CAA के खिलाफ अकाल तखत का मुसलमानों को समर्थन

करतारपुर कोरिडोर खुलने के बाद से सिख जत्थेबंदियों का झुकाव पकिस्तान के प्रति नरम पड़ता जा रहा है. अकाल तखत भी अब CAA के खिआफ मुसलामानों का साथ दे रहा है. अकाल तखत सिखों कि सर्वोच्च धार्मिक संस्था है, जिसका हुकम सिखों के लिए गुरु वाक्य होता है. अकाल तख्त के प्रमुख हरप्रीत सिंह, दिल्ली अल्पसंख्यक कमीशन के प्रमुख जफरुल इस्लाम खान से अमृतसर में मिले. अभी कुछ दिन पहले ही हरप्रीत ने भारत में सिखों को असुरक्षित बताया था, जिस पर अमरिंदर सिंह ने इत्तेफाक न रखते हुए उन्हें सरकार से भागीदारी हटा लेने कि सलाह दी थी. अकाल तख़्त के इस रवैये से भारत कि राजनीति क्या मोड़ लेती है यह तो समय ही बताएगा.

पंजाब(ब्यूरो): 

नागरिकता संशोधन कानून का विरोध कर रहे मुस्लिम समुदायों को एक और साथी मिल गया है. अकाल तख्त संस्था के प्रमुख ने उन्हें अपना समर्थन दिया है.

अकाल तख्त के प्रमुख ज्ञानी हरप्रीत सिंह ने समुदाय को अपना समर्थन दिया. एक निजी चैनल की रिपोर्ट के मुताबिक इसके लिए हरप्रीत सिंह से दिल्ली अल्पसंख्यक कमीशनके प्रमुख जफरुल इस्लाम खान से अमृतसर में मिले.

‘सिख हमेशा अन्याय के खिलाफ और इसका शिकार बनने वालों के साथ खड़े रहेंगे’

हरप्रीत सिंह ने कहा कि अल्पसंख्यकों के अंदर डर और असुरक्षा का भाव है, जो कि देश के लिए अच्छा नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि सिख हमेशा अन्याय के खिलाफ और इसका शिकार बनने वालों के साथ खड़े रहेंगे.

तख्त के प्रमुख ने कहा कि उन्हें ऐसे ही समर्थन की मांग अन्य मुस्लिम समुदायों से भी मिली थी. उन्होंने खान से कहा कि वे हिंदू समुदायों से भी संपर्क करें और उनमें से भी कई सारे ऐसी ही असुरक्षा महसूस कर रहे हों, उनके साथ भी इस मुद्दे पर बातचीत करें. उन्होंने यह भी कहा कि देश में शांति बनाए रखने के लिए सभी एक प्लेटफॉर्म पर आएंगे, ऐसी उनको आशा है.

CAA और NRC को साथ में लागू किए जाने को लेकर डरे हुए हैं कई लोग

दिल्ली अल्पसंख्यक कमीशन के प्रमुख जफरुल इस्लाम खान ने यह कहा कि सिख समुदाय के समर्थन ने उनमें (मुस्लिम समुदाय में) भारत को एक धर्म पर आधारित देश बनाने का प्रयास करने वालों के खिलाफ प्रयासों को लेकर आशा का संचार किया है.सिख खुद एक ऐसे अल्पसंख्यक समुदाय का निर्माण करते हैं- जिस समुदाय के पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आने वाले लोगों को भारतीय नागरिकता के लिए एक आसान रास्ता दिया जाना है. हालांकि कई लोग डरे हुए हैं कि नागरिकता संशोधन कानून और राष्ट्रीय नागरिकता पंजी को साथ में लागू किया जाना पूरे देश की मुस्लिम जनसंख्या के खिलाफ एक भेदभावपूर्ण प्रक्रिया होगी.

