नही हटेगी सरकारी बसों से संत भिंडरावाले की तस्वीरे, पंजाब सरकार ने आदेश लिए वापिस
सिख संगठनों के विरोध के बाद पंजाब सरकार ने सरकारी बसों से संत जरनैल सिंह भिंडरावाले की तस्वीरों हटाने का आदेश वापस ले लिया है पंजाब रोड ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन और पेप्सू की कुछ बसों पर लगी जरनैल सिंह भिंडरांवाला व अन्य समर्थकों की तस्वीरों को अब नहीं हटाया जाएगा। बीते दिनों सिख संगठनों शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी और पंजाब रोडवेज की विभिन्न यूनियनों ने सरकार के इस फैसले पर ऐतराज जता दिया था, जिसके बाद ने तस्वीरों को हटाने के आदेश वापस ले लिए हैं।
नरेश शर्मा भारद्वाज, डेमोक्रेटिक फ्रंट, जालंधर/चंडीगढ़ :
आम आदमी पार्टी(आआपा) की पंजाब सरकार ने सरकारी बसों पर लगी जरनैल सिंह भिंडरावाले की तस्वीर हटाने के मामले में अब यू-टर्न ले लिया है। दरअसल, सरकार ने सरकारी बसों में भिंडरावाले की तस्वीर लगाने का आदेश दे दिया है। इसके लिए बाकायदा बस स्टैंड के सभी जनरल मैनेजरों को पत्र भी जारी कर दिया है।
पंजाब की सरकारी बसों पर लगी जरनैल सिंह भिंडरावाले और जगतार सिंह हवारा की तस्वीरों को अब नहीं हटाया जाएगा। भगवंत मान सरकार ने इन दोनों की तस्वीरों को बसों से हटाने के लिए आदेश जारी किया था। सिख संगत की तरफ से इसका विरोध किया जा रहा है। उन्होंने विरोध प्रदर्शन भी किया था। इसके बाद अब सरकार ने 1 जुलाई को जारी किया गया अपना आदेश वापिस ले लिया है। उधर, भाजपा ने सरकार के आदेश वापस लेने की कड़ी निंदा की है और आरोप लगाया है कि भगवंत मान सरकार ने खालिस्तानी समर्थकों के आगे घुटने टेक दिए हैं।
सिख समूहों ने पिछले सप्ताह के सरकारी आदेश के खिलाफ विरोध प्रदर्शन शुरू किया था। मंगलवार तक आदेश वापस नहीं लेने पर आंदोलन तेज करने की धमकी दी थी। . बीते सोमवार को बठिंडा अंचल के पीआरटीसी महाप्रबंधक ने एक लिखित आदेश में कहा था कि परिवहन निगम ने अपना 1 जुलाई का आदेश वापस ले लिया है और विरोध करने वाले दलों को इसकी जानकारी दी है।
दल खालसा के प्रवक्ता परमजीत सिंह मंड ने दावा किया है कि उन्हें भटिंडा से पीआरटीसी की ओर से एक पत्र मिला है, जिसमें कहा गया है कि आदेश को वापस ले लिया गया है। उन्होंने कहा कि पत्र में स्वीकार किया गया है कि भिंडरावाले और हवारा की तस्वीरें हटाने के आदेश से कुछ सिख संगठनों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंची है।
यह घटनाक्रम ऐसे समय सामने आया है जब पंजाब के विभिन्न हिस्सों में दीवारों पर खालिस्तान जिंदाबाद के नारे लिखे नजर आ रहे हैं। पुलिस कई मामलों में कार्रवाई कर रही है। 1 जुलाई को सरकार के आदेशों के बाद पुलिस ने बसों पर लगी जरनैल सिंह भिंडरावाले और जगतार सिंह हवारा की तस्वीरें हटानी शुरू कर दी थीं। इसका एसजीपीसी के सदस्य गुरचरण सिंह ग्रेवाल ने ट्वीट करके कड़ा विरोध किया था। उसके बाद यह मामला तूल पकड़ गया।
भगवंत मान सरकार के सरकारी बसों पर से भिंडरावाले और हवारा की तस्वीर हटाने का फैसला वापस लेने पर भाजपा ने विरोध जताया है। बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुभाष शर्मा ने आरोप लगाया कि सरकार खलिस्तानियों और आतंकियों के आगे झुक गई है। यह पंजाब के भाईचारे के लिए एक बड़ा खतरा है।