आज का पांचांग

🌷🌷🌷पंचांग🌷🌷🌷
08 अगस्त 2018, बुधवार

विक्रम संवत – 2075
अयन – दक्षिणायन
गोलार्ध – उत्तर
ऋतु – वर्षा
मास – श्रावण
पक्ष – कृष्ण
तिथि – द्वादशी
नक्षत्र – मृगशिरा
योग – हर्षण
करण – कौलव

राहुकाल –
12:00 PM – 1:30 PM

🌞सूर्योदय – 05:48 (चण्डीगढ)
🌞सूर्यास्त – 19:07 (चण्डीगढ)
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🚩व्रत -🚩
कामिका एकादशी व्रत (वैष्णव)।

🚩दिवस -🚩
विश्व वरिष्ठ नागरिक दिन।

🌹🌹🌹विशेष -🌹🌹🌹
सन्यासियों के लिए मोक्षदायनी यह व्रत भगवान विष्णु की आराधना का व्रत है, जिन सन्यासियों का ईष्ट भगवान विष्णु या उनके अवतार है उन्हें यह व्रत अवश्य करना चाहिये।
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏
चोघड़िया मुहूर्त- एक दिन में सात प्रकार के चोघड़िया मुहूर्त आते हैं, जिनमें से तीन शुभ और तीन अशुभ व एक तटस्थ माने जाते हैं। इनकी गुजरात में अधिक मान्यता है। नए कार्य शुभ चोघड़िया मुहूर्त में प्रारंभ करने चाहिएः-
दिन का चौघड़िया (दिल्ली)
चौघड़िया प्रारंभ अंत विवरण
लाभ 05:46 07:26 शुभ
अमृत 07:26 09:06 शुभ
शुभ 10:46 12:27 शुभ
लाभ 17:27 19:07 शुभ
रात्रि का चौघड़िया (दिल्ली)
चौघड़िया प्रारंभ अंत विवरण
शुभ 20:27 21:47 शुभ
अमृत 21:47 23:07 शुभ
लाभ 03:07 04:27 शुभ

Four Army men including an officer have been martyred

 

Four Army men including an officer have been martyred after army patrolling party and infiltrating group of militants came face-to-face at LOC near Govind Nallah, Gurez Sector in North Kashmir’s Bandipora district.

Reports said that massive search operation is underway and reinforcement has been called in to track down the militants.

An official said that it was a group of 8 militants who attacked army patrolling party. Initial reports said that 4 soldiers including a Major have been killed. Unconfirmed reports said that the bodies of two militants have been retrieved near the encounter site.

Another official said that 4 militants managed to cross that part of Kashmir after the exchange of fire. “Search operation is underway,” he said.

The slain soldiers have been identified as Major KP Rane, Hav Jamie Singh, Hav Vikramjeet, and Rfn Mandeep

साध्वियों के यौन शोषण, देश द्रोह और दंगा भड़काने का आरोपी नवीन उर्फ गोबी राम गिरफ्तार

 

पंचकूला: 

साध्वी यौन शोषण मामले में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम को दोषी करार दिए जाने के दिन पंचकूला में हुए दंगों के मामले में जांच कर ही एसआईटी टीम ने बड़ी सफलता हासिल की है। एसआईटी हेड एसीपी आदर्शदीप की टीम ने पंचकूला हिंसा मामले में मोस्ट वांटेड आरोपी नवीन उर्फ गोबी राम को गिरफ्तार किया है। आरोपी पर 50 हज़ार रुपये का ईनाम रखा गया था, जिसपर सिरसा बस स्टैंड में दंगा फैलाने का आरोप था।

गौरतलब है कि 25 अगस्त को पंचकूला में हुए दंगों और देशद्रोह के आरोप में एफआईआर 345 के आरोपी नवीन को गिरफ्तार किया गया है। पंचकूला पुलिस आरोपी गोबी राम को कल पंचकूला कोर्ट में पेश करेगी। वहां पंचकूला पुलिस आरोपी गोबी राम की अधिकतम दिनों तक रिमांड पर लेने की कोशिश में है। पुलिस की दंगे की मोस्ट वांटेड लिस्ट में बाबा का करीबी गोबी राम का नाम शामिल है,जो सिरसा डेरे की कोर कमेटी में शामिल है। इस कारण पंचकूला हिंसा में शामिल आरोपी से अहम जानकारियां मिल सकती है।

“Khaira is behaving like Prime Minister Narendra Modi who tags everyone anti-national who so ever goes against his will,” alleged Mann.

