्लासरुम एजूकेशन प्रोजेक्टों की स्थापना की है। जिसके तहत शिशु गृह सेक्टर 15, पंचकूला, बाल भवन, न्यायपुरी करनाल एवं चिल्ड्रन होम चंदन नगर, सेक्टर -15 पार्ट 2 गुरुग्राम तीन वर्चुअल क्लासरूम बनाएं हैं। इनोवेटिव एजुकेशनल प्रोजेक्ट में अनाश्रित बच्चों जैसे स्लम एरिया , चिल्ड्रन होम एवं राजकीय विद्यालय की छात्राओं को कक्षा 6 से 12 तक साइंस , मैथ व इंग्लिश नई शिक्षा नीति के तहत निशुल्क ब्लेंडेड लर्निंग की कोचिंग दी जाएगी। राज्य परिषद एवं होंडा इंडिया फाउंडेशन के सहयोग से इन वर्चुअल क्लास रूम्स में गरीब, अनाश्रित, राजकीय विद्यालयों के बच्चों, कन्या छात्राओं को साइंस मैथ इंग्लिश ओलंपियाड , एनटीएसई, जेईई और नीट जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं की स्कूली शिक्षा के साथ ही यह शिक्षा दी जाएगी।  इसमें परिषद , चाइल्ड लाइन , सोशल वर्कर , बाल संरक्षण समिति एवं जिला बाल संरक्षण इकाई के माध्यम से सामाजिक कार्यकर्ताओं , लाइफ मेंबर , काउंसलर आदि के द्वारा ऐसे बच्चों को इन कक्षाओं में दाखिला दिलवाने और इन कक्षाओं में पढ़ाने के लिए ट्रांसपोर्ट इत्यादि के लिए तीनों जिलों में मदद ली जाएगी ।

ऐसी सोशल मोबिलाइजेशन के लिए तीनो वर्चुअल क्लासरूम में स्कूली बच्चों , चाइल्ड लाइन , बाल संरक्षण समिति , बाल संरक्षण इकाई , स्कूलों के प्रिंसिपल, शिक्षा अधिकारियों , संबंधित जिले के उपायुक्त एवं मुख्यालय राज्य परिषद के अधिकारियों की मौजूदगी में ब्लेंडेड लर्निंग कैसे करवाई जाएगी इसके लिए डेमो क्लास अप्रैल और मई, 2022 में आयोजित करवाई जा चुकी हैं । ताकि अनाश्रित / गरीब व राजकीय विद्यालय की छात्राओं को भी निशुल्क इस तरह की प्रतियोगिताओं की तैयारी के लिए मौका मिले | इन कक्षाओं में स्कूल में चल रहे सिलेबस के साथ – साथ उसी सिलेबस को लेकर साइंस – मैथ – इंग्लिश ओलंपियाड , जे.ई.ई एवं नीट को ध्यान में रखते हुए बेसिक कांसेप्ट क्लीयरिंग रियल टाइम इंटरैक्टिव कक्षाओं का आयोजन प्रत्येक कक्षा के लिए सप्ताह में एक बार किया जाएगा जैसे- छठी कक्षा सोमवार , सातवीं मंगलवार , आठवीं बुधवार , 9 वी- वीरवार , दसवीं शुक्रवार और 11 वीं 12 वीं कक्षाएं शनिवार और रविवार को लगाई जाएंगी | हर

