Saturday, December 21

मुनीश सलूजा, डेमोक्रेटिक फ्रंट, हिसार – 02 अक्टूबर :

बरवाला  इनेलो के शहरी प्रधान मंगत बूरा ने कहा कि पोर्टल-पोर्टल चिल्लाने वाली भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार प्रदेश की जनता को पोर्टल के फेर में उलझा कर रखना चाहती है। इसलिए ही मुख्यमंत्री के ऐलान के बावजूद अभी तक 03 लाख रुपये की आय तक के परिवारों के आयुष्मान कार्ड नहीं बन पा रहे हैं। इससे साफ पता चलता है कि आयुष्मान योजना का दायरा बढ़ाने की प्रदेश सरकार की घोषणा सिर्फ छलावा है। शहरी प्रधान मंगत बूरा ने कहा कि पिछले दिनों मुख्यमंत्री ने कहा था कि उनकी सरकार 03 लाख रुपये तक की आय वाले परिवारों का निशुल्क इलाज प्रदान करेगी, लेकिन साथ ही इस सुविधा का लाभ उठाने वालों के लिए प्रीमियम की राशि अदा करने की शर्त पर लगा दी। प्रीमियम राशि जमा कराने के लिए जिस पोर्टल का प्रचार किया जा रहा है, उस पर यह राशि जमा ही नहीं हो रही। मंगत बूरा ने कहा कि दरअसल यह सब पीपीपी में खामी के चलते हो रहा है। पीपीपी सॉफ्टवेयर में 03 लाख तक की आय की कोई स्लैब ही नहीं है। ढाई लाख से 05 लाख तक की स्लैब है। जब लोग आमदनी को 03 लाख रुपये सिलेक्ट कर प्रीमियम भरने लगते हैं तो यह पोर्टल पीपीपी से पुष्टि करने लगता है, वहां ऐसा कोई स्लैब न होने से लोगों के पैसा खर्च करने पर भी आयुष्मान कार्ड नहीं बन पा रहे हैं। शहरी प्रधान मंगत बूरा ने कहा कि 30 सितंबर को आयुष्मान योजना के तहत लाभ लेने के लिए प्रीमियम जमा कराने का पोर्टल बंद हो जाएगा। ऐसे में ढाई लाख से 03 लाख की आमदनी वाले हजारों परिवार इस योजना का लाभ लेने से वंचित रहने वाले हैं। ये लोग जब सरकारी दफ्तरों में इस बात की शिकायत करते हैं तो वहां से जवाब मिलता है कि पोर्टल के मामले में वे कुछ नहीं कर सकते। शहरी प्रधान मंगत बूरा ने कहा कि पोर्टल-पोर्टल करने वाली सरकार को प्रदेश की जनता चुनाव के दौरान करारा जवाब देगी। अब वह दिन दूर नहीं जब भाजपा-जजपा गठबंधन के नेता फील्ड में वोट मांगने जाएंगे तो जनता इन्हें करारा जवाब देती नजर आएगी कि वोट भी पोर्टल से ही मांग लो। तब जाकर गठबंधन सरकार के नेताओं को पता चलेगा कि पोर्टल के फेर में प्रदेश के लोग किस तरह से उलझे हुए हैं।