Photo by Rakesh Shah


Says he needs no certificate from Khaira-Sandhu for his love for Punjab, Punjabiyat

Khaira never demanded autonomy while in Congress for 25 years: Bhagwant Mann


Chandigarh, August 7, 2018:

Within hours of Sukhpal Khaira-led rebel AAP, Punjab group announcing a separate Political Affairs Committee, the senior party and Member of Parliament from Sangrur, Bhagwant Mann on Tuesday accused Khaira and journalist-turned politician Kanwar Sandhu of breaking the party in Punjab.

Mann asked Khaira to resign as AAP MLA and  stop representing the party publicly if he was unable to obey the party discipline. He also accused Khaira-Sandhu duo of misguiding the innocent volunteers in the name of Punjabiyat.

Addressing the media along with party MLA Meet Hayer, youth wing president Manjinder Singh Sidhu and state general secretary Narinder Singh Shergill, the Sangrur MP said that he need not explain his love and dedication for Punjab and Punjabiyat to Khaira and Sandhu.

Countering the allegations of Khaira-Sandhu, Mann said that he always stood by the people of Punjab but why Khaira-Sandhu’s love for Punjab rose just after the change of Leader of Opposition by the party and the state government withdrawing facilities given to Khaira.

Terming their outbursts against the AAP leadership as a manifestation of their power-hungry nature, Mann alleged that Khaira has dictatorial mindset. “Khaira is behaving like Prime Minister Narendra Modi who tags everyone anti-national who so ever goes against his will,” alleged Mann.

Takinga dig at Khaira’s demand for autonomy for the state unit, Mann wanted to know whether Khaira ever demanded autonomy from Sonia Gandhi when he was part of the Punjab Congress. Khaira remained in Congress for 25 years but never uttered a single word against the party that always worked against Punjab and Punjabis, demolished Sri Darbar Sahib and snatched waters of state, he added.

Mann said that Khaira-Sandhu even mocked his illness did not wait till he get discharged from hospital. He said Khaira must now be ready to face the heat from people of Bholath who elected him to raise their voice but he always focused on settling his personal scores with political opponents.

Photo by Rakesh Shah

He asked are 2.75 Crores people of state are traitors as Khaira said from the stage that people who did not attend Bathinda Convention are anti-Punjab. He also cautioned the MLAs and volunteers supporting Khaira and Sandhu that they are shrewd people and will cash them for their personal purposes. He announced to meet MLAs and convince them to come back to party fold.

Replying on the question of taking back his resignation as state chief, Mann said that he will talk to the party high command on the issue and work hard to strengthen the party for 2019 elections.

Rejecting Khaira-Sandhu announcement to reconstitute the organization in state, Mann said that the lakhs of AAP volunteers worked hard to build the party and they have no right to demolish it.

He warned that the party will take legal action in case Khiara-Sandhu continue to violate party guidelines. He asked in which capacity son of Khaira addressed the Bathinda Convention if it was a workers’s convention.

Accusing Kanwar Sandhu of looting the rights of volunteers to get ticket from Kharar Vidhan Sabha constituency, Mann asked why not he stood for the rights of volunteers at that time. He said that he would never let the opportunists grab the party for their personal purposes.

Flaying Khaira-Sandhu of being opportunists, MLA Meet Hayer said that Sandhu even tried hard to get the LoP seat for himself but failing in that he started leveling baseless allegations against the party. He alleged that Sandhu claimed to tame Sukhpal Khaira in case party appoints him LOP in Punjab Vidhan Sabha.