कक्षा में 50 बच्चों को शिक्षा दी जाएगी इस प्रकार तीनों जिलों के तीनों वर्चुअल क्लास रूम्स में 1050 बच्चों पर ब्लेंडेड लर्निंग का इंपैक्ट पड़ेगा। इन कक्षाओं में दाखिला प्रक्रिया के लिए ऊपर लिखित घटक दलों एवं सामाजिक कार्यकर्ताओं द्वारा पहले अनाश्रित बच्चों को लाने की सहमति के साथ प्रक्रिया पूरी की जाएगी , अगर अनाश्रित / गरीब बच्चों के दाखिले से 50 बच्चों की कक्षा पूरे नहीं होती हैं तो राजकीय कन्या विद्यालयों में स्क्रीनिंग टेस्टस की प्रक्रिया में सिर्फ छात्राओं के दाखिले उनके अभिभावकों द्वारा कक्षा में लाने ले जाने की सहमति की प्रक्रिया पूरी करके दाखिले पूरे किए जाएंगे। अगर कोई बच्चा ड्रॉप आउट करता है तो उसकी जगह वेटिंग लिस्ट से अगले बच्चे को दाखिला दे दिया जाएगा । इस प्रकार होंडा कंपनी एवं श्रीमती रंजीता मेहता हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद के विजन और मिशन का यह एजुकेशनल इनोवेटिव प्रोजेक्ट बाल कल्याण के क्षेत्र में अनाश्रित / गरीब / राजकीय स्कूल की छात्राओं को शिक्षा देने में एक मील का पत्थर साबित होगा । इसके अलावा अगले तीन साल में इस प्रोजेक्ट को आत्मनिर्भर बनाने के लिए पेड कक्षाएं भी लगाई जाएगी और इनमें भी प्रत्येक कक्षा में 10 प्रतिशत गरीब परिवार के बच्चों को निशुल्क शिक्षा दी जाएगी ताकि ज्यादा से ज्यादा बच्चों का कल्याण हो सके और इस फ़ीस के सहारे यह प्रोजेक्ट भी आत्मनिर्भर हो सकें जिससे होंडा कंपनी व परिषद का इस को आत्मनिर्भर बनाने का सपना भी साकार हो जाए।


इस उद्घाटन समारोह के मौके पर तीनों जिलों के वर्चुअल क्लासरूमों से जिलो के उपायुक्त एवं जिला प्रधान महावीर कौशिक, निशांत कुमार, अनीश कुमार यादव, अन्य अधिकारी, कर्मचारीगण, स्कूली बच्चे एवं विभिन्न छायाकार बंधु भी उपस्थित रहे।

हाफिजपुर गांव में ग्रामीणों ने एकत्रित हो मलिकपुर खादर पशु अस्पताल के पशु चिकित्सक के खिलाफ रोष प्रकट किया

कोशिक खान, डेमोक्रेटिक फ्रंट, यमुनानगर :

हाफिजपुर गांव में ग्रामीणों ने एकत्रित हो मलिकपुर खादर पशु अस्पताल के पशु चिकित्सक के खिलाफ रोष प्रकट किया है। ग्रामीणों का आरोप है कि गांव में काफी गाय व उनके वंशज अज्ञात बिमारी की चपेट में है। जिसके कारण गाय व उनके वंशज तकलीफ में तड़प रहे हैं। उनकी तकलीफ को देखते हुए पशु चिकित्सक को फोन किया तो उन्होंने लापरवाही व गैर जिम्मेदाराना बयान देते हुए कहा है कि ना तो उनके पास कोई दवाई है और ना ही उनके पास पशुओं की जांच करने का समय है। ग्रामीणों का कहना है एक तो वह पशुओं में आ रही बीमारी को लेकर पहले ही परेशान हैं ऊपर से पशु अस्पताल के डॉक्टर इस तरह के बात करते हैं। पशु चिकित्सक द्वारा दिए गए बयान से नाराज ग्रामीणों ने पशु चिकित्सक के खिलाफ रोष प्रकट किया है।

ग्रामीण राजीव रिंकु, सुखबीर, गुलजार, जगबीर रुस्तम संजीव शिवम ने जानकारी देते हुए बताया कि पिछले कई दिनों से गाय व उसके वंशजों में अज्ञात बीमारी के लक्षण नजर आ रहे हैं। इस बीमारी की वजह से छोटी बछडी ज्यादा परेशान हो रही है। वह पिछले 2 दिनों से खास भी नहीं खा रही है। छोटी बछड़ी की तकलीफ परिवार से देखी नहीं जा रही। जिसको लेकर मलिकपुर खादर बैठने वाले डॉक्टर को फोन कर गाय व बछड़ी को हो रही परेशानी के बारे में अवगत कराया तो उन्होंने पूरी बात भी नहीं सुनी और कहने लगा कि यह कोई बीमारी नहीं है और ना ही सरकार के पास इसका इलाज है ना हमारे पास दवाई है और ना ही मेरे पास पशुओं की जांच करने का समय है। ग्रामीणों का कहना है कि वह पहले ही परेशान है गौमाता व बछड़ी में हो रही अज्ञात बीमारी से गांव में दहशत फैली हुई है और डॉक्टर इस तरह गैर जिम्मेदाराना बयान देकर ग्रामीणों को मायूस कर रहे हैं। जोकि सरासर गलत है डॉक्टर को चाहिए कि परेशान लोगों को आराम से समझाएं तसल्ली व हौसला देने की बात करें। बल्कि डॉक्टर उससे उल्टा लोगों में भय का माहौल बना रहे हैं जो कि सरासर गलत है। ऐसे डॉक्टरों के खिलाफ सरकार को कार्रवाई करनी चाहिए।इस बारे में पशु चिकित्सक देवेन्द्र ढांडा का कहना है कि उन्होंने किसी के साथ इस तरह की बातचीत नहीं की। उनके पास रोजाना इस बिमारी को लेकर फोन आते हैं वह लोगों को यह बताते हैं कि अभी इस बिमारी की कोई दवाई नहीं है। इससे ज्यादा कोई बात किसी के साथ नहीं हुई।