गुमशुदा मोबाइल बरामद कर मालिकों को सौंपे

 पंचकूला 15 फरवरी:- 

पुलिस प्रवक्ता ने जानकारी देते हुये बतलाया श्री कमलदीप गोयल, ह.पु.से., पुलिस उपायुक्त, पंचकूला के दिशा-निर्देशानुसार जिला पंचकूला के अलग-2 थानों में गुमशुदा मोबाईल बारे दर्ज शिकायतों के सम्बन्ध साईबर सैल पंचकूला द्वारा मेहनत व लगन से कार्य करते हुये गुमशुदा 16 मोबाईल फोन को बरामद किया गया है । 

ओमप्रकाश ह.पु.से., सहायक पुलिस आयुक्त, पंचकूला द्वारा साईबर सैल के माध्यम से ट्रेस किये गये मोबाईल फोन को आज उनके असल मालिक रसमीत सुरी वासी सैक्टर-04, पंचकूला, राकेश कुमार वासी सैक्टर-45 चण्डीगढ, गौरव वासी रायपुररानी, प्रदीप वासी हरीपुर, सुनील कटुमार वासी रोहतक, प्रिंस शर्मा वासी रायपुररानी व सम्राट सिंह के सुपुर्द किया गया 

पंचकुला में कानूनी जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया

पंचकूला 15 फरवरी:

जिला विधिक सेवाएं प्राधिकरण द्वारा लोगों को उनके अधिकारों के बारे में जागरूक करने के लिए पैरा वॉलिंटियर का कानूनी जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। एडीआर सैंटर में आयोजित इस कानूनी जागरूकता शिविर की अध्यक्षता मुख्य न्यायिक दण्डाधिकारी समप्रीत कोर ने की।

  मुख्य न्यायिक दण्डाधिकारी ने विशेषकर महिलाओं के कानूनी अधिकारों के बारे में विस्तार से अवगत करवाया। उन्होंने कहा कि सभी वांलिटर ग्रामीण स्तर पर लोगों को कानूनी अधिकारों के बारे में जागरूक करें ताकि सरकार द्वारा क्रियान्वित कानूनी सेवाओं एवं कल्याणकारी योजनाओं का लाभ जरूरतमंद व्यक्तियों तक आसानी से पहंुच सके। उन्हांेने कहा कि लोक अदालतों के माध्यम से ज्यादा से ज्यादा का निपटारा किया जाता है। इसलिए लोगों के विवादों को  लोक अदालत में लाने चाहिए।

   पैनल अधिवक्ता सोनिया सैनी ने पीसीपीएनडीटी एक्ट एवं घरेलू उत्पीडन एवं महिलाओं से संबधित कानून के बारे में विस्तार से अवगत करवाया। पैनल अधिक्ता यज्ञदत शर्मा ने पोक्सो एक्ट एवं नालसा अधिनियम एवं सीनियर सिटिजन अधिनियम के बारे में जानकारी दी। शिविर में पैरावॉलिंटर एवं आंगनबाडी कार्यकर्ताआंे ने भाग लिया।

TRAFFIC ADVISORY FOR CARNIVAL PARADE

CHANDIGARH – 15.2.2020

                   Chandigarh Urban Festival-2020 will be organized from 9th to 16th February, 2020 by ACT Chandigarh in association with Chandigarh Tourism Department. As part of this festival, on 16.2.2020, a Carnival Parade which will include March-cum-performance by various groups of college students shall pass alongwith tableaux from Matka Chowk upto Capital Complex, Sector 1 (both the carriageways) on Jan Marg from 3.00 PM onwards.

                The general public is hereby advised to avoid the stretch of road from Matka Chowk upto Capital Complex Sector 1 on Jan Marg between 3.00 PM to 6.00 PM on 16.2.2020. The movement of emergency vehicles will be facilitated on the abovesaid route.

                Inconvenience caused to the general public on account of these restrictions is regretted. General public is requested to cooperate with the police.

