लंबित पड़ी राष्ट्रीय राजमार्गों की परियोजनाएं जल्द शुरू होंगी: हूडा

 

हरियाणा में लंबित पड़ी यूपीए कार्यकाल की मंजूरशुदा परियोजनाओं पर जल्द काम कराने के लिए एक बार फिर केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राष्ट्रीय राजमार्ग सचिव श्री युद्धवीर मलिक से मुलाक़ात की। इन लंबित पड़ी मंजूरशुदा परियोजनाओं पर ठोस कार्रवाई करने के आश्वासन पर सचिव युद्धवीर मलिक का आभार।

UPA के समय मंजूरशुदा दो राष्ट्रीय राजमार्गों (NH-334B मेरठ-सोनीपत-झज्जर-दादरी-लोहारु और NH-352A जींद-गोहाना-सोनीपत) पर जल्द काम शुरू करने की फिर से मांग दोहराई। NH-334B महत्वपूर्ण नेशनल हाईवे जो सोनीपत-खरखौदा-झज्जर-दादरी-लोहारू को जोड़ने का काम करेगा जिसको स्वयं मैंने प्रस्तावित करके मंजूर कराया था और NH-352A चौ भूपेन्द्र सिंह हुड्डा जी की सोच थी। मैं लगातार इन दोनों ही राष्ट्रीय राजमार्गों के लिए प्रयासरत हूँ।

इसके साथ ही NH-71 (रोहतक-जींद-पंजाब बॉर्डर, वाया उचाना-नरवाना), ठप पड़े द्वारिका एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्य और दर्जनों फ्लाईओवर/अंडरपासों की मंजूरी की भी मांग दोहराई। गांव बालौर, बहादुरगढ़ में NH-10 पर अंडरपास और खरावड़ में रिटेनिंग वाल को बैठक के दौरान सचिव द्वारा मंजूरी देने पर उनका धन्यवाद।

जिन परियोजनाओं को मैंने रात-दिन एक कर मंजूर कराया उन महत्वपूर्ण परियोजनाओं की फाइलों को ठंडे बस्ते पड़ा देख मुझे बड़ा दुःख होता है।

लंबित पड़ी मंजूरशुदा परियोजनाएं :-

NH-334B (जेवड़ा-सोनीपत-सांपला-झज्जर-दादरी-बाढड़ा-लोहारु) :

NH-334B (जेवड़ा-सोनीपत-सांपला-झज्जर-दादरी-बाढड़ा-लोहारु) पर खेवड़ा, हसनगढ़, रोहना, भापड़ोदा, सांपला आदि प्रमुख जगहों पर बाईपास बनाये जाने की मांग रखी थी जिनको मंजूरी दे दी गई है। इस राजमार्ग को दादरी से लोहारू तक सरकार के 2 लेन सड़क बनाये जाने के फैसले का विरोध किया और मांग रखी कि 2012 में मेरे द्वारा मंजूर कराये गए इस राजमार्ग के प्रारूप के अनुसार ही इस पूरे राजमार्ग को 4 लेन ही होना चाहिए। यह जानकर ख़ुशी हुई कि NH-334B के सोनीपत से झज्जर तक 4 लेन का काम अगले कुछ ही दिनों में शुरू होगा।

NH-352A (जींद-गोहाना-सोनीपत) :

NH-352A (जींद-गोहाना-सोनीपत) हुड्डा सरकार के कार्यकाल में मंजूर करवा कर नोटिफाई भी करवा दिया था मगर चार साल में इस नये और महत्वपूर्ण राजमार्ग पर काम नहीं चालू किया गया है। केन्द्रीय सचिव ने आश्वासन दिया कि इस राष्ट्रीय राजमार्ग पर अगले कुछ ही दिनों में काम शुरू हो जायेगा।

NH-71 (रोहतक-जींद-उचाना-नरवाना से जाखल पंजाब बॉर्डर तक) :

