संक्रामण काल में ऑक्सिजन की कमी से दिल्ली में हुई 1000 मौतों का जिम्मेदार कौन?
संक्रामण काल में जब इसे आपदा घोषित किया जा चुका हो ऐसे में ऑक्सिजन की चोरी या फिर जमाखोरी ए जघन्य अपराध है ओर संक्रामण काल में इसे राष्ट्रद्रोह की संज्ञा दी जाती है। ओक्ष्येगेन की कमी पर हर समय तत्परता से ज्ञान बांटने वाले नेता अधियारी या फिर कानूनविद जो ऑक्सिजन की कमी पर अपना अधिकार जताने से नहीं चूकते क्या जीवांदायिनी ऑक्सिजन के जमाखोरों पर एनएसए के तहत कार्यवाई की मांग करेगी? क्या यह अपराधी गंभीर धाराओं के तहत गिरफ्तार भी किए जाएँगे। ओर यदि ऐसा होता है तो क्या इनकी चार्जशीट की फाइलें दबा नहीं दीं जाएंगीं?
नयी दिल्ली में कल हुई छापेमारी के दौरान मिले ऑक्सिजन सिलेंडर्स की संख्या से पता चलता है की दिल्ली की केजरीवाल साकार ऑक्सिजन की ऑडिट से क्यों बच रही थी/ जहां केजरीवाल सरकार के मंत्री इस कालाबाजारी में शामिल हैं वहीं मुख्यमंत्री केजरीवाल के कृपापात्र केसीएचएच नाम भी सामने आए हैं। कोरोना महामारी की दूसरी लहर के बीच देशभर के अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी पड़ गई। दिल्ली में भी ऑक्सीजन की भारी कमी है। ऐसे में केजरीवाल सरकार ने ऑक्सीजन के उपयोग की ऑडिट कराने से आपत्ति जताई है। जहां एक तरफ दिल्ली सरकार ऑक्सीजन ऑडिट करना से कतरा रही है तो वहीं पुणे के अस्पतालों में ऑडिट होने की वजह से प्रतिदिन लगभग 30 टन ऑक्सीजन की बजत हो रही है। पुणे के कोविड डेडिकेटेड हॉस्पिटल्स (CDH) को इससे खासा फायदा मिल रहा है। कोरोना वायरस ( Coronavirus ) महामारी के दौरान देश की राजधानी दिल्ली समेत अन्य राज्यों में ऑक्सीजन की मांग, केंद्र से हो रही आपूर्ति और अस्पतालों तक पहुंचाने में आ रही दिक्कत को समझने के लिए सुप्रीम कोर्ट ( Supreme Court ) एक ऑडिट कमिटी बनाने जा रही है। कोर्ट की यह बात उस वक्त कही गई, जब केंद्र सरकार ने दिल्ली में ऑक्सीजन ( Oxygen ) को लेकर वितरण व्यवस्था पर सवाल उठाए। गुरुवार को केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में ऑक्सीजन को लेकर दिल्ली ( Delhi ) के ऑडिट की मांग की, हालांकि राज्य सरकार की ओर से इसका विरोध किया गया।
आज पूर्व आआपा नेता कपिल मिश्रा ने अरविंद केजरीवाल और उनके मंत्रिमंडल पर गंभीर आरोप लगाते हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री सहित आआपा नेताओं के घरों में छापे मारी की गुहार लगाई। मिश्रा के अनुसार बाकी नेताओं के घरों से मिलने वाले ऑक्सिजन सिलेंडरों की संख्या दिल्ली वासियों सहित देश भर को चौंका सकती है।
दिल्ली में नवनीत कालरा के ‘खान चाचा रेस्टॉरेंट’ में 96 ऑक्सीजन कन्सेंट्रेटर्स बरामद होने और दिल्ली के खाद्य मंत्री इमरान हुसैन को ऑक्सीजन सिलिंडर्स की जमाखोरी पर दिल्ली हाईकोर्ट का नोटिस मिलने के बाद अरविंद केजरीवाल की सरकार चहुँओर से घिर गई है। नवनीत कालरा के बारे में पता चला है कि वो 2020 में केजरीवाल के शपथग्रहण समारोह में बतौर अतिथि मौजूद था। अब भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने AAP पर सवाल उठाया है।