इनेलो-बसपा गठबंधन की सरकार बनने पर 5 रूप्ये प्रति युनिट से देगें बिजली उपभोक्ताओं को बिजली-अभय चौटाला

फोटो-पंचकूला सैक्टर-16 स्थित अग्रवाल भवन में इनेलो नेता प्रतिपक्ष चौधरी अभय सिंह चौटाला जनसभा को संबोधित करते हुए। साथ में बसपा प्रदेशाध्यक्ष प्रकाश भारती, इनेलो अध्यक्ष अशोक अरोड़ा इत्यादि


– कहा- पूंजीपतियों के मीटर अंदर और आम जनता के मीटर सड़क़ों पर सरकार बनने पर पूंजीपतियों के मीटर बाहर और आम जनता के मीटर अंदर होगें, पार्टी के खिलाफ प्रचार करने वालों को बाहर निकालने का जिलाध्यक्ष को अधिकार, बसपा नेताओं ने भी किया संबोधित, 18 अगस्त को एसवाईएल को लेकर हरियाणा बंद को सफल बनाने का किया आहवान


पंचकूला, 7 अगस्त। भांखड़ा से सरकार 44 पैसे प्रति यूनिट के हिसाब से बिजली खरीद रही है और प्रदेश के बिजली उपभोक्ताओं को करीब 11 रूपये प्रति यूनिट के हिसाब से बिजली बेच रहे है। इसके साथ ही प्रदेश में आगामी चुनावों में इनेलो-बसपा गठबंधन की सरकार बनने जा रही है और सरकार बनते ही हरियाणा में बिजली 5 रूपये प्रति यूनिट के हिसाब से बिजली लोगों को दी जाएगी और उस भेदभाव को भी खत्म किया जाएगा, जो पूंजीपतियों के व्यवसायिक संस्थानों के मीटर अंदर और जो ईमानदारी से बिजली बिल भरते है, उनके मीटर बाहर सडक़ों पर लगाएं हुए है। सरकार बनने पर पूंजीपतियों के मीटर बाहर और लोगों के मीटर मकान के अंदर होगें। यह बाद मंगलवार को नेता प्रतिपक्ष चौधरी अभय सिंह चौटाला ने पंचकूला सैक्टर-16 स्थित अग्रवाल भवन में जिला भर के इनेलो-बसपा कार्यकत्ताओं के संयुक्त सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहीें। यहां अभय चौटाला 18 अगस्त को सतलुज-युमना लिंक नहर के पानी को लेकर अपने संघर्ष को आगे बढ़ाते हुए गठबंधन के हरियाणा बंद को सफल बनाने का भी आहवा्न किया। इससे पूर्व नेता प्रतिपक्ष चौधरी अभय सिंह चौटाला का पंचकूला पहुंचने पर कार्यकत्र्ताओं ने जोरदार स्वागत किया।

खचाखच भरे हॉल में कार्यकत्र्ताओं को संबोधित करते हुए अभय चौटाला ने कहा कि प्रत्येक कार्यकत्र्ता पार्टी की मुख्य 5 घोषणाओं को ज्यादा से ज्यादा प्रचार करें। मोबाइल पर गलत पोस्ट करने से बचे, क्योंकि कांग्रेसी और भाजपा के लोग हमारे नाम पर गलत पोस्ट बनाकर विवाद पैदा कर रहे है। हमारा परिवार संगठित है और पार्टी जिलाध्यक्ष ऐसे लोगों पर नजर रखें, जो गलत तरीके से प्रचार करके पार्टी को नुकसान पहुंचाने का काम करते है। क्योंकि जो लोग ऐसा काम करते है, वो कभी पार्टी हितैषी नही हो सकते। पार्टी जिलाध्यक्ष को पुरा अधिकार है, वो ऐसे लोगों को पार्टी से तुरंत बाहर निकालने का काम करें। चौटाला ने कहा कि अब सीधे नेताओं से मिलकर कार्यक्रम नही मिलेगा। जिलाध्यक्ष और पार्टी के पदाधिकारियों के बिना संज्ञान के कोई कार्यक्रम प्रस्तावित नही किया जाएगा।

