छात्र संघ चुनाव कब और कैसे हों सरकार इसका फैसला जल्द ले : दीपांशु बंसल

दीपांशु बंसल

शिक्षा मंत्री हरियाणा सरकार के अनुसार 15 अक्टूबर से पूर्व अप्रत्यक्ष रूप से छात्र संघ चुनाव होंगे,परन्तु अभी तक न तो प्रोफेसर टनकेश्वर की रिपोर्ट पब्लिक करी गई है व न ही कोई नोटिफेक्शन करी गई है। बहरहाल, एनएसयूआई प्रत्यक्ष चुनाव की लड़ाई को जारी रखेगा व अप्रत्यक्ष चुनावो का विरोध करेगी।

मेयर के चुनाव जोकि सूबे में अप्रत्यक्ष रूप से हो रहे थे उसे प्रत्यक्ष कर दिया, हरियाणा के समीपी राज्यो जैसे राजस्थान , चंडीगढ़ , दिल्ली में भी प्रत्यक्ष रूप से चुनाव करवाए जाते है,उसी तर्ज पर हरियाणा में भी प्रत्यक्ष रूप से चुनाव करवाए जाए।प्रत्यक्ष चुनाव छात्र संघर्ष समिति जिसमे इनसो, एनएसयूआई, एसएफआई आदि संगठन है वह जल्द बैठक कर अप्रत्यक्ष चुनाव लड़ने का या नही लड़ने का फैसला लेंगे

हरियाणा के कालेजों व यूनिवर्सिटी में 15 अक्तूबर से पहले होंगे चुनाव- राम बिलास शर्मा


तत्कालीन सीएम चौधरी बंसीलाल ने 1996 में छात्र संघ चुनाव पर रोक लगाई थी


 प्रदेश के काॅलेजों और विश्वविद्यालयों में 22 साल बाद छात्रसंघ के चुनाव सितंबर के आखिरी या अक्टूबर के पहले सप्ताह में हो सकते हैं। चुनाव की तारीखों का ऐलान एक सप्ताह के अंदर कर दिया जाएगा। यह आश्वासन सीएम मनोहर लाल ने मंगलवार को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के प्रतिनिधिमंडल को दिया है। एबीवीपी सीएम से मांग की है कि छात्रसंघ चुनाव प्रत्यक्ष प्रणाली के आधार पर कराए जाने चाहिए। इसके बाद सीएम ने वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग कर सभी जिलों के डीसी व एसपी को आदेश दिए कि वे चुनावों को लेकर पूरी तैयारी रखें, ताकि छात्रसंघ चुनाव शांतिपूर्ण ढंग से कराए जा सकें।

कॉलेजों में 20% सीटें भी बढ़ें- एबीवीपी: एबीवीपी के प्रदेशाध्यक्ष डॉ. राजेंद्र धीमान ने कहा कि प्रदेश में काफी संख्या में बेटियों को कॉलेजों में एडमिशन नहीं मिल रहा है। ऐसे में 20 फीसदी तक सीटें बढ़ाए जाने की जरूरत है। सीएम ने आश्वासन दिया है कि सीटें बढ़ाने पर विचार किया जाएगा।

5 तक तारीख घोषित करे सरकार- इनसो: इंडियन नेशनल स्टूडेंट ऑर्गेनाइजेशन (इनसो) के अध्यक्ष दिग्विजय चौटाला ने कहा, ‘5 अगस्त तक चुनाव की घोषणा न होने पर इनसो ने आंदोलन की चेतावनी दे रखी है। सरकार ने एबीवीपी के प्रतिनिधियों को बुलाकर पुरानी बात दोहरा दी। हम 5 अगस्त तक चुनाव की तारीख चाहते हैं। चुनाव डायरेक्ट होने चाहिए। सरकार ने छात्रसंघ चुनाव के लिए न बजट जारी किया, न यूनिवर्सिटी के कैलेंडर में शामिल किया है।’

सरकार के फैसले का स्वागत- एनएसयूआई: एनएसयूआई के प्रदेशाध्यक्ष दिव्यांशु बुद्धिराजा ने कहा, ‘सरकार छात्रसंघ चुनाव कराती है तो हम इसका स्वागत करते हैं। सरकार जल्द ही नोटिफिकेशन जारी करे। यूनिवर्सिटी के कैलेंडर में इसे शामिल कराए। चुनाव डायरेक्टर ही कराए जाएं।’

