ओमान चांडी पर अप्राकृतिक दुष्कर्म का आरोप, केस दर्ज

10/21/2018, 7:18:08 AM नई दिल्ली:

केरल पुलिस की क्राइम ब्रांच ने पूर्व मुख्यमंत्री ओमान चांडी के खिलाफ अप्राकृतिक दुष्कर्म का मामला दर्ज किया है। पूर्व सीएम चांडी के खिलाफ ये आरोप एक ​महिला ने लगाए हैं। महिला का आरोप है कि चांडी ने ये कुकर्म उसके कारोबार को बढ़ावा देने के बदले में किया था। केरल पुलिस की क्राइम ब्रांच ने शनिवार देर रात को इस बात की पुष्टि कर दी कि वह चांडी के खिलाफ आपराधिक मामले की जांच कर रहे हैं। पूर्व मुख्यमंत्री पर आरोप है कि उन्होंने सौर ऊर्जा निवेश धोखाधड़ी मामले में आरोपी रही महिला के साथ तिरुवनंतपुरम स्थित अपने आधिकारिक आवास क्लिफ हाउस में साल 2013 में रेप किया था।

द हिंदू की रिपोर्ट के मुताबिक, शनिवार (20 अक्टूबर) को तिरुवनंतपुरम में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में दाखिल प्राथमिकी में क्राइम ब्रांच ने आरोप लगाया कि पूर्व सीएम चांडी ने महिला के साथ अप्राकृतिक संबंध बनाए थे। ये संबंध महिला के कारोबार को बढ़ावा देने के बदले बनाए गए थे। हालांकि प्राथमिकी को अभी तक सार्वजनिक नहीं किया गया है। प्राथमिकी के तथ्य भी अभी तक गोपनीय ही हैं।

क्राइम ब्रांच में की गई अपनी शिकायत में पीड़िता महिला का आरोप है कि वह चांडी से निजी तौर पर इसलिए मिलने गई थी ताकि वह उसके सौर ऊर्जा प्रोजेक्ट को अपना राजनीतिक संरक्षण दें। इससे निजी निवेशक उसके प्रोजेक्ट की तरफ आकर्षित होंगे। महिला ने बताया सीएम के स्टाफ के कुछ लोगों ने उसे सीएम से मिलवाया था। महिला का आरोप है कि उसके कारोबार को बढ़ावा देने के लिए पूर्व सीएम चांडी ने उससे अप्राकृतिक यौन संबंध बनाए थे।

बता दें कि उच्च स्तरीय शिवरंजन क​मिशन ने हाल ही में केरल की राजनीति में भूचाल ला देने वाले सोलर घोटाले की जांच शुरू की थी। कमिशन ने सितंबर 2017 में पाया कि साल 2013 में केरल में राजनीति के शीर्ष पर बैठे लोगों ने आरोप लगाने वाली महिला के साथ उसके कारोबार को बढ़ावा देने के लिए यौन संबंध बनाए थे। कमिशन ने यह भी पाया कि भ्रष्टाचार निरोध अधिनियम के तहत यौन संबंध के बदले पक्षपात करना भी अनैतिक कृत्य के दायरे में आता है। कमिशन ने सिफारिश की थी कि आरोप लगाने वाली महिला के द्वारा लगाए गए आरोपों के आधार पर उसका शोषण करने वाले सभी लोगों के खिलाफ जांच की जाए।

मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने 26 सितंबर को दाखिल की गई जी. शिवरंजन कमिशन की 1073 पेज की रिपोर्ट को विधानसभा का विशेष सत्र बुलवाकर पटल पर रखवाया था। इस मामले में कांग्रेस नीत विपक्ष का बढ़ता दबाव और प्रदर्शन भी इसका एक कारण था। बाद में एक प्रेस वार्ता में उन सभी के खिलाफ मामला दर्ज करने का आदेश दिया जिन्होंने पीड़िता का कथित तौर पर यौन शोषण किया था। पीड़िता महिला ने युनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट के लगभग सभी बड़े नेताओं के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं।

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