Police Files, Chandigarh

CHANDIGARH – 15.02.2020

Action against Gambling

Crime Branch of Chandigarh Police arrested Sanjay R/o # 1639/2, near Kila, Manimajra, Chandigarh, while he was gambling satta on 14.02.2020, near Electricity Office, Motor market, MM, Chandigarh and recovered cash Rs. 5500/- from his possession.  In this regard, a case FIR No. 27, U/S 13A-3-67 Gambling Act has been registered in PS-MM, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

Three arrested for possessing illegal liquor

Chandigarh Police arrested Rajinder Kumar R/o # 1361/C, EWS Colony, Dhanas, Chandigarh and recovered 11 quarters of English wine near Kabari market, Dhanas, Chandigarh on 14.02.2020. A case FIR No. 18, U/S 61-1-14 Excise Act has been registered in PS-Sarangpur, Chandigarh. He was later bailed out. Investigation of the case is in progress.

Chandigarh Police arrested Gony R/o #253, Kachi colony, Dhanas, Chandigarh, and recovered 15 quarters of country wine, near Nanda farm, Khuda Lahora, Chandigarh on 14.02.2020. A case FIR No. 20, U/S 61-1-14 Excise Act has been registered in PS-Sarangpur, Chandigarh. He was later bailed out. Investigation of the case is in progress.

Chandigarh Police arrested Raju R/o P-1247, Tin Colony, Sector-52, Chandigarh and recovered 96 quarters of country wine, near Gand Nala, Sector-52, Chandigarh on 14.02.2020. A case FIR No. 32, U/S 61-1-14 Excise Act has been registered in PS-36, Chandigarh. He was later bailed out. Investigation of the case is in progress.

Kidnapped/Missing

          A lady resident of Maulijagran, Chandigarh reported that unknown person kidnapped/missing her son aged 4 years from park near her residence 14.02.2020. A case FIR No. 21, U/S 363 IPC has been registered in PS-Maulijagran, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

Theft

          Chaderhas Pandey R/o # 113, Sector-47A, Chandigarh (working in Air Force) reported that unknown person stole away one HP Laptop, one JIO WIFI device, three mobile phones, Cash Rs. 5500/- and one Indane Gas Cylinder from his residence by breaking the locks on 14.02.2020. A case FIR No. 25, U/S 454, 380 IPC has been registered in PS-31, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

Amit Kumar R/o # 1243/A, Sector-35 B, Chandigarh reported that unknown person stole away cash Rs.19, 000/- from his residence by breaking the locks of main door on 14.02.2020. A case FIR No. 31, U/S 454, 380 IPC has been registered in PS-36, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

MV Theft

A lady resident of Sector 8-B, Chandigarh reported that someone has stole away complainant’s Honda city car No. CH03N-9090, from his residence on 14.02.2020. A case FIR No. 19, U/S 379 IPC has been registered in PS-3, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

Mohit R/o # 1418, Village Burail, Chandigarh reported that someone has stole away his motorcycle No. CH04B2405, near Civil Dispensary, Sector-45, Chandigarh. A case FIR No. 25, U/S 379 IPC has been registered in PS-34, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

Assault

A case FIR No. 22, U/S 323, 341, 506, 34 IPC has been registered in PS-Maloya, Chandigarh on the complaint of a lady resident of DMC, Chandigarh against Bittu @ Goli (husband) and 2 others beaten to complainant’s near her residence on 13.02.2020 and run away. She got injured and admitted in GH-16, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.

A case FIR No. 19, U/S 323, 341, 365, 506, 34 IPC has been registered in PS-Sarangpur, Chandigarh on the complaint of Lakhmudin R/o # 672, EWS colony, Dhanas, Chandigarh against Amarjit, Viru and Devender, who beaten/threatened complainant near Mandir, EWS colony, Dhanas, Chandigarh on 12.02.2020. Investigation of the case is in progress.

भाजपा ने 3 प्रदेश प्रमुखों को बदला

बीजेपी की तरफ से जारी बयान के अनुसार, मध्य प्रदेश बीजेपी के नए अध्यक्ष खजुराहो के सांसद विष्णु दत्त शर्मा को बनाया गया है, जबकि केरल बीजेपी का अध्यक्ष के. सुरेन्द्रन को बनाया गया है. वहीं सिक्किम में दल बहादुर चौहान को फिर से प्रदेश बीजेपी का नया अध्यक्ष बनाया गया है.

