- वीरेश शांडिल्य की हत्या की मंशा से हमला करने वाले जेल में बंद तीनों नकाबपोशों की सेशन अदालत ने नियमित जमानत रद्द की
- वीरेश शांडिल्य पर हमला करने वाले चौथे नकाबपोश मंगल नाथ को भी पुलिस ने शुक्रवार देर रात किया गिरफ्तार, अरूण डाबला की कोर्ट ने भेजा 14 दिन के लिए जेल
डेमोक्रेटिक फ्रन्ट, अंबाला – 25 फरवरी :
देश में आतंकवाद व खालिस्तान के खिलाफ बेखौफ होकर लड़ने वाले एंटी टेरोरिस्ट फ्रंट इंडिया के राष्टÑीय अध्यक्ष वीरेश शांडिल्य पर 4 फरवरी को उनकी हत्या की मंशा से नकाबपोश हमलावरों ने उन पर हमला किया और वीरेश शांडिल्य के न मिलने पर उनके दफ्तर के सारे सामान को बुरी तरह तोड़ डाला था। उस वक्त वीरेश शांडिल्य पंजाब के राज्यपाल बनवारी लाल पुरोहित को खालिस्तानी मुहिम चलाने वाले अमृतपाल सिंह के खिलाफ ज्ञापन देने गए थे और पीछे से उनके कार्यालय पर हमला हुआ।
अम्बाला पुलिस ने 4 फरवरी को वीरेश शांडिल्य की शिकायत पर अम्बाला शहर थाना में एफआईआर 69/23 दर्ज कर सीसीटीवी आधार पर जांच शुरू कर दी और 10 फरवरी को इस मामले में अम्बाला के एसपी जश्नदीप सिंह रंधावा के आदेश पर बनाई एसआईटी जिसमें डीएसपी जोगेंद्र शर्मा, सीआईए इंस्पेक्टर व एसएचओ रामकुमार और सब इंस्पेक्टर रोहताश शामिल है, बड़ी सफलता हासिल की थी और हमले के लिए आदमी उपलब्ध करवाने वाले प्रवीण चौहान निवासी साहा व नकाबपोश मनजिंद्र सिंह और शंकर को गिरफ्तार किया था। पूछताछ में सामने आया कि यह हमला माइस्टरमाइंड व गैंगस्टर और अपराधिक छवि के अम्बाला शहर के मिलाप नगर निवासी सतपाल उर्फ सत्ता ने करवाया था। पुलिस ने सत्ते का नाम आने के बाद सत्ते को गिरफ्तार करने के लिए छापेमारी शुरू की और पुलिस गिरफ्तारी से बचने के लिए सतपाल सत्ता ने 13 फरवरी को अम्बाला के एडिशनल सेशन जज संजय संधीर की अदालत में अग्रिम जमानत याचिका अपने वकील शेलेंद्र शैली के माध्यम से दायर की। शेलेंद्र शैली ने सतपाल सत्ता को निर्दोष बताते हुए कहा कि सतपाल सत्ता को झूठा फंसाया गया है।
वीरेश शांडिल्य ने अपने केस की अदालत में खुद पैरवी की और कहा कि सतपाल सत्ता गैंगस्टरों के संपर्क में है। आपराधिक व्यक्ति है, मास्टरमाइंड है। और सब इंस्पेक्टर रोहताश कुमार ने अदालत को लिखित बताया कि सतपाल सत्ता के खिलाफ 15 से अधिक अपराधिक मुकद्दमें जिसमें इरादतन हत्या, धोखाधड़ी, घर में घुसकर मारपीट, जबरन वसूली के केस दर्ज है। मामले को गंभीरता से देखते हुए सेशन अदालत ने सतपाल सत्ता की अग्रिम जमानत रद्द कर दी। उसके बाद सतपाल सत्ता ने 21 फरवरी को हाईकोर्ट में अग्रिम जमानत याचिका दायर की। जहां हाईकोर्ट ने सतपाल सत्ता की जमानत रद्द करते हुए उसे 7 दिन के अंदर अम्बाला कोर्ट में सरेंडर करने के आदेश दिए। 23 फरवरी को सतपाल सत्ता ने अम्बाला एसपी के समक्ष सरेंडर किया, जहां से उसे सीआईए स्टाफ ने गिरफ्तार किया और 24 फरवरी को सीजेएम सौरभ गुप्ता ने सतपाल सत्ता को 27 फरवरी तक पुलिस रिमांड पर भेज दिया। जहां वीरेश शांडिल्य ने खुद पैरवी की और सतपाल सत्ता की तरफ से शेलेंद्र शैली अदालत में पेश हुए।
24 फरवरी रात को पुलिस ने बड़ी कामयाबी हासिल करते हुए चौथे नकाबपोश मंगलनाथ निवासी मिलाप नगर अम्बाला शहर को गिरफ्तार कर आज डयूटी मजिस्ट्रेट अरूण डाबला की कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे 14 दिन के लिए जेल भेज दिया गया। वहंी 12 फरवरी से अम्बाला सेंट्रल जेल में बंद प्रवीण चौहान, मनजिंद्र सिंह व शंकर ने नियमित जमानत याचिका दायर की थी, जिसे एडिशनल सेशन जज संजय संधीर की कोर्ट में सुनवाई हुई जहां आरोपियों के वकीलों ने उन्हें नियमित जमानत देने का अनुरोध किया और वीरेश शांडिल्य ने कहा कि आरोपी मास्टरमाइंड है और जांच को प्रभाावित करेंगे और संगठित अपराधियों का गैंग है। जिस पर एडिशनल सेशन जज संजय संधीर ने तीनों आरोपियों की नियमित जमानत रद्द कर दी।
शांडिल्य ने कहा कि उन्हें हमेशा न्यायपालिका ने इंसाफ दिया है और मारने से बचाने वाला बड़ा होता है।