जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि ईडी भाजपा के दाहिने हाथ की तरह काम कर रही है। ये सरकार की नाकामी को छिपाने की कोशिश से ज्यादा कुछ नहीं है। मुफ्ती ने कहा कि ईडी का इस्तेमाल विपक्षी नेताओं को डराने में किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि एक दिन पहले दिल्ली में मीडिया हाउस पर भी छापेमारी की थी। आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह को ED ने अरेस्ट कर लिया है। उनके दिल्ली वाले घर पर बुधवार सुबह 7 बजे ED की टीम पहुंची थी। 10 घंटे तक चली इस छापेमारी के बाद गिरफ्तार हुई।
सारिका तिवारी, डेमोक्रेटिक फ्रंट, पंचकुला/न्यि दिल्ली – 04 अक्टूबर :
दिल्ली शराब नीति मामले में प्रवर्तन निदेशालय ने बुधवार सुबह आम आदमी पार्टी से राज्यसभा सांसद संजय सिंह के दिल्ली आवास पर छापा मारा। यह तलाशी शराब घोटाला मामले में हुई। दोपहर के बाद ईडी ने संजय सिंह को गिरफ्तार लिया। करीब 10 घंटे पूछताछ के बाद ईडी ने यह कार्रवाई की है। इससे पहले इसी मामले में सांसद के कई अन्य करीबी लोगों के परिसरों की तलाशी ली गई थी। संजय सिंह की गिरफ्तारी की खबर सामने आने के बाद आम आदमी पार्टी में हलचल मच गई है।
इसी साल जनवरी में ED ने अपनी चार्जशीट में संजय सिंह का नाम जोड़ा था। इसको लेकर संजय सिंह ने काफी हंगामा मचाया था। संजय सिंह ने दावा किया कि ईडी ने उनका नाम गलती से जोड़ दिया है। जिस पर ED ने जवाब दिया कि उनकी चार्जशीट में संजय सिंह का नाम चार जगह लिखा गया है। इनमें से तीन जगह नाम सही लिखा गया है। सिर्फ एक जगह टाइपिंग की गलती हो गई थी. जिसके बाद ED ने संजय सिंह को मीडिया में बयानबाजी न करने की सलाह दी थी, क्योंकि मामला कोर्ट में लंबित है।
दिल्ली शराब नीति केस में ED की दूसरी सप्लीमेंट्री चार्जशीट 2 मई को जारी की गई थी। इसमें में आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा का भी नाम सामने आया था। हालांकि, उन्हें आरोपी नहीं बनाया गया है।
दिल्ली में पुरानी आबकारी नीति के तहत L1 और L10 लाइसेंस रिटेल वेंडर को दिया जाता था। 17 नवंबर 2021 को शराब के लिए नई आबकारी नीति लागू होने तक 849 शराब की दुकानें थीं. इनमें से 60% दुकानें सरकारी और 40% निजी थीं।
नई नीति के तहत दिल्ली में शराब की सरकारी दुकानों को बंद कर दिया गया। नई नीति को लागू करने के लिए दिल्ली को 32 जोन में बांटा गया था. हर जोन में 27 शराब की दुकानें थीं। इन दुकानों का मालिकाना हक जोन को जारी किए गए लाइसेंस के तहत दिया गया था। हर वार्ड में 2 से 3 वेंडर को शराब बेचने की अनुमति दी गई।
उपराज्यपाल और दिल्ली के CM को सौंपी गई रिपोर्ट के अनुसार सिसोदिया ने उपराज्यपाल की मंजूरी के बिना शराब नीति में बदलाव किया. आरोप है कि इससे शराब ठेकेदारों को फायदा पहुंचा। रिपोर्ट में आरोप लगाया गया है कि इससे मिले कमीशन का इस्तेमाल आम आदमी पार्टी ने पंजाब विधानसभा चुनाव में किया। नई शराब नीति में तमाम खामियों के बाद चार महीन के भीतर ही नई शराब नीति को वापस ले लिया गया था।
दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना की तरफ से सीबीआई से इस मामले की जांच कराने की सिफारिश की गई थी। इसके बाद ही इस पॉलिसी को रद्द कर दिया गया था। इसके बाद ईडी ने धन शोधन रोकथाम कानून (PMLA Act)के तहत मामला दर्ज किया. ईडी मनीष सिसोदिया के केस की भी मनी लॉन्ड्रिंग के एंगल से जांच कर रही है।
AAP सांसद संजय सिंह की गिरफ्तारी पर उनके साथी और सांसद राघव चड्ढा ने कहा, “लगभग पिछले 15 महीनों से BJP आप कार्यकर्ताओं पर शराब घोटाले का आरोप लगा रही है। कुछ लोगों को गिरफ्तार करने के बाद जांच के बहाने 1000 जगहों पर छापेमारी हुई। किसी भी एजेंसी को एक भी पैसा नहीं मिला… यह हताश बीजेपी है, जो आगामी चुनाव हारने वाली है। इसलिए डर के मारे ऐसा कर रही है। जिसके कारण आज हमारी पार्टी के सदस्य संजय सिंह के घर पर ईडी ने छापा मारा है। मैं स्पष्ट रूप से कहना चाहूंगा…ईडी को एक भी पैसा नहीं मिला…उन्हें कोई सबूत नहीं मिला क्योंकि जब कोई घोटाला ही नहीं हुआ, तो क्या मिलेगा।”
दिल्ली शराब नीति मामले में आप नेता संजय सिंह की गिरफ्तारी पर दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा, “आज एक बात साफ हो गई है कि सच्चाई छिप नहीं सकती…संजय सिंह के बाद अरविंद केजरीवाल हैं।”
आप सांसद संजय सिंह की गिरफ्तारी पर कांग्रेस नेता मीम अफजल ने कहा, “…यह इस सरकार की प्रवृत्ति के अनुरूप है। जो लोग बोलेंगे और सवाल उठाएंगे वे सलाखों के पीछे जाएंगे…मुझे संजय सिंह की गिरफ्तारी बड़ी बात नहीं लगती। जिस तरह से वह संसद के अंदर और बाहर बोलते हैं, इंटरव्यू देते हैं और पीएम और अन्य नेताओं को खुली चुनौती देते हैं – यह तय था कि उन्हें जेल जाना होगा। बीजेपी इन दिनों इसी परंपरा का पालन कर रही है…”