नई दिल्ली: बीजेपी अध्यक्ष जे.पी. नड्डा के पदभार ग्रहण करने के साथ ही तेजी से राज्यों में भी प्रदेश अध्यक्षों के चयन का काम शुरू हो गया है. इसी कड़ी में नड्डा ने शनिवार को तीन प्रदेशों में अध्यक्षों की नियुक्ति कर दी.

बीजेपी की तरफ से जारी बयान के अनुसार, मध्य प्रदेश बीजेपी के नए अध्यक्ष खजुराहो के सांसद विष्णु दत्त शर्मा को बनाया गया है, जबकि केरल बीजेपी का अध्यक्ष के. सुरेन्द्रन को बनाया गया है. वहीं सिक्किम में दल बहादुर चौहान को फिर से प्रदेश बीजेपी का नया अध्यक्ष बनाया गया है.

सबसे चौंकाने वाला फैसला मध्यप्रदेश को लेकर किया गया है, जहां राकेश सिंह की जगह पर खजुराहो के सांसद विष्णुदत्त शर्मा को बीजेपी अध्यक्ष नियुक्त किया गया है. शर्मा मूलत: मध्यप्रदेश के मुरैना जिले के निवासी हैं. उन्हें वी.डी. शर्मा के नाम से भी जाना जाता है. वह 32 वर्षों से लगातार सक्रिय राजनीति में है.

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से राजनीति शुरू करने के बाद विष्णुदत्त शर्मा को संगठन में अनेक पद मिले. मौजूदा समय में वह पार्टी के प्रदेश महामंत्री हैं. प्रदेश की राजनीति में उन्हें बड़ा चेहरा माना जाता है. संघ से भी उनका जुड़ाव रहा है.

विष्णुदत्त शर्मा के बारे में बताया जाता है कि वह संघ और बीजेपी संगठन से जुड़े जमीनी नेता हैं. विष्णुदत्त शर्मा 1987 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में शामिल हुए. 1995 से उन्होंने पूर्ण रूप से राजनीति में कदम रखा. इससे पहले 1993 से 1994 तक वह मध्यप्रदेश में सचिव रहे.

विष्णुदत्त शर्मा 2001 से 2007 तक मध्यप्रदेश एबीवीपी राज्य संगठन सचिव रहे. इस दौरान विष्णुदत्त शर्मा एबीवीपी के राष्ट्रीय सचिव भी रहे. वह 2007 से 2017 तक मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के क्षेत्रीय संगठन सचिव रहे. 2007 से 2009 तक विष्णुदत्त शर्मा एबीवीपी के राष्ट्रीय महासचिव भी रहे.

दल बहादुर

सिक्किम में एक बार फिर दल बहादुर चौहान को बीजेपी अध्यक्ष बनाया गया है. दल बहादुर को सिक्किम बीजेपी में सबसे बड़ा नाम माना जाता है. वहीं केंद्र में मुरलीधरन के मंत्री बनने के बाद बीजेपी केरल में एक ऐसे नेता की तलाश में थी, जिनकी राज्य में पहचान हो. के. सुरेन्द्रन संघ से जुड़े रहे हैं और उनकी पहचान एक फायरब्रांड नेता की रही है.

कांग्रेस में अभी सब कुछ ठीक नहीं चल रहा

ज्योतिरादित्य सिंधिया और शर्मिष्ठा मुखर्जी जैसे नेताओं के ट्वीट से पार्टी में वरिष्‍ठ व युवा नेताओं की खाई एक बार फिर उजागर हो गई है.

