भारत में आतंकी चांद से नहीं पाकिस्तान से आते हैं : रिसजार्ड

पोलैंड ने सख्त तेवर अपनाते हुए कहा है कि भारत में आतंकी चांद से नहीं पाकिस्तान से आते हैं. पोलैंड ने यह बात EU की संसद में कही है. वहीं इटली ने कहा कि पाकिस्तानी आतंकी यूरोप में हमले की योजना बना रहे हैं.  कश्मीर मुद्दे का अंतरराष्ट्रीयकरण करने के पाकिस्तान के सपने को एक बार फिर झटका लगा है। बुधवार को यूरोपीय यूनियन की संसद ने इस मुद्दे पर भारत का साथ दिया। जानकारी के अनुसार संसद के ज्यादातर सदस्य भारत के साथ खड़े दिखाई दिए और पाकिस्तान को संदिग्ध देश करार दिया। यह बयान ऐसे समय पर आया है जब संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में पाकिस्तान मुंह की खा चुका है और इसके बावजूद कश्मीर मसले को किसी भी हाल में छोड़ने को तैयार नहीं है।

नई दिल्ली:

जम्मू-कश्मीर पर भारतीय कूटनीति की बहुत बड़ी जीत हुई है. यूरोपीय यूनियन ने पाकिस्तान को कड़ी फटकार लगाई है. पोलैंड ने सख्त तेवर अपनाते हुए कहा है कि भारत में आतंकी चांद से नहीं पाकिस्तान से आते हैं. पोलैंड ने यह बात EU की संसद में कही है. वहीं इटली ने कहा कि पाकिस्ता आतंकी यूरोप में हमले की योजना बना रहे हैं. फ्रांस के स्‍ट्रॉसबर्ग में यूरोपीय संघ की संसद ने बुधवार को पिछले 11 सालों में पहली बार कश्‍मीर मुद्दे पर चर्चा की और भारत को अपना समर्थन दिया. यहां जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 के हटाए जाने मसले पर चर्चा हुई. इससे पहले 2008 में यहां कश्‍मीर का मुद्दा उठा था.

यहां आपको बता दें कि जम्मू कश्मीर को लेकर पाकिस्तान लगातार अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत की छवि करने की कोशिश में जुटा है, लेकिन उसे लगातार मुंह की खानी पड़ रही है. अमेरिका, रूस, फ्रांस, इजराइल जैसे देशों के अलावा संयुक्त राष्ट्र से भी पाकिस्तान को फटकार लगाई जा चुकी है. अब यूरोपीय यूनियन ने पाकिस्तान को जम्मू कश्मीर को लेकर फटकार लगाई है. चर्चा है कि पाकिस्तान इस पर जेनेवा में 9 सितंबर से 27 सितंबर तक चलने वाले संयुक्‍त राष्‍ट्र मानवाधिकार परिषद की 42वीं बैठक में पाकिस्‍तान एक बार फिर से जम्मू कश्मीर का प्रस्‍ताव ला सकता है.

यूरोपीय यूनियन ने कश्‍मीर मुद्दे पर शांतिपूर्ण हल निकालने के लिए भारत-पाकिस्‍तान को बातचीत करने की नसीहत दी है. इटली के यूरोपीयन पीपुल्‍स पार्टी के फुल्‍वियो मार्तुसाइल्‍लो ने कहा, ‘पाकिस्‍तान परमाणु हथियारों के प्रयोग करने की धमकी दी है. यह देश आतंकी भेजकर यूरोप में अशांति फैलाने की योजना बना रहा है.’

पोलैंड के यूरोपीयन कंजर्वेटिव्‍स एंड रिफार्मिस्‍ट ग्रुप के रिसजार्ड ने कहा, ‘भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश है. हमें भारत के जम्‍मू कश्‍मीर में होने वाले आतंकी घटनाओं की जांच करने की जरूरत है. ये आतंकी चांद से नहीं आते. वह पड़ोसी देश से आते हैं. हम भारत का समर्थन करते हैं.’

