54वें इफ्फी में ’75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ टुमारो’ का हिस्सा बनेंगे 19 राज्यों के फिल्म निर्माता और कलाकार
- यह पहल विश्व का कॉन्टेंट सबकॉन्टिनेंट बनने की दिशा में भारत की दौड़ का एक महत्वपूर्ण पड़ाव: अनुराग ठाकुर
रघुनंदन पराशर, डेमोक्रेटिक फ्रंट, जैतों- 09 नवम्बर :
केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने वीरवार को कहा कि भारतीय अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (इफ्फी) का 54वां संस्करण आरंभ होने को है और ’75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ टुमॉरो’ पहल के तीसरे संस्करण के लिए पूरे भारत से 75 प्रतिभाशाली फिल्म निर्माताओं और कलाकारों का चयन किया गया है।इसके लिए सलेक्शन जूरी और ग्रैंड जूरी पैनल द्वारा चयनित प्रतिभागियों की बहुप्रतीक्षित सूची की घोषणा कर दी गई है। भविष्य की ये होनहार सिनेमाई प्रतिभाएं भारत के 19 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों अर्थात् आंध्र प्रदेश, असम, बिहार, दिल्ली, गोवा, गुजरात, हरियाणा, जम्मू -कश्मीर, झारखंड, केरल, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, मणिपुर, ओडिशा, पंजाब, राजस्थान, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल से संबद्ध हैं। सबसे अधिक प्रतिभाएं महाराष्ट्र से, और इसके बाद दिल्ली, पश्चिम बंगाल, हरियाणा और तमिलनाडु से चुनी गई हैं।केंद्रीय मंत्री श्री अनुराग सिंह ठाकुर ने इस संस्करण के बारे में अपने संबोधन में सभी विजेताओं को बधाई दी और कहा, “इस साल, हम एक बार फिर से 75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ़ टुमॉरो के अंतर्गत समूचे भारत से 10 श्रेणियों के लिए 75 प्रतिभाशाली युवाओं को शामिल कर रहे हैं”। उन्होंने कहा कि वह उन शानदार लघु फिल्मों का बेसब्री से इंतजार कर रहे, जो फिल्म निर्माण चुनौती के अंतर्गत निर्मित की जाएंगी। श्री सिंह ने आशा व्यक्त की कि सभी विजेता विशेष रूप से आयोजित की जा रही मास्टर क्लास और सत्रों के माध्यम से ज्ञान अर्जित करेंगे, फिल्म बाजार में होने वाले सिनेमा के व्यवसाय का अनुभव लेंगे और प्रतिभा शिविर के माध्यम से महत्वपूर्ण संपर्क बनाएंगे। उन्होंने कहा, “यह पहल विश्व का कॉन्टेंट सबकॉन्टिनेंट बनने की दिशा में भारत की दौड़ का एक महत्वपूर्ण पड़ाव है।”इस वर्ष इसमें देश के अंदरूनी हिस्सों के भी प्रतिभागी शामिल हो रहे हैं, जिनमें से कुछ बिष्णुपुर (मणिपुर), जगतसिंहपुर (ओडिशा), और सदरपुर (मध्य प्रदेश) जैसे स्थानों से हैं।सिनेमाई क्षेत्र और राज्य के अनुसार विजेताओं की सूची इफ्फी की वेबसाइट पर देखी जा सकती है।
75 प्रतिभागियों को 600 से अधिक आवेदकों के समूह में से फिल्म निर्माण के निम्नलिखित शिल्पों यथा – निर्देशन, पटकथा लेखन, छायांकन, अभिनय, संपादन, पार्श्व गायन, संगीत रचना, पोशाक और मेकअप, कला डिजाइन, और एनिमेशन, विजुअल इफेक्ट्स (वीएफएक्स), ऑगमेंटेड रियलिटी (एआर) और वर्चुअल रियलिटी (वीआर) में उनकी प्रतिभा के आधार पर चुना गया है । निर्देशन श्रेणी से 18 कलाकार, एनीमेशन, वीएफएक्स, एआर और वीआर श्रेणी से 13 कलाकार और छायांकन के क्षेत्र से 10 कलाकार हैं।सबसे उल्लेखनीय बात यह है कि सबसे ज्यादा आवेदन एनिमेशन, विजुअल इफेक्ट्स (वीएफएक्स), ऑगमेंटेड रियलिटी (एआर) और वर्चुअल रियलिटी (वीआर) श्रेणी से प्राप्त हुए। यह देश के एवीजीसी-एक्स आर क्षेत्र में तेजी लाने के भारत सरकार के प्रयासों के अनुरूप है।