NH-71 के रोहतक-जींद-नरवाना-पंजाब बॉर्डर सेक्शन के काम को केंद्र सरकार से दिसंबर 2011 और मार्च 2012 में मंजूरी दिलवा कर, तत्कालीन केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री डॉ सी पी जोशी से 3 जून 2012 को शिलान्यास कर इस पर जोरशोर से काम चालू करवा दिया गया था। इस पर जींद में बाईपास को भी शामिल कर मंजूरी दिलवाई थी। मगर पिछले 4 सालों में रोहतक-जींद सेक्शन पर काम पूरी तरह ठप्प पड़ा है और जींद-पंजाब बॉर्डर सेक्शन पर काम धीमी गति से चल रहा है, मैंने दोनों सेक्शन पर काम तेज गति से चालू करने की मांग केन्द्रीय सचिव के समक्ष दोबारा फिर से रखी।

नार्दन पेरीफेरल एक्सप्रेस-वे (द्वारका एक्सप्रेस-वे) :

गुड़गाँव और दिल्ली के बीच बन रहे द्वारका एक्सप्रेस-वे, जो द्वारका से 18 किमी० दूर खिड़कीधौला टोल पर एनएच-8 से जुड़ता है, को 2010 में पूर्ववर्ती हुड्डा सरकार के समय मंजूर कराकर काम शुरु करा दिया गया था और 2014 तक इसका 95% कार्य पूरा भी हो चुका था। भाजपा सरकार के आने के बाद इसको NHAI ने राष्ट्रीय राजमार्ग घोषित कर टेक ओवर कर लिया और चार साल में 5% काम भी पूरा नहीं हो पाया है। पिछले चार साल से ठप पड़े नार्दन पेरीफेरल एक्सप्रेस-वे (द्वारका एक्सप्रेस-वे) के निर्माण कार्य को शीघ्र पूरा करने की मांग को भी दोहराया ताकि गुड़गांव ट्रैफिक में राहत मिले।

अंडरपास :

13 जून 2017 को श्री युद्धवीर मलिक से राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण मुख्यालय में मुलाकात के बाद मंजूर हुए दर्जनों अंडरपास पर जल्द काम चालू करवाने की माँग रखी थी। राष्ट्रीय राजमार्गों के अलावा राजमार्गों पर आये दिन हो रही दुर्घटनाओं चिंता व्यक्त करते हुए विभिन्न राजमार्गों पर दर्जनों अंडरपास बनाये जाने की मांग भी दोहराई जिसमें रेवाड़ी के गुरावड़ा और सोनीपत के मुंडलाना का अंडरपास भी शामिल है।

बैठक के दौरान इन गांवों में अंडरपास को मिली मंजूरी :

मेरी मांग पर गाँव बालौर में NH 10 पर अंडरपास बनाने और खरावड़ में रिटेनिंग वाल को बैठक के दौरान ही सचिव श्री युद्धवीर मलिक ने मंजूरी दी और अधिकारीयों को काम चालू करवाने के आदेश दिये।

इन गांवों में अंडरपास बनने पर किया धन्यवाद :

13 जून 2017 को मेरी मांग पर NH 65 में भिवानी के झुम्पा खुर्द और जींद के दनौदा खुर्द में अंडरपास मंजूर कर बनवा दिये जाने पर श्री युद्धवीर मलिक का आभार व्यक्त किया।

जल्द काम शुरू कराने का आग्रह :

इनके अलावा सिलानी, दुजाना, रामगढ़ और खलीलपुर, बालौर, मदीना, बहू अकबरपुर, भैनी, मय्यर में अंडरपास पर जल्द काम चालू कराने का आग्रह किया। इससे स्थानीय लोगों को आने जाने में सुविधा तो होगी ही साथ में सड़क दुर्घटनाओं में भी कमी आएगी।

इन गावों में NHAI टीम जल्द करेगी निरीक्षण :

मेरे अनुरोध पर जल्द ही NHAI के आला अधिकारीयों की टीम NH-10 पर रोहतक से हिसार के बीच मदीना, बहू अकबरपुर, भैनी, मय्यर का दौरा कर, स्थानीय लोगों से मिल अंडरपास साईट का निरीक्षण करेगी।

Femina Miss India World 2018: Miss Anukreethy Vas

 

Femina Miss India World 2018: Miss Anukreethy Vas from Tamil Nadu was declared the winner of the 55th edition of Femina Miss India 2018 pageant held at Dome, NSCI Stadium whereas Miss Meenakshi Chaudhary from Haryana and Miss Shreya Rao from Andhra Pradesh bagged the first and second runner up positions respectively.