नेता प्रतिपक्ष अभय चौटाला ने अपने संबोधन में पंचकूला की समस्याओं पर बोलते हुए कहा कि एक दिन मैं गाड़ी से पंचकूला से गुजर रहा था तो कई जगह पर चौंक के ऊपर हरी जाली लगी हुई है, मैंने सोचा कही हमारा कार्यकत्र्ता तो काम नही कर रहा। पूछने पर पता चला कि यह आर.एस.एस के लोगों की मिलीभगत से किसी को निजी फायदा पहुंचाने का काम किया जा रहा है। इसके साथ ही उन्होंने विधायक ज्ञानचंद पर निशाना साधते हुए कहा कि रेहड़ी वालों से पैसे लेने वालों को नही बक्षा जाएगा और गठबंधन की सरकार बनने के बाद रेहड़ी-फहड़ी वालों से जो पैसे इन लोगों से वसूले वो वापिस करवाए जाएगें और चौंक बनाने में हो रही मिलीभगत का भी ईलाज किया जाएगा। चौटाला यहीं नही रूके और उन्होंने साफ शब्दों में कह दिया कि सैंटर पार्टी ऑफिस से कार्यक्रम तय होगें और उन्हीं कार्यक्रमों का आयोजन होगा। उसके अलावा कोई बिना पार्टी ऑफिस के संज्ञान के कार्यक्रम से दूरी बनाएं। उन्होंने कहा कि सरकार बनने के बाद प्रदेश की सभी समस्याओं को दूर किया जाएगा। इसके साथ ही चौटाला ने कहा कि पंचकूला जिला का एसवाईएल के संघर्ष में बेहतरीन प्रदर्शन रहा है और इसी प्रकार कार्यकत्र्ता लगन के साथ हरियाणा बंद को सफल बनाने का काम करें। आज भाजपा के राज में इतनी समस्याएं है कि इनका तो लोग इंतजार कर रहे है, इन्हें वोट की ऐसी चोट देंगे कि याद रखेगें।

आयोजित जनसभा में इनेलो प्रदेशाध्यक्ष अशोक अरोड़ा ने संबोधित करते हुए भाजपा सरकार को अनुभवहीन सरकार बताते हुए एक विफल सरकार बताया और कहा कि हर मोर्चे पर सरकार फेल साबित हुई है। वहीं बसपा प्रदेशाध्यक्ष प्रकाश भारती ने कहा कि कांग्रेस-भाजपा के लोगों को इनेलो-बसपा के गठबंधन की बड़ी चिंता सता रही है। उनके लोग मिले तो उन्हें साफ कह दो, यह गठबंधन दिल का गठबंधन है, टूटे से भी नही टूटेगा। कार्यक्रम में हरियाणा बसपा प्रभारी गुरमुख और नरेश सारण ने संबोधित करते हुए कहा कि देश की प्रधानमंत्री बहन मायावती और प्रदेश का मुख्यमंत्री चौधरी ओमप्रकाश चौटाला को बनाने के लिए कार्यकर्ता पुरी मेहनत और लगन से काम करें। कालका से पूर्व विधायक एवं पंचकूला इनेलो जिलाध्यक्ष प्रदीप चौधरी ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष का जो भी आदेश होगा, उसे पूरी ईमानदारी से पूरा किया जाएगा। प्रदेशाध्यक्ष व्यापार सैल कुलभुषण गोयल ने कहा कि आज पंचकूला जिला समस्याओं से जुझ रहा है और सरकार मौन रूप धारण किए हुए है। युवा नेता कर्ण चौटाला ने भी संबोधित किया और कहा कि युवा एकजुट होकर संगठन के लिए काम करें। आयोजित कार्यक्रम में इनेलो-बसपा के सैंकड़ों कार्यकत्ता, पदाधिकारी, समर्थक जिला के हर कोने से अपने नेताओं के विचार सुनने के लिए पहुंचे। इस मौके पर इनेलो के नवनिर्वाचित जिला संयोजकों, हलका प्रधानों और शहरी प्रधानों को उनकी नियुक्ति पर बधाई दी गई।

Three held several snatching cases solve cops claim

Photo & News by Rakesh Shah

Chandigarh police claims to have solved various cases of snatching by arresting three youths namely Honey, Paras and Vikram Singh under the supervision of Inspector Amanjot Singh.
According to the Police they had secret information about the boys that they were roaming around on activa . Honey was apprehended while looking for the prey later on same day his associates Paras and Vikram Singh also apprehended .
Police has registered the case under section 356,379, 411 of IPC