मालूम हो कि भारतीय संसद ने जम्मू कश्मीर में अनुच्छे 370 को निष्क्रिय करते हुए विशेष राज्य का दर्जा खत्म कर दिया है. साथ ही इस राज्य को केंद्रशासित प्रदेश बना दिया है. कड़ी सुरक्षा के चलते पाकिस्तान से भेज हुए आतंकी जम्मू कश्मीर में कोई भी वारदात को अंजाम नहीं दे पा रहे हैं. इस बात से पाकिस्तान बौखलाया हुआ है. वह लगातर अंतरराष्ट्रीय मंच ये भारत को बदनाम करने की कोशिश कर रहा है, लेकिन उसे हर जगह मुंह की खानी पड़ रही है.

Students from NTU – PU visit the Government Museum and Art Gallery

Korel, Chandigarh September 18, 2019

            The student delegation from Nottingham Trent University(UK) and Panjab University today visited the Government Musuem and Art Gallery and witnessed the rich heritage of Indian art and culture through a vibrant display of artefacts.  Ms. Seema Gera, Curator, gave a demonstration of the art and culture of the region and took the students around to the various sections of the museum.

            This was followed by a presentation on exploring Indian Culture through different dance forms of India and a special performance of Kathak dance by Ms. Saumya Shukla. The highlights of the presentation were the introduction to nine Indian classical dance forms and the deep relationship between these dance forms and Yoga. Students from NTU appreciated the rich display of artefacts and the enriching performance.

STM Program for NTU and PU students commences at PU

Chandigarh September 17, 2019

            The delegation of students from Nottingham Trent University, UK are visiting Panjab University for a 10 day Short Term Mobility (STM) Program being organised by the Dean International Students, Panjab University in collaboration with ISSER, PU.

            The delegation today interacted with Prof. Raj Kumar, Vice-Chancellor, PU. Prof Kumar who had recently visited NTU Campus  remarked that  he is quite impressed with the activities of NTU students and would like to open doors of PU to more such participants from UK in times to come so that theyare also acquainted with rich and vibrant heritage of our country and our PU campus.

            These students are from diverse academic backgrounds like Banking, Law, Finance, Fashion  Technology and belong to different nationalities like British, African and Indian. The ten day program will focus on India and specially Punjab and its art, culture, heritage besides sessions on Role of Media, Democracy, Governance, Innovation, Technology and Social work.  In today’s globalized world such interactions are being a significant part of
the learning process.

            The first day of the program started with a session on ‘The Story of Indian
Democracy’ by Mr. Vikram Singh, Deputy Secretary, Controller of Administration, CSIR, IMTECH, which was followed by a session on Role of Media in Indian Democracy by Mr. Jyoti Kamal, Cluster Head and Executive Editor, CNN News18.Thereafter, the students were taken for a visit to City NGO ALA.

पाकिस्तान के पूर्व विधायक ने भारत से मांगी ‘राजनैतिक शरण’

एक तथ्य जो अंतरराष्ट्रीय प्लेटफार्मों पर बार-बार उजागर होता है कि पाकिस्तान बार-बार अल्पसंख्यक समुदायों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और गारंटी देने में विफल रहा है।पाकिस्तान से भागे भारत से राजनैतिक शरण मांगने वाले कुमार ने प्रधान मंत्री मोदी से अपील कि है कि वह पाकिस्तान के हिन्दू एवं सिक्ख समुदाय के लोगों को भारत में पुनर्वासित होने का मोका दें।

नयी दिल्ली:

पाकिस्तान के एक पूर्व विधायक ने अल्पसंख्यकों पर अत्याचार का हवाला देते हुए भारत में राजनीतिक शरण मांगी है। पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के सदस्य – बलदेव कुमार, देश के वर्तमान प्रधान मंत्री इमरान खान द्वारा स्थापित, एक हत्या के मामले में दोषी ठहराया गया था, लेकिन बाद में बरी हो गया।

कुमार अपने परिवार के साथ पाकिस्तान से भाग गए और भारत पहुंच गए। वह अब नई दिल्ली से राजनीतिक शरण मांग रहे हैं।