Miss Anukreethy Vas,Femina Miss India World 2018 will represent India in Miss Universe contest.

संत कबीर जी की 620 वीं जयंती

 

संत कबीर धानक समाज कर्मचारी वैल्फेयर एसोसिएशन हरियाणा और प्रदेश भर के धानक समाज के निवेदन पर देश के राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द आगामी 15 जुलाई 2018 को संत शिरोमणि सद्गुरु कबीर साहिब के 620वें प्रकटोत्सव पर फतेहाबाद में होने वाले कबीर महाकुम्भ कार्यक्रम में मुख्यातिथि के तौर पर शिरकत करेंगे जिसकी अध्यक्षता प्रदेश के राज्यपाल कप्तान सिंह सोलंकी करेंगे। अनुसूचित जनजाति वित्त विभाग की चेयरपर्सन सुनीता दुग्गल के अनुसार इस भव्य आयोजन की सफलता के लिए सभी एक साथ प्रयासरत हैं।

चार बाग़ के 2 में होटलों में लगी आग, 6 की मौत

 

प्रदेश की राजधानी के भीड़ वाले क्षेत्र चारबाग में आज दो होटलों को भीषण आग ने अपने चपेट में ले लिया। जिससे पांच लोगों की मौत हो गई है जबकि आधा दर्जन से अधिक बुरी तरह झुलसे हैं।चारबाग के होटल में लगी आग में मृतकों के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2-2 लाख रुपये मुआवजे का ऐलान किया है। साथ ही घायलों के लिए पचास हजार रुपये सहायता राशि की घोषणा की।

एसएसजे इंटरनेशनल होटल,चारबाग में सुबह शॉर्ट सर्किट से अचानक आग लग गई। थोड़ी ही देर में आग ने विकराल रूप ले लिया। आग के चपेट में बगल में होटल विराट भी आ गया। आग की लपटों के बीच होटल में अफरातफरी के बीच भगदड़ मच गई। जिस समय घटना हुई 50 से 60 लोग होटल में ही ठहरे थे। कुछ लोग खिड़की से कूद गए तो कुछ होटल में ही फंस गए। इसी बीच होटल विराट में एसी का कंप्रेशर फटने से तेज धमाके के साथ आग ने और विकराल रूप ले लिया।

हादसे में एक साल की बच्ची मेहर, एक महिला व तीन पुरुषों की जलकर मौत हो गई, जबकि अविनाश, सार्थक, इंद्रकुमार, आमिर, रानी समेत दर्जनभर लोग घायल हो गए। सीएफओ एबी पांडेय ने बताया कि आग की सूचना 6:05 पर मिली। पंद्रह मिनट के अंदर दमकल पहुंच गई। 14 दमकलों से 4 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद आग को पूरी तरह से काबू कर लिया गया। आग बुझाने में 40 फायरमैन, 5 एफएसओ के साथ स्थानीय पुलिस भी लगी थी। आग में फंसे लोगों को बचाने में फायरमैन शिव बाबू का हाथ जल गया।

इसके अतिरिक्त संदीप गुप्ता समेत आधा दर्जन फायरमैन घायल हो गए। सूचना पर मौके पर आइजी लखनऊ रेंज सुजीत कुमार पांडेय, एसएसपी दीपक कुमार, एएसपी पश्चिम विकास चंद्र त्रिपाठी, डायरेक्टर फायर सर्विस पीके राव, डिप्टी डायरेक्टर जेके सिंह, सीएफओ एबी पांडेय समेत अन्य अधिकारियों ने सर्च ऑपरेशन के साथ घटनास्थल का मुआयना किया। आइजी के मुताबिक प्रथम दृष्ट्या आग शॉर्ट सर्किट से लगी, हादसे के कारणों की जांच की जा रही है।