चंडीगढ़ :  

Ravirendra-Vashisht
राज्विरेन्द्र वशिष्ठ
संपादक:
डेमोक्रटिकफ्रंट.कॉम

कांग्रेस में अभी सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है. राहुल गांधी का धड़ा अध्‍यक्ष का पद दोबारा पाने को बेताब है तो सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) का धड़ा अभी कोई बदलाव के मूड में नहीं दिख रहा. हालांकि दिल्‍ली विधानसभा चुनाव में एक बार फिर शून्‍य पर आने और सोनिया गांधी के स्‍वास्‍थ्‍य को लेकर पार्टी में चिंता की लकीरें खिंच गई हैं. फिर भी वरिष्‍ठ नेता अप्रैल में होने वाले राज्‍यसभा चुनावों तक नेतृत्‍व में कोई बदलाव किए जाने के पक्ष में नहीं है. अप्रैल में छत्तीसगढ़, राजस्थान, मध्य प्रदेश में राज्यसभा की कई सीटें खाली हो रही हैं. मोतीलाल वोहरा, दिग्विजय सिंह, कुमारी शैलजा, मधुसूदन मिस्त्री और हुसैन दलवई जैसे कांग्रेसी राज्यसभा से रिटायर हो रहे हैं. राहुल गांधी इन सीटों पर युवा नेताओं ज्योतिरादित्य सिंधिया, रणदीप सुरजेवाला, मिलिंद देवड़ा, जितिन प्रसाद और आरपीएन सिंह आदि को भेजने के पक्ष में हैं. यही बात वरिष्‍ठ नेताओं को पच नहीं रही है. इस वर्ष कांग्रेस के कुल 18 कांग्रेस सदस्य राज्यसभा से सेवानिवृत्त हो रहे हैं, लेकिन कांग्रेस राज्यसभा में सिर्फ 9 सदस्य भेज सकती है.

राहुल गांधी के समर्थक चाहते हैं कि सोनिया गांधी के स्‍वास्‍थ्‍य को देखते हुए राहुल गांधी को फिर से अध्‍यक्ष पद की जिम्‍मेदारी दी जाए, लेकिन वरिष्‍ठ नेताओं की राय है कि इससे पार्टी कार्यकर्ताओं में गलत संदेश जाएगा. वरिष्ठ नेता राहुल गांधी को अंतिम रूप से बहाल किए जाने से पहले गांधी परिवार से बाहर के किसी नेता को अध्यक्ष चुने जाने की वकालत कर रहे हैं. इसी कारण राहुल गांधी के समर्थक बेचैन हो रहे हैं.

दिल्ली विधानसभा चुनावों में शर्मनाक हार के बाद युवा नेताओं ने आक्रोशित होकर ट्वीट किए हैं. ज्योतिरादित्य सिंधिया और शर्मिष्ठा मुखर्जी जैसे नेताओं के ट्वीट से पार्टी में वरिष्‍ठ व युवा नेताओं की खाई एक बार फिर उजागर हो गई है. पार्टी मुख्‍यालय में अप्रैल में होने वाले राज्यसभा चुनाव के बाद नेतृत्व में बदलाव को लेकर उठापटक चल रही है. होली के बाद AICC कन्वेंशन की तारीख तय होनी है. उसी में राहुल गांधी को अध्यक्ष चुने जाने की योजना है.

एल्गार परिषद् कि जांच NIA को सोंपोए जाने पर शरद पवार नाराज़

  • एल्गार परिषद केस की जांच पर सवाल
  • शरद पवार ने उद्धव सरकार को निशाने पर लिया
  • केंद्रीय एजेंसी एनआईए कर रही है जांच

यह मामला 31 दिसंबर, 2017 को पुणे के शनिवारवाड़ा में आयोजित एल्गार परिषद सम्मेलन में दिए गए कथित भड़काऊ भाषणों से संबंधित है। पुलिस का दावा है कि इस वजह से अगले दिन जिले में कोरेगांव-भीमा युद्ध स्मारक के पास हिंसा भड़की। पुणे पुलिस का दावा है कि सम्मेलन को माओवादियों का समर्थन था।

नयी दिल्ली (ब्यूरो):