खैबर पख्तूनख्वा विधानसभा में बारिकोट (आरक्षित) सीट से प्रांतीय विधानसभा के एक पूर्व सदस्य, 43 वर्षीय का कहना है कि उन पर मुख्यमंत्री के तत्कालीन विशेष सलाहकार सोरन सिंह की हत्या का झूठा आरोप लगाया गया था। सबूतों की कमी के कारण 2018 में उन्हें अंततः बरी कर दिया गया।

“अल्पसंख्यकों पर पाकिस्तान में मुकदमा चल रहा है। हिंदू और सिख नेताओं की हत्याओं को अंजाम दिया जा रहा है, “कुमार ने पत्रकारों को बताया, यह कहते हुए कि वह पाकिस्तान नहीं लौटना चाहते हैं।

पाकिस्तान में सिख लड़की का कथित तौर पर अपहरण कर लिया गया था, और इस्लाम में धर्म परिवर्तन करने और लाहौर के ननकाना साहिब इलाके में एक मुस्लिम व्यक्ति से शादी करने के बाद विकास आया है। दुनिया भर में इस घटना को लेकर भारी हंगामा हुआ। लड़की को उसके परिवार के साथ एकजुट होना बाकी है।

पाकिस्तान बार-बार देश में रहने वाले अल्पसंख्यक समुदायों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और गारंटी देने में विफल रहा है, एक तथ्य जो अंतरराष्ट्रीय प्लेटफार्मों पर बार-बार उजागर होता है। अल्पसंख्यक महिलाओं और लड़कियों को अक्सर जबरन इस्लाम में परिवर्तित किया जाता है जबकि पुरुषों को नियमित रूप से मार दिया जाता है।

अगस्त में, एक पाकिस्तानी एनजीओ ने आरोप लगाया कि लोगों पर उनके धार्मिक जुड़ाव के आधार पर मुकदमा भी चलाया जाता है और अल्पसंख्यकों के प्रति उसके व्यवहार में पूर्वाग्रह होता है।

अमेरिका के न्यूयॉर्क में सुरक्षा अल्पसंख्यकों की सुरक्षा पर संयुक्त राष्ट्र की बैठक में बोलते हुए, ह्यूमन राइट्स फ़ोकस पाकिस्तान के राष्ट्रपति नावेद वाल्टर ने कहा था, “आज, बड़ी संख्या में लोग अपने स्वयं के समाजों में हाशिए पर हैं। अन्य क्षेत्रों में भी पक्षपाती रहते हैं। वाल्क ने कहा कि पाक में जैसे धार्मिक संबद्धता के आधार पर अल्पसंख्यक हैं, वैसे ही अहमदी की भी स्थिति है, सार्वजनिक क्षेत्र में धर्म की भूमिका में प्रतिबंधित धार्मिक अभिव्यक्ति के बहाने राष्ट्रीय सुरक्षा का उपयोग करने वाले देशों में से कोई नहीं।

विक्रम लैंडर का पता लगा, संपर्क साधने की कोशिश जारी

  • वैज्ञानिक ऑर्बिटर के जरिए विक्रम लैंडर को संदेश भेजने की कोशिश कर रहे हैं
  • डेटा एनालिसिस के बाद पता चलेगा कि विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर कितना काम करेंगे

इसरो (ISRO) को चांद पर विक्रम लैंडर की स्थिति का पता चल गया है. ऑर्बिटर ने थर्मल इमेज कैमरा से उसकी तस्वीर ली है. हालांकि, उससे अभी कोई संचार स्थापित नहीं हो पाया है. ये भी खबर है कि विक्रम लैंडर लैंडिंग वाली तय जगह से 500 मीटर दूर पड़ा है. चंद्रयान-2 के ऑर्बिटर में लगे ऑप्टिकल हाई रिजोल्यूशन कैमरा (OHRC) ने विक्रम लैंडर की तस्वीर ली है.

