डिजिटल पंचायतों की ओर बढ़ते हुए धनखड़ ने हरियाणा की पंचायतों पर गर्व जताया

पंचकूला, 4 सितंबर:

हरियाणा के विकास एवं पंचायत मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ ने प्रदेश में शिक्षित पंचायतें देने के बाद अब पंचायतों को डिजीटल साक्षरता की ओर ले जाने का निर्णय लिया है। इस कड़ी में विभाग द्वारा लागू 7 स्टार इंद्रधनुष योजना के तहत अगले वर्ष के लिये सभी पंचायतों को स्टार पाने के लिये पंजीकरण अनिवार्य किया गया है तथा स्टार योजना में डिजीटल लिटरेसी को एक नया मानदंड के रूप में शामिल किया जायेगा।
धनखड़ आज यहां सेक्टर एक में रेड बिशप में 7 स्टार इंद्रधनुष योजना के तहत 6 जिलों की स्टार रेटिंग प्राप्त करने वाली 1292 पंचायतों को प्रतिनिधियों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हरियाणा देश का ऐसा राज्य है जिसकी पंचायतें पढ़ी लिखी हैं, सक्षम हैं, सामर्थ्य हैं तथा विश्वसनीय हैं। उन्होंने स्टार प्राप्त करने वाले पंचायतों के प्रतिनिधियों से अपील की कि वे बेहतर से बेहतर कार्य कर अपने गांव का गौरव बढ़ायें और आपके द्वारा किये गये काम को गांव के लोग याद रखें कि उक्त सरपंच के समय ग्राम पंचायत ने यह अनूठा कार्य हुआ था। उन्होंने कहा कि 2016 में हरियाणा की पंचायतों का चुनाव हुआ था। उस समय पढ़ी लिखी पंचायतें बनाने का गौरव हरियाणा को ही प्राप्त हुआ है। अब आप का समय 2021 में समाप्त होगा।
उन्होंने कहा कि गांव की गाथा लिखने के लिये शुरू किये गये गौरव पट्ट योजना जिस पर पूरे गांव का इतिहास, गांव के शहीदों, खिलाड़ियों, दानवीरों व अन्य प्रबुद्ध लोगों के नाम अंकित किये गये हैं जिन्होंने गांव का किसी न किसी क्षेत्र में  गौरव बढ़ाया है। उन्होंने पंचायत प्रतिनिधियों से आग्रह किया कि वे अपने.अपने ग्राम पंचायतों का ग्राम गौरव ढांचा निर्मित करायें। इसके लिये विभाग के पास फंड हमेशा उपलब्ध है। उन्होंने कहा कि गौरव पट्ट योजना के लिये पंचायती राज विभाग के अधिकारियों को नमन करते हैं जिन्होंने 20 से 25 हजार वीर शहीद का डाटा नई पीढ़ी के लिये गौरव पट्ट योजना के माध्यम से उपलब्ध कराया है। उन्होंने कहा कि हरियाणा के गौरव पट्ट योजना को हिमाचल प्रदेश ने अपनाया है जो हरियाणा के लिये गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि हमने पंचायतों को सामाजिक सरोकार की ओर बढ़ाया है और पंचायतों ने इसमें भरपूर रूचि दिखाई है। प्रदेश की कुल 6207 पंचायतों में से 85 प्रतिशत पंचायतों में 7 स्टार स्कीम के तहत पंजीकरण कराया है। इस साल 3930 अर्थात 63 प्रतिशत पंचायतों में कोई न कोई स्टार प्राप्त किया है। हर स्टार के लिये एक लाख रुपये ग्राम पंचायत को विकास कार्यों के लिये अतिरिक्त रूप से दिये जाते हैं। इसके साथ ही 50 हजार रुपये की अतिरिक्त राशि उन पंचायतों को दी जाती है जहां पर लिंगानुपात सुधार व पर्यावरण सरंक्षण में स्टार प्राप्त किया है। आज सम्मान प्राप्त करने वाली अंबाला, करनाल, कुरूक्षेत्र, पंचकूला, यमुनानगर व पानीपत की 1292 पंचायतें हैं जिन्होंने एक स्टार पाने वाली 482,दो स्टार वाली 474, तीन स्टार वाली 262 तथा चार स्टार वाली 73 पंचायत शामिल हैं।
