Thursday, December 5


-भाजपा सरकार ने किसानों को दी आर्थिक आजादी
-कहा, स्वामीनाथन आयोग रिपोर्ट से आगे बढक़र किए कार्य


रोहतक, 01 अगस्त:

कृषि, विकास एवं पंचायत मंत्री ओम प्रकाश धनखड़ ने कहा कि कर्मचारियों के मंहगाई भत्ते की तर्ज पर किसानों को भी अब हर छह माह में बढ़ौतरी का लाभ दिया जायेगा। उन्होंने कहा कि सरकार ने फसलों पर लागत का 50 प्रतिशत मुनाफा सुनिश्चित कर दिया है। इस प्रकार किसानों को फसलों का डेढ गुणा दाम अवश्य मिलेगा।
कृषि मंत्री आज सर्किट हाऊस में 12 अगस्त को गोहाना में आयोजित होने वाली किसान धन्यवाद रैली को लेकर कार्यकर्ताओं से रूबरू हो रहे थे। उन्होंने कहा कि भाजपा ऐसी पहली सरकार है जिसने किसानों को आर्थिक आजादी दी है और अब किसान फसल लागत का डेढ गुणा भाव ले सकेंगे। उन्होंने कहा कि अब तक बाजरा, सूरजमुखी व धान रैली आयोजित की गई है। आगामी 5 अगस्त को कपास धन्यवाद रैली बरवाला में आयोजित की जायेगी। ये सभी रैलियां क्षेत्र की फसलों के आधार पर की गई। इन धन्यवाद रैलियों की कड़ी में 12 अगस्त को अंतिम किसान धन्यवाद रैली की जायेगी। इन रैलियों को लेकर किसानों में भारी उत्साह और जोश है।
विकास एवं पंचायत मंत्री ने कहा कि किसानों के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने जो किया है वह एतिहासिक है, इससे पूर्व चौ. देवीलाल, चौ. चरण सिंह, देवगौड़ा व पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र ङ्क्षसह हुड्डा भी ऐसा काम नहीं कर पाये। उन्होंने कहा कि एमएसपी के आधार पर किसानों को ज्यादा से ज्यादा 5 रुपए तक का लाभ दिया जाता था। चुनाव नजदीक आने पर 50 रुपए तक फसलों का मुनाफा न्यूनतम समर्थन मूल्य मानकर तय करते थे। एमएसपी राष्ट्रीय व अन्तर्राष्ट्रीय बाजार के आधार पर तय की जाती थी। जिससे कभी भी किसानों को इतना मनाफा नहीं मिला।
कृषि मंत्री ने कहा कि सरकार ने किसानों के लिए एक फार्मूला तय कर दिया है। अब 50 प्रतिशत से कम कोई भी सरकार किसानों को मुनाफा नहीं दे सकती। उन्होंने कहा कि 60 प्रतिशत तक मुनाफा करने का दावा किया जा सकता है लेकिन कम नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार ने स्वामी नाथन से बढक़र किसानों के लिए कार्य किया है। विशेषकर कपास, धान, सूरजमुखी, मक्का आदि के लागत से पांच गुणा तथा बाजरे की फसल पर भी लागत का तीन गुणा दाम किसानों को मिलेगा। उन्होंने कहा कि जय जवान-जय किसान का नारा वास्तव में भाजपा सरकार के प्रधानमंत्री ने चरितार्थ किया है। इन फसलों के दाम बढ़ाये जाने से 33 हजार 500 करोड़ का मुनाफा किसानों को दिया गया है। इसका 1500 करोड़ अकेले प्रदेश के किसानों को मिलेगा। उन्होंने कहा कि बाजरे पर 525 रुपए की बढौतरी करके और भी अधिक मुनाफा दिया है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने किसानों के अलावा नोट बंदी, जीएसटी, वन रैंक-वन पेंशन जैसे अहम निर्णय लेकर के एतिहासिक कार्य किये है। इसलिए जनता तक इन निर्णयों को पहुंचाना और जानकारी देना सरकार व पार्टी का कार्य है। इसीलिए जितना ज्यादा मुनाफा दिया है उतनी ही तगड़ी रैली का आयोजन गोहाना में किया जायेगा। इसके लिए सभी कार्यकर्ता पूरे जोर शोर के साथ बढ़ चढकर भाग ले और लोगों को जागरूक करें।
पत्रकारों से बातचीत करते हुए कृषि मंत्री ने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री हुड्डा स्वामी नाथन रिपोर्ट कमेटी के चेयरमैन होते हुए यह रिपोर्ट लागू नहीं करवा पाये और रिपोर्ट को दबा दिया गया। प्रधानमंत्री ने एमएसपी सिस्टम को फार्मूला विहिन करार देकर किसानों के लिए उनकी फसलों के भाव के दरवाजे खोल दिये है। अब किसान हर तरह की फसल को अपने खेत में उगायेंगे इससे फसल विविधकरण को भी बढावा मिलेगा। उन्होंने कहा कि पिछले साल 70 लाख क्विंटल बाजरे की पैदावार हुई थी, इस वर्ष इसमें बढोतरी होगी और एक लाख क्विंटल बाजरे की पैदावार होने का अनुमान है। उन्होंने कहा कि यह अतिरिक्त लाभ किसानों के लिए खुशहाली लेकर आयेगा। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि यदि मोटे अनाज में धान की फसल का कम लाभ मिला तो इसे भी इस फार्मूले में सामिल किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि भाजपा को गर्व है कि उनकी पार्टी में घोषणा अनुसार किसानों को फसलों का लाभदायक दाम देने का कार्य किया है।
एक अन्य प्रश्न में कृषि मंत्री ने कहा कि इनेलो पार्टी को धैर्य से न्यायालय के निर्णय की प्रतीक्षा करनी चाहिए। राजनैतिक एजेंडा करना प्रदेशहित में नहीं होगा इसीलिए न्यायालय का सहारा लिया गया था। न्यायालय में फैसला प्रदेशहित में ही होगा। उन्होंने कहा कि पंजाब के चुनाव पर न्यायालय के निर्णय का कोई असर नहीं पडेगा। एक अन्य जवाब में उन्होंने कहा कि अलग-अलग दलों की नीतिया टकराती है तो वे कार्य नहीं करने देती और न ही सफल हो पाती।
इस अवसर पर जिला भाजपा अध्यक्ष अजय बंसल, लोकसभा प्रभारी रमेश भाटिया, डॉ. किरण कलकल, महामंत्री धर्मबीर शर्मा व सतीश आहुजा, कर्नल राजेंद्र सुहाग, शमशेर खरक, राजरानी शर्मा, चेयरमैन राजबीर आर्य, डॉ. दिनेश घिलौड़, कुलविंद्र सिंह सिक्का, मीनाक्षी नांदल, विकास रोहिल्ला, सुभाष शर्मा, जयसिंह लाकड़ा, गुलशन दुआ, नरेंद्र वत्स, राजसिंह घुडान सहित अनेक कार्यकर्ता एवं पार्टी पदाधिकारी मौजूद थे।