1996 में बंसीलाल ने लगाई थी रोक: हरियाणा विकास पार्टी और भाजपा की गठबंधन सरकार में तत्कालीन सीएम चौधरी बंसीलाल ने 1996 में छात्र संघ चुनाव पर रोक लगाई थी। इसके बाद से स्टूडेंट्स की ओर से चुनाव की मांग की जाती रही। 22 साल में भाजपा-इनेलो गठबंधन के बाद 10 साल तक कांग्रेस की सरकार रही, पर चुनाव बहाल नहीं हो सके। विधानसभा चुनाव में भाजपा ने छात्रसंघ चुनाव का वादा किया था।

22 साल बाद हरियाणा में छार संघ चुनाव

शिक्षा मंत्री राम बिलास शर्मा और मुख्य मंत्री मनोहरलाल खट्टर की फाइल फोटो

अजय कुमार , पंचकुला Big Breaking….


हरियाणा के कालेजों व यूनिवर्सिटी में 15 अक्तूबर से पहले होंगे चुनाव- राम बिलास शर्मा
22 साल बाद हो रहें है हरियाणा में छात्र संघ के चुनाव- शर्मा
2016-17 से पहले खोले गए कालेजों में ही होंगे चुनाव- शिक्षा मंत्री
अप्रत्यक्ष रूप से होगी छात्र संघ के प्रधान का चुनाव-शर्मा
प्रोफेसर टंकेश्वर कमेटी की सिफारिशों के आधार पर होंगे चुनाव -शर्मा


अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रतिनिधिमंडल के मुलाकात करने के तुरंत बाद हरियाणा सरकार ने राज्य में 22 साल से बंद छात्र संघ के चुनाव बहाल करने का ऐलान कर दिया है। भाजपा ने अपने चुनाव घोषणा पत्र में विद्यार्थियों से यह वादा किया था। सत्ता में आने के चार साल बाद मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने ऐलान किया है कि विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में सितंबर के आखिर अथवा अक्टूबर के शुरू में छात्र संघ के चुनाव कराए जाएंगे

भाजपा ने सत्ता में आने के चार साल बाद किया चुनावी वादा पूरा

राज्‍य की छात्र राजनीति के कई सुखद पहलू हैैं तो दागदार पहलू भी कम नहींं। विश्वविद्यालयों और कालेजों के कैंपस युवाओं के खून से रंगे हैैं। करीब 12 छात्र नेताओं की हत्या और हर जिले में मुकदमेबाजी से आजिज तत्कालीन हविपा-भाजपा सरकार के मुखिया चौ. बंसीलाल ने १९९६ में छात्र संघ के चुनाव पर रोक लगा दी थी। तभी से छात्र राजनीति हाशिए पर है।

चुनाव का तरीका अभी तय नहीं, सीएम ने डीसी-एसपी को दिए निर्देश

इन 22सालों में कांग्रेस और इनेलो की सरकारें रहीं। दोनों पार्टियों के छात्र संगठन लगातार छात्र संघ चुनाव कराने की मांग करते रहे, लेकिन कोई पार्टी आज तक साहस नहीं जुटा पाई। भाजपा ने भी हालांकि हिम्मत कर अपना बड़ा चुनावी वादा पूरा किया है। अभी तक यह साफ नहीं किया गया कि चुनाव डायरेक्ट प्रणाली से होंगे अथवा मतदान के जरिये। सरकार के पास हिंसा से बचने के लिए ऑनलाइन सिस्टम के जरिये भी चुनाव कराने का विकल्प है।

हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने जिला उपायुक्तों व पुलिस अधीक्षकों के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग में छात्र संघ के चुनाव की तैयारी पूरी करने के निर्देश दिए हैैं। उन्होंने डीसी-एसपी से कहा कि शांतिपूर्ण चुनाव सरकार का पहला टारगेट है। सीएम ने डीसी व एसपी को संकेत दिया कि चुनाव सितंबर अथवा अक्टूबर में होंगे।

