Thursday, December 25

डेमोक्रेटिक फ्रंट

जननायक जनता पार्टी के जिला पंचकूला अध्यक्ष ओ पी सिहाग ने “स्वदेशी महोत्सव” को लेकर सरकार और प्रशासन पर सीधा हमला बोलते हुए कहा कि यह आयोजन अब एक गंभीर राजनीतिक और प्रशासनिक घोटाले की शक्ल लेता जा रहा है।
ओ पी सिहाग ने सवाल उठाया—
“यह मेला आखिर है क्या? सरकारी आयोजन या किसी निजी एजेंसी का कारोबार?”
उन्होंने कहा कि अगर यह सरकारी आयोजन नहीं है, तो फिर प्रशासन की इतनी बड़ी और खुली भागीदारी किस हैसियत से है? किसके आदेश पर अफसरों, संसाधनों और सरकारी मशीनरी का इस्तेमाल किया गया?
उन्होंने तीखे लहजे में कहा—
➡️ बिना अनुमति 3000 से ज्यादा होर्डिंग्स पूरे शहर में कैसे टंग गए?
➡️ नगर निगम को विज्ञापन शुल्क के लाखों रुपये आखिर जमा हुए या नहीं?
➡️ स्वदेशी के नाम पर विदेशी सामान खुलेआम बिकता रहा, तो निगरानी किसकी थी?
➡️ स्टालों से वसूली गई भारी रकम किसने ली और किस खाते में गई?
ओ पी सिहाग ने कहा कि यह मामला अब मेला प्रबंधन तक सीमित नहीं रहा, बल्कि इसमें सत्ता–प्रशासन–निजी एजेंसी की मिलीभगत की बू साफ नजर आ रही है।
“अगर यह निजी आयोजन है, तो सरकारी संरक्षण क्यों? और अगर सरकारी है, तो नियमों से भागने की छूट किसने दी?”
उन्होंने प्रशासन और सरकार से तत्काल सार्वजनिक जवाब मांगते हुए चेतावनी दी कि यदि पूरे लेन-देन, अनुमति और जिम्मेदारी की परतें नहीं खोली गईं, तो यह साफ माना जाएगा कि जनता के पैसे और नियमों दोनों का खुला दुरुपयोग हुआ है।
यह सिर्फ स्वदेशी महोत्सव पर सवाल नहीं,
यह सत्ता की नीयत और प्रशासन की जवाबदेही पर सीधा प्रहार है।