ED ने अरविंद केजरीवाल को 21 दिसंबर को पेश होने को कहा
दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (आआपा) के प्रमुख अरविंद केजरीवाल को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पूछताछ के लिए समन भेजा है। ईडी ने दिल्ली शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उन्हें 21 दिसंबर को पेश होने के लिए कहा है। इससे पहले 2 नवंबर को अरविंद केजरीवाल को पूछताछ के लिए ईडी ने नोटिस भेजा था, लेकिन उन्होंने नोटिस को गैरकानूनी बताकर इसे वापिस लेने की मांग की थी। केजरीवाल इसी दिन मध्य प्रदेश के विधानसभा चुनाव को लेकर रोड शो में शामिल हुए थे।
डेमोक्रेटिक फ्रंट, नयी दिल्ली – 18 दिसम्बर :
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आबकारी नीति से जुड़े धनशोधन (मनीलॉन्ड्रिंग) मामले में पूछताछ के लिए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को 21 दिसंबर को तलब किया है. एक अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आबकारी नीति से जुड़े धनशोधन मामले में पूछताछ के लिए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को फिर से नोटिस भेजा है और पूछताछ के लिए बुलाया है। जानकारी के अनुसार ईडी ने दिल्ली के मुख्यमंत्री को 21 दिसंबर को पेश होने के लिए कहा है। इससे पहले ईडी ने अरविंद केजरीवाल को पूछताछ के लिए 2 नवंबर को नोटिस भेजा था। लेकिन अरविंद केजरीवाल ने नोटिस को गैरकानूनी बताकर नोटिस वापिस लेने की मांग की थी।
दरअसल, ईडी ने अपनी चार्जशीट में कई बार अरविंद केजरीवाल के नाम का जिक्र किया है। अदालत में दायर आरोप पत्र में ईडी ने बताया कि दिल्ली आबकारी नीति 2021-22 आप के शीर्ष नेताओं द्वारा बनाई गई थी, ताकि लगातार अवैध धन कमा कर और उसे अपने पास लाया जा सके। ईडी ने दावा किया कि यह नीति अवैध और आपराधिक गतिविधियों को सुविधाजनक बनाने के लिए जानबूझकर कमियों के साथ बनाई गई थी। एजेंसी ने आरोप पत्र में आरोपियों के साथ सीएम के घर पर बैठक से लेकर वीडियो कॉल तक की घटनाओं का उल्लेख किया है।
ईडी के समन को नजरअंदाज करने से पहले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ईडी को एक जवाबी खत लिखा। इस पत्र में केजरीवाल ने कहा कि समन का नोटिस अवैध और राजनीति से प्रेरित है। नोटिस भाजपा के इशारे पर भेजा गया है। सीएम केजरीवाल ने यह भी कहा कि नोटिस यह सुनिश्चित करने के लिए भेजा गया है कि मैं चार राज्यों में चुनाव प्रचार के लिए जाने में असमर्थ रहूं। ईडी को तुरंत नोटिस वापस लेना चाहिए।
मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि ये आम आदमी पार्टी को खत्म करने के लिए केंद्र सरकार की साजिश है। इसके लिए केंद्र कोई कसर नहीं छोड़ रहा है। सरकार किसी भी तरीके से फर्जी केस बनाकर अरविंद केजरीवाल को बंद किया करना चाहती है और आम आदमी पार्टी को खत्म करना चाहती है।