दिल्ली के पूर्व मंत्री कपिल मिश्रा ने कहा कि ये ऐसा विकट समय है, जब ऑक्सीजन के अभाव में सड़कों पर लोगों की मौत हो रही है और लोग अस्पतालों के दरवाजे पर लाइन लगा कर खड़े हैं, वो ढूँढ रहे हैं कि कहीं से ऑक्सीजन मिल जाए। उन्होंने कहा कि दिल्ली में इस समस्या के कारण हजारों मौतें हुई हैं और कब्रिस्तान या श्मशान घाटों में जगह नहीं मिल रही है। उन्होंने कहा कि वहीं दूसरी तरफ दिल्ली के मंत्री के घर में 630 ऑक्सीजन सिलिंडर छिपा कर रखे गए हैं।
कपिल मिश्रा ने कहा, “दिल्ली का एक मंत्री ऑक्सीजन सिलिंडर्स की जमाखोरी कर रहा है। ऐसे में क्या 630 लोगों की मौत की जिम्मेदारी इस एक आदमी पर नहीं आएगी? क्या ये हत्या नहीं है? क्या इसे एक साजिश के तहत सैकड़ों लोगों का मर्डर नहीं कहा जाएगा? कितनी जानें बच जातीं उन सिलिंडर्स से, जो केजरीवाल के मंत्री इमरान हुसैन के घर पर रखे हुए हैं या जो नवनीत कालरा के रेस्टॉरेंट से 550 कन्सेंट्रेटर मिले हैं।”
कपिल मिश्रा ने दावा किया कि अरविंद केजरीवाल की सरकार ने जिस नवनीत कालरा को ‘दिल्ली के निर्माता’ का सम्मान दिया था, आज वो ऑक्सीजन कन्सेंट्रेटर्स की कालाबाजारी में लिप्त है और फरार चल रहा है। कपिल मिश्रा ने आरोप लगाया कि सरकार चलाने वालों और उनके खास लोगों के घर से ऑक्सीजन सिलिंडर और कन्सेंट्रेटर बड़ी मात्रा में मिल रहे हैं, जबकि इनके अभाव में लोगों की जानें जा रही हैं।
उन्होंने दिल्ली के पुलिस कमिश्नर से निवेदन किया कि इमरान हुसैन को तुरंत जेल में डाला जाए। उन्होंने कहा, “इस बात की जाँच की जानी चाहिए कि दिल्ली में हुई इतनी मौतों के पीछे कोई गहरी साजिश तो नहीं? ये दिल्ली को, देश को हिलाने की, बर्बाद करने की, लोगों के मरने के बाद गंदी राजनीति करने की साजिश हो सकती है। दिल्ली पुलिस को अरविंद केजरीवाल समेत दिल्ली के सभी मंत्रियों के घरों की तलाशी लेनी चाहिए।”
भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने आशंका जताई कि AAP नेताओं के घरों में न जाने कितने ऑक्सीजन सिलिंडर्स छिपाए हुए मिल सकते हैं। उन्होंने कहा कि मंत्री हो या मुख्यमंत्री हो, उन पर कार्रवाई होनी चाहिए। उन्होंने अब तक इमरान हुसैन की गिरफ़्तारी न होने को चिंता का विषय बताया। दिल्ली के एक अस्पताल में ऑक्सीजन टैंकर से ऑक्सीजन बर्बाद करने के आरोप भी भाजपा नेता तजिंदर बग्गा ने लगाए थे।
दिल्ली में ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर की कालाबाजारी पर दिल्ली पुलिस ने मैट्रिक्स सेलुलर सर्विस लिमिटेड के सीईओ गौरव खन्ना को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने गौरव के खिलाफ़ ये कार्रवाई उसके संबंध नवनीत कालरा से जुड़े होने के चलते की। ये मैट्रिक्स कंपनी गगन दुग्गल नाम के शख्स की है। वह लंदन में रहता है और उसकी कंपनी सिम बनाने का काम करती है। सी मैट्रिक्स कंपनी के नाम से 20 हजार रुपए प्रति पीस ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर भारत में इम्पोर्ट हुए और फिर इन्हें कीमतें बढ़ाकर जरूरमंदों को बेचा गया।