आज गुरुद्वारा मंजी साहिब पिंजोर में शिरोमणि अकाली दल पंचकूला की ओर शिरोमणि गुरू द्वारा प्रबंधक कमेटी की बैठी हुई जिसमें शिरोमणि अकाली दल पंचकूला के जिलाध्यक्ष मलविंदर सिंह बेदी ने बताया कि 10 जनवरी को आ रहे श्री गुरु गोविंद सिंह जी महाराज के गुरुपरव के उपलक्ष में गुरूद्वारा नाढा साहब से सुबह 9 बजे हर वर्ष की तरह एक महान नगर कीर्तन शुरू होकर पंचकूला के विभिन्न क्षेत्रों से जैसे कि माजरी चौक सेक्टर 2 ,4 ,11,12,14,15,9,8,7 में से सैकड़ों गाडीयों के साथ गुजरता हुआ वापिस माजरी चौक से होता हुआ शाम को करीब 6:00 बजे गुरुद्वारा नाडा साहिब वापस पहुंचेगा इस नगर कीर्तन में जहाज से फूलों की वर्षा की जाएगी गतका पार्टियां अपना जौहर दिखाएगी फौजी बैंड ,ब्रास बैंड , कीर्तन शब्द की धूनी बजाएंगे रास्ते में विभिन्न मार्केटौं द्वारा प्रबंधक कमेटियों द्वारा धर्मशाला ओं ओर गुरुद्वारों द्वारा जगह-जगह पर लंगर लगाए जाएंगे लंगर की जगह को साफ करने के लिए विशेष तोर पर इंतजाम किया गया है नगर कीर्तन के साथ चिकित्सा के लिए एक एंबुलेंस भी चलेगी नगर कीर्तन में सेवादारों के साथ साथ हरियाणा ट्रैफिक पुलिस भी ट्रैफिक को नियंत्रण करने के लिए सहयोग करेगी नाढा साहब के हैड ग्रंथी ज्ञानी जगजीत सिंह ने कहा कि हमारी प्रेस के माध्यम से युवा वर्ग से विनती है कि वह मोटरसाइकिल के पटाखे न बजाऐ और ना ही किसी तरह का हुड़दंग मचाए नाढा साहब के मैनेजर भाई जागीर सिंह ने बताया कि यह नगर कीर्तन हरियाणा का सबसे बड़ा नगर कीर्तन है सभी धर्मों के श्रद्धालु इसमें हिस्सा लेते हैं और मेरी सभी ट्राई सिटी निवासीयों से अपील है कि नगर कीर्तन बढ चढ के हिस्सा लें गुरु गोविंद सिंह जी गुरपूर्व की शोभा बढ़ाएं ओर आशीर्वाद प्राप्त करें ।शिरोमणि अकाली दल पंचकूला के उप प्रधान दलजीत सिंह मरड ने बताया कि गुरुपरव के उपलक्ष्य में 13 जनवरी को गुरूद्वारा नाढा साहब को इम्पोर्ट के फूलों ओर लाईटों से सजाया जाएगा ।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/gurdwara-nada-sahib-all-decked-up-on-the-eve-of-baisakhi-in-panchkula.jpg394530Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-10 02:33:572019-01-10 02:34:00गुरु पर्व के उपलक्ष्य में नगर कीर्तन की तैयारी
10 जनवरी 2019: आज आप अपने कैरियर को निखारने के लिए डिग्री व डिप्लोमा के कोर्स में नामांकन हेतु सोचेंगे। किन्तु अंतिम रूप देने में कठिनाई बनी होगी। स्वास्थ्य के लिहाज से आज का दिन सामान्य होगा। प्रेम संबंधों में आज आनंद की स्थिति होगी। जिससे आपके उत्साह में वृद्धि होगी। भाई के साथ तनाव होगे।
10 जनवरी 2019: आज आप अपने कल की चिंता में लगे हुए दिखेंगे। आप अपने कल को बेहतर करने के उपायों के तौर पर कुछ करना चाहेंगे। जिसके लिए आज अवसर बने हुए है। किन्तु नौकरी के क्षेत्रों में आज चुनौती उभरने से आपका समय उसी में निकल जायेगा। प्रेम संबंधों में सामान्य स्थिति बनी होगी।
10 जनवरी 2019: आज आप अपनी फिटनेस के प्रति अधिक सजग होगे। आप देखेंगे कि काम का दवाब तो बना हुआ है। जिसे करने की सख्त जरूरत है। किन्तु बढ़ते हुए दवाब को आप झेलते हुए उकता कर अपने सेहत के प्रति अधिक ध्यान देगे। प्रेम संबंधों में आज कोई साख मधुरता नहीं होगी। जिससे आपको लगेगा कि साथी की दिलचस्पी कम है।
10 जनवरी 2019: आज आप व्यवसाय को जहाँ सामान्य रखने में कामयाब होगे। वहीं कुछ नए उपायों को जोड़ने की क्षमताएं होगी। जिससे आप अपने कामों में अधिक सक्रिय होगे। वैसे आाजीविका के लिहाज से आज का दिन अच्छा होगा। भूमि विवादों में कल की चिंता से आज का समय खराब होगा। अतः जरूरी निर्णय लेना होगा।
