भारतीय संस्कृति संस्कारों की धनी : साध्वी करुणागिरी
पवन सैनी, डेमोक्रेटिक फ्रंट, हिसार, 31 मार्च :
हनुमान मंदिर बुधला संत स्थान, ऋषि नगर के 69वें वार्षिक महोत्सव एवं नव वर्ष विक्रमी सम्वत्सर पर्व के उपलक्ष्य में चल रहा चार दिवसीय आध्यात्मिक सत्संग हवन, ध्वजोराहण, सत्संग व भंडारे के साथ सम्पन्न हो गया। उपस्थित श्रद्धालुओं को प्रवचन देते हुए महामंडलेश्वर संत शिरोमणि बालयोगिनी साध्वी करुणागिरी महाराज, हरिद्वार वालों ने कहा कि मनुष्य को अपने जन्म में सत्संग श्रवण के क्षण सौभाग्य से प्राप्त होते हैं। भारतीय संस्कृति संस्कारों की धनी है। यहां वर्ष भर अनेक पर्व व त्यौहार होते हैं। हर पर्व हमें नई दिशा प्रदान करते हैं। नवरात्रों व शिवरात्रि पर रात के समय भक्ति करनी चाहिये। आज हिंदु नव वर्ष के साथ चैत्र नवरात्रों का भी शुभारंभ हुआ है। नवरात्रे दो तरह के होते हैं। एक गुप्त नवरात्रे व दूसरे प्रगट नवरात्रे।
साध्वी करुणागिरी ने कहा कि नव वर्ष विक्रमी सम्वत का प्रारंभ उज्जैन नगरी से शुरु हुआ। राजा भृतरी की जन्मस्थली रही है उज्जैन। उन्होंने नव सम्वत के बारे में विस्तार से बताया। समापन पर भंडारा चलाया गया जिसमें हजारों श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया।
संस्था के महासचिव टीनू आहुजा ने बताया कि आज के कार्यक्रम में पूर्व मेयर गौतम सरदाना, समाजसेवी भजनलाल अरोड़ा, महाबीर मोदी, सीए पवन गिरधर, सुनील बजाज, सुरेन्द्र पूनिया मुख्यातिथि के रुप में उपस्थित हुए। सभी अतिथियों को स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया गया। मंच संचालन ओमप्रकाश असीजा ने किया। इस अवसर पर राजकुमार सेतिया, हरीश बजाज, रवि मेहता अधिवक्ता, मुकेश बजाज एडवोकेट, सुरेन्द्र बजाज, जगदीश गांधी, मनोज नागपाल, भीमसेन नारंग, शुभम वलेचा, रेनू आहुजा, सरिता तनेजा, सरोज सेतिया, अर्चना ठकराल, नीतू नागपाल, डोली चोपड़ा, सोनिया असीजा, राज रानी गांधी, डॉ. टिशा आहुजा, रेखा वधवा, भारती महता, पं. गणेश के अलावा सैंकड़ों श्रद्धालु उपस्थित रहे।
1-9. फोटो कैप्शन : हनुमान मंदिर बुधला संत स्थान में प्रवचन देते साध्वी करुणागिरी व उपस्थित श्रद्धालु। हवन में आहुति डालते श्रद्धालु।