महापौर के दावों की ज़मीनी हकीकत कुछ और ही

  • जागरुक नागरिक राकेश अग्रवाल पंचकुला विकास मंच ने संग्यान लिया

डेमोक्रेटिक फ्रंट, पंचकुला – 27 दिसम्बर  :

जमीनी हकीकत पंचकूला की और नगर निगम के द्वारा विकास कह कर कागजों में दिखाए जा रहे खर्चों की। यह हालत आज से नहीं सालों सालों से बनी हुई है।ठेके दिए जा रहे हैं और ठेकेदारों के कामों से संतुष्टि की भी स्टेटमेंट्स जनता को गुमराह करने के लिए दी जाती हैं।विकास मंच पंचकूला लगातार कागजों में दिखाए जा रहे करोड़ों के खर्चों की और उनसे करवाए कामों को बताने की जमीनी सच्चाई को सभी के सामने रखने का काम करता रहा है। विकास मंच पंचकूला हमेशा अच्छा करने सही नियत और नीति से करने की बात करता रहा है। काम लोगों की जरूरत के लोगों की और शहर की भलाई के लिए बिना किसी भी तरह के भ्रष्टाचार के करने करवाने और होते रहने देने की मांग करता है।पंचकूला में रह रहे और यहां आनेवाले सभी अधिकारियों,नेतागणों और जिम्मेदारों को जमीनी सच्चाई और कागजों में दिखाई जा रही बातें दिखाई दे रही हैं। मीडिया को भी सब कुछ दिखाई देता है।ऐसी हालत और भी पब्लिक टॉयलेट्स की है शहर में। लेकिन पब्लिक का ही पैसा और पब्लिक को ही परेशान।मौज किनकी। बाकी सानू की तो है ही।