10 जनवरी 2019: आप आज अपने किसी निकट के रिश्तेदार की मद्द हेतु जाना चाहेंगे। किन्तु नौकरी के क्षेत्र में बढ़ रही जिम्मेदारी के कारण आप कुछ परेशान से रहेंगे। यद्यपि आप संस्था के प्रमुख से मिलने के लिए सोचेंगे। किन्तु आज वह आपको समय नहीं दे पाएंगे। स्वास्थ्य पूरी तरह ठीक नहीं होगा। आपको कुछ इलाज करवाना पड़ सकता है।
10 जनवरी 2019: आज आप अपने घर व परिवार के सुखों को और बढ़ाने के लिए आशान्वित होगे। आप देखेंगे कि आज व्यवसाय के क्षेत्रों में किए गए प्रयास सफलता में बदल रहे है। जिससे आपके हौसले बुलंद हो चले है। वैसे किसी अच्छे व्यक्ति से मित्रता का लाभ होगा। आज ऋण संबंधों में विवाद गहरा सकते है। क्योंकि किसी तथ्य मे चूक होगी।
10 जनवरी 2019: आज आप अपने व्यवसाय के प्रयासों को सफलता में बदलते देखकर और उत्साहित होगे। जिससे आपको नए व प्रभावी निर्णय लेने में सफलता होगी। स्वास्थ्य पहले की तुलना में अच्छा होगा। भौतिक सुख के साधनों को जुटाने का आज अच्छा मौका होगा। प्रेम संबंध मधुरता से युक्त होगे। समाजिक प्रतिष्ठा मे कमी होगी।
10 जनवरी 2019: आज आप जीवन स्तर को बढ़िया बनाने के लिए कुछ सोचेंगे भी और कुछ तत्कालिक उपायों को भी करना चाहेंगे। किन्तु वह अधिक कारगर नहीं होगे। जिससे आपके प्रयासों में संघर्ष की स्थिति और जुटती होगी। आपको रक्त चाप व सांस संबंधी पीड़ाओं से दो-चार होना पड़ सकता है। और दवाई भी खाना पड़ सकता है।
10 जनवरी 2019: आज आप अपने नौकरी पेशा के जीवन में बातों को अधिक स्पष्ट व कारगर ढंग से कह देंगे। जिससे आपको उसका लाभ होगा। किन्तु ग्राहकों के प्रति आप कुछ उदार होते हुए सेवा भाव प्रकट कर सकते हैं। वैसे आज आय कम, किन्तु व्यय अधिक होने की स्थिति होगी। जिससे आप परेशान होगे। प्रेम संबंधों में तनाव होगे।
10 जनवरी 2019: आज का दिन आपके वैवाहिक जीवन की खुशियों को बढ़ाने वाला होगा। किन्तु आप काम के चलते परिवार के साथ अधिक समय नहीं देगे। जिससे आपको अधिक चिंता होगी। सेहत के लिए आज का दिन उपयुक्त होगा। प्रेम संबंधों में आज साथी से आप अपने मन की बातों को बताना चाहेंगे। स्वास्थ्य में पीड़ाएं होगी।
10 जनवरी 2019: आज आप अपने अधीनस्थ कर्मचारियों के बढ़े हुए वेतन का निर्धारण कर देंगे। जिसका फायदा उनकी कार्य क्षमताओं पर होगा। स्वास्थ्य में आज गुप्तांगों की पीड़ाए व कब्ज की स्थिति और तेज होगी। जिसके लिए आपको किसी अस्पताल तक जाना पड़ सकता है। आज आय कम किन्तु व्यय अधिक होने की स्थिति होगी।
10 जनवरी 2019: आज आप अपने ज्ञान को और अधिक प्रखर बनाने के लिए कुछ विषयों में अध्ययन को तेज कर देंगे। यदि आप शादी-शुदा हैं, तो आज आपको जीवन साथी के साथ प्रिय संवादों का लाभ होगा। संतान पक्ष की तरफ से कोई खुशी का समाचार प्राप्त होगा। आज आपकी आमदनी और बढ़िया होगी।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/12/Hindu-Panchang-1.jpg388997Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-10 02:26:112019-01-10 02:26:13आज का राशिफल
विशेषः आज दक्षिण दिशा की यात्रा न करें। अति आवश्यक होने पर गुरूवार को दही पूरी खाकर और माथे में पीला चंदन केसर के साथ लगाये और इन्हीं वस्तुओं का दान योग्य ब्रह्मण को देकर यात्रा करें।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/12/rashifal.jpg476715Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-10 02:04:402019-01-10 02:04:42आज का पांचांग
आरजेडी की तरफ से नेताओं के बयान के साथ-साथ आरजेडी की तरफ से आ रहे ट्वीट में भी गरीब सवर्णों को आरक्षण के मुद्दे पर तल्खी दिख रही है.
