काश्मीर में आतंकवाद फैलाने के लिए तुर्की दृढ़ करेगा पाकिस्तान के हाथ
पुलवामा हमले के बाद जिस तरह से भारत ने पलटवार करते हुए बालाकोट में आतंकी शिविरों को निशाना बनाया था, उससे पाकिस्तान को होश फ़ाख्ता हो गए थे. चूंकि वो अपनी आदत से बाज आने वाला नहीं था इसलिए उसने अपनी तैयारी तभी से शुरू भी कर दी थी. बालाकोट स्ट्राइक के तुरंत बाद ही पाकिस्तान ने चीन के सामने मिसाइल सिस्टम दिए जाने की गुहार लगाई थी. खुफिया रिपोर्ट में ये साफ हुआ की पाकिस्तान ने मल्टिपल लॉन्च रॉकेट सिस्टम A-300 बैटरी देने के लिए चीन से दरख्वास्त की थी. तुर्की अब खुलकर कश्मीर में आतंकवाद को बढ़ाने के लिए पाकिस्तान की मदद कर रहा है. बता दें कि चीन के बाद अब तुर्की ने भी पाकिस्तान को हथियारों की सप्लाई शुरू कर दी है. साथ ही पाकिस्तान को हर मुद्दे पर समर्थन दे रहा तुर्की अब उसे हथियार के साथ-साथ पैसों से भी मदद कर रहा है.
नई दिल्ली:
तुर्की अब खुलकर कश्मीर में आतंकवाद को बढ़ाने के लिए पाकिस्तान की मदद कर रहा है. बता दें कि चीन के बाद अब तुर्की ने भी पाकिस्तान को हथियारों की सप्लाई शुरू कर दी है. साथ ही पाकिस्तान को हर मुद्दे पर समर्थन दे रहा तुर्की अब उसे हथियार के साथ-साथ पैसों से भी मदद कर रहा है.
जानकारी के मुताबिक पाकिस्तान तुर्की से पैर्मीटर सर्वेलांस रडार सिस्टम लेने जा रहा है. रैटीनार PTR-X पैर्मीटर सर्वेलांस रडार सिस्टम की खास बात ये है कि ये पोर्टेबल है यानी कि इस सिस्टम को दो लोग आसानी से कहीं भी ले जा सकते हैं और इसे चलाने के लिए सिर्फ एक आदमी की जरूरत होगी. ये सिस्टम पूरी तरह से ऑटोमैटिक तरीके से बड़े इलाके को स्कैन कर सकती है. इसके इस्तेमाल से लगातार दूरबीनों और कैमरे की मदद से निगरानी करने की कोई जरूरत नहीं होगी.
पाकिस्तान तुर्की से इस सिस्टम को इसलिए ले रहा है क्योंकि एलओसी पर भारतीय सेना के मजबूत ग्रिड के चलते उसके घुसबैठ की कोशिशें नाकाम हो रही हैं. ऐसे में इस रडार के जरिए वो उन इलाकों को स्कैन करने की कोशिश करेगा और ये पता लगाएगा कि कहां से घुसबैठ करना में आसानी होगी. पाकिस्तान इस सिस्टम की मदद के भारत में घुसबैठ के नए रूट खोजने की कोशिश करेगा.
इसके अलावा तुर्की ने कश्मीर के लिए पाकिस्तान को बड़ी आर्थिक मदद दी है. इसकी प्लानिंग पाकिस्तान और तुर्की ने पिछले साल के आखिर से ही शुरू कर दी थी जब पाकिस्तान सेना के आला अधिकारी तुर्की गए थे. कश्मीर के युवाओं को तुर्की में स्कॉलर्शिप और प्रोग्राम के बहाने पाकिस्तान अपना एजेंडा पूरा कर रहा है. तुर्की ने कश्मीर में कई NGO को भी काफी पैसा दिया है.
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