सूरतगढ़ नगर पालिका क्षेत्र में अतिक्रमण के विरुद्ध लगातार हो रही कार्यवाहियों के चलते कुछ दिनों से कुछ नेता फड़फड़ा रहे थे।उनकी घोषणाएं सोशल मीडिया पर हो रही थी कि नगर पालिका ने अतिक्रमण तोड़ने में भाई भतीजावाद किया है, दोहरी नीति अपनाई है, अनेक भूखंड तोड़े नहीं है,रंजिश से अतिक्रमण तोड़े हैं। इसलिए नगरपालिका का घेराव किया जाएगा। ऐसे वक्तव्य सोशल मीडिया पर नेताओं के फोटो सहित भी आ रहे थे लेकिन 25 दिसंबर से अचानक उन पर ब्रेक लग गया।
करणीदानसिंह राजपूत, डेमोक्रेटिक फ्रंट, सूरतगढ़ – 27 दिसंबर :
नगर पालिका के अतिक्रमण हटाओ दस्ते ने आज भयानक ठंड और कोहरे में वार्ड नं 1 में अतिक्रमण तोड़ने का कार्य आरंभ किया तब शुरू से लेकर कार्य बंद करने तक कोई नेता भूमाफिया और अतिक्रमण करने वालों के संग नजर नहीं आया। यह वार्ड नगरपालिका उपाध्यक्ष सलीम कुरैशी का है। क्या पालिका उपाध्यक्ष और पालिकाध्यक्ष ओमप्रकाश कालवा बेशकीमती जमीन पर काफी संख्या में हुए अतिक्रमणों के बारे में सच्च में अनजान थे या मालुम होते हुए भी देख रहे थे?
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नगर पालिका ने भूमाफिया और अन्य लोगों के उन अतिक्रमणओं को तोड़ा जिन में कोई बसा हुआ नहीं था।
बहुत बड़े-बड़े मकान और नोहरे खाली पड़े थे। किसने किये ये कब्जे? हर कब्जे पर लाखों रुपए कब्जा करने पर लगाए और वे लोग कहां गायब हो गए? गरीब का रहने के लिए अतिक्रमण होता है तो उसमें निवास भी होता है लेकिन वहां पर कोई निवास करता हुआ नहीं मिला। नगर पालिका अतिक्रमण हटाओ दस्ता अपना काम करता रहा।
वार्ड नंबर 1 अतिक्रमणों का सबसे सुरक्षित संरक्षित स्थान माना जाता रहा है क्योंकि सबसे अधिक शिकायतों के बावजूद वहां पहले कार्यवाही के निर्देश नहीं हुए। यह दबाव आखिर किसका रहा था।
- जब कार्यवाही का डर न हो और शह देने वाला पास रहकर अतिक्रमण करवाए तो पीछे कौन रहे?
- ये कब्जे वहां पर किसकी शह पर हो रहे थे? कौन करवा रहा था?सभी जानते हुए भी अनजान बनते रहे हैं?
किसी भी वार्ड के अतिक्रमण में सबूत आया तो कार्रवाई हो सकती है। पार्षद हुआ तो पार्षदी जा सकती है। देर सवेर कभी न कभी ये प्रमाण भी मिलेंगे।
नगरपालिका इस समय कुछ दिनों से अतिक्रमण हटाओ अभियान के अंदर फुल फॉर्म में काम कर रही है। नेशनल हाईवे के आसपास और कुछ अन्य वार्डों में करोडों रू कीमत की जमीनों पर से अतिक्रमण हटाए गए हैं।
नगर पालिका अभी वार्ड नंबर 1 में अनेक अतिक्रमण को जो बहुत विशाल क्षेत्र में फैले हुए हैं बहुत बड़े-बड़े अतिक्रमण है उनको 28 दिसंबर को भी हटाने की कार्यवाही करेगी।
नगरपालिका का यह अभियान इस वार्ड के अलावा और आगे कहां कहां चलेगा? यह नगर पालिका प्रशासन जानता है या फिर जिन लोगों पर पीला पंजा चलने वाला है वे भूमाफिया लोग अपना भविष्य जानते हैं।
नगर पालिका की सख्ती के कारण और कानूनी दिक्कतों से बचने के लिए नेतागिरी करने वाले अब नजर नहीं आए और समझा जाता है कि आगे भी नजर नहीं आएंगे।
एक बात निश्चित है कि जिस वार्ड के अंदर दर्जनों अतिक्रमण हुए हैं वहां के पार्षद को अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए। क्या पार्षद की बिना सहमति के अतिक्रमण हो गया?
- ऐसा संभव नहीं है कि लाखों रुपए लगाकर के कोई अतिक्रमण करें और पार्षद को मालूम ना हो या पार्षद को जानकारी नहीं दी गई हो।
- हर अतिक्रमण की पार्षदों को जानकारी होती है और पार्षदों की जिम्मेवारी भी है। अभी नगर पालिका क्षेत्र में इतने अतिक्रमण हैं कि उनको हटाने में कई दिन लगेंगे।
आज दिनांक 27 दिसंबर 2022 को प्रातः 9 बजे पालिका के अतिक्रमण निरोधक दस्ते द्वारा वार्ड नंबर 1 में भू माफिया तथा अज्ञात व्यक्तियों द्वारा किए गए अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही शुरू हुई। इस दौरान कालूराम सेन, मनिंदर कुमार, पूर्णाराम जमादार व अन्य सफाई कर्मचारी उपस्थित रहे।
· इस अभियान के तहत करीब आधा दर्जन चार दिवारी,मकान जेसीबी की सहायता से हटाए गए।
· अभियान 28 दिसंबर को भी वार्ड नंबर एक में चलाया जाएगा।