तीन कुलपति और एक रजिस्ट्रार की कमेटी ने सरकार  के समक्ष सिफारिश की है कि कुछ विश्वविद्यालयों व कालेजों में आॅनलाइन चुनाव करा लिए जाएं। प्रयोग सफल रहा तो अगले सत्र से सभी कालेजों व विश्वविद्यालयों में आॅनलाइन ही चुनाव होंगे। इनसो के राष्ट्रीय अध्यक्ष दिग्विजय चौटाला और एनएसयूआइ के प्रदेश अध्यक्ष दिव्यांशु बुद्धिराजा इसके हक में नहीं हैैं। दूसरी ओर, एबीवीपी के प्रदेश अध्यक्ष डा. राजेंद्र धीमान ने डायरेक्ट चुनाव की पेशकश की है।

खाद के दामों में भारी बढ़ोतरी वापस ले भाजपा सरकार – सुरजेवाला


इस वर्ष 30 से 40 प्रतिशत महंगी हुई खाद


चंडीगढ़-

वरिष्ठ कांग्रेस नेता व पार्टी की केंद्रीय कोर कमेटी के सदस्य रणदीप सिंह सुरजेवाला ने डीएपी और एनपी के कृषि खादों के दामों में हुई भारी बढ़ोतरी की निंदा करते हुए मोदी सरकार को इस किसान विरोधी फैसले को वापिस लेने की मांग की है।

सुरजेवाला ने कहा कि इस वर्ष खाद के दामों में 30 से 40 प्रतिशत बढ़ोतरी हो चुकी है, जो पहले ही महंगाई और सही दाम ना मिलने की मार झेल रहे किसानों पर अब यह बिल्कुल ही असहनीय और क्रूर प्रहार है। उन्होंने कहा कि किसान पहले ही दिन प्रतिदिन महंगाई और भाजपा सरकारों की किसान विरोधी नीतियों की मार झेल रहा था, इस फैसले ने उसकी कमर तोड़ने का काम किया है।

श्री सुरजेवाला ने कहा कि जनवरी, 2018 में डीएपी का प्रति बोरी मूल्य 1,091 था, जो अब लगभग 30 प्रतिशत बढ़कर 1,400 रुपए हो गया है, जिसे और भी बढाए जाने के संकेत निरंतर आ रहे हैं। इसी प्रकार एनपीके के दाम को बढाकर 1,340 रुपये बोरी कर दिया गया है, जो 1 सितंबर, 2018 को 1,280 रुपये था। इसी प्रकार जिंक सलफेट के 10 किलोग्राम के बैग के दाम को भी 250 रुपए से बढ़ाकर 400 रुपए कर दिया गया है। यूरिया का बैग पहले 50 किलोग्राम का आता था, जिसके दामों में बढ़ोतरी करके अब यूरिया का बैग 45 किलोग्राम कर दिया गया है। इससे पहले भी सरकार लगातार खाद के दामों में बढ़ोतरी करती रही है। इसके अलावा पोटाश और कीटनाशक आदि भी पहले से सवा गुना तक महंगे हो गए हैं।

सुरजेवाला ने कहा कि किसान विरोधी मोदी सरकार ने सत्ता संभालते ही किसानों को लूटने और खसोटने के अनेक ताबड़तोड़ फैसले लिए हैं। मोदी सरकार आजाद भारत के इतिहास में पहली ऐसी सरकार है, जिसने कृषि उपकरणों,कीटनाशकों और खाद पर टैक्स लगाया। जिसके चलते किसानों की उत्पादन लागत में 25 प्रतिशत तक बढ़ोतरी हो गई है। ना तो किसानों को चुनावी वायदे के अनुसार लागत का डेढ़ गुना समर्थन मूल्य मिला, ना ही मेहनत की कीमत, ना कर्ज से मुक्ति मिली और ना अथक परिश्रम का सम्मान। मोदी सरकार ने किसानों को फसल बीमा योजना के नाम पर लूटा और खाद, कीटनाशक, बिजली,डीजल की कीमतें भी बढ़ा दी गई, जिससे आज मोदी सरकार के साढ़े चार वर्ष किसानों के लिए काल बन गए हैं।

सुरजेवाला ने कहा कि भाजपा सरकारों की ताबड़तोड़ लूट जारी है और इस सरकार ने अपने कार्यकाल में खाद पर पहले ही 5 फीसदी, ट्रैक्टर पर 12 फीसदी, ट्रैक्टर टायर और स्पेयर पार्ट्स तथा कीटनाशक दवाओं पर 18 फीसदी जीएसटी लगाकर साफ कर दिया है कि उसका किसानों के हितों से कोई सरोकार नहीं है।

केजरीवाल सरकार पर आरोप लगाकर ओछी राजनीति करने लगे हैं भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष: योगेश्वर शर्मा


महीनों एल जी और मोदी से लड़ने के बाद जब दिल्ली में सरकार की गाड़ी थोड़ी पटरी पर आई तो केजरीवाल ने मौत कि सियासत करने कि कोशिश में मुंह कि खाई  अब उसकी भरपाई में उनके क्षेत्रीय क्षत्रपों को दांतों तले पसीना आ रहा है.

