फर्जी मकानों के मामले में एस्टेट आफिस के कुछ कर्मचारीयों के नाम आए सामने , मच सकता है हड़कंप

विनोद कुमार तुषावर, डेमोक्रेटिक फ्रन्ट,  चंडीगढ़ – 14       जून   :

सैक्टर 25 में मकानों के नक़ली कागज बनाकर बेचने के मामले में अब सैक्टर 25 के लोग सामने आने लगे हैं, आज एक टीवी चैनल को दिए गए इंटरव्यू में आप पार्षद पूनम संदीप कुमार ने कहा कि इन गरीब लोगों ने अपने खून पसीने की कमाई सिर्फ सिर के ऊपर छत बनाने के लिए शातिर लोगों के हाथ में देकर पछता रहे हैं, जिन लोगों ने इस गिरोह के सरगनाओं से यह मकान खरीदे हैं,उन सबमें एक डर देखा जा रहा है, आज सैक्टर 24 पुलिस चौकी में  इस ठगी का शिकार हुए पांच लोगों ने बलविंदर s/o पाला राम के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है, इनका कहना हैं कि उन्होंने बलविंदर से यह मकान खरीदे हैं, जिन लोगों ने शिकायत दी है विशाल कुमार मकान नं 1524, साढ़े तीन लाख में, संदीप सिंह मकान नं 2020 डेढ़ लाख में,संजीव कुमार मकान नं 3769, साढ़े चार लाख में,शिव कुमार मकान नं 676 साढ़े चार लाख में तीन लाख में,चतर सिंह मकान नं 551 साढ़े चार लाख में, खरीदे हैं, उन सभी को मकानों के नक़ली कागज बनाकर दिए गए हैं, हैरान करने वाली बात है कि एक शख्स ने अपनी शिकायत में बताया कि सैक्टर 25 में रहने वाला सुंदर जो कि एस्टेट आफिस में कर्मचारी हैं, उनकी मिलीभगत से वह बलविंदर के सम्पर्क में आए और अपनी जिंदगी भर की जमा पूंजी गवा बैठे हैं, अब तो शायद भूखे पेट मरने वाली बात हो गई है, भगवान ही जाने अब हमारा क्या होगा ?? हमें तो इस बात की चिंता सताए जा रही हैं कि जो मकान हमने खरीदे हैं कहीं वह सील ना हो जाए, उधर आप पार्षद पूनम संदीप कुमार ने कहा कि हम चाहते हैं कि इस पूरे मामले में एक विशेष टीम का गठन किया जाना चाहिए, ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके, अभी कालोनी के और भी लोग सामने आएंगे, कुछ लोगों को सामने ना आने के लिए पैसे वापस किए जाने का लालच भी दिया जा रहा हैं ?? एक हैरान करने वाला सच सामने आया है कि जिन लोगों ने आज अपनी लिखित शिकायत दर्ज कराई है उनका कहना है कि इस पूरे फर्जीवाड़े में एस्टेट आफिस के कुछ कर्मचारी भी शामिल हैं, इनके बिना यह संभव ही नहीं है कि मकानों की जाली अलाटमेंट, कब्जा लैटर, रोड़ की पर्ची, बिजली पानी का कनेक्शन कैसे लग सकता है ?? उधर चौंकी इंचार्ज रवदीप ने बताया कि आज कुछ लोगों ने बलविंदर के खिलाफ शिकायत दी है, जिसे आगे डीसी साहब और एस्टेट आफिस के अधिकारियों के पास भेजा जाएगा ।