काँग्रेस पार्टी कार्यकर्ताओं ने इंकलाब जिंदाबाद और देश का झण्डा ‘तिरंगा’ नहीं चलेगा दोरंगा के नारे लगाए

  • स्वतंत्रता सेनानियों नमन करते हुए मनाया जाए स्वन्त्रता दिवस – अशोक अरोड़ा 
  • स्वतंत्रता आंदोलन में काँग्रेस का बड़ा योगदान – अकरम खान
  • काँग्रेस पार्टी शहीदों को नमन करती है – बतरा 


कोशिक खान, डेमोक्रेटिक फ्रंट, यमुनानगर : 

मंगलवार शाम 4 बजे आजादी गौरव यात्रा निकाली गई यह यात्रा पुरानी अनाजमंडी जगाधरी से शुरू होकर बुढ़िया चोंक जगाधरी के लिए रवाना हुई 
काँग्रेस पार्टी कार्यकर्ताओं ने इंकलाब जिंदाबाद और देश का झण्डा तिरंगा नहीं चलेगा दोरंगा के नारे लगाए । इस अवसर पर काँग्रेस नेताओं ने बोलते हुए कहा काँग्रेस पार्टी ने देश की आजादी की लड़ाई लड़ी और जो लोग इस लड़ाई से पीछे भाग रहे थे वही आज देशभक्ति का सर्टिफिकेट बाँट रहे हैं भारत हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई आपस मे सब भाई भाई के सिद्धांत को लेकर आगे बढ़ा है और भाजपा सरकार देश की तरक्की के मुख्य कारण आपसी भाईचारे को खराब करने में लगी है भारत देश सदा सभी धर्मों और सभी वर्गों को लेकर आगे बढ़ा है और काँग्रेस पार्टी ने सभी धर्मों का सम्मान किया है इस मौके पर पूर्व मंत्री अशोक अरोड़ा , पूर्व डिप्टी स्पीकर अकरम खान, पूर्व मंत्री सुभाष चौधरी ,कोर्डिनेटर जिला काँग्रेस कमेटी एवं पूर्व चेयरमैन जिला परिषद जिला युमनानगर श्याम सुन्दर बतरा, पूर्व प्रत्याशी निर्मल चौहान,पार्षद देवेंद्र सिंह,पार्षद विनय काम्बोज टिंकू , पार्षद हरमीन कोहली ,मोहन वर्मा जयरामपुर, राय सिंह, राजेश शर्मा,पवन चोपड़ा, जाकिर हुसैन, राजकुमार त्यागी ,गुरदयाल पूरी,मेम सिंह दहिया , अमरजीत कोहली, शमीम खान,आकाश बतरा ,  नरसिंग पाल, ज्ञान चन्द पंडवार, भूपेंद्र सिंह, सुरेंदर सिंह, नरवैल लोपयों,दिनेश डुमरा,हार्दिक सखूजा ,ओम पाल, देसराज , मनप्रीत सिंह लवली,पंकज शुक्ला आदि मौजूद रहे

चिराग पासवान आज भी दिल से मानते हैं कि वह पीएम मोदी के हनुमान हैं

                                   चिराग पासवान पहले ही कह चुके हैं कि वो पीएम मोदी के हनुमान हैं।  सवाल उठता है कि यदि बिहार में जदयू ने अपना पाला बदला तो मुकेस सहनी से दूर जा चुकी बीजेपी के पास क्या सिर्फ चिराग पासवान ही बचेंगे?  हाल में चिराग की केंद्र से दूरी जगजाहिर है।  लेकिन ये भी तय है कि चिराग की आज भी पीएम मोदी में आस्था  है।  