लपटें उठती देख होटल कर्मी और बाहर के लोगों ने शोर मचाना शुरू किया तो भगदड़ मच गई। पर्यटक और होटल कर्मचारी भागे लेकिन तब तक आग ने विकराल रूप धारण कर लिया और बगल में स्थित विराट होटल भी इसकी चपेट में आ गया। एसएसजे होटल के एक कमरे से टीम ने बुरी तरह झुलसे व्यक्ति को निकाला लेकिन तब तक वह दम तोड़ चुका था।

इसके बाद विराट होटल से भी शव निकाला गया। लपटें तेज होने के चलते कई लोग होटल से नहीं निकल पाए। होटल में फंसे लोगों को जब तक टीम निकालती तब तक कई लोग गंभीर रूप से झुलस गए। तत्काल उन्हें अलग-अलग अस्पताल में भर्ती कराया गया। रेस्क्यू टीम लोगों को निकालने में जुटी है।बताया जा रहा है कि एक धमाके के साथ होटल में आग लगी और देखते ही देखते पूरे होटल को चपेट में ले लिया। यह भी बात सामने आ रही है कि मानकों को दरकिनार कर अवैध रूप से होटल चल रहा था। आग की वजहों का अभी पता नहीं चला है। कहा जा रहा है कि शार्ट सर्किट की वजह से आग लगी है। जिस वक्त आग लगी उस वक्त होटल में कई लोग मौजूद थे। घायलों को ट्रामा सेंटर भेजा गया है।

एसएसपी दीपक कुमार भी मौके पर मौजूद पूरे ऑपरेशन की अगुवाई कर रहे हैं। दीपक कुमार ने बताया कि प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक करीब 5.30 बजे के करीब होटल से धुआं निकलने लगा। पुलिस को सूचना करीब 6.15 बजे दी गई। फिलहाल, सर्च ऑपरेशन जारी है। पहली मंजिल पर सर्च चल रहा है।आग की वजह शार्टसर्किट हो सकती है। एसएसपी ने बताया कि मामले की जांच की जाएगी। एसएसपी ने बताया कि प्रथम दृष्टया यह प्रतीत हो रहा है कि बेसमेंट में आग लगी और ऊपर की तरफ बढ़ी। हादसे के वक्त 35 से 40 लोग मौजूद थे। सभी को निकाल लिया गया है। घटना के बाद से ही होटल प्रबंधन के लोग फरार हैं। जिसके बाद माना जा रहा है कि कहीं न कहीं लापरवाही हुई है।

एसपी पश्चिमी विकास चन्द्र त्रिपाठी ने पांच लोगों की मौत की पुष्टि की है। आग की सूचना पर आईजी जोन सुजीत पाण्डेय भी मौके पर पहुंचे हैं। गंभीर रूप से झुलसे लोगों का हाल लेने कैबिनेट मंत्री डॉ.रीता बहुगुणा जोशी लखनऊ के सिविल अस्पताल पहुंची।

उन्होंने सभी को उत्कृष्ट चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने का निर्देश भी दिया है। होटल विराट में आग लगने की घटना के बाद मौके पर पहुंची रीता बहुगुणा जोशी ने कहा होटल में आग लगने की मैजिस्ट्रीयल जांच होगी। हादसे की जांच रिपोर्ट एक हफ्ते में तैयार होगी। चारबाग के सभी होटलों में सुरक्षा और अतिक्रमण की जांच होगी।

सीएफओ एबी पांडेय ने बताया कि दोनों होटलों में दमकल उपकरण नहीं थे। एसएसजे इंटरनेशनल को दमकल ने महीने भर पहले नोटिस भी दी थी।

एएसपी पश्चिम विकास चंद्र त्रिपाठी ने बताया कि हादसे के बाद से एसएसजे इंटरनेशनल होटल के मालिक सुरेंद्र जायसवाल व विराट होटल के मालिक अर्पित जायसवाल और प्रतीक जायसवाल फरार हैं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ के चारबाग में होटलों में लगी आग से लोगों की मृत्यु पर गहरा शोक व्यक्त किया है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को अग्निकांड में घायल हुए लोगों का समुचित उपचार कराने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने मृतकों के शोक संतप्त परिजनों के प्रति अपनी संवेदना भी व्यक्त की है।

