ताकत के साथ विवेक होना भी जरुरी : दिनेश मुनि महाराज

जीवन के दोषों को हमें स्वयं मिटाना है, सोये हुए चेतन को दिन-रात जगाना है ..  
हिसार/पवन सैनी

: एस.एस. जैन सभा के तत्वाधान में पीएलए स्थित जैन स्थानक में जैन मुनियों संघ दीपक अजय मुनि महाराज, दिनेश मुनि महाराज व विनीत मुनि महाराज के सान्निध्य में चल रहे चातुर्मास के अंतर्गत चल रही श्रीराम कथा के तीसरे दिन श्रद्धालुओं को प्रवचन देते हुए दिनेश मुनि महाराज ने कहा कि क्रोध व अहंकार मनुष्य के नाश की निशानी है। हमें इन दोनों बुराईयों से बचना चाहिये। ताकत कई तरह की होती है किंतु ताकत के साथ-साथ विवेक जरुर होना चाहिये। जिस मनुष्य में विवेक नहीं, वह अपनी ताकत के भरोसे लम्बे समय तक नहीं चल सकता। उन्होंने राम कथा का वाचन करते हुए कहा कि गुरु विश्वामित्र के आदेश पर राजा दशरथ अपने पुत्रों राम व लक्ष्मण को जंगल में भेजने को राजी हो जाते हैं। गुरु विश्वामित्र जंगल में जब भी यज्ञ करते तो राक्षस विभिन्न तरीकों से यज्ञ में विघ्न डालते थे। इससे क्षुब्ध होकर गुरु विश्वामित्र राम-लक्ष्मण को अपने साथ जंगलों में ले जाते हैं। रास्ते में उन्हें राक्षसी ताडक़ा मिलती है, राम पल भर में उसका संहार कर देते हैं। राम के इस पराक्रम को देखकर गुरु विश्वामित्र बड़े प्रभावित हुए। अगले दिन जब यज्ञ का समय हुआ तो राक्षसों ने यज्ञ स्थल को घेर लिया। इस पर राम ने अपने धनुष पर बाण चढ़ाया तो एक-एक करके राक्षस गिरने लगे। मुख्य रुप से सुबाहू व मारीच नामक राक्षस यज्ञ में व्यवधान डालते थे। राम ने सुबाहू को मार डाला और मारीच को अपने बल से सौ योजन दूर फैंक दिया। राम राज्य उसी को कहते हंै, जहां शांति हो और लोग बिना डर के रहें। उन्होंने राम द्वारा आहिल्या का उद्धार प्रसंग का वर्णन करते हुए मिथिला नरेश राजा जनक द्वारा रचे गये सीता स्वयंबर का प्रसंग सुनाया। गुरु विश्वामित्र इस स्वयंबर में भाग लेने के लिये राम व लक्ष्मण को लेकर पहुंच जाते हैं।      
       दिनेश मुनि महाराज ने कथा के दौरान कहा कि ताकत तो लंका नरेश रावण में भी बहुत थी किंतु उसमें विवेक की कमी थी जिस कारण उसकी एक गलती उसके नाश का कारण बनी। संसार में हर कोई बुरा नहीं होता किंतु बुरे काम का नतीजा बुरा ही होता है। उन्होंने भजन जीवन के दोषों को हमें स्वयं मिटाना है, सोये हुए चेतन को दिन-रात जगाना है.. .. गाकर यह संदेश दिया कि हमें स्वयं में सुधार लाना है। कथा से पूर्व विनीत मुनि महाराज ने भी प्रवचन दियेे। सभा के प्रधान प्रवीण जैन ने बताया कि राम कथा रोजाना प्रात: 8:15 बजे से 9:25 बजे तक होगी।