निरंकारी मिशन का उद्देश्य, समाज मे आध्यात्मिक ज्ञान का प्रसार करना है: रामसिंह हुड्डा
कवि दरबार में जीवन के उद्देश्यों को कविताओं के माध्यम से प्रस्तुत किया गया : रामसिंह हुड्डा
सुशील पण्डित, डेमोक्रेटिक फ्रंट, यमुनानगर – 24 नवम्बर :
गत दिवस संत निरंकारी भवन हुड्डा सेक्टर 18 में रूहानी कवि दरबार का आयोजन किया गया। इस कवि दरबार में जीवन जीने की कला और उद्देश्यों को कविताओं के माध्यम से प्रस्तुत किया गया। इस बारे में जानकारी देते हुए कवि दरबार आयोजन समिति के मुख्य प्रतिनिधि राम सिंह हुड्डा ने बताया कि इस अवसर पर जीवन जीने के उद्देश्य और सुखी व समृद्धि जीवन कैसे दिया जाए इस विषय को लेकर कविताओं के माध्यम से उपस्थित लोगों द्वारा विचारों का आदान-प्रदान किया गया। राम सिंह हुड्डा ने कहा कि प्रतिवर्ष आयोजित होने वाले इस कवि दरबार में समाज के विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े लोगों द्वारा भाग लिया जाता है तथा विशेष रूप से कवियों की भूमिका मुख्य रहती है।
इस दौरान कवि व साहित्यकार आर एस चौहान, मदन शेख पुरिया, राम सिंह हुड्डा, राज मल्होत्रा, रोशन लाल मेहरा, श्रीमती अनीता जोरोरा, रविंद्र पंजेटा एवं विशाल द्वारा अपनी अपनी कविताओं के माध्यम से उपस्थित संगत व गणमान्य लोगों को मंत्रमुग्ध किया गया। कार्यक्रम में गुरुघर के भजनों से भक्ति रस की बरसात की गई तथा श्रद्धालुओं ने गुरु घर का आशीर्वाद प्राप्त किया। निरंकारी भवन हुड्डा जगाधरी के संयोजक बलराज मित्तल ने उपस्थित संगत का हार्दिक अभिनंदन एवं स्वागत किया। गौरतलब है कि निरंकारी मिशन के अनुयायी एवं कवि रामसिंह हुड्डा ऑस्ट्रेलिया में अपने पूरे परिवार के साथ पिछले लंबे समय से रह रहे हैं और वँहा के नागरिक होते हुए भी वह सदैव भारतीय संस्कृति का प्रचार प्रसार करने के कार्य में लगे रहते हैं। हुड्डा ने
कहा कि इस प्रकार के धार्मिक आयोजनों से समाज मे आध्यात्मिक विषयो पर चर्चा करने का अवसर प्राप्त होता है और स्वंम व समाज के भीतर भी नई ऊर्जा का संचार होता है। हुड्डा ने कहा कि हर वर्ष आयोजित होने वाले इस कवि दरबार में जीवन से जुड़े विभिन्न पहलुओं पर कविताओं के माध्यम से प्रकाश डाला जाता है ताकि जीवन के मूल उद्देश्य का ज्ञान हो सके। उन्होंने बताया कि संत निरंकारी मिशन का उद्देश्य समाज और देश मे आध्यात्मिक उन्नति करना है ताकि राष्ट्र को मजबूत बनाने में स्वंम की भूमिका सुनिश्चित की जा सके।
मिशन के प्रचारक नरेश कक्कड़ द्वारा एक शब्द पर विचार व्यक्त करके संगत को निहाल किया गया। इस अवसर पर श्रीमती वीना सरगम, मदनलाल निरंकारी, नई दिल्ली सूफी गायक विशेष अतिथि के रूप में उपस्थित रहे।