लखनऊ में विराट होटल अग्निकांड व एसएसजे इंटरनेशनल में अग्निकांड पर एसएसपी दीपक कुमार ने बड़ा फैसला लिया है। दोनों होटल मालिकों के खिलाफ खिलाफ गैर इरादतन हत्या का मुकदमा दर्ज किया गया है। अब एक महीने तक चारबाग के होटलों में फायर सेफ्टी का ऑडिट चलेगा।

लखनऊ में आज जिस होटल विराट तथा एसएसजे इंटरनेशनल में अग्निकांड हुआ है, इनका नक्शा भी पास नहीं है। होटल विराट का नक्शा तो आवास के नाम पर पास है जबकि एसएसजे इंटरनेशनल होटल का तो कोई नक्शा ही नहीं है। एसएसजे में 42 तथा होटल विराट में 27 कमरे हैं। सिपाही भर्ती परीक्षा के कारण दोनों होटल के सभी कमरे भरे थे। होटल प्रांगण में खड़े दो चार पहिया वाहन (यूपी 78 सीवी 4984 तथा डीएल3सी बीजे 2108) भी आग में भस्म हो गए। एसएसजे इंटरनेशनल होटल में तो एक बार भी है।

ओमर अब्दुल्लाह पंहुचे गवरनर हाउस

सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार अभी महबूबा को राज्यपाल को त्यागपत्र सौंपे कुछ ही देर हुई है कि ओमर अब्दुल्लाह राज भवन पंहुच भी गए.

जारी है…….

कांग्रेस भाग्य छींका टूटा 

बीजेपी ने जम्मू-कश्मीर में पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) से समर्थन वापस लेकर राजनीतिक सरगर्मी बढ़ा दी है. बीजेपी का आरोप है कि कश्मीर के मौजूदा हालातों को देखते हुए अब पीडीपी के साथ सरकार चलाना बहुत मुश्किल है.

इसी के साथ जम्मू-कश्मीर में राज्यपाल  शासन की आशंका बढ़ने लगी है. समर्थन वापसी के बाद अब जम्मू-कश्मीर में कांग्रेस और नेशनल कांफ्रेंस की ओर उम्मीद भरी निगाहों से देखा जा रहा है.

राजनीतिक विश्लेषक और डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्वालय के प्रोफेसर मोहम्मद अरशद बताते हैं कि ‘अगर जम्मू-कश्मीर में राज्यपाल  शासन लागू हो जाता है तो सीधे तौर पर न सही राजभवन से होते हुए सूबे की कमान बीजेपी के हाथों में आ जाएगी. जबकि नेशनल कांफ्रेंस और कांग्रेस ये कभी नहीं चाहेंगे कि जम्मू-कश्मीर में बीजेपी का दखल बढ़े.

 

ये ही वजह है कि बीजेपी को रोकने के लिए कांग्रेस पीडीपी की मुखिया महबूबा मुफ्ती को समर्थन दे सकती है. कांग्रेस के पास इस वक्त 12 सीट हैं. अगर 5 निर्दलीय उम्मीदवारों को मिला लिया जाए तो पीडीपी बहुमत के आंकड़े 44 को छू सकती है.

दूसरी ओर अगर महबूबा नेशनल कांफ्रेंस के साथ सीएम की कुर्सी को लेकर कोई डील कर लेती है तो भी सत्ता बची रहेगी. ऐसे में नेशनल कांफ्रेंस के लिए भी ये घाटे का सौदा नहीं रहेगा.

एक और जहाँ सेना को अपने ओपेराश्न्स चलाने में कठिनाई नहीं आएगी

वहीँ दूसरी और अलगाववादियों, पत्थाराबजों, मानवाधिकार(आतंकवादियों के अधिकारों) की आवाज़ उठाने वालों की तूती बोलेगी

क्योंकि पीडीपी और नेशनल कांफ्रेंस(कांग्रेस के साथ गठबंधन) के लिए उत्तरी कश्मीर का इलाका सियासी नजरिए से खासा अहम है. अभी सरकार चलाने के लिए 3 साल का वक्त बाकी है. एक रास्ता ये भी है कि सूबे में राज्यपाल शासन लागू न करके चुनाव करा दिए जाएं.’