दिल्ली में आयुष्मान योजना के लागू न करने के पीछे केजरीवाल को वजह बताने पर योगेश्वर शर्मा ने अमित शाह का मज़ाक उड़ाते हुए कहा: “दिल्ली की केजरीवाल सरकार जनहित के किसी काम में भला क्यों रोड़ा अटकाने लगी अमित शाह का ब्यान जुमला भी नहीं लगता”

  • यह दिल्ली सरकार की लोकप्रियता का ही कमाल है कि केंद्र की भाजपा सरकार को उसने आयुष्मान योजना लागू करने पर विवश कर दिया

  • इतना ही नहीं हरियाणा की सरकार ने भी पिछले दिनों दिल्ली की नकल करते हुए बिजली के दाम कम किये थे


पंचकूला,1 अक्टूबर :

योगेश्वर शर्मा

आम आदमी पार्टी ने भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के उस ब्यान को बड़ा ही हास्यस्पद बताया है जिसमें उन्होंने दिल्ली सरकार पर आरोप लगाया कि दिल्ली सरकार के असहयोग के कारण दिल्लीवासी इस महत्वपूर्ण आयुष्मान योजना से वंचित हैं। पार्टी का कहना है कि ऐसा कहने से पहले ही अगर अमित शाह अपने गिरेबान में झांक लेते तो उनका आज दिल्ली के लोगों में  माजाक न बनता। पार्टी ने यह भी कहा है कि दिल्ली के लोग बेहतर ढंग से अपनी सरकार की स्वास्थ्य योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं। यह बात भाजपा व उसके अध्यक्ष को भी अच्छे से पता है।

आज यहां जारी एक ब्यान में आआपा  के अंबाला लोकसभा एवं जिला पंचकूला के अध्यक्ष योगेश्वर शर्मा ने कहा कि आज तक आम आदमी पार्टी व इसकी सरकार को भाजपा से यह शिकायत थी कि दिल्ली की भाजपा सरकार उनके हर एक काम में अडंगा लगाती है और उसे जनहित में काम नहीं करने दे रही है। उन्होंने कहा कि ऐसा पहली बार हुआ है कि भाजपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष यह बात कह रहा है कि दिल्ली की केजरीवाल की सरकार उन्हें आयुष्मान योजना को लागू करने से रोक रही है। उन्होंने कहा कि जो सरकार दिन रात आम जन की बात करती हो और उसके फायदे के लिए ही काम करती हो वह भला जनहित के किसी काम को कैसे रोकेगी।

योगेश्वर शर्मा ने कहा कि पिछले चार साल तक भाजपा व इसकी सरकार ने अरविंद केजरीवाल की सरकार के हर काम में रोड़े अटका कर देख लिए मगर उसे जनता से किए अपने वायदों को पूरा करने से रोक नहीं पाई। यह बात दिल्ली की जनता भी अच्छे से जानती है कि किसने किसके काम में रोड़े अटकायें हैं। उन्होंने कहा कि जब भाजपा की केंद्र की सरकार ने अपने बूते पर सारे हथकंडे अपना लिए और केजरीवाल व उसकी सरकार का कुछ नहीं बिगाड़ पाई तो उसने अफसरशाही के सहारे भी सरकार के काम में रोड़ा अटका कर देख लिया। अब जबकि लोकसभा के चुनाव नजदीक आने वाले हैं और भाजपा को दिल्ली में सात लोकसभा सीट में से एक भी सीट आते नहीं दिख रही तो अब वे उल्टा चोर कोतवाल को डांटे की कहावत को चरितार्थ करने के मकसद से आआपा की सरकार पर ही आयुष्मान योजना को रोकने का आरोप लगाने लगी है जोकि किसी के हजम होने वाली बात नहीं है। उन्होंने कहा कि लोग अमित शाह की बात पर हंस रहे हैं और अब तो उनकी इस ओछी राजनीतिक बात को जुमला भी नहीं मान रहे।