धनखड़ ने कहा कि विकास एवं पंचायत मंत्री होने के नाते मेरे लिये यह फख्र की बात है कि 2312 मेरी पंचायतें ऐसी है जिनमें कोई मुकदमेबाजी नहीं है, 3604 पंचायतें ऐसी है जहां हर बच्चा स्कूल जाता है, 240 पंचायतें ऐसी हैं जहां प्लास्टिक का उपयोग नहीं किया जाता और पर्यावरण के प्रति जागरूक हैं। इसके अलावा 203 पंचायतें ऐसी हैं जिन्होंने गुड गवर्नेंस को अपनाया है तथा 103 पंचायतें ऐसी है जिन्होंने सामाजिक सहभागीदारिता के साथ अपने गांव में विकास कार्य को आगे बढ़ाया है। बीस पंचायतों ने 6 स्टार प्राप्त किये हैं तथा 58 पंचायतों ने 5 स्टार प्राप्त किये हैं। इन पंचायतों को केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री नरेंद्र तोमर ने महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में स्टार देकर सम्मानित किया था। उस समय मुख्यमंत्री मनोहर लाल रूस के दौरे पर थे और उन्होंने आते ही कहा था कि इन 78 पंचायतों को चंडीगढ़ में भोज देना चाहता हूं और इनको मुख्यमंत्री ने अपने आवास पर अति विशिष्ट अतिथियों की तरह भोज दिया। मैं चाहता हूं कि अगली बार आप लोगों में से कोई भी 5 से अधिक स्टार जीत कर ऐसे भोज में शामिल हो।
धनखड़ ने कहा कि यह हरियाणा के लोगों के लिये गर्व की बात है कि इस प्रदेश में दुनिया के बेहतर से बेहतर सैनिक, खिलाड़ी, किसान दिये हैं और अब शिक्षित, सक्षम, सामर्थ्य व विश्वसनीय पंचायत देने की मिशाल कायम की है। पिछले पंचायत चुनाव में हरियाणवी समाज में सोशल इंजीनियरिंग में एक नया बदलाव देखने को मिला। चुने प्रतिनिधियों की औसतन आयु 33 वर्ष थी, चुनाव में 56 प्रतिशत सदस्य सर्व सम्मति से चुने गये। महिलाओं के लिये आरक्षित 33 प्रतिशत सीटों पर 42 प्रतिशत महिलायें जीत कर आई, अनुसूचित जाति के लिये निर्धारित 20 प्रतिशत सीटों पर 25 प्रतिशत जीत कर आये तथा पिछड़ा वर्ग के लिये आरक्षित 5 प्रतिशत सीटों पर 30 प्रतिशत तक प्रतिनिधि चुनकर आये। उन्होंने कहा कि हमने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सबका साथ सबका विकास तथा सबका विश्वास पर चलते हुये पंचायतों को 20 लाख रुपये तक के विकास कार्य अपने स्तर पर करने के लिये अधिकृत किया है जो पहले रिकार्ड में 5 लाख होता था और दस लाख तक के लिये पंचायतें अधिकृत होती थीं। अब ग्राम पंचायतों में अगर कोई व्यक्ति जाये तो उसे पैसा लगा हुआ दिखता है चाहे वह इंटर लाकिंग गलियों की बात हो या पक्की गलियों या पार्कों की बात हो या तालाबों के पानी को उपचारित करने के लिये तीन या पांच पोंड प्रणाली की बात हो।
विधायक ज्ञान चंद गुप्ता ने इस मौके पर कहा कि विकास एवं पंचायत मंत्री श्री ओमप्रकाश धनखड़ जब से कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री तथा विकास एवं पंचायत मंत्री बने हैं तब से उन्होंने दोनों की विभागों में अभूतपूर्व बदलाव कर नये आयाम स्थापित किये हैं चाहे वह पढ़ी लिखी पंचायतों की बात हो या पंचायती राज जनप्रतिनिधियों को सशक्त करने की बात हो। उन्होंने कहा कि दोनों विभागों में उन्होंने ऐसे कार्य किये हैं जो 50 वर्ष में पहले कभी नहीं हुये।
विकास एवं पंचायत विभाग के प्रधान सचिव सुधीर राजपाल ने कहा कि सात स्टार इंद्रधनुष योजना की प्रेरणा विभाग ने मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल तथा विकास एवं पंचायत मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ की प्रेरणा से मिली। आज इस योजना के प्रति लोगों में उत्साह है और ग्राम पंचायतों में गहमागहमी है। स्टार पाने के लिये प्रतिस्पर्धा की भावना पंचायतों में बढ़ी है और गावं स्तर पर मूल भूत परिवर्तन देखने को मिल रहे हैं। अस्सी प्रतिशत से अधिक पंचायतें स्वयं स्टार पाने के लिये पंजीकृत किया है। उन्होंने स्टार पाने वाली पंचायतों को बधाई एवं शुभ कामनायें दी।
इस अवसर पर उपायुक्त  मुकेश कुमार अहूजा, विभाग के निदेशक सुशील सारवान, पुलिस उपायुक्त कमलजीत गोयल, भाजपा जिला अध्यक्ष दीपक शर्मा एवं महामंत्री हरेंद्र मलिक के अलावा विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी व पंचायत राज संस्थाओं के जन प्रतिनिधि मौजूद थे।

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