 

सीज़ फायर ने तोड़ी जम्मू कश्मीर में भाजपा-पीडीपी जोड़ी

अमित शाह ने आज ही बीजेपी नेताओं की बैठक बुलाई थी (फाइल फोटो)

भाजपा ने जम्मू कश्मीर की गठबंधन वाली सरकार में राष्ट्रिय हितों को ले कर टकराव के चलते पड़ी दरार.

अब गठबंधन धर्म से मुक्त भाजप क्या अपने पुराने एजेंडा पर लौटेगी?

जम्मू-कश्मीर में पीडीपी के साथ मिलकर सरकार में शामिल बीजेपी ने गठबंधन तोड़ने का ऐलान कर दिया है. सीजफायर सहित कई मुद्दों पर दोनों ही पार्टियों में काफी दिनों से टकराव चल रहा था. आज ही बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने महबूबा मुफ्ती सरकार में शामिल बीजेपी कोटे के सभी मंत्रियों और राज्य के सभी बड़े नेताओं को दिल्ली में आपात बैठक के लिये बुलाया था. इसी बीच राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने भी अमित शाह से मुलाकात की है. इसके बाद बीजेपी ने समर्थन वापस लेने का ऐलान कर दिया.

– हम खंडित जनादेश में साथ आए थे. लेकिन इस मौजूदा समय के आकलन के बाद इस सरकार को चलाना मुश्किल हो गया था.
– हम एक एजेंडे के तहत सरकार बनाई थी. केंद्र सरकार ने जम्मू-कश्मीर सरकार की हर संभव मदद की.
– गृहमंत्री समय पर राज्य का दौरा करते रहे. सीमा पार से जो भी पाकिस्तान की सभी गतिविधियों को रोकने के लिये सरकार और सेना करती रही.
– हाल ही में वरिष्ठ पत्रकार की हत्या कर दी गई. राज्य में बोलने की आजादी पर खतरा हो गया है.
– राज्य सरकार की किसी भी मदद के लिये केंद्र सरकार करती रही. लेकिन राज्य सरकार पूरी तरह से असफल रही. जम्मू और लद्दाख में विकास का काम भी नहीं हुआ. कई विभागों ने काम की दृष्टि से अच्छा काम नहीं किया.
– बीजेपी के लिये जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है लेकिन आज जो स्थिति है उस पर नियंत्रण करने के लिये हमने फैसला किया है कि हम शासन को राज्यपाल का शासन लाये.

हम प्रदेश की सभी 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ेंगे : अहिरवार

 

बसपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस के साथ गठबंधन करने के बारे में केंदीय नेतृत्व से अब तक कोई दिशानिर्देश नहीं मिले हैं. अहिरवार ने यह भी बताया कि हम प्रदेश की सभी 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ेंगे.

राज्य विधानसभा चुनावों में क्षेत्रीय दलों से गठबंधन की आस लगाए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को बहुजन समाज पार्टी ने झटका दिया है. बसपा ने ऐलान किया है कि वो मध्य प्रदेश में कांग्रेस से गठबंधन नहीं करेगी और इस साल के अंत तक होने वाले विधानसभा चुनाव में 230 सीटों पर अकेले चुनाव लड़ेगी.

मध्य प्रदेश बीएसपी के अध्यक्ष नर्मदा प्रसाद अहिरवार ने कहा कि मुझे मीडिया से पता चला है कि कांग्रेस नेता कह रहे हैं कि आगामी विधानसभा चुनाव के लिए बीएसपी के साथ गठबंधन के लिए कांग्रेस की बातचीत चल रही है. उन्होंने कहा कि मैं स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि इस गठबंधन के संबंध में राज्य स्तर पर हमारी कोई बातचीत नहीं हो रही है.