उन्होंने कहा कि यह तय है कि अगली बार भाजपा को दिल्ली से एक भी लोकसभा की सीट नहीं मिलने वाली। भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष इसी बात को लेकर बौखलाये हुए हैं। उन्होंने कहा कि जिस केजरीवाल सरकार ने आम आदमी की सुविधा के लिए मोहल्ला क्लीनिक खुलवाये और यह सुविधा दी कि अगर कोई भी व्यक्ति सडक़ हादसे में घायल हो जाता है तो उसका नजदीकी अस्पताल में चाहे वह निजी अस्पताल ही क्यों न हो,वहां उसका ईलाज होगा और उसके ईलाज पर होने वाला सारा खर्च प्रदेश की सरकार करेगी। और इतना ही नहीं,जो भी व्यक्ति उस घायल को किसी भी नजदीकी अस्पताल में पहुंचायेगा उसे भी दो हजार रुपये दिए जाएंगे।

उन्होंने कहा कि यह दिल्ली सरकार की लोकप्रियता का ही कमाल है कि केंद्र की भाजपा सरकार को उसने आयुष्मान योजना लागू करने पर विवश कर दिया। इतना ही नहीं हरियाणा की सरकार ने भी पिछले दिनों दिल्ली की नकल करते हुए बिजली के दाम कम किये थे।

“महिला अधिकार सम्मलेन” आगाज़ तो बुरा है अंजाम ख़ुदा जाने

कमल कलसी, पंचकूला:

कांग्रेस की हरियाणा महिला अधिकार यात्रा का आगाज आज पंचकूला से हुआ और इस कार्यक्रम में हरियाणा कांग्रेस के कई बड़े नेताओ ने आना था, जहां कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता, महिला कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सुष्मिता देव, पूर्व शिक्षा मंत्री गीता भुक्कल सहित कई नेता शामिल हुए वहीँ पूर्व मुख्यमंत्री भूपिंदर हुड्डा, सांसद दीपेंद्र हुडा ओर कुमारी शैलजा, किरण चौधरी इस रैली में गैरहाजिर रहे। इन नेताओं की गैरहाजरी ने एक बार फिर कांग्रस की गुटबाजी सामने ला दी है।

कांग्रेस राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने प्रदेश में महिलाओं के साथ हो रहे अत्याचारों के लिए मुख्यमंत्री मनोहरलाल को जिम्मेवार ठहराया। सुरजेवाला ने कहाकि कांग्रेस द्वारा नारी सुरक्षा की भावना लेकर जनजागरण अभियान चलाया है,जिसमे महिलाओं के अधिकारों के बारे में बताया जाएगा।

मीडिया द्वारा कांग्रेस की गुटबाजी पर पूछे सवाल पर बोले सुरजेवाला—“पूरी कांग्रेस एक, आप बन्द करें अपनी अटकलें”

कांग्रेस महिला राष्ट्रीय अध्यक्ष सुष्मिता देव ने कांग्रेस की महिला अधिकार यात्रा को हरी झंडी दिखाकर  रथयात्रा को रवाना किया। उन्होंने कहा कि यह यात्रा पूरे हरियाणा में  जाएगी । उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने देश की महिलाओं से जो वायदा किया था, हर उस वायदे को मोदी जी ने, तोड़ा है, हरियाणा में तो आज इतना बदहाल हैं कि 8 घण्टे में प्रदेश में एक बेटी का बलात्कार व कत्ल होता है, इन सभी मुद्दों को लेकर आज हम प्रदेश की जनता के बीच जाएंगे, यात्रा का लक्ष्य है जनता के बीच जाकर उनसे यह जानना की कांग्रेस से वे क्या अपेक्षा रखते हैं, इनकी अपेक्षा को राहुल गांधी तक पहुंचाया जाएगा, और राहुल गांधी महिलाओं की अपेक्षा को जरूर पूरा करेंगे, सुष्मिता देव ने बताया कि आज इस सम्मेलन में सेन्टर की कांग्रेस की मैनिफेस्टो कमेटी बैठी है, जिसके अध्यक्ष चिदम्बरम हैं.

