अगर हमारे पास 60 विधायक हैं तो सीएम हम चुनेंगे : नवजोत सिंह सिद्धू

नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा, ‘पीके ने कहा कि कांग्रेस को 30-35 से अधिक सीटें नहीं मिलेंगी। आप (सिद्धू) आएंगे तो 7-8 फीसदी तक का स्विंग देखने को मिल सकता है।” दरअसल, सिद्धू पंजाब चुनाव के लिए सीएम उम्मीदवार की दावेदारी ठोंक रहे थे, लेकिन राहुल गांधी ने ऐलान किया कि पंजाब के मौजूदा मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ही राज्य में कांग्रेस के सीएम पद का चेहरा होंगे।

चंडीगढ़ संवाददाता, डेमोक्रेटिक फ्रंट :

क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा है कि कांग्रेस पार्टी में उनका प्रवेश चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर की लगभग 70 मुलाकातों के बाद हुआ. जो (प्रशांत किशोर उर्फ पीके) वर्ष 2017 के विधानसभा चुनावों के पहले कांग्रेस की रणनीति में मदद कर रहे थे। गौरतलब है कि पंजाब विधानसभा चुनाव 2022 के लिए कांग्रेस ने पार्टी स्‍तर पर रायशुमारी के बाद हाल ही में चरणजीत सिंह चन्‍नी को अपना सीएम चेहरा घोषित किया है। पंजाब के कांग्रेस प्रमुख नवजोत सिंह भी इस रेस में थे लेकिन आखिरकार राय चन्‍नी के पक्ष में गई।

उन्होंने कहा कि चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर  के साथ उनकी करीब 70 बार मुलाकात हुई, इसके बाद वह कांग्रेस में शामिल हुए। दरअसल प्रशांत किशोर पंजाब में 2017 के विधानसभा चुनावों से पहले कांग्रेस के चुनावी अभियान की तैयारी कर रहे थे।

एक प्राइवेट चैनल में नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा कि, प्रशांत किशोर मुझसे लगभग 70 बार मिले और उन्होंने मुझ से कांग्रेस ज्वाइन करने को कहा। सिद्धू ने बताया कि प्रशांत किशोर उस समय पंजाब में कांग्रेस पार्टी की सत्ता में वापसी को लेकर थोड़े आशंकित थे और उन्हें लगा कि मेरे पार्टी के साथ जुड़ने से वोट का एक बड़ा हिस्सा कांग्रेस को मिलेगा। प्रशांत किशोर ने कहा कि कांग्रेस को 30-35 सीट से ज्यादा नहीं मिलेगी। अगर आप (सिद्धू) हमारे साथ आते हैं तो 7 से 8 फीसदी वोट बढ़ेगा। हालांकि 2017 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को पंजाब में 117 सीट में से 77 सीट मिली।

नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा कि जनवरी 2017 में कांग्रेस में शामिल होने से पहले आम आदमी पार्टी के साथ भी उनकी कई दौर तक बातचीत चली। अरविंद केजरीवाल ने अपने कई नेताओं को उनसे मिलने के लिए भेजा। जब मेरी अरविंद केजरीवाल से मुलाकात हुई. तो उन्होंने टिकट देने से इनकार कर दिया लेकिन वे चाहते थे कि मैं पार्टी के लिए प्रचार करूं।

सिद्धू ने कहा कि राहुल गांधी ही थे जिन्होंने उन्हें कांग्रेस में शामिल किया इसलिए गांधी परिवार के प्रति वफादारी का वादा मैं आखिरी सांस तक निभाऊंगा।

चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने पिछले साल पंजाब के मुख्यमंत्री के सलाहकार के रूप में अपनी भूमिका छोड़ दी थी। उन्होंने यह फैसला कैप्टन अमरिंदर सिंह के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के कुछ सप्ताह पहले लिया था। दरअसल नवजोत सिंह सिद्धू और कैप्टन अमरिंदर सिंह के बीच लंबे समय से राजनीतिक कद को लेकर लंबे समय से विवाद चल रहा था।

सिद्धू ने कहा कि, अमरिंदर सिंह असुरक्षित थे, वह कभी नहीं चाहते थे कि कोई मेरे साथ खड़ा हो। जब मैं कांग्रेस में आया तो उन्होंने मेरा विरोध किया था।

सिद्धू, मुख्यमंत्री पद के लिए पार्टी की पसंद बनने में विफल रहे। उन्होंने कहा कि यदि कांग्रेस विधानसभा में 60 सीटें जीतने में विफल रहती है, तो मुख्यमंत्री के लिए पार्टी का उम्मीदवार कौन बनेगा, यह पूरा सवाल बेमानी हो जाता है। उन्होंने कहा कि अगर हमारे पास 60 विधायक हैं तो सीएम हम चुनेंगे। लेकिन यदि हमारे पास 60 एमएलए नहीं है तो सब कुछ बदल जाता है। फिर चाहे कोई और सरकार बनाए या त्रिशंकु विधानसभा हो।