अहिरवार ने कहा कि कांग्रेस के साथ गठबंधन करने के बारे में केंदीय नेतृत्व से अब तक कोई दिशा-निर्देश नहीं मिले हैं. अहिरवार ने यह भी बताया कि हम प्रदेश की सभी 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ेंगे.

बता दें कि मध्य प्रदेश में पिछले विधानसभा चुनाव में 6.29 फीसदी वोट मिले थे और पार्टी ने कुल चार सीटें जीती थीं. वहीं, भाजपा को 44.88 फीसदी वोट, कांग्रेस को 36.38 फीसदी वोट मिले थे. 2013 के चुनाव में राज्य की 230 विधानसभा सीटों में भाजपा ने 165, कांग्रेस ने 58 सीटें जीतीं थी.

बहुजन समाज पार्टी और इंडियन नेशनल लोकदल ने भरी चुनावी हुंकार

आगामी लोकसभा चुनाव में बीजेपी का मुकाबला करने के लिए बहुजन समाज पार्टी (बसपा) और  अभय चौटाला की इंडियन नेशनल लोकदल (INLD) के बीच गठबंधन हो गया है. अब दोनों दल साल 2019 में होने वाले लोकसभा चुनाव और यूपी व हरियाणा में होने वाले विधानसभा चुनावों को एक साथ मिलकर लड़ेंगे. इस गठबंधन का मकसद बीजेपी और कांग्रेस के खिलाफ तीसरा मोर्चा तैयार करना है. यह तीसरा मोर्चा बसपा सुप्रीमो मायावती के नेतृत्व में बनेगा. हालांकि इस मसले पर समाजवादी पार्टी (सपा) और बसपा की राय जुदा है.

इससे पहले सपा प्रमुख अखिलेश यादव कह चुके हैं कि साल 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को हराने के लिए कांग्रेस समेत सभी दलों को एक मंच पर लाना होगा यानी तीसरे मोर्चे में कांग्रेस भी शामिल होगी. जबकि मायावती और अभय चौटाला की पार्टी के बीच हुए इस गठबंधन के बाद कहा गया कि यह तीसरा मोर्चा बीजेपी और कांग्रेस के खिलाफ है. दोनों दलों ने देश को लूटा है और अब इनको सत्ता से बाहर किया जाएगा.

यह तीसरा मोर्चा किसानों और दलितों को एक मंच पर लाने का काम करेगा. बीजेपी के आने के बाद से हरियाणा अब तक तीन बार जल चुका है. आईएनएलडी और बसपा के हाथ मिलाने से एक बात तो साफ हो गई है कि हरियाणा में होने वाले आगामी विधानसभा चुनाव को दोनों दल मिलकर लड़ेंगे, लेकिन साल 2019 में होने वाले चुनावी गठबंधन को लेकर फिलहाल तस्वीर साफ होती नहीं दिख रही है. इसकी वजह यह है कि यूपी में चुनावी गठबंधन करने वाली बसपा और सपा के बीच तीसरे मोर्चे में कांग्रेस को शामिल करने को लेकर मतभेद है.

सपा इस चुनावी मोर्चे में कांग्रेस को साथ लेकर चलने की पक्षधर है, जबकि बसपा और आईएनएलडी इस मोर्चे से कांग्रेस को बाहर रखने की बात कर रहे हैं. इन दोनों दलों का कहना है कि तीसरा मोर्चा सिर्फ बीजेपी ही नहीं, बल्कि कांग्रेस के भी खिलाफ होगा. कांग्रेस और बीजेपी दोनों ने देश को लूटा है. आगामी लोकसभा चुनाव लड़ने को लेकर बसपा और सपा के बीच मतभेद मुश्किल पैदा कर सकते हैं. मालूम हो कि बसपा से पहले सपा कांग्रेस के साथ मिलकर यूपी विधानसभा चुनाव लड़ चुकी है. हालांकि हालिया उप चुनाव बसपा और सपा ने मिलकर लड़ा था, जिसमें बीजेपी के खिलाफ जीत भी मिली थी.