देर रात तक चली बहस और वोटिंग के बाद गरीब सवर्णों को दस फीसदी
आरक्षण देने वाला बिल लोकसभा से पारित हो गया. कई पार्टियों ने इस बिल के खिलाफ
आवाज भी उठाई लेकिन इसके विरोध में सबसे ज्यादा खुलकर आई लालू यादव की पार्टी
आरजेडी, जिसने
लोकसभा में बिल का विरोध किया.
गरीब
सवर्णों के लिए सरकारी नौकरी और शैक्षणिक संस्थाओं में दस फीसदी आरक्षण के मुद्दे
पर आरजेडी का स्टैंड पहले ही ऐसा दिख रहा था, जब बिहार विधानसभा में नेता
प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने इस मुद्दे पर अपने त्वरित बयान में कहा, ‘जब 15 फीसदी आबादी वालों को 10 फीसदी आरक्षण देने की बात की जा रही
है तो 85 फीसदी
आबादी वालों को 90 फीसदी
आरक्षण दिया जाए.’
राज्यसभा में बिल पेश होने से पहले अपने नेता की उसी बात को आगे बढ़ाते हुए
राज्यसभा सांसद मनोज झा ने कहा, ‘यह मध्य रात्रि की डकैती है और यह संविधान की मूल ढांचे के साथ
छेड़छाड़ हो रही है.’
आरजेडी का
खुला विरोध!
आरजेडी की
तरफ से नेताओं के बयान के साथ-साथ आरजेडी की तरफ से आ रहे ट्वीट में भी गरीब
सवर्णों को आरक्षण के मुद्दे पर तल्खी दिख रही है. आरजेडी की तरफ से ट्वीट के
माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा गया. ट्वीट में लिखा गया कि ‘सवर्ण पैदा हुए मोदी ने पहले
गुजरात में अपनी जाति को पिछड़ा बनाया फिर 2014 में खुद की जाति के नाम पर
दलित-पिछड़ों को मूर्ख बना कर खूब वोट लूटा!’
इस ट्वीट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर अब असली मनुवादी
रंग दिखाने का आरोप लगाया गया है. आरजेडी की तरफ से यह दिखाने की कोशिश की गई है
कि सवर्ण तबके में महज 5 फीसदी ही
गरीब हैं, लिहाजा, उन्हें 10 फीसदी आरक्षण का लाभ देकर बहुजन
समाज के लोगों के साथ नाइंसाफी हुई है.
आरजेडी के
दूसरे ट्वीट में केंद्र सरकार से जातीय जनगणना की रिपोर्ट को जल्द से जल्द
सार्वजनिक करने की मांग की गई है जिसके बाद उनकी संख्या के हिसाब से आरक्षण में
हिस्सेदारी तय की जा सके.
बिल का विरोध कर मिलेगा सियासी
फायदा?
सवाल है कि
आखिरकार आरजेडी इस तरह बिल का विरोध क्यों कर रही है. दरअसल, आरजेडी को लग रहा है कि इस बिल का
विरोध करने पर उसे दलित और पिछड़े समुदाय के उन सभी लोगों की सहानुभूति मिल जाएगी, जो अबतक आरक्षण का लाभ उठा रहे
हैं. आरजेडी की रणनीति एक बार फिर से मंडल के दौर को याद कर उस पर आगे बढ़ने की
है.
मंडल कमीशन
की रिपोर्ट लागू होने के बाद जब पिछड़ी जातियों को भी आरक्षण के दायरे में लाया
गया तो इसका जमकर विरोध हुआ था. उस वक्त दलित-पिछड़े और आरक्षण का लाभ मिलने वाली
जातियों और सवर्ण जातियों के बीच जातीय गोलबंदी चरम पर थी. इसी गोलबंदी का फायदा
उठाकर लालू यादव औऱ मुलायम सिंह यादव जैसे पिछड़े समुदाय से आने वाले नेताओं ने
अपनी राजनीतिक जमीन काफी मजबूत कर ली, जिसकी फसल आजतक काट रहे हैं.
पुराने चश्मे
से आज की सियासत देखना पड़ सकता है भारी!
नब्बे के
दशक में बिहार में लालू यादव और उनकी पार्टी का जनाधार इतना मजबूत था कि उस वक्त
लालू यादव की सरकार को हटाना काफी दूर की कौडी लग रहा था, लेकिन, अब गंगा में काफी पानी बह चुका
है.
अपने पिता
के जेल जाने के बाद पार्टी की कमान संभाल रहे तेजस्वी यादव को शायद इस बात का
एहसास नहीं है कि उस वक्त भी जब आरजेडी का मजबूत जनाधार था, तो भी उनकी पार्टी में जगदानंद
सिंह और रघुवंश प्रसाद सिंह जैसे सवर्ण राजपूत समुदाय के नेता उनके साथ साए की तरह
खड़े रहे. शिवानंद तिवारी भी उस वक्त पार्टी के साथ थे, एक बार फिर, तिवारी नीतीश कुमार का साथ छोड़
लालू के पाले में आ खड़े हैं.