अब इसरो वैज्ञानिक ऑर्बिटर के जरिए विक्रम लैंडर को संदेश भेजने की कोशिश कर रहे हैं ताकि, उसका कम्युनिकेशन सिस्टम ऑन किया जा सके. इसरो के विश्वस्त सूत्रों ने aajtak.in को बताया कि बेंगलुरु स्थित इसरो सेंटर से लगातार विक्रम लैंडर और ऑर्बिटर को संदेश भेजा जा रहा है ताकि कम्युनिकेशन शुरू किया जा सके.

इसरो प्रमुख के सिवन ने बताया कि हमें विक्रम लैंडर के बारे में पता चला है, वह चांद की सतह पर देखा गया है. ऑर्बिटर ने लैंडर की एक थर्मल पिक्चर ली है. लेकिन अभी तक कोई संचार स्थापित नहीं हो पाया है. हम संपर्क करने की कोशिश कर रहे हैं.

भविष्य में विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर कितना काम करेंगे, इसका तो डेटा एनालिसिस के बाद ही पता चलेगा. इसरो वैज्ञानिक अभी यह पता कर रहे हैं कि चांद की सतह से 2.1 किमी ऊंचाई पर विक्रम अपने तय मार्ग से क्यों भटका. इसकी एक वजह ये भी हो सकती है कि विक्रम लैंडर के साइड में लगे छोटे-छोटे 4 स्टीयरिंग इंजनों में से किसी एक ने काम न किया हो. इसकी वजह से विक्रम लैंडर अपने तय मार्ग से डेविएट हो गया. यहीं से सारी समस्या शुरू हुई, इसलिए वैज्ञानिक इसी प्वांइट की स्टडी कर रहे हैं.

इसके अलावा चांद के चारों तरफ चक्कर लगा रहे ऑर्बिटर में लगे ऑप्टिकल हाई रिजोल्यूशन कैमरा (OHRC) से विक्रम लैंडर की तस्वीर ली जाएगी. यह कैमरा चांद की सतह पर 0.3 मीटर यानी 1.08 फीट तक की ऊंचाई वाली किसी भी चीज की स्पष्ट तस्वीर ले सकता है.

कमाल आर खान ने मोदी से पाकिस्तानी हिंदुओं को भारत बुलाने की अपील की

बॉलीवुड एक्टर कमाल आर खान ने भारत सरकार को संबोधित करते हुए एक ट्वीट किया है, जिसने देखते ही देखते सबका खूब ध्यान खींचा है.

  1. बॉलीवुड एक्टर ने ट्वीट कर किया भारत सरकार से अनुरोध
  2. पाकिस्तानी हिंदुओं और सिखों को लेकर की बात
  3. ट्वीट सोशल मीडिया पर हुआ वायरल

नई दिल्ली: पाकिस्तान में इस्लाम के अलावा अन्य धर्म मानने वालों पर होने वाले लगातार अत्याचारों की खबर से बॉलीवुड के एक एक्टर का मन भर आया है. उन्होंने अब मोदी सरकार से पाकिस्तान के गैर इस्लामिक लोगों के लिए भारतीय नागरिकता देने की अपील कर डाली है. इसी अपील के चलते आज वह ट्विटर पर छाए हुए हैं. 

बॉलीवुड एक्टर कमाल आर खान हमेशा ही ट्विटर पर एक्टिव रहते हैं. वह हर समसामयिक मुद्दे पर और हर हालिया रिलीज फिल्म पर अपनी राय जरूर देते हैं. लेकिन अब KRK एक नई वजह से चर्चा में हैं. एक समय में पीएम मोदी का विरोध करने वाले KRK ने मोदी सरकार से एक मानवीय अपील की है. देखिए यह ट्वीट…

इस ट्वीट में KRK ने भारत सरकार को संबोधित करते हुए एक भावुक संदेश लिखा है. उन्होंने अपने इस ट्वीट में लिखा है, “मैं भारत सरकार से अपील करता हूं कि पाकिस्तान में रह रहे हिंदू, सिख और ईसाई धर्म के लोगों को भारतीय नागरिकता दें जिससे वह यहां आराम से रह सकें. वह पाकिस्तान जैसे देश में शांति से नहीं रह सकते हैं.”

