प्रभु के प्रति अपार श्रद्धा भक्ति और प्रेम का नाम सुदामा है : संत रमेश भाई शुक्ल
डेमोक्रेटिक फ्रंट, चण्डीगढ़- 11सितम्बर :
श्री सिद्ध बाबा बालक नाथ मन्दिर, से. 29 में चल रही भागवत कथा में राष्ट्रवादी कथावाचक संत रमेश भाई शुक्ल ने कहा कि संसार में ईश्वर जैसा दयालु कोई नहीं है। हमें सदैव आभारी रहते हुए प्रभु का स्मरण करना चाहिए। आखिरी दिन कथा व्यास ने कृष्ण के जीवन से जुड़े कई प्रसंग सुनाए। सुदामा प्रसंग सुनाते हुए उन्होंने कहा कि गरीबी का नाम सुदामा नहीं है, प्रभु के प्रति अपार श्रद्धा भक्ति और प्रेम का नाम सुदामा है। संसार में जितने भी पाप हो रहे हैं, उसके पीछे सिर्फ लोभ है। लोभ को जिसने त्यागा वो कभी दुखी नहीं रह सकता है।
उन्होंने कहा कि भगवान की कथाओं से हमें सीख मिलती है कि कितनी भी मुसीबत आ जाए जीवन से निराश नहीं होना चाहिए। कथा विराम में उन्होंने भक्तों को भागवत को अपने जीवन में उतारने की बात कही जिससे सभी लोग धर्म की ओर अग्रसर हों। उन्होंने कहा कि एकनिष्ठ भक्ति के बिना भगवान नहीं मिलते। किसी एक की शरण में जाना ही होगा, भगवान तभी मिलेंगे।
मंदिर समिति के महासचिव कमलेश चंद्र पटपटीया ने बताया कि आज कथा का अंतिम दिन था। कथा में रोजाना सैंकड़ों श्रद्धालुओं ने संत जी की अमृतवाणी का रसपान किया।
अंत में आरती के पश्चात् अटूट भंडारा बरताया गया।