गुटबाजी पर पूछे सवाल पर बोली सुष्मिता देव ने कहा कि जो तमाम नेता इस सम्मेलन में नही पहुंचे, उन सबसे बात हुई है और वे यात्रा के दौरान किसी न किसी जिले में हमे जरूर ज्वाइन करेंगे, अशोक तंवर पर पूछे सवाल पर सुष्मिता देव ने कहाकि उन्ही की समर्थन की  बदौलत आज ये कार्यकम का आयोजन हुआ है।

कोंग्रेस की हरियाणा महिला अधिकार यात्रा का आगाज आज पंचकूला से सुबह दस बजे होना था जो बड़े नेताओं के इंतजार में लेट होता रहा जिससे लोग परेसान होकर प्रोग्राम से बाहर जाते देखे गए, यात्रा को दस बजे पंचकूला से रवाना होना था जो लेट होते हुऐ लगभग 3 बजे रवाना हुई।

कुछ कार्यकर्ताओं ने लोगों को रोकने की कोशिश भी की ओर हाल के बाहर से दरवाजे बंद करके लोगो को रोकते नजर आए, अधिकार रैली की पंचकूला में हुई शुरुआत काफी निराशाजनक रही। रैली पूरी तरहत से फ्लॉप रही। रैली के आयोजकों की ओर से किये गये दावे के बावजूद न तो हरियाणा के दिग्गज नेता मंच पर एकजुट हुए और न ही दावे के मुताबिक भीड़ जुट पाई। अलबत्ता रथयात्रा को लेकर लोगों में उत्साह भी  कम नजर आया और अंबाला में भीड़ काफी नजर आई। वहां से धीरे धीरे कुछ बड़े नेता भी साथ जुडऩे लगे।

हुआ यूं कि रविवार को हरियाणा महिला कांग्रेस की ओर से महिला अधिकार रैली का आयोजन किया गया था। कुछ दिन पहले तक इस रैली की आयोजक एवं हरियाणा महिला कांग्रेस की वरिष्ठ उपाध्यक्ष रंजीता मैहता की ओर से यह दावा किया गया था कि इस रैली में हरियाणा के लगभग सभी दिगगज एकमंच पर एक साथ नजर आएंगे। इनमें पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र हुड़ा, पूर्व केंद्रीय मंत्री कुमारी शैलजा, कांग्रेस के राष्ट्रीय मीडिया इंचार्ज रणदीप सिंह सुरजेवाला, पूर्व मंत्री कैप्टन अजय यादव, विधायक दल की नेता किरण चौधरी,सांसद दीपेंद्र हुड़ा,पूर्व शिक्षामंत्री गीता भुक्कल व अन्य के शामिल होने की बात कही गई थी। मगर इनमें से कुछ दिग्गज नेता नही पंहुचे। यही प्रचार जगह जगह कर भीड़ जुटाने का प्रयास किया जा रहा था।

मगर हकीकत में सभी दिगगज नेताओं के स्थानीय समर्थकों की पहले दिन से ही इस रैली से दूरी बनी रही। किसी ने भी इसमें कोई रुचि पहले दिन से ही नहीं ली। जानकार सूत्रों का कहना है कि विभिन्न नेताओं के समर्थकों ने अपने अपने आकाओं से पूछ लिया था कि उन्हें यहां क्या करना है। ऊपर से इशारा मिलते ही यहां के उनके समर्थक यहां की बजाये अंबाला व अन्य स्थानों की तैयारियों में जुट गये। कांग्रेस के एक स्थानीय नेता ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि इस रैली से दूरी बनाना हर किसी की मजबूरी थी। उसकी वजह यह थी कि महिला कांग्रेस की वरिष्ठ उपाध्यक्ष रंजीता मैहता ने अपनी जरुरत के अनुसार नेताओं के प्रति अपनी निष्ठा को बदला। उसे जिसका पलड़ा जब जब भारी लगा वह उसके पीछे हो ली और पहले से दूरी बना ली। यानि कि उसकी वफादारियां उसकी अपनी जरुरत के अनुसार बदलती रही। पहले पहल वह दिवंगत विधायक डीके बसंल के पीछे चला करती थी। उसके बाद वह पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड़ा के खेमें के पीछे चलने लगी। फिर उसने मौका देखा तो रणदीप सिंह सुरजेवाला के गुट का दामन थाम लिया। बीच में कुमारी शैलजा की थोड़ी सी हवा चली तो वह उनके पीछे हो लीं। इस नेता ने यह भी कहा कि इतना ही नहीं रंजीता मैहता स्थानीय स्तर पर भी दूसरे नेताओं को अपने मुकाबले में कुछ नहीं समझती। इस लिए वे लोग भी इससे व इसके कार्यकर्मों से दूरी बनाकर रखते हैं। आज की इस रैली में भी स्थानीय नेताओं व उनके समर्थकों ने इसी वजह से अपनी दूरी बनाये रखी। देखा जाए तो इस नेता की बात में सच्चाई इसी बात से लगाई जा सकती है,क्योंकि अधिकांश स्थानीय नेता इस रैली से दूर रहे। कुछेक ने तो प्रदेशाध्यक्ष डा. अशोक तंवर, पूर्व मुख्यमंत्री की रैलियों के लिए जोर लगा रखा था।