बता दें कि यह पहली बार नहीं है जब KRK अपने ट्वीट को लेकर चर्चा में हैं. इसके पहले भी बीते दिनों उन्होंने कश्मीर के लिए पाकिस्तान से बॉर्डर पर लड़ने की इच्छा जताई थी. जिसके बाद कई लोगों ने उन्हें ट्रोल भी किया था तो कुछ ने उनकी तारीफ भी की थी.

गौरतलब है कि कमाल आर खान ने फिल्म ‘देशद्रोही‘ से बतौर हीरो बॉलीवुड में कदम रखा था. फिल्म तो फ्लॉप हुई लेकिन सलमान के शो ‘बिग बॉस 3’ में आने के बाद वह सबकी नजरों में आ गए. अब वह अपने फिल्म रिव्यूज को लेकर काफी चर्चा में रहते हैं. हाल ही में उनका ‘साहो’ फिल्म का रिव्यू जमकर वायरल हुआ था.

अनुराधा भसीन भारत को बदनाम करने की साजिश करती जान पड़तीं हैं

पत्रकारिता की स्वतंत्रता सुनिश्चित करने की मांग करते हुए कश्मीर टाइम्स की एग्जीक्यूटिव एडिटर अनुराधा भसीन ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी. इस पर प्रेस काउंसिल ऑफ इंडिया के चेयरमैन न्यायमूर्ति चंद्रमौली प्रसाद ने भसीन द्वारा सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में हस्तक्षेप करते हुए सरकार के कदमों का समर्थन किया था

नई दिल्ली: जम्मू कश्मीर में आर्टिकल 370 हटाए जाने के बाद पाकिस्तान बौखलाया हुआ है. दुनियाभर में वह भारत की छवि को बदनाम करने की पूरी कोशिश कर रहा है. हालांकि दुनिया के किसी भी देश ने जम्मू कश्मीर को लेकर पाकिस्तान के झूठ को समर्थन देने से मना कर दिया है. इसके बावजूद कुछ भारतीय ही पाकिस्तान की भाषा बोल रहे हैं. वे पाकिस्तान की तर्ज पर जम्मू कश्मीर को लेकर भारत की छवि खराब करने पर आमदा हैं. इस कड़ी में ताजा नाम कश्मीर टाइम्स की एग्जीक्यूटिव एडिटर अनुराधा भसीन का है.

पत्रकार अनुराधा भसीन ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर आरोप लगाई है कि जम्मू कश्मीर में पत्रकारों पर बंदिशें लगा दी गई है. उन्होंने देश की सबसे बड़ी अदालत से अपील की है कि जम्मू कश्मीर में पत्रकारों को अपनी मर्जी से काम करने की इजाजत दी जाए. कोर्ट में इस मामले की सुनवाई गुरुवार (5 सितंबर) को सुनवाई होगी. यहां आपको बता दें जम्मू कश्मीर में सारे अखबार प्रकाशित हो रहे हैं. सुरक्षा दृष्टिकोण से थोड़ी बहुत बंदिशें जरूर हैं. हालांकि देशी-विदेशी मीडिया लगातार जम्मू कश्मीर की मौजूदा हकीकत पर स्टोरी कर रही हैं.

जम्मू कश्मीर में आर्टिकल 370 हटाए जाने के बाद पाकिस्तान किसी भी सूरत में वहां हिंसा कराने की फिराक में है, लेकिन भारतीय सुरक्षा बलों की मुश्तैदी के सामने उसके मंसूबे पर पानी फिर गया है. ऐसे में पाकिस्तान किसी भी भारतीय की ओर से दिए गए बयान को लपक कर उसे अंतरराष्ट्रीय मंच पर प्रस्तुत कर रहा है. उदाहरण के तौर पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने पत्रकारों से कहा था कि जम्मू कश्मीर में लोगों की आवाज को दबाया जा रहा है.

curtsy ANI

पाकिस्तान मीडिया ने राहुल गांधी के इस बयान को प्रमुखता से प्रकाशित किया. इतना ही नहीं पाकिस्तान ने उनके बयान को सबूत के तौर पर संयुक्त राष्ट्र में प्रस्तुत किया था. हालांकि पाकिस्तान की इस हरकत के बाद राहुल गांधी और कांग्रेस को अपनी गलती का अहसास हुआ और उन्होंने इसपर सफाई भी दी है.

