Sunday, February 2
  • हमारी बहुमूल्य प्रथाएं सांकेतिक भाषा में है, जिसे डी कोड करने की आवश्यकता हैं : लेखिका कृष्णा गोयल 
  • वैदिक मान्यताएं मिथ्या नहीं पुस्तक का हुआ विमोचन व चर्चा

डेमोक्रेटिक फ्रंट, चंडीगढ़,  01 फ़रवरी :

संवाद साहित्य मंच और टीएस सेंट्रल स्टेट लाइब्रेरी, सेक्टर 17 के संयुक्त तत्वावधान में आज प्रसिद्ध लेखिका कृष्णा गोयल की नव प्रकाशित पुस्तक वैदिक मान्यताएं मिथ्या नहीं का विमोचन व चर्चा का आयोजन हुआ। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डा. बलराम गुप्ता, प्रोफेसर एमेरिटस, पूर्व डायरेक्टर एनजीए और सीजीए तथा अध्यक्ष मंडल में आचार्यकुल के अध्यक्ष केके शारदा, लाइब्रेरियन डा. नीजा सिंह और प्रिंसिपल बहादुर सिंह गोसल शामिल थे। पुस्तक पर प्रपत्र प्रेम विज, डा. विनोद शर्मा, श्रीमती विमला गुगलानी और गणेश दत्त ने प्रस्तुत किए। कार्यक्रम का संचालन डा. संगीता शर्मा कुन्दरा और परिचय नीरू मित्तल ने दिया। सरस्वती वंदना व भजन सोमेश गुप्ता, सुरजीत सिंह धीर और नैनसी ने प्रस्तुत किए।

मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुए प्रसिद्ध कानूनविद डा. बलराम गुप्ता ने कहा कि वैदिक कहानियां काल्पनिक नहीं है। आज के युग में वैज्ञानिक खोजों के आधार पर सत्य सिद्ध हो चुकी है। अध्यक्ष मंडल से केके शारदा ने कहा कि जिस विषय को चुना है वह चुनौती वाला है। सभी को विशेषकर युवाओं को पुस्तक पढ़नी चाहिए। डा. नीजा सिंह ने मुबारकबाद देते हुए कहा कि पुस्तक जानकारी से भरपूर है। प्रिंसिपल बहादुर सिंह ने कहा कि हमारे ऋषि मुनियों ने जो ज्ञान दिया है वह सच्चाई से भरपूर है। वरिष्ठ साहित्यकार प्रेम विज ने कहा कि लेखिका ने भारतीय मान्यताओं के बारे में बहुत कार्य किया है। यह खोजपूर्ण है। उनकी मेहनत की मैं प्रशंसा करता हूं।

प्रपत्र पेश करते हुए डा. विनोद शर्मा का कथन था कि लेखिका ने वैदिक काल विज्ञान के उच्चतम स्तर को नयी पीढ़ी के समक्ष प्रस्तुत किया है। श्रीमती विमला गुगलानी ने कहा पुस्तक में आज के आविष्कारों को वैदिक काल से जोड़ा है। गणेश दत्त का कथन था कि लेखिका ने प्राचीनतम मान्यताओं से परिचित कराया है।

अपनी लेखन प्रक्रिया और पुस्तक पर बोलते हुए लेखिका ने कहा हमारे वैज्ञानिक भारतीय ऋषियों के ज्ञान को मायथोलाॅजी नहीं वेदोलाॅजी कहते हैं। हमारी बहुमूल्य प्रथाएं सांकेतिक भाषा में हैं, जिसे डी कोड करने की आवश्यकता है।

इस अवसर पर साहित्यकार संतोष गर्ग, बाल कृष्ण कासरा, अमिता शर्मा, जगतार सिंह जोग, सुनीता गर्ग, रेणु अणषी, रेखा मित्तल, अन्नुरानी शर्मा, कुकरेजा, नीरजा शर्मा, राजेश कुमारी, दर्शना पहवा, सोनिया, हितेश आदि उपस्थित रहे।