महाराष्ट्र के एल्गार परिषद केस की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनसीपी) को सौंप दी गई है। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी प्रमुख शरद पवार ने इस फैसले को लेकर उद्धव ठाकरे सरकार की आलोचना की है। कोल्हापुर में पत्रकारों से बातचीत में शरद पवार ने कहा कि केंद्र सरकार ने मामले की जांच पुणे पुलिस से लेकर एनआईए को सौंपकर ठीक नहीं किया क्योंकि कानून-व्यवस्था राज्य सरकार का विषय है।

एनसीपी चीफ शरद पवार ने कहा, ‘मामले की जांच एनआईए को सौंपकर केंद्र सरकार ने ठीक नहीं किया और इससे भी ज्यादा गलत बात यह हुई कि राज्य सरकार ने इसका समर्थन किया।’ गौरतलब है कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी शिवसेना के नेतृत्व वाले महा विकास आघाड़ी (एमवीए) सरकार की सहयोगी है और इसके नेता अनिल देशमुख राज्य के गृहमंत्री हैं।

पुणे की कोर्ट ने एनआईए कोर्ट को सौंपा केस

इससे पहले एल्गार परिषद मामले की सुनवाई कर रही पुणे की एक अदालत ने एक आदेश पारित करते हुए यह मुकदमा मुंबई की विशेष एनआईए अदालत को सौंप दिया। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश एस आर नवंदर ने यह आदेश पारित किया। अदालत ने आदेश दिया कि मामले से जुड़े रेकॉर्ड और कार्यवाही मुंबई की विशेष एनआईए अदालत को सौंप दी जाए। अदालत द्वारा आदेश पारित किए जाने से पहले अभियोजन पक्ष ने कहा कि उन्हें राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की उस याचिका पर कोई आपत्ति नहीं है, जिसमें मामला ट्रांसफर किए जाने का अनुरोध किया गया है।

अदालत ने अपने आदेश में कहा, ‘इस प्रकार यह स्पष्ट है कि राज्य जांच एजेंसी यह जांच एनआईए को सौंप रही है। दो दिन पहले उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली राज्य सरकार ने कहा था कि इस मामले की जांच एनआईए द्वारा अपने हाथों में लिए जाने पर उसे कोई आपत्ति नहीं है। आदेश में राज्य पुलिस को निर्देश दिया गया था कि वह मामले की जांच से जुड़े सभी दस्तावेज एनआईए को सौंप दे। न्यायाधीश ने यह आदेश भी दिया कि सभी आरोपियों को 28 फरवरी को या उससे पहले मुंबई में विशेष एनआईए अदालत के समक्ष पेश किया जाए।

पहले महाराष्ट्र सरकार ने किया था विरोध

पुणे की अदालत ने कहा कि कानून की नजर में यह मामले का ट्रांसफर नहीं है बल्कि अधिकार क्षेत्र की कमी के कारण मामले को उचित अदालत में भेजना है। केंद्र ने पिछले महीने मामले की जांच पुणे पुलिस से एनआईए को ट्रांसफर कर दिया था और शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस सरकार ने इस कदम की आलोचना की थी। एनआईए ने जनवरी के आखिरी सप्ताह में अदालत से अनुरोध किया था।

आपको बता दें कि यह मामला 31 दिसंबर, 2017 को पुणे के शनिवारवाड़ा में आयोजित एल्गार परिषद सम्मेलन में दिए गए कथित भड़काऊ भाषणों से संबंधित है। पुलिस का दावा है कि इस वजह से अगले दिन जिले में कोरेगांव-भीमा युद्ध स्मारक के पास हिंसा भड़की। पुणे पुलिस का दावा है कि सम्मेलन को माओवादियों का समर्थन था। जांच के दौरान पुलिस ने माओवादी संपर्क के आरोप में वामपंथी झुकाव वाले कार्यकर्ताओं सुधीर धावले, रोना विल्सन, सुरेंद्र गाडलिंग, महेश राउत, शोमा सेन, अरुण फरेरा, वर्नन गोंसाल्विस, सुधा भारद्वाज और वरवारा राव को गिरफ्तार किया। एनआई ने एल्गार परिषद मामले में 11 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।

महाराष्ट्र में एक मई से NPR लागू हो जाएगा

सूत्रों ने बताया कि मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे राज्य में 1 मई से एनपीआर की प्रक्रिया शुरू करना चाहते हैं. वहीं कांग्रेस और एनसीपी इस पूरी कवायद का खुलेआम विरोध कर रही है.