जम्मू कश्मीर के बड़े अखबार की पत्रकार होने के नाते अनुराधा भसीन की ओर से सुप्रीम कोर्ट में दाखिल की गई याचिका को भी पाकिस्तान अपने फायदे के लिए इस्तेमाल कर सकता है. जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक कह चुके हैं कि राज्य में आर्टिकल 370 हटाए जाने के बाद हिंसा की एक भी घटना नहीं हुई है.

Stolen articals recovered from accused residence, arrested will be produced for remand

       A case FIR No. 208 dated 31.08.19 U/s 381 IPC PS-26 was registered on the complaint Sh. Inderjit Singh Virdi S/o Sh. Trath Singh Virdi R/o # 3118 Sector- 28/D Chandigarh in which he reported that his servant namely Vishnu S/o Thaneshar Pariyar Permanent address- Vill Mankot Distt Gulmi Nepal theft eight Gold Bangles each weight 1.5 Tola from his house.

          During the course of investigation accused Vishnu S/o Thaneshar Pariya Permanent address- Vill Mankot Distt Gulmi Nepal has been arrested on 3.9.19.

            The accused is in Police custody and today he will be produced in the court and police remand will be obtained to recover the stolen articles. The investigation is in progress.

ननकाना कॉरीडोर खोलने से पहले पाकिस्तान में सिख ग्रंथि की बेटी का जबरन धर्म परिवर्तन करवा कर पढ़वाया निकाह

पाकिस्तान में बंदूक की नोक पर गुरुद्वारे के मुख्य ग्रंथी की बेटी का धर्मांतरण फिर निकाह

नई दिल्ली। पाकिस्तान के लाहौर के ननकाना साहिब क्षेत्र में एक सिख लड़की का जबरन धर्म परिवर्तन कराने का मामला सामने आया है। लड़की कई दिनों से लापता थी। गुरुवार को उसे जबरन इस्लाम कबूल कराने के बाद मुस्लिम शख्स से उसकी शादी कराए जाने की खबर सामने आई। 19 साल की लड़की का नाम जगजीत कौर है और वह गुरुद्वारा तंबू साहिब के ग्रंथी (पुजारी) भगवान सिंह की बेटी है। उसका बंदूक की नोक पर धर्म परिवर्तन कराया गया है।

जगजीत कौर के परिवार का कहना है कि यदि लड़की को रिहा नहीं किया गया तो वह पंजाब के राज्यपाल के घर के सामने खुद को आग के हवाले कर लेंगे। जगजीत के भाई सुरिंदर सिंह ने कहा, ‘हमारे परिवार ने एक दुखद घटना देखी है जब कुछ गुंडे जबरदस्ती हमारे घर में घुसे और उन्होंने मेरी छोटी बेटी को अगवा कर लिया। उन्होंने उसे प्रताड़ित किया और जबरन उसे इस्लाम कबूल करवा लिया।’

उन्होंने आगे कहा, ‘हम शिकायत दर्ज करवाने के लिए पुलिस स्टेशन गए। हमने बहुत से वरिष्ठ अधिकारियों से मुलाकात की लेकिन उन्होंने हमारी शिकायत नहीं सुनी। वह गुंडे दोबारा हमारे घर आए और हमें शिकायत वापस लेने की धमकी दी। उन्होंने कहा कि यदि हम शिकायत वापस नहीं लेंगे तो वह हमसे भी जबरन इस्लाम कबूल करवा लेंगे।’ परिवार ने प्रधानमंत्री इमरान खान और पाकिस्तान के मुख्य न्यायाधीश आसिफ सईद खोसा से जगजीत कौर की सुरक्षित रिहाई की अपील की है।