जगदानंद सिंह और रघुवंश प्रसाद सिंह जैसे नेताओं की पार्टी में
मौजूदगी से लालू यादव के साथ कई क्षेत्रों में राजपूत समुदाय के वोटर भी जुड़े
रहे. रघुवंश प्रसाद सिंह वैशाली से लोकसभा सांसद रहे हैं, जबकि, जगदानंद सिंह बक्सर से सांसद रहे
हैं. इसके अलावा बिहार की महाराजगंज सीट से राजपूत जाति से आने वाले प्रभुनाथ सिंह
भी लालू यादव के साथ कुछ साल पहले आ गए हैं. उस वक्त 85 बनाम 15 का नारा देकर अगड़े-पिछड़े के नाम
पर वोट लेने वाले नेताओं की टोली में इन बड़े राजपूत नेताओं की मौजूदगी सियासी
कुनबे में उस खालीपन को खत्म कर रही थी.
यहां तक कि
सवर्ण समुदाय से आने वाले भूमिहार जाति के अखिलेश प्रसाद सिंह पहले विधायक बनने के
बाद आरजेडी सरकार में मंत्री रहे और बाद में बिहार के मोतिहारी से लोकसभा चुनाव
जीतकर यूपीए-1 सरकार में
मंत्री बनाए गए. आज अखिलेश प्रसाद सिंह आरजेडी से बाहर होकर कांग्रेस के साथ खड़े
हैं. फिर भी, लालू यादव
की पार्टी में एक वक्त अखिलेश प्रसाद सिंह सवर्ण चेहरे के तौर पर सामने थे.
लेकिन, अब आरजेडी का गरीब सवर्णों के
आरक्षण का विरोध करना यह दिखा रहा है कि वो फिर से नब्बे के दशक के हिसाब से
पुराने ढर्रे पर ही राजनीति करना चाहती है. लेकिन, आरजेडी आलाकमान को यह समझन होगा
कि उस वक्त और आज के वक्त में जमीन-आसमान का फर्क है.
हालांकि
फ़र्स्टपोस्ट से बातचीत में आरजेडी नेता शिवानंद तिवारी कहते हैं, ‘हम इस बिल का समर्थन करते हैं
लेकिन, हमारी मांग
है कि जब 50 फीसदी की
सीमा को बढ़ा रहे हैं तो फिर सबकी हिस्सेदारी उनकी आबादी के हिसाब से तय की जाए.’ उनकी मांग है कि ‘पहले जातीय जनगणना के आंकड़े को
प्रकाशित किया जाए, फिर, उसके आधार पर आरक्षण लागू किया
जाए. जब 15 फीसदी
आबादी वालों को 10 फीसदी
आरक्षण दिया जा रहा है तो 85 फीसदी
वालों को 90 फीसदी कर
देना चाहिए.’
आरजेडी के
जनाधार में भी हुआ है बिखराव
85
बनाम 15 की उस वक्त बात करने वाले नेताओं
में से आज बहुत सारे ऐसे हैं जिनका जनाधार उसी 85 फीसदी वोट बैंक से ही निकला है.
नीतीश कुमार ने आरजेडी के पिछड़े वोट बैंक में सेंधमारी कर अपनी अलग राजनीतिक जमीन
तैयार कर ली है, जबकि, रामविलास पासवान दलित वोट बैंक के
सबसे बड़े दावेदार बन गए हैं. लिहाजा, लालू यादव और उनके बेटे तेजस्वी
यादव की रणनीति उनकी अपनी संभावनाओं पर पलीता लगा सकती है.
कांग्रेस
गरीब सवर्णो के आरक्षण के मुद्दे पर विरोध नहीं कर पा रही है. मजबूर कांग्रेस ने
इस मुद्दे पर सरकार का साथ दे दिया है. दूसरी तरफ, आरजेडी की सहयोगी आरएलएसपी की तरफ
से भी बिल का समर्थन कर दिया गया है. भले ही आरएलएसपी न्यायपालिका और प्राइवेट
सेक्टर में आरक्षण की मांग ही क्यों न कर रही हो.
मुसीबत में
आरजेडी के सहयोगी
आरजेडी का
खुलकर विरोध में उतर आना बिहार में महागठबंधन के उसके सहयोगियों पर भारी पड़ सकता
है. कांग्रेस का वोट बैंक सवर्ण तबका ही रहा है. ऐसे में उसे परेशानी हो सकती है.
गौरतलब है कि पिछले विधानसभा चुनाव 2015 में कांग्रेस के 27 विधायक चुनकर आए थे, जिसमें 12 सवर्ण समुदाय के ही थे. ऐसे में
मुश्किल कांग्रेस को हो सकती है.
हालांकि
बिहार कांग्रेस के नेता आरजेडी के रुख से इत्तेफाक नहीं रखते हैं. फ़र्स्टपोस्ट से
बातचीत में बिहार कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष समीर सिंह का कहना है, ‘जनता इस बात को समझती है, लिहाजा कोई परेशानी कांग्रेस को
नहीं होगी.’ उनका कहना
है, ‘जनता जानती
है कि आरजेडी-कांग्रेस दोनों का चरित्र और संस्कार अलग है. केवल सेक्युलरिज्म के
नाम पर हम एक हो जाते हैं. गरीब सवर्णों के आरक्षण का मुद्दा तो कांग्रेस ने ही
सबसे पहले उठाया था, जिसकी
बीजपी नकल कर रही है.’