वैसे तो सभी प्रतिभागियों की आयु 35 वर्ष से कम है, लेकिन सबसे कम आयु के प्रतिभागी संगीत रचना/साउंड डिजाइन श्रेणी में मुंबई, महाराष्ट्र के शाश्वत शुक्ला हैं, जिनकी आयु 18 वर्ष है।इफ्फी के आगामी संस्करण में, इस संस्करण के 75 क्रिएटिव माइंड्स निम्नलिखित अवसरों में भाग लेंगे:इस वर्ष, 75 क्रिएटिव माइंड्स के लिए विशेष रूप से क्यूरेटेड मास्टर क्लास आयोजित की जाएंगी।श्री उमेश शुक्ला, निर्देशन पर अपनी मास्टरक्लास में ओह माई गॉड! के लिए पटकथा लेखन और निर्देशन पर एक केस स्टडी प्रस्तुत करेंगे। इनके अलावा टेलीविजन, ओटीटी और फिल्मों में बड़े पैमाने पर काम करने वाले अनुभवी पटकथा लेखक श्री चारुदत्त आचार्य पारंपरिक प्लेटफार्मों से नई तकनीक तक पटकथा के विकास के बारे में मार्गदर्शन करेंगे। एनीमेशन से संबंधित मास्टरक्लास में चारुवी डिज़ाइन लैब्स की पुरस्कार विजेता क्रिएटर सुश्री चारुवी अग्रवाल एनीमेशन और विजुअल इफेक्ट्स के उपयोग के माध्यम से भारत की कहानियों को दर्शाने के बारे में अपने विचार साझा करेंगी। इसके अलावा, एनएफडीसी ने श्री फ्लोरियन वेघोर्न, प्रोग्राम मैनेजर, बर्लिनेल टैलेंट्स के साथ एक वर्चुअल मास्टरक्लास का आयोजन किया है, जो “फिल्म महोत्सवों को नई प्रतिभाओं के लिए लॉन्चपैड के रूप में” उपयोग करने के बारे में मार्गदर्शन प्रदान करेंगे।अंत में, प्रतिभागियों को एक बहुत ही महत्वपूर्ण विषय- अपनी फिल्मों के वित्तपोषण से संबंधित एक सत्र में भाग लेने का अवसर भी मिलेगा। इस सत्र के दौरान उन्हें ज्ञान प्राप्त करने और क्षेत्र के दिग्गजों के साथ बातचीत करने का अवसर मिलेगा।”48 आवर्स फिल्म मेकिंग चैलेंज” के अंतर्गत लघु फिल्मों के निर्माण की समूह प्रतियोगिता में भाग लेकर प्रतिभागियों को अपनी प्रतिभा दिखाने और प्रदर्शित करने का अवसर मिलेगा। इसके अंतर्गत प्रतिभागी अपनी फिल्मों के माध्यम से 48 घंटों में “मिशन लाइफ” के बारे में अपनी व्याख्या प्रदर्शित करेंगे। इस प्रतियोगिता की परिकल्पना एनएफडीसी ने लघु फिल्मों को समर्पित एक विश्वव्यापी नेटवर्क ब्रिटेन की शॉर्ट्स इंटरनेशनल के साथ साझेदारी में की है। शॉर्ट्स टीवी के पास उच्च गुणवत्ता वाली लघु फिल्मों और श्रृंखलाओं की दुनिया की सबसे बड़ी सूची है, जो टीवी, मोबाइल, ऑनलाइन और थिएटरों में उपलब्ध है और यह प्रसारकों और ब्रांडों के लिए मौलिक लघु फिल्म सामग्री भी तैयार करती है।फिल्म बाज़ार का एक निर्देशित दौरा प्रतिभागियों को सिनेमा के व्यवसाय को देखने का अवसर प्रदान करेगा। फिल्म बाज़ार, महोत्सव की व्यावसायिक शाखा में को प्रोडक्शन मार्केट, वर्क इन प्रोग्रेस लैब, व्यूइंग रूम, स्क्रीनराइटर्स लैब, मार्केट स्क्रीनिंग, प्रोड्यूसर्स वर्कशॉप, नॉलेज सीरीज़, बुक टू बॉक्स ऑफिस जैसे विविध खंड हैं।इस वर्ष के बुक टू बॉक्स ऑफिस खंड में एक भागीदार के रूप में ‘द स्टोरी इंक’ होगा, जो रचनात्मक लेखकों को अपना काम प्रस्तुत करने और इन कहानियों को निर्माताओं के सामने रखने का मंच प्रदान करेगा।यहां एक सीएमओटी प्रतिभा शिविर का आयोजन किया जा रहा है, जो प्रतिभागियों को प्रोडक्शन हाउस, एवीजीसी कंपनियों और स्टूडियो आदि सहित भारत की मीडिया और मनोरंजन क्षेत्र की अग्रणी कंपनियों के प्रतिनिधियों के साथ नेटवर्क बनाने का अवसर देगा। इस अभियान के तहत प्रतिभागी इस क्षेत्र के अग्रणी समूहों के साथ काम करने का अवसर प्राप्त करने के लिए अपने विचारों/अवधारणाओं/कौशलों/पिछले कार्यों की प्रस्तुति देंगे।इस संस्करण के लिए 75 प्रतिभागियों का चयन करने वाले जूरी पैनलों में निम्नलिखित दिग्गज शामिल है।”75 क्रिएटिव माइंड्स ऑफ़ टुमॉरो” केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री श्री अनुराग ठाकुर की एक मौलिक और विलक्षण पहल है, जिसका उद्देश्य समूचे भारत की युवा सिनेमाई प्रतिभाओं की पहचान करना, उन्हें प्रोत्साहन देना और उनके हुनर को प्रदर्शित करना है। इस पहल के अंतर्गत प्रतिभागियों को अंतरराष्ट्रीय मंच पर अपनी प्रतिभा दिखाने के लिए एक मंच मिलता है। इस पहल का शुभारंभ इफ्फी के 2021 संस्करण में आज़ादी का अमृत महोत्सव मनाने के उपलक्ष्य में किया गया था।