अपने लोगों ने अग्रेजों का साथ दिया, जिससे रानी लक्ष्मीबाई को बलिदान देना पड़ा था : शिवराज सिंह चौहान

 

विधानसभा चुनाव की आहट के बीच सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और विपक्षी दल कांगे्रस एक-दूसरे पर हमले का कोई मौका हाथ से नहीं जाने देना चाहते हैं। भाजपा ने महारानी लक्ष्मीबाई के बलिदान दिवस की आड़ में सिंधिया राजघराने पर निशाना साधने की कोशिश की है। राज्य के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बीते दिनों बच्चों से संवाद के दौरान महारानी लक्ष्मीबाई की बहादुरी और उनके साथ हुए विश्वासघात का जिक्र किया और सिंधिया राजघराने का नाम लिए बगैर हमला बोला। उन्होंने कहा, ‘‘महारानी लक्ष्मीबाई अग्रेजों से संघर्ष करते हुए ग्वालियर पहुंच गई थीं, लेकिन अपने लोगों ने अग्रेजों का साथ दिया, जिससे रानी लक्ष्मीबाई को बलिदान देना पड़ा था।’’

गौरतलब है कि जनसंघ से लेकर भाजपा की स्थापना और विकास में राजघराने की विजयाराजे सिंधिया की अहम भूमिका रही है। इसी घराने से नाता रखने वाली और विजयाराजे की दो बेटियां वसुंधरा राजे सिंधिया और यशोधरा राजे सिंधिया अब भी भाजपा में हैं, और उनकी रिश्तेदार माया सिंह राज्य सरकार में मंत्री हैं। वहीं, दूसरी ओर ज्योतिरादित्य सिंधिया कांग्रेस में हैं और कांग्रेस के भावी मुख्यमंत्री के दावेदार भी हैं। ज्योतिरादित्य पर हमले की कोशिश में भाजपा पूरे खानदान को ही निशाने पर रख रही है।

लोकतांत्रिक जनता दल के नेता गोविंद यादव का कहना है, ‘‘भाजपा और कांग्रेस के लिए सत्ता पहले, समाज और देश बाद में है। यही कारण है कि भाजपा सिंधिया राजघराने पर हमला कर रही है। यह वह राजघराना है, जिसके सहयोग से भाजपा पली-बढ़ी है, भाजपा को यह भी बताना चाहिए कि देश की आजादी में उसके किस नेता ने योगदान दिया। राजघराने ने जो किया, वही तो भाजपा या इस विचारधारा से जुड़े लोग भी अंग्रेजों के लिए करते रहे हैं, इसे उन्हें भूलना नहीं चाहिए।’’

राज्य सरकार के मंत्री और सिंधिया राजघराने के प्रखर विरोधी के तौर पर पहचाने जाने वाले जयभान सिंह पवैया ने कहा, ‘‘रानी लक्ष्मीबाई झांसी से कूच कर ग्वालियर पहुंचीं, लेकिन ग्वालियर की सिंधिया रियासत में उन्हें प्रवेश करने से रोक दिया गया, तोपें लगा दी गईं, और उन दिनों आजादी के सेनानियों को तोपों का सामना करना पड़ा। रानी जहां वीरगति को प्राप्त हुईं, उस स्थान पर वर्ष 2000 से बलिदान मेला (17 एवं 18 जून) लगाया जा रहा है।’’

विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह का कहना है, ‘‘किसी की देशभक्ति और राष्ट्रभक्ति पर उंगली उठाने का भाजपा को कोई नैतिक अधिकार नहीं है। उसे यह बताना चाहिए कि वर्ष 1942 के भारत छोड़ो आंदोलन का उसके पितृ संगठन आरएसएस ने क्यों विरोध किया था, भाजपा को बनाने और बढ़ाने वाली विजयाराजे सिंधिया थीं। अगर भाजपा वास्तव में देशभक्त है तो सबसे पहले उसे वसुंधरा और यशोधरा को भाजपा से बाहर करना चाहिए, साथ ही विजयराजे ने जो उसकी मदद की, उसे सूद सहित वापस लौटाए।’’