2015 की कहानी दोहरा पाएगी आरजेडी?
आरजेडी की
रणनीति को समझने के लिए पिछले विधानसभा चुनाव के गणित और समीकरण को समझना होगा.
पिछले विधानसभा चुनाव में जेडीयू और कांग्रेस की तरफ से सवर्ण तबके के उम्मीदवारों
को तरजीह दी गई थी. लेकिन, आरजेडी की
तरफ से उनको कम सीटें दी गई थी.
आरजेडी ने
एक ब्राह्मण, एक कायस्थ
और तीन राजपूत जाति के उम्मीदवार मैदान में उतारे थे. जिनमें ब्राह्मण और दो
राजपूत उम्मीदवारों की जीत हुई. लेकिन, एक खास रणनीति के तहत आरजेडी ने
भूमिहार समुदाय के किसी भी व्यक्ति को उम्मीदवार नहीं बनाया था. चुनाव से ठीक पहले
भूमिहार जाति से आने वाले बाहुबली अनंत सिंह की गिरफ्तारी को आरजेडी की तरफ से एक
संकेत और संदेश के तौर पर प्रसारित किया गया. एक भी भूमिहार को टिकट न देकर लालू
यादव ने फिर से पुराने दौर की याद दिलाकर अगड़ा बनाम पिछड़ा की राजनीति को ही धार
देने की कोशिश की.
विधानसभा
चुनाव में उस वक्त जेडीयू, आरजेडी और
कांग्रेस के महागठबंधन में नीतीश कुमार का चेहरा सामने किया गया जिसका सीधा फायदा
महागठबंधन को हुआ, महागठंबधन
में नीतीश कुमार के साथ मिलकर लालू यादव ने जो सामाजिक समीकरण तैयार किया उसमें
पिछड़ी-अतिपिछड़ी जातियों के अलावा दलित-महादलित भी काफी हद तक उनके साथ आ गए.
विधानसभा चुनाव में आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की तरफ से सवर्ण तबके के
बजाए सभी पिछड़ों-दलितों की बात जोर-शोर से उठाई गई.
चुनाव के ठीक पहले आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत का आरक्षण पर दिया
गया बयान और उसको प्रचारित करने की लालू यादव की कोशिश का ही कमाल रहा कि उस वक्त
आरजेडी फिर से बिहार में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभर गई. अब एक बार फिर कुछ उसी तरह
की कोशिश आरजेडी कर रही है.
उसे यह
कोशिश भारी पड़ सकती है, क्योंकि, इससे न केवल उसको वोट करने वाले
सवर्ण वोटर नाराज होंगे बल्कि, सामान्य वर्ग के गरीब तबकों को मिलने वाले आरक्षण के दायरे में
आने वाले मुस्लिम समुदाय के भी वोटर भी खफा हो सकते हैं.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/lalu_555_1515313585_618x347.jpeg347618Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 18:57:582019-01-09 18:58:0110% कोटा बिल पर लालू के विरोध के क्या मायने
इससे पहले सदन ने विपक्ष द्वारा लाए गए संशोधनों को मत विभाजन के बाद नामंजूर कर दिया. लोकसभा ने इस विधेयक को कल ही मंजूरी दी थी जहां मतदान में तीन सदस्यों ने इसके विरोध में मत दिया था.
नई दिल्ली :सामान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को शिक्षा एवं रोजगार में 10 प्रतिशत आरक्षण देने के प्रावधान वाले ऐतिहासिक संविधान संशोधन विधेयक को बुधवार को संसद की मंजूरी मिल गई. राज्यसभा ने करीब 10 घंटे तक चली बैठक के बाद संविधान (124 वां संशोधन), 2019 विधेयक को सात के मुकाबले 165 मतों से मंजूरी दे दी. इससे पहले सदन ने विपक्ष द्वारा लाए गए संशोधनों को मत विभाजन के बाद नामंजूर कर दिया. लोकसभा ने इस विधेयक को कल ही मंजूरी दी थी जहां मतदान में तीन सदस्यों ने इसके विरोध में मत दिया था.
उच्च सदन
में विपक्ष सहित लगभग सभी दलों ने इस विधेयक का समर्थन किया. कुछ विपक्षी दलों ने
इस विधेयक को लोकसभा चुनाव से कुछ पहले लाये जाने को लेकर सरकार की मंशा तथा इस
विधेयक के न्यायिक समीक्षा में टिक पाने को लेकर आशंका जतायी। हालांकि सरकार ने
दावा किया कि कानून बनने के बाद यह न्यायिक समीक्षा की अग्निपरीक्षा में भी खरा
उतरेगा क्योंकि इसे संविधान संशोधन के जरिये लाया गया है.
केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री
थावर चंद गहलोत ने विधेयक पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए इसे सरकार का एक ऐतिहासिक
कदम बताया. उन्होंने कांग्रेस सहित विपक्षी दलों से यह पूछा कि जब उन्होंने
सामान्य वर्ग को आर्थिक आधार पर आरक्षण दिये जाने का अपने घोषणापत्र में वादा किया
था तो वह वादा किस आधार पर किया गया था. क्या उन्हें यह नहीं मालूम था कि ऐसे किसी
कदम को अदालत में चुनौती दी जा सकती है.
उन्होंने कहा कि यह हमारी संस्कृति की विशेषता है कि जहां प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने एससी और एसटी को आरक्षण दिया वहीं पिछड़े वर्ग से आने वाले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सामान्य वर्ग को आरक्षण देने की यह पहल की है. उन्होंने एसटी, एससी एवं ओबीसी आरक्षण को लेकर कई दलों के सदस्यों की आशंकाओं को निराधार और असत्य बताते हुए कहा कि उनके 49.5 प्रतिशत से कोई छेड़छाड़ नहीं की जा रही है. वह बरकरार रहेगा. विधेयक को प्रवर समिति में भेजने के द्रमुक सदस्य कनिमोई सहित कुछ विपक्षी दलों के प्रस्ताव को सदन ने 18 के मुकाबले 155 मतों से खारिज कर दिया.
इससे पहले
विधेयक पर हुई चर्चा में कांग्रेस सहित विभिन्न विपक्षी दलों द्वारा इस विधेयक का
समर्थन करने के बावजूद न्यायिक समीक्षा में इसके टिक पाने की आशंका जतायी गयी और
पूर्व में पी वी नरसिंह राव सरकार द्वारा इस संबंध में लाये गये कदम की मिसाल दी
गयी. कई विपक्षी दलों का आरोप था कि सरकार इस विधेयक को लोकसभा चुनावों को ध्यान
में रखकर लायी है. अन्नाद्रमुक सदस्यों ने इस विधेयक को ‘‘असंवैधानिक’’ बताते हुये सदन से बहिर्गमन किया.
विधेयक पर
हुयी चर्चा में भाग लेते हुए कांग्रेस के उपनेता आनंद शर्मा ने सवाल किया कि ऐसी
क्या बात हुयी कि यह विधेयक अभी लाना पड़ा? उन्होंने कहा कि पिछले दिनों तीन
राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में हार के बाद सरकार ने यह कदम उठाया है. उन्होंने कहा कि इन विधानसभा
चुनावों में हार के बाद संदेश मिला कि वे ठीक काम नहीं कर रहे हैं.
चर्चा में
हस्तक्षेप करते हुए कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने आर्थिक आधार पर सामान्य वर्ग
को आरक्षण देने के मोदी सरकार के फैसले को मैच जिताने वाला छक्का बताते हुये कहा
कि अभी इस मैच में विकास से जुड़े और भी छक्के देखने को मिलेंगे। प्रसाद ने इस
फैसले को ऐतिहासिक बताते हुये कहा कि सरकार ने यह साहसिक फैसला समाज के सभी वर्गों
को विकास की मुख्य धारा में समान रूप से शामिल करने के लिये किया है. उन्होंने इस
विधेयक के न्यायिक समीक्षा में नहीं टिक पाने की विपक्ष की आशंकाओं को निर्मूल
बताते हुए कहा कि आरक्षण पर 50 प्रतिशत की सीमा संविधान में नहीं लगायी गयी है. उच्चतम
न्यायालय ने यह सीमा सिर्फ पिछड़े वर्ग और अनुसूचित जाति एवं जनजाति समूहों के
लिये तय की है.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/67460001.jpg328400Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 18:28:072019-01-09 18:28:10165/172 स्वर्ण कोटा बिल पास
Today all roads were leading to Roadies at Indradhanush in Panchkula.
The day was shining with the hope from all around. Guys & Demsels from all around the northern region of India were in Panchkula. It was like as if who is not in Panchkula is not in North India.
The show was at its prime in side the ” Indradhanush” but a cub (Purnoor) was roaring outside looking wildly for her prey who on the other hand were having fire in their belly and ready to mingle at single tingle any where ‘That is Roadies’.
The first
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/022.jpg34564608Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 17:30:252019-01-09 18:59:01Roadies in Panchkula when Demokraticfront.com met few contestants
Upcoming Roadies are all set to take up the challenges with a bang on MTV in more Bigger and Bolder reality show. The show is meant to awaken the real hero from within through real life stories of courage and bravery and earned honour, says Ranvijay the host of the show
Ranvijay while talking to scribes here said,” from being a contestant and winner to a host to a winning gang leader and a host again. Roadies has come for a full circle for me. Yet every season throws up a new challenge and intrigues me more. This time, i m hoping to meet the same dynamic contestants who have ability to tackle what comes their way and surge ahead.”
Bold and beautiful poised and two times winner Neha Dhupia is in the township with her little fairy Mehar. This time also she is determined to clinch the title.
