Wednesday, December 25

पंचांग का पठन एवं श्रवण अति शुभ माना जाता है। माना जाता है कि भगवान श्रीराम भी पंचांग का श्रवण करते थे। शास्त्र कहते हैं कि तिथि के पठन और श्रवण से मां लक्ष्मी की कृपा मिलती है। तिथि का क्या महत्व है और किस तिथि में कौन से कार्य करान चाहिए या नहीं यह जानने से लाभ मिलता ह। पंचांग मुख्यतः पाँच भागों से बना है। ये पांच भाग हैं : तिथि, नक्षत्र, वार, योग और करण। यहां दैनिक पंचांग में आपको शुभ समय, राहुकाल, सूर्योदय और सूर्यास्त का समय, तिथि, करण, नक्षत्र, सूर्य और चंद्र ग्रह की स्थिति, हिंदू माह और पहलू आदि के बारे में जानकारी मिलती है।

डेमोक्रेटिक फ्रंट, आध्यात्मिक डेस्क – पंचांग, 10  अगस्त 2024

नोटः आज श्री कल्कि जयंती है: कल्कि जयंती 10 अगस्त 2024 को मनाई जाएगी. भविष्य पुराण के अनुसार इस तिथि पर विष्णु जी अपना 10वां और आखिरी अवतार कल्कि के रूप में लेंगे. भगवान कल्कि इस संसार से पापियों का नाश कर धर्म की स्थापना करेंगे. कल्कि जयंती पर 10 अगस्त को पूजा के लिए शाम 04 बजकर 26 मिनट से रात 07 बजकर 02 मिनट का मुहूर्त शुभ है.14 hours ago

विक्रमी संवत्ः 2081, 

शक संवत्ः 1946, 

मासः श्रावण़ 

पक्षः शुक्ल, 

तिथिः षष्ठी अरूणोदय काल 05.46 तक है, 

वारः शनिवार।

नोटः आज पूर्व दिशा की यात्रा न करें। शनिवार को देशी घी, गुड़, सरसों का तेल का दानदेकर यात्रा करें।

नक्षत्रः चित्रा अरूणोदयः काल 05.49 तक, 

योग साध्य़ दोपहर काल 02.52 तक है, 

करणः कौलव, 

सूर्य राशिः कर्क, चन्द्र राशिः कन्या, 

राहू कालः प्रातः 9.00 बजे से प्रातः 10.30 तक,

सूर्योदयः 05.52, सूर्यास्तः 07.01 बजे।