पानीपत पुलिस ने भाईचारा कावड़ यात्रा को रोका

अजय कुमार

7 अगस्त

पानीपत पुलिस ने भाईचारा कावड़ यात्रा को रोका

भाई नवीन जयहिंद की भाईचारा कावड़ यात्रा से बौखलाई सरकार

कावड़ यात्रा को बीच मे रोका पुलिस ने

कावड़ियों को पुलिस स्टेशन ले कर जाने की कोशिश की है

कावड़ियों के मोबाइल फ़ोन छीने गए

कावड़ियों की गाड़ियों की चाबियाँ छीनी गई

पुलिस वालों से पूछने पर पुलिस ने बताया की उन्हें ऊपर से आदेश मिले है

ACB की SI बबीता 5 लाख की रिश्वत लेते गिरफ्तार

जयपुर।

शिप्रा पथ मानसरोवर थाना में तैनात SI बबीता को एसीबी ने 5 लाख रूपए की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। रिश्वत की यह राशि परिवादी से उसकी रजिस्टर्ड फर्म के खिलाफ आईटी एक्ट में मुकदमा दर्ज नहीं करने की एवज में ली गई थी। परिवादी से 50 लाख रुपए की रिश्वत की मांग की जो 45 लाख रूपय में तय हुआ जिसकी पहली किस्त आज SI बबीता द्वारा 5 लाख रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया।
एसीबी के SP नवरत्न वर्मा ने यह कार्रवाई की है। उन्होंने बताया कि बिटकॉइन के लेनदेन को लेकर एक फर्म के खिलाफ मामला नहीं दर्ज नहीं करने की एवज में यह रिश्वत ली गई थी। ACB आईजी सचिन मित्तल के निर्देश पर बड़ी कार्यवाही को अंजाम दिया गया है। थाने के बाहर ही बने चस्का रेस्टोरेंट में ASP नवरतन वर्मा ने यह कार्यवाही।

Karunanidhi passes away

 

 

 

In the passing of DMK president Muthuvel Karunanidhi at the age of 94 after a prolonged illness, Tamil Nadu has lost one of the tallest leaders of the Dravidian movement and the nation a veteran politician who brought regional parties to the national stage to usher in a coalition era and thereby realised his long-term goal of federalism at the Centre and autonomy at the state-level.

In a public life spanning over seven decades, Karunanidhi dominated the political scene in Tamil Nadu. He served as chief minister for five terms, though only some lasted the full term. If Kamaraj was acclaimed as the cleanest leader the country had seen who had an unbroken stint of nine years as chief minister, DMK founder CN Annadurai had the record of having brought the party to power in the third election it faced in 1967,

a file photo of the ailing leader

But Annadurai remained chief minister only for a year as he died in February 1969 after bringing the Congress rule in the state to an end in 1967. Karunanidhi, who succeeded Annadurai and pipped senior rivals to the post, took over the leadership of the party on 26 July, 1969. And Karunanidhi’s health turned critical as his leadership of the party entered the 50th year.

While Karunanidhi led the party in good times and bad, his tenures as chief minister were marked by controversies. He had the dubious distinction of his ministry having been dismissed twice: in January 1976 and again in January 1991.

For all that, Karunanidhi’s decision to go in for simultaneous elections to the state Assembly, along with the Lok Sabha polls in 1971 that Indira opted for, paid handsome dividends for him. While Indira swept to power at the national level, DMK under Karunanidhi won 184 out of 234 Assembly seats, a record neither his successor MGR nor Jayalalithaa could break. The brute majority that the DMK got saw Karunanidhi rule with an iron fist and seeking to crush MGR’s fledgling AIADMK. But it only rebounded on him and forced him into political exile for almost 13 years.Karunanidhi, though known as a wily politician, made tactical blunders. For instance, it was matinee idol MG Ramachandran who helped Karunanidhi become chief minister after the passing of Annadurai in 1969 and yet Karunanidhi forced MGR out of the party in 1972 because he saw him as a threat. And MGR, who had no serious political ambitions till his expulsion from the DMK, formed the AIADMK and captured power in 1977. And ruled till his death in December 1987.

When Indira dismissed his government in 1976, Karunanidhi turned virulently against her. And yet, after the Janata government collapsed and she was seen to be on the comeback trail in 1980, he renewed his alliance with her, principles be damned. The 1980 Lok Sabha elections saw the AIADMK trounced in the state. And on the strength of that, Karunanidhi got the MGR government dismissed by Indira. The people brought MGR back to power and it was this vicious streak in him that made MGR call him “an evil force”, an impression that got stuck in the minds of the people.