Real life warrior Sandeep Singh will lock horns with Prince Narula . Sandeep while talking to https://www.demokraticfront.com Sandeep said that he believes in tit for tat.
Singer Raftaar and seasoned Nikhil Chinnapa are here to spruce up the fight.
Roadies is too close to prince’s heart as it brings out the best physical and mental strenght this time he will emerge stronger than before. Nikhil this time the idea is to level up the contest and see who crosses the line first.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/063.jpg34564608Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 17:05:242019-01-09 18:58:35Roadies in Panchkula
नई दिल्ली: तृणमूल कांग्रेस सांसद सौमित्र खान ने लोकसभा चुनाव के लिए पश्चिम बंगाल में बीजेपी के अभियान को बल देते हुए बुधवार को भगवा पार्टी का दामन थाम लिया. खान भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के साथ मुलाकात करने के बाद एक संवाददाता सम्मेलन में पार्टी में शामिल हो गए. इस मौके पर केंद्रीय मंत्री धर्मेद्र प्रधान व पश्चिम बंगाल के नेता मुकुल रॉय भी मौजूद थे. सौमित्र खान 2014 में 16वीं लोकसभा के लिए निर्वाचित हुए थे. वह विष्णुपुर निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते हैं. विष्णुपुर से लोकसभा सांसद सौमित्र खान भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के साथ मुलाकात के बाद उनके पार्टी में शामिल होने की घोषणा संवाददाता सम्मेलन में की. सौमित्र ने कहा था कि वे पीएम मोदी के साथ काम करना चाहते हैं। वहीं पश्चिम बंगाल में टीएमसी के शकील अंसारी सहित सैकड़ों अल्पसंख्यक नेता कांग्रेस में शामिल हो गए। इससे बीजेपी को आगामी लोकसभा चुनाव में पश्चिम बंगाल में अभियान में मजबूती मिली है.
तृणमूल कांग्रेस ने बोलापुर से सांसद अनुपम हाजरा को पार्टी से सस्पेंड कर दिया है। टीएमसी के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा है कि अनुपम हाजरा को ऐसी गतिविधियों में पाया गया है जो पार्टी की विचारधारा से मेल नहीं खाती है। इसलिए पार्टी ने उन्हें सस्पेंड करने का फैसला किया है।
बता दें कि हाजरा पश्चिम बंगला के शांति नेकतन में विश्व भारती विश्वविद्यालय में प्रोफेसर थे। इसके बाद उन्होंने साल 2014 में तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर बोलापुर से चुनाव लड़ा और सांसद बन गए। लेकिन अब पार्टी ने उन्हें निलंबति करने का फैसला किया है। ऐसे में लोकसभा चुनाव 2019 से पहले ममता बनर्जी के लिए यह किसी दोहरे झटके से कम नहीं है।
पश्चिम बंगाल में TMC के
सामने सबसे बड़े प्रतिद्वंदी के रूप में उभरी BJP
पश्चिम बंगाल में राजनीतिक तौर जबरदस्त गहमागहमी चल रही है. पंचायत
चुनाव के समय हिंसा की व्यापक घटनाओं के साथ ही सांप्रदायिक झड़प के मामले भी
सामने भी आए हैं. मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस तथा माकपा की जगह बीजेपी ही हर
जगह सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) को चुनौती देती नजर आते दिख रही है.
इससे यह साबित हो गया है कि कांग्रेस और माकपा को पीछे छोड़ते हुए
बीजेपी सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस को चुनौती देने में मुख्य प्रतिद्वंद्वी के तौर
पर सामने खड़ी नजर आ रही है. तृणमूल कांग्रेस और बीजेपी दोनों का मानना है कि आगामी
लोकसभा चुनाव में पश्चिम बंगाल में उन्हें अच्छी कामयाबी मिलेगी. राज्य में लोकसभा
की कुल 42 सीटें हैं और दोनों पार्टियां अधिकतम सीटों पर जीत
के दावे कर रही है.
प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष ने दावा किया था कि , ‘‘बंगाल
से हम अधिकतम सीटें जीतेंगे. राज्य में हम कम से कम 26 सीटें
जीतेंगे.’’ जवाब में, टीएमसी के
राष्ट्रीय प्रवक्ता और राज्यसभा सदस्य डेरेक ओ ब्रायन ने कहा था कि 2019 के चुनाव में उनकी पार्टी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी.