JDU अलग हुई तो BJP के साथ बचेंगे चिराग पासवान! नीतीश के खिलाफ फिर खोला  मोर्चा - Bihar political upheaval JDU is separated chirag Paswan will be  left with BJP and opened
  • बिहार में जेडीयू-बीजेपी में तलाक का ऐलान अब केवल औपचारिकता
  • जेडीयू के एनडीए से अलग होने से सबसे ज्यादा खुश होंगे चिराग पासवान
  • गौरतलब है कि चिराग लगातार सीएम नीतीश पर हमला करते रहे हैं

सारिका तिवारी(राजनैतिक विश्लेषक) डेमोक्रेटिक फ्रंट, चंडीगढ़/पटना :

बिहार में बड़ा सियासी बदलाव हुआ है। यहां मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है और बीजेपी के साथ जेडीयू के गठबंधन को तोड़ दिया है। अचानक हुए इस बदलाव से सियासी गलियारों में हड़कंप मच गया है। इस बीच लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान का बयान सामने आया है। उन्होंने कहा कि, “आज नीतीश कुमार की विश्वसनीयता शून्य हो गई है। हम चाहते हैं कि बिहार में राष्ट्रपति शासन लागू हो और राज्य को नए सिरे से जनादेश देना चाहिए। आपकी (नीतीश कुमार) कोई विचारधारा है या नहीं? अगले चुनाव में जेडीयू को जीरो सीटें मिलेंगी। नीतीश कुमार किसी के प्रति वफादार नहीं हैं।”

दिल्ली में संवाददाताओं को संबोधित करते हुए चिराग ने कहा- देखिए उन्होंने शरद पवार और प्रशांत किशोर के साथ क्या किया? विधानसभा चुनाव से पहले ही मैंने लोगों को चेतावनी दी थी कि नीतीश कुमार कभी भी दलबदल कर सकते हैंऔर वह समय फिर से आ गया है। उन्होंने आगे कहा कि कहा कि नीतीश कुमार ने दूसरी बार लोगों के जनादेश का अपमान किया है। उन्होंने राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने और फिर से चुनाव कराने की भी मांग की है। चिराग ने कहा राज्य में नए सिरे से चुनाव होने दें।

चिराग पासवान ने ये बयान जेडीयू द्वारा भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के साथ अपना गठबंधन तोड़ने और मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने को लेकर आया है। दूसरी तरफ राज्यपाल फग्गू चौहान को इस्तीफा सौंपने के बाद राजभवन से बाहर निकले नीतीश कुमार ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि सभी सांसदों और विधायकों की इस बात पर आम सहमति पर हैं कि हमें एनडीए छोड़ देना चाहिए।

चिराग पासवान ने कहा कि कोई है जो नीतीश कुमार को सबसे अच्छी तरह जानता है तो वो मैं हूं। उनके अहंकार ने राज्य को तबाह कर दिया है। उन्होंने कहा कि बिहार में एनडीए के साथ चुनाव लड़ने से इनकार करने का एकमात्र कारण यह था कि वह नीतीश कुमार के साथ गठबंधन नहीं करना चाहते थे। इस बीच बीजेपी ने नीतीश कुमार के इस्तीफे को बिहार की जनता के साथ विश्वासघात बताया है। बिहार बीजेपी अध्यक्ष संजय जायसवाल ने कहा- हमने एनडीए के तहत बिहार विधानसभा 2020 का चुनाव एक साथ लड़ा। जनादेश जद (यू) और भाजपा के लिए था। हमने अधिक सीट जीतने के बाजवूद नीतीश कुमार को सीएम बनाया। आज जो कुछ भी हुआ वह बिहार के लोगों और भाजपा के साथ विश्वासघात है।

