साइबर सुरक्षा अब केवल एक तकनीकी अनुशासन नहीं है, बल्कि आज की डिजिटल दुनिया में एक महत्वपूर्ण आवश्यकता है : प्रो. नरसीराम बिश्नोई
पवन सैनी, डेमोक्रेटिक फ्रंट, हिसार, 21 मार्च :
गुरु जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (गुजविप्रौवि), हिसार के कम्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग विभाग (सीएसई) की साइबर फीनिक्स क्लब द्वारा “साइबरनेक्ससरू ब्रिजिंग एक्सपर्टिस एंड प्रैक्टिसेस” विषय पर एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। कुलपति प्रो. नरसीराम बिश्नोई ने अपने संदेश में कहा कि साइबर सुरक्षा अब केवल एक तकनीकी अनुशासन नहीं है, बल्कि आज की डिजिटल दुनिया में एक महत्वपूर्ण आवश्यकता है। यह कार्यशाला सैद्धांतिक ज्ञान और वास्तविक दुनिया के अभ्यासों के बीच की खाई को पाटने में उपयोगी होगी। कार्यशाला से छात्रों और पेशेवरों के बीच साइबर सुरक्षा के बारे में जागरूकता और व्यावहारिक ज्ञान बढ़ेगा।
कार्यशाला का उद्घाटन कुलपति के तकनीकी सलाहकार (प्रशासन) प्रो. विनोद छोकर ने किया। शैक्षणिक मामलों के अधिष्ठाता प्रो. योगेश चाबा विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। सीएसई विभाग के चेयरपर्सन प्रो. ओपी सांगवान ने अध्यक्षता की। आमंत्रित वक्ताओं में कंसीलियो एलएलसी के सीनियर नेटवर्क और सुरक्षा इंजीनियर सुनील सांगवान और आईबीयू कंसल्टिंग प्राइवेट लिमिटेड की साइबर सुरक्षा इंजीनियर नीतू रानी शामिल थे। साइबरफीनिक्स क्लब की फैकल्टी इन-चार्ज डॉ. अनुपमा सांगवान ने कार्यक्रम का समन्वयन किया।
प्रो. विनोद छोकर ने वैश्विक साइबर खतरों में खतरनाक वृद्धि पर प्रकाश डाला और कहा कि 2024 में साइबर हमलों में 38ः की वृद्धि हुई है और 2025 तक साइबर अपराध से होने वाले नुकसान का सालाना 10.5 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचने का अनुमान है। उन्होंने काली लिनक्स, मेटास्प्लॉइट और वायरशार्क जैसे उपकरणों के साथ व्यावहारिक अनुभव के महत्व पर जोर दिया और प्रतिभागियों को साइबर सुरक्षा में उत्कृष्टता प्राप्त करने के लिए जिज्ञासा और समस्या-समाधान की मानसिकता विकसित करने के लिए प्रोत्साहित किया।
प्रो. योगेश चाबा ने व्यावहारिक शिक्षा के लिए एक मंच प्रदान करने में आयोजकों के प्रयासों की सराहना की। कार्यशाला में सुनील सांगवान और नीतू रानी द्वारा संवादात्मक सत्र आयोजित किए गए, जिन्होंने अपनी विशेषज्ञता सांझा की और प्रतिभागियों को व्यावहारिक प्रशिक्षण दिया। साइबरफीनिक्स क्लब की संकाय प्रभारी और कार्यशाला की समन्वयक डॉ. अनुपमा सांगवान ने सभी गणमान्य व्यक्तियों, वक्ताओं, संकाय सदस्यों और छात्र समन्वयकों को उनके बहुमूल्य सहयोग के लिए हार्दिक आभार व्यक्त करते हुए धन्यवाद ज्ञापन दिया। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि कार्यशाला का उद्देश्य विशेषज्ञों के नेतृत्व वाले सत्रों और गहन व्यावहारिक प्रशिक्षण के माध्यम से प्रतिभागियों को व्यावहारिक साइबर सुरक्षा कौशल से लैस करना था।
कार्यशाला के सुचारू संचालन और सफलता को सुनिश्चित करने के लिए छात्र आयोजक अनुज और आकाश के साथ-साथ कोर टीम के सदस्यों – कार्तिक, निशांत, पीयूष, उदय, प्रशांतय मीडिया टीम- कनिष्का, लक्षिका और देवदीपय वेब टीम- अर्पिता और अभिनव के प्रयासों की सराहना की गयी। डॉ. आयुष, डॉ. अमित, डॉ. आंनद, डॉ. रमेश व डा. जयभगवान सहित सीएसई विभाग के संकाय सदस्यों ने सत्र के दौरान अपनी उपस्थिति रहे और कार्यक्रम के शैक्षणिक महत्व और सफलता में योगदान दिया।