अमित शाह ने राज्य की 42 लोसकभा
सीटों में कम से कम 22 सीटें जीतने का लक्ष्य तय किया है
तृणमूल कांग्रेस के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा भी कहा था कि,
‘‘बंगाल में हम अधिकतर सीटें जीतेंगे. बंगाल के लोग टीएमसी के साथ
हैं और उपचुनाव तथा ग्रामीण चुनावों में भी यह साबित हो चुका है जहां पार्टी ने
जबरदस्त जीत हासिल की.’’ ग्रामीण चुनावों में बीजेपी के
प्रदर्शन से उत्साहित पार्टी प्रमुख अमित शाह ने राज्य की 42 लोसकभा सीटों में कम से कम 22 सीटें जीतने का लक्ष्य
तय किया है. पंचायत चुनाव के दौरान भगवा पार्टी को 7,000 से
ज्यादा सीटों पर जीत मिली थी.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/110198-xwudmmipxm-1547029639.jpg6301200Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 16:40:412019-01-09 16:40:44घरेलू मैदान पर ममता दी को दोहरा झटका
Today
i.e. 09.01.2019, under the Road Safety Education Awareness Program the Team of
CTP visited Home Science girls College, Sec-10 Chd to aware the 184 NCC cadets
of different colleges of city, about traffic rules & consequences of not to
wearing the safety helmets by the females, two wheeler riders and one should
not Honk unnecessarily. Jaswinder Singh
DSP, Traffic, Col. V.K. Sheoran, S.M. Satish Singh and Girls Cadet Instructor
Kamaljeet Kaur and 14 newly inducted traffic Marshals were also present on the
occasion. During the campaign literature on Road Safety were distributed among
cadets, some CCTV captured accident videos of Chandigarh also shown during the
workshop and emphasis was made to follow the traffic rules and be safe on roads.
DSP Traffic Admin Jaswinder Singh delivered a lecture on “traffic rules &
to wear Helmet by women riders and pillion riders on two wheelers”, not to jump
Red Light and offences in which Driving licence got suspend. Insp. Sita Devi
told all the cadets about traffic signs. HC Bhupinder Singh sang a song on Road
safety to encourage the use of helmets while driving two wheelers by females.
Pledge was also taken by all to follow the traffic rules. . Col. V.K. Sheoran presented a memento to Insp.
Sita Devi and her team.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/IMG-20190109-WA0024.jpg7201280Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 14:58:172019-01-09 14:58:19Following basic road manners leads to a hassle free roads
On the intervening night of 8/9.1.19, from 11 pm to 5 am, special search operations/Roko Toko activities have been conducted/carried out in various jungle & residential areas of Chandigarh viz., Village Kajheri, Aadarsh Colony in Sec.54, New Indira Colony, Village Kishangarh, Mouli Jagran, Sector-19, Chandigarh in close supervision of ASP/South and DSP/East, Chandigarh to prevent any anti-social activities in view of forthcoming Republic Day Celebrations. During search operations, total 119 persons & 50 vehicles were rounded up and are being verified. For the purpose, around 51 copies of I/Ds of suspected persons have been procured for further verification of their antecedents. Further, 2 unclaimed vehicles i.e., M/Cycle No.PB23E7150 & Aviator No.CHOIBN9813 have also been taken into police possession under section 25 Police Act at Police Post Sector-61, Chandigarh and 5 challans against traffic violations have been issued. During this operation, tenant verification were also done and violation of DM order u/s 144 CrPC have been found where Landlords have not given necessary information of their tenants to the local police. In this regard, 3 cases have been registered under section 188 IPC against those who failed to inform local police regarding tenants/PGs residing in their premises in violation of instructions issued by the Deputy Commissioner of UT, Chandigarh. The detail of cases is as below:
FIR No.5 dated 8.1.19 u/s 188 IPC PS-19 against PG owner Gurpreet Singh S/o Inder Pal Singh R/o Kothi No.439, Sector-20/A, Chandigarh.
FIR No.5 dated 8.1.19 u/s 188 IPC, PS-MM against owner Mahender Kumar Saw S/o Bishun Saw R/o # 2449, MWT, MM, Chandigarh.
FIR No.6 dated 8.1.19 u/s 188 IPC, PS-MM against owner Gurpal Singh S/o Lt. Ralla Singh R/o # 405/3, Dera Sahib, MM, Chandigarh. Further, during search/verification operation, one tenant Nasir Ahmad Wani S/o Ghulam Mahsi Wani R/o Village Gugloosa, PO-Trehgam, District Kupwara, J&K, age-19 years was also rounded up. It was found that he had started threatening to his neighbours for disclosing his identity to police. On suspicion, his antecedents were got verified from his concerned PS in J&K & found that 2 cases have been registered against him as mentioned below:
FIR No.96 dated 19.8.16 u/s 147, 148, 149, 332, 427, 307, 336, 188 RPC, PSKarel Pora, District Kupwara, J&K
FIR No.90 dated 15.12.18 u/s 354, 323, 341 RPC, PS-Karel Pora, District Kupwara, J&K. Moreover, he also found wanted to Karel Pora Police Station of District Kupwara, J&K in case crime against woman. Accordingly, he has been arrested under section 107/151 CrPC at PS-MM, Chandigarh for further necessary prevention of crime. A case u/s 188 IPC at PS-MM has also been registered against the owner Gurpal Singh S/o Lt. Ralla Singh R/o # 405/3, Dera Sahib, MM, Chandigarh of the house of said tenant Nasir Ahmed Wani for not informing local police in violations of the Deputy Commissioner’s instructions into the matter.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2019/01/IMG-20190109-WA0011.jpg7801040Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2019-01-09 13:25:072019-01-09 13:25:09Special Search Operation / Verification
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