Karunanidhi’s tenure from 1971 to ’76 was also marked by what Sarkaria Commission called “scientific corruption”. It was a different matter that what Karunanidhi started in lakhs, MGR took to crores and Jayalalithaa to multi-crores. People condoned MGR’s corruption because of his legendary philanthropic disposition. Jayalalithaa’s corruption caught up with her only at the fag end of her career with a special Bengaluru court convicting her. But the corruption stigma refused to leave Karunanidhi.

With such mass leaders, the narrative politics in Tamil Nadu became personality-oriented. So people had to choose: MGR or Karunanidhi and later Jayalalithaa or Karunanidhi. As long as MGR lived, he reigned. After his passing, people never gave a second term either to Karunanidhi or Jayalalithaa. This made the two leaders feel that regardless of what good they do for the people, they vote for change. So, why not loot and scoot?

Another major stigma attached to Karunanidhi was promotion of family rule. Though MGR also groomed Jayalalithaa, it was not on a scale Karunanidhi did with his family members. When the AIADMK-Congress alliance swept the Lok Sabha elections in Tamil Nadu, Rajiv Gandhi lost at the national level. VP Singh, who was voted to power, asked Karunanidhi to nominate a minister and he promptly picked his nephew Murasoli Maran.

The same story was repeated when Karunanidhi gave 40 Lok Sabha seats on a platter to Sonia in 2004 and as a reward, she gave him 15 berths in UPA-I. And so, key portfolios went to Dayanidhi Maran, A Raja and TR Balu. It was the corruption of the DMK nominees which brought disrepute to the UPA regime.

Karunanidhi’s last term as chief minister (2006-2011) was a repeat of his earlier tenure (1971-1976), except the family members controlled every field and corruption was everywhere, but there was no violence, unlike before. It was this revulsion which enabled Jayalalithaa to secure a second consecutive term in 2016, though Stalin won nearly 90 seats. As Karunanidhi was around, he was naturally projected as chief minister if the DMK was voted to power and this went against Stalin.

After Kamaraj and Annadurai, it was Karunanidhi who had a wide circle of friends at the national level. Earlier, his national politics was rooted in anti-Congress-ism after Indira dismissed a series of state governments starting with Farooq Abdullah’s, extending to NT Rama Rao’s and ending with DMK’s D Ramachandran in Puducherry.

And as a reaction to that the National Front was born in Chennai thanks to Karunanidhi, with VP Singh, Rama Rao and other national leaders including Atal Bihari Vajpayee addressing a massive rally.

It led to the National Front government between 1989 and 1990. The DMK under Karunanidhi was a key partner in the United Front government in 1996. While both proved to be short-lived, Karunanidhi thereafter gave up his opposition to the BJP and joined the NDA under Vajpayee, calling him “the right man in the wrong party”.

The DMK enjoyed power at the Centre from 1999 to 2004 when Karunanidhi pulled out his party to go with Sonia as part of the UPA, which ruled for ten years from 2004. Such was his clout with Sonia that he refused to share power with the Congress at the state level, though he led a minority government from 2006 to 2011.

Politics apart, Karunanidhi was credited with social reforms he brought about such as reservation for the Other Backward Classes, equal share in property for women and enactment of a law to make men from all castes priests in Hindu temples.

In the ultimate analysis, Karunanidhi was the kind of man you could hate or love, but could not ignore.

Click here to follow news updates on Karunanidhi’s demise.

Chandigarh Theater Festival 2018

News & Photo by Rakesh Shah

Impact Arts(Regd.) is organising its annual theatre festival Shaguffe 2018. It is going to be a 3 day long theatre festival in which 3 different plays will be showcased by the team.

Day 1 – 7th August 2018

Play : JAB ROSHNI HOTI HAI
Written by : Jean Paul Sartre
Adapted by : Sh. Parmanand Shastri
Directed by : Baninderjit Singh Bunny

Day 2 : 8th August 2018

Play : HIND DI CHADHAR
Written by : Ravinder Singh Sodhi
Directed by : Baninderjit Singh Bunny

Day 3 : 9th August 2018

Play : EIK AUR DURGHATNA
Written by : Dario Fo
Adapted by : Amitabh Shrivastva
Directed by : Baninderjit Singh Bunny

The play will start at 6:30 pm. Come and grab your seats.
Entry is free as always.