नई दिल्ली(ब्यूरो):

महाराष्ट्र में एक मई से राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (NPR) लागू हो जाएगा. इसी बीच महाराष्ट्र में सत्ताधारी गठबंधन महाविकास अघाडी के साझेदारों शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी के बीच तनातनी बढ़ती दिख रही है. मुख्यमंत्री एवं शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने आपत्तियों को दरकिनार करते हुए राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर पर आगे बढ़ने का फैसला लिया है.

ये फैसला ऐसे समय पर लिया गया है जब देश भर में एनपीआर, नागरिक संशोधन अधिनियम (CAA) और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (NRC) को लेकर विरोध प्रदर्शन जारी है.

राज्य सरकार के एनपीआर लागू करने के फैसले को लेकर सहयोगी दलों के बीच तनातनी देखने को मिल रही है. राज्य में एनपीआर लागू करने को लेकर शिवसेना, कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के महाविकास अघाड़ी में तनातनी नजर आ रही है.

एनसीपी के वरिष्ठ नेता माजिद मेमन ने कहा, ‘यह स्पष्ट है कि पार्टी एनपीआर का समर्थन नहीं करती. शरद पवार ने भी इसे लेकर आपत्तियां जताई है. इस मामले में ऐसा ही फैसला लिया जाएगा, जो तीनों पार्टियों को स्वीकार्य हो.’

हालांकि ये पहला मौका नहीं, जब महाराष्ट्र के सत्ताधारी गठबंधन में इस तरह मतभेद दिखे हों. इस पहले एनसीपी चीफ शरद पवार ने एल्गार परिषद मामले की जांच महाराष्ट्र पुलिस से लेकर एनआईए को सौंपे जाने को लेकर उद्धव ठाकरे सरकार की शुक्रवार को आलोचना की थी.

शरद पवार ने कहा, ‘मामले की जांच एनआईए को सौंपकर केन्द्र सरकार ने ठीक नहीं किया और इससे भी ज्यादा गलत बात यह हुई कि राज्य सरकार ने इसका समर्थन किया.’

सीएए, एनपीआर और एनआरसी को लेकर हो रहे देशव्यापी विरोध के बावजूद केंद्रीय गृह मंत्रालय ने एक मई से 15 जून तक एनपीआर के तहत सूचनाएं इकट्ठा करने की अधिसूचना जारी की है.

महाराष्ट्र में एनपीआर को लागू करना उद्धव ठाकरे सरकार के लिए आसान नहीं होगा. महाराष्ट्र में शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी की महाअघाड़ी गठबंधन की सरकार है. कांग्रेस शुरू से ही CAA, NRC और NPR का खुलकर विरोध कर रही है. एनसीपी ने अभी इस मामले में अपना रुख साफ नहीं किया है.

दूसरी तरफ शिवसेना के सांसद अनिल देसाई भी साफ कह चुके हैं कि उद्धव ठाकरे ने कहा था कि एनपीआर जनगणना जैसी है. वैसे भी जनगणना हर 10 साल में होती ही है तो इसमें किसी को क्या आपत्ति है.