रविवार को इंद्रधनुष में हुई इस रैली में आयोजकों के अनुमान से कहीं कम लोग आये। हालांकि शनिवार को ही हरियाणा महिला कांग्रेस की प्रदेशाध्यक्ष सुमित्रा चौहान ने भी यह दावा किया था कि उनकी इस रैली में करीब ढाई हजार महिलाएं और करीब दो हजार पुरुष आएंगे,मगर यह हो न सका। संख्या हजारों की बजाये सैंकड़ों में ही सीमिट कर रह गई। हास्यस्पद स्थिति तब पैदा हो गई, जब कांग्रेस के राष्ट्रीय मुख्य प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला बोलने लगे तो हाल में से भीड़ उठ कर जानी शुरु हो गई। ऐसे में रणदीप सिंह सुरजेवाला ने अपना भाषण जल्दी ही समाप्त कर दिया। बाहर आकर इन लोगों ने बताया कि उनकी नारजगी रणदीप से नहीं महिला नेता से थी। वह रणदीप तक यह संदेश पहुंचाना चाहते थे कि यदि वह दोबारा इस महिला के कार्यक्रम में आंएगे तो भी उनका यही हश्र होगा। महिला कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सुष्मिता देव को सुनने वालों की संख्या तो और भी कम रह गई थी।

दूसरी ओर हाल के बाहर भोजन की कम व्यवस्था होने के चलते भी बड़ी अफरातफरी मची। लोग जलद ही खाना पाने के चक्कर में एक दूसरे पर चढ़ते और छीनाझपटी करते दिखे।

बहरहाल अंबाला पहुंची इस यात्रा का भव्य स्वागत किया गया। वहां कांग्रेस की महिला नेत्री व पूर्व मंत्री निर्मल सिंह की बेटी चित्रा सलवारा ने जमकर भीड़ जुटाते हुए अपनी शक्ति का प्रदर्शन किया। वहां से सांसद दीपेंद्र हुड़ा भी उनके साथ जुड़ गये।

पंचकूला, पंचकूला में आज आल इंडिया हिन्दू शिवसेना की हुई बैठक

फ़ोटो और खबर कमल कलसी

कमल कलसी, पंचकुला:

बैठक में श्री रमेश कुमार (कुकू) की अध्यक्षता में श्री चन्दर कांत गुप्ता को आल इंडिया हिन्दू शिवसेना का हरियाणा प्रदेश का प्रधान नियुक्त किया गया,
आल इंडिया हिन्दू शिव सेना की अग्रवाल भवन सेक्टर 16 पंचकूला में इस संक्षेप बैठक में आल इंडिया हिन्दू शिवसेना के राष्ट्रीय अधयक्ष श्री रमेश कुमार (कुकू) विशेष तोर पर उपस्थित हुए और उन्हों ने सर्वसमति से निर्णय लेते हुए श्री चन्दर कान्त गुप्ता को हरियाणा प्रदेश का अध्यक्ष नियुक्त किया, ओर अरुण अग्रवाल को प्रदेश महा मंत्री, परवीन सिंगला को पंचकूला जिला अध्यक्ष, संदीप सिंगला को (कालका,पिंजोर ) प्रभारी, गोपाल राणा को (बरबाला,रायपुररानी)खंड का प्रभारी न्युक्त किया गया।


इस मौके पर बैठक में श्री स्योपाल, महिपाल,अभयपाल,विंदर कुमार, सुशील कुमार, अशोक सिंगला, मनमोहन डुडेजा,मदन सिंगलासभी गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।