चिराग पासवान ललन सिंह के उसी ‘चिराग मॉडल’ का जवाब देने के लिए मीडिया के सामने आने वाले हैं। दरअसल, महाराष्ट्र में शिंदे गुट की बगावत से काफी पहले बिहार में जदयू ने लोजपा को दो फाड़ कर दिया था। बिहार विधानसभा चुनाव में चिराग पासवान खुलकर नीतीश कुमार के विरोध में थे। उस समय वे भाजपा के सहयोगी के रूप में भी काम कर रहे थे। लेकिन, भाजपा ने तब उन्हें नीतीश विरोध के लिए रोका-टोका नहीं। बाद में चुनावी गठबंधन नहीं हो पाया। लोजपा अकेले चुनावी मैदान में उतरी और पार्टी को महज 1 सीट पर जीत मिली। इसके बाद जदयू की ओर से पशुपति कुमार पारस को साधकर चिराग पासवान को उनकी ही बनाई गई पार्टी लोजपा में अलग-थलग कर दिया गया। लोजपा को चुनाव आयोग ने सीज करते हुए चिराग और पारस गुट को अगल-अलग नाम से पार्टी अलॉट कर दी। लोजपा का चुनाव चिह्न बंगला छाप भी जब्त हो गया। ऐसे में चिराग के प्रेस कांफ्रेंस पर हर किसी की नजर रहेगी। वे जदयू अध्यक्ष के चिराग मॉडल का क्या जवाब देते हैं। यहां पढ़िए चिराग पासवान के प्रेस कांफ्रेंस का लाइव कवरेज।

बिहार में फिर चाचा – भतीजा की सरकार

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राज्यपाल फागू चौहान को अपना इस्तीफा सौंप दिया है। उन्होंने 160 विधायकों के समर्थन के साथ नई सरकार बनाने का दावा भी पेश किया। शाम करीब 4:00 बजे नितीश, फागु चौहान से मिलने पहुंचे और अपना इस्तीफा सौंप दिया। नीतीश कुमार महागठबंधन के साथ फिर बिहार में सरकार बनाने जा रहे हैं। बिहार के राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंपने के बाद जनता दल यू नेता नीतीश कुमार ने कहा कि हमारे सभी सांसदों और विधायकों के बीच इस बात पर आम सहमति पर है हमें एनडीए छोड़ देना चाहिए। राजभवन से बाहर आते हुए मीडिया कर्मियों से नीतीश कुमार ने कहा कि वह अब एनडीए गठबंधन से बाहर आ चुके हैं। उन्होंने कहा कि पार्टी के सभी सांसद और विधायक चाहते थे कि एनडीए गठबंधन छोड़ दिया जाए। उनका इस्तीफा स्वीकार कर लिया है. फैसला पार्टी का है। उन्होंने बताया कि आरजेडी के साथ नई सरकार बनाएंगे इस दौरान नीतीश कुमार ने बताया कि राज्यपाल ने उनका इस्तीफा स्वीकार कर लिया है। बिहार में पिछले 3 दिनों से जारी राजनैतिक उठापटक का दौर आखिरी दौर में पहुंच गया है।

प्रधानमंत्री बनने का एक ख्वाब ओर एक (झठा) वादा नितीश को मोदी से दूर कर गया। 2024 की इंतज़ार सबको करनी पड़ेगी और देखना पड़ेगा की यहाँ का फदनवीस कौन ? – राजनैतिक विश्लेषक

  • जब नीतीश राजभवन से सीधे राबड़ी देवी के आवास पर पहुंचे, तो तेजस्वी यादव उन्हें रिसीव करने बाहर तक आए। राबड़ी के घर राजद, कांग्रेस और माले के विधायक मौजूद हैं।
  • पटना में भाजपा ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है। मीटिंग में भाजपा कोटे के सभी मंत्रियों और संगठन के नेताओं को भी बुलाया गया है। पार्टी हाईकमान भी इनसे चर्चा कर सकता है।
  • RJD विधायक दल के नेता तेजस्वी यादव ने 115 विधायकों के समर्थन की चिट्ठी नीतीश कुमार को सौंपी है। इसमें नीतीश की अगुआई में सरकार बनाने की बात कही गई है।
  • सूत्रों के मुताबिक नई सरकार के गठन से पहले तेजस्वी ने गृह मंत्रालय मांगा है, जो अब तक नीतीश के पास था। पिछली सरकार में तेजस्वी यादव के पास पथ निर्माण विभाग था।

सारिका तिवारी(राजनैतिक विश्लेषक) डेमोक्रेटिक फ्रंट, चंडीगढ़/पटना :

बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने राज्यपाल को अपना इस्तीफा सौंप दिया है। राजभवन से बाहर निकलने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि हम एनडीए में थे और अब एनडीए के मुख्यमंत्री पद से मैंने इस्तीफा दे दिया है। एनडीए से अलग होने के बाद नीतीश कुमार ने महागठबंधन के साथ सरकार बनाने का फैसला लिया है और इस फैसले के बाद वो राज्यपाल को इस्तीफा देने राजभवन पहुंचे।  नीतीश कुमार ने सीएम के पद से इस्तीफा देने के साथ ही विधायकों का समर्थन – पत्र भी गवर्नर को सौंप दिया। इससे पहले मंगलवार को महागठबंधन की बैठक में नीतीश कुमार को समर्थन दिए जाने के बाद से ही कयास लगाए जा रहे थे कि सीएम नीतीश कुमार एनडीए(नरेंद्र मोदी) से अलग होंगे।

पार्टी के विधायकों और सांसदों की बैठक के बाद जेडीयू ने एनडीए से अलग होने का फैसला लिया, हांलाकि इसका औपचारिक ऐलान होना अभी भी शेष है। इस घटना के बाद नीतीश कुमार राज्यपाल फागू चौहान को इस्तीफा देने पहुंचे। कहा जा रहा था कि किसी भी वक्त नीतीश कुमार अपना इस्तीफा राज्यपाल को सौंप सकते हैं लेकिन अंततः राज्यपाल ने मिलने के लिए उन्हें शाम करीब 4 बजे का वक्त दिया। नीतीश कुमार राजभवन अकेल ही इस्तीफा देने पहुंचे। उनके इस्तीफा सौंपने के साथ ही बिहार में नई सरकार के गठन का रास्ता भी साफ हो गया है।

इस बीच बड़ी खबर यह है कि महागठबंधन की नई नीतीश सरकार में दो उपमुख्‍यमंत्री रहेंगे। इनमें आरजेडी से तेजस्‍वी यादव का नाम तय है। सूत्रों के मुताबिक JDU की मीटिंग में नीतीश कुमार ने कहा कि भाजपा हमेशा हमें कमजोर करने की कोशिश की। भाजपा ने मुझे अपमानित किया। 2013 से लेकर अब तक भाजपा ने सिर्फ धोखा ही दिया।

उपेंद्र कुशवाहा, JDU नेता- नए स्वरूप में नए गठबंधन के नेतृत्व की जवाबदेही के लिए नीतीश कुमार को बधाई। आप आगे बढ़िए। देश आपका इंतजार कर कर रहा है।रोहिणी आचार्य, लालू यादव की बेटी- राजतिलक की करो तैयारी, आ रहे हैं लालटेनधारी।

पशुपति कुमार पारस, केंद्रीय मंत्री- RJD और JDU की सरकार पहले भी बनी थी लेकिन चल नहीं पाई। फिर ये लोग मिलकर सरकार बना रहे हैं। ये बिहार के विकास के लिए शुभ संकेत नहीं है। हमारी पार्टी NDA के साथ थी और आगे भी रहेगी।

नीतीश कुमार 2013 में भाजपा और 2017 में राजद से गठबंधन तोड़ चुके हैं। दोनों ही बार उन्होंने सरकार बनाई थी और सूबे के मुख्यमंत्री बने थे।

पिछले वर्ष बजट सत्र में विधानसभा में हुए भारी हंगामे और विपक्षी विधायकों की ओर से स्पीकर विजय कुमार सिन्हा के साथ किए गए दुर्व्यवहार मसले पर विधानसभा की आचार समिति की सिफारिश के आधार पर 14 विधायकों की सदस्यता पर तलवार लटकी हुई है। राज्य में जारी सियासी गतिविधि के बीच इस मसले पर भी फैसले लिए जाने की आशंका जताई जा रही है।

दरअसल, आचार समिति की सिफारिश अभी स्पीकर के स्तर पर विचाराधीन है। उस रिपोर्ट में क्या कार्रवाई की अनुशंसा की गई है यह सदन में पेश होने पर ही पता चलेगा, पर सूत्रों की मानें तो 14 आरोपी विधायकों की सदस्यता जाने का खतरा बरकरार है।