हरियाणा सरकार द्वारा प्रदेश में एम एम बी एस में दाखिला लेने वाले छात्रों पर बाण्ड भरने के तानाशाही – चन्द्र मोहन
डेमोक्रेटिक फ्रंट संवाददाता, पंचकूला – 25 नवंबर :
हरियाणा के पूर्व उप मुख्यमंत्री चन्द्र मोहन ने कहा कि हरियाणा सरकार द्वारा प्रदेश में एम एम बी एस में दाखिला लेने वाले छात्रों पर बाण्ड भरने के तानाशाही आदेश थोपने के आदेश को वापस लिया जाए ताकी प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं को बद से बदतर होने से बचाया जा सके।
उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज से आग्रह किया है कि वह इस मामले में हस्तक्षेप करके इस नीति को गरीबों के हितों को ध्यान में रखते हुए वापस लिया जाए ताकी गरीब बच्चों को भी डाक्टर बनने का सौभाग्य प्राप्त हो सक। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से प्रदेश में जबरदस्ती अधिनायकवादी तरीके से यह बाण्ड पालिसी जबरदस्ती थोपी गई है उससे स्पष्ट होता है कि भारतीय जनता पार्टी सरकार की गरीबों के प्रति संवेदना बिल्कुल मर चुकी है।
उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से पंडित भगवत दयाल शर्मा स्नातकोत्तर मैडिकल कॉलेज रोहतक के एम बी बी एस कर रहे डाक्टरों ने उनकी मांगों को न माने जाने पर आन्दोलन तेज करने के साथ साथ आपात कालीन और आई सी यू की सेवाएं बंद करने का निर्णय लेने का फैसला किया है उसका परिणाम गरीब व्यक्तियों को भुगतना पड़ेगा।
चन्द्र मोहन ने कहा कि हरियाणा सरकार ने अगर समय रहते इस मामले में कोई ठोस कदम नहीं उठाया तो प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं पर जो असर पड़ेगा उसके लिए यह सरकार दोषी होगी। इस लिए मुख्यमंत्री को अपना अड़ियल रवैया परित्याग करके उनकी समस्याओं के समाधान के लिए तुरंत कदम उठाए जाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि हरियाणा में जब से भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनी है तब से इस सरकार ने शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं को गरीब की पहुंच से दूर करने का संकल्प लिया हुआ है और शिक्षा तथा चिकित्सा सुविधा को नीजि हाथों में सौंपने के बारे में गंभीरता से विचार किया जा रहा है।
उन्होंने मुख्यमंत्री से सवाल किया कि सन् 2014 में भारतीय जनता पार्टी ने अपने घोषणा पत्र में प्रत्येक जिले में एक मैडीकल कालेज खोलने का वायदा किया था और हरियाणा सरकार बता सकती है कि पिछले 8 वर्षों के दौरान हरियाणा में कुल कितने मैडिकल कॉलेज खोले गए हैं। जनता को गुमराह करके वोट हासिल करना भारतीय जनता पार्टी की पुरानी आदत है और सत्ता में आने के पश्चात् लोगों की आशाओं पर तुषारापात करना भारतीय जनता पार्टी के चरित्र में बसता है।उन्होने मुख्यमंत्री से पुनः आग्रह किया है कि बड़ा दिल दिखाते हुए इस बाण्ड पालिसी को वापस लिया जाए क्योंकि डाक्टर बनने वाले बच्चों पर बाण्ड नीति थोपना उनके साथ घोर अन्याय होगा। इस लिए अपना तानाशाही आदेश वापस लेकर गरीब लोगों को सस्ता और सुलभ ईलाज उपलब्ध करवाने में अपनी सहभागिता सुनिश्चित करें।