जगजीत के दूसरे भाई मनमोहन सिंह ने कहा, ‘गुंडों ने परिवार को धमकी दी थी कि यदि हम शिकायत वापस नहीं लेंगे तो वह हमें जान से मार देंगे। मैंने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान और सेनाध्यक्ष कमर जावेद बाजवा से हमारी मदद करने की अपील की। इस घटना का असर करतारपुर कॉरिडोर पर पड़ सकता है।’ पाकिस्तान में मौजूद सिख समुदाय के लोगों ने इस घटना की कड़ी निंदा की है और उन्होंने ननकाना साहिब में इसे लेकर बैठक बुलाई है।

सिख समुदाय ने फैसला लिया है कि वह शुक्रवार को राज्यपाल के घर के बाहर उस समय प्रदर्शन करेंगे जब वहां करतारपुर कॉरिडोर को लेकर अतंरराष्ट्रीय कांफ्रेंस चल रही होगी। दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक समिति के अध्यक्ष और अकाली दल ने नेता मनजिंदर सिंह सिरसा ने घटना की निंदा की है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विदेश मंत्री एस जयशंकर को यह मुद्दा उठाने के लिए कहा है। जगजीत कौर का एक वीडियो सोशल मीडिया पर मौजूद है जिसमें उसे जबरन इस्लाम कबूल करवायाकर उसका नाम आएशा रखा गया है। इसके बाद मौलवी ने एक मुस्लिम आदमी से उसकी शादी करवा दी।

Shah Faesal was going to US for studies but without ‘Student Visa’ and name of institute

In recent developments regarding the detention of bureaucrat-turned politician Shah Faesal from Delhi Airport on 14th of August, Bureau of Immigration in an affidavit filed in the Delhi High Court has quashed claims made by the Kashmiri politician. After being taken into custody by the Bureau of Immigration at the Delhi Airport, reports had surfaced that Shah Faesal was bound for the US in order to complete his Masters in Public Administration course. However details regarding the visa, revealed in the affidavit filed by the Bureau of Immigration surely raise questions on these claims.

“This is a tourist visa and not a student visa. The petitioner was traveling on this visa on 14 August even though the petitioner claims he was intending to travel to the US for completing his masters in public administration course,” the Bureau said adding that the visa on Shah Faesal’s passport does not allow him to study in the US.

The Bureau had filed this affidavit after a habeas corpus plea was moved on Faesal’s behalf by Mohd Hussain Cader which had claimed that the former IAS officer was on his way to Harvard University in the US for higher studies when he was illegally detained at the Delhi airport under the Public Safety Act (PSA).

The Bureau of Immigration said a Look Out Circular (LoC) against Faesal was issued by the Intelligence Bureau (IB) to “prevent the subject from leaving India and inform the originator”.

After being taken into temporary custody by the Bureau of Immigration, IB was informed and Shah Faesal was sent back to Srinagar, where according to another affidavit filed by the Jammu and Kashmir government, Faesal began to address a gathering at the airport in Srinagar. “He started instigating the persons gathered against the sovereignty and integrity of the country having the potential of a breach of peace,” the affidavit said. He was later detained on orders of the magistrate after refusing to furnish a personal bond of 50,000 for keeping peace.

Nonetheless, trying to leave the country on false basis surely raises serious questions on his real intent behind going to the United States. This has also given steam to several reports which say that Faesal was ultimately bound for Turkey, rather than the US, from where he planned to reach ICJ in The Hague, Netherlands, to file a case against India for abrogating Article 370. Turkey which has a pro-Pakistan alignment has been notorious at facilitating anti-India activities on its soil, sponsored by Pakistan’s ISI.

Shah Faesal had recently jumped into Jammu and Kashmir politics after quitting his job in the Indian Administrative Service, however, with the reorganization of states most of the political parties based out of Kashmir PDP, NC and now Shah Faesal’s new party have completely lost relevance, and his attempt to leave the nation on false grounds is sure to bring into question his allegiance to the Indian Constitution.