नकुल्नाथ के पैसों से नहीं, जनभागीदारी से बनेगी छत्रपति शिवाजी कि प्रतिमा: शिवराज

मध्य प्रदेश में जब से कांग्रेस सत्ता में आई है तभी से राष्ट्रीय गौरव, अस्मिता एवं राष्ट्रीय प्रतीकों का अपमान जारी है. सनद रहे पहले कमलनाथ ने वन्देमातरम पर रोक लगवाई थी, फिर चंद्रशेखा आज़ाद कि मूर्ती हटाने का फैसला लिया गया और अब शिवाजी कि मूर्ती गिरा दी गयी. कमलनाथ के बेटे नकुलनाथ ने अपने पैसों से शिवाजी कि आदमकद मूर्ती स्थापित करने कि बात कही मानो चोरी पकड़ी गयी और अब मामला बढ़ने पर सफाई देते नहीं बन रहा था.

नयी दिल्ली(ब्यूरो):

छिंदवाड़ा में छत्रपति शिवाजी महाराज की मूर्ति को लेकर जमकर सियासत गरमा गई है। राजनैतिक दलों के बीच बयानबाजी का दौर तेजी से चल रहा है। अब पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का बयान सामने आया है। शिवराज का कहना है कि आज “मैं छिंदवाड़ा जिले के सौसर जा रहा हूं। कांग्रेस का शगल बन गया है महापुरुषों का अपमान करना। वही सांसद नकुलनाथ द्वारा शिवाजी की मूर्ति का खर्चा उठाने को लेकर कहा कि तुम्हारे पैसे से क्यों लगेगी प्रतिमा । सामर्थ्य है सौसर की जनता में, राष्ट्रभक्त वहां अभी जिंदा है। छत्रपति शिवाजी महाराज के भक्त भी जिंदा है। जनभागीदारी से प्रतिमा लगेगी। मैं लगा दूंगा इस दंभ को भी चूर-चूर करेंगे।”

आज भोपाल में मीडिया से चर्चा के दौरान शिवराज ने कहा कि छत्रपति शिवाजी महाराज जो राष्ट्र के गौरव हैं हमारी प्रेरणा हैं जिन्होंने हिंदी स्वराज की स्थापना की ।देश के करोड़ों करोड़ लोग उनको अपना आराध्य मानते हैं। ऐसे राष्ट्रपुरूष शिवाजी महाराज का अपमान यह कांग्रेस सरकार कर रही है। उनकी प्रतिमा को जेसीबी से अपमानजनक तरीके से हटाया गया गिराने की कोशिश की गई। मैं सौसर की जनता को प्रणाम करता हूं कि आधी रात के बाद लगभग 3:00 बजे जनता इकट्ठी हो गई और कहा कि यदि छत्रपति शिवाजी महाराज गिरेंगे तो हमारी छाती के ऊपर गिरेंगे। कांग्रेस का शगल बन गया है महापुरुषों का अपमान करना, यहां भोपाल में चंद्रशेखर आजाद जी की प्रतिमा को हटाने का फैसला किया गया। ये आजाद जी का अपमान है ।

शिवराज यहीं नही रुके। आगे कहा कि वीर सावरकर का अपमान रोज कांग्रेस के द्वारा किया जा रहा है। डॉक्टर अंबेडकर का अपमान कांग्रेस ने कई बार किया है। ऐसे महापुरुष जिनके कारण यह राष्ट्र खड़ा हुआ है, उनको अपमानित करने का क्रम इस सरकार में जारी है। यह हम कदापि नहीं होने देंगे।

“राष्ट्रपुरुषों का यह अपमान हिंदुस्तान सहन नहीं करेगा। बात की जा रही है कि हम अपने पैसों से लगा देंगे। पैसों का अहंकार दिखाना, दंभ भरना, पहले प्रतिमा गिराना, यह दंभ और अहंकार हम सहन नहीं करेंगे। महापुरुषों के अपमान को हम खड़े रहकर नहीं देख सकते। जिन्होंने छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा का अपमान किया है उनके खिलाफ कार्यवाही की जाए। तुम्हारे पैसे से क्यों लगेगी प्रतिमा। सामर्थ्य है सौसर की जनता में, राष्ट्रभक्त वहां अभी जिंदा है। छत्रपति शिवाजी महाराज के भक्त भी जिंदा है। जनभागीदारी से प्रतिमा लगेगी।”