Monday, January 20

चण्डीगढ़ : प्रॉपर्टी कंसल्टेंट्स एसोसिएशन, चण्डीगढ़ के पदाधिकारियों की एक बैठक एसोसिएशन के अध्यक्ष कमल गुप्ता की अध्यक्षता में हुई जिसमें चण्डीगढ़ हाउसिंग बोर्ड की फ्लॉप हो रही नीलामियों के कारणों के बारे में चर्चा की। बैठक में पदाधिकारियों ने एक स्वर में कहा कि प्रॉपर्टीज को फ्रीहोल्ड घोषित करने के बावजूद अगर ये नीलामी असफल रही है तो इसके पीछे इनका हाई कलेक्टोरेट होना है जिस कारण से न्यूनतम आरक्षित मूल्य निर्धार्रित होता है। इससे पहले लीजहोल्ड सेल को नीलामी के असफल होने के लिए जिम्मेदार माना जाता था।
उल्लेखनीय है कि चण्डीगढ़ हाउसिंग बोर्ड की 35 प्रॉपर्टियों को नीलामी पर रखा था जिसमें से केवल चार ही नीलाम हो पाईं। ऐसा पिछले दो वर्षों से होता चला आ रहा है। चर्चा में ये भी निष्कर्ष निकल कर सामने आया कि अब लोग चण्डीगढ़ को प्रॉपर्टी खरीदने के मामले में प्राथमिकता में नहीं रखते। बल्कि अब इसके लिए वे मोहाली व पंचकूला की और रुख करतें हैं जहाँकि प्रॉपर्टी का कारोबार कहीं अधिक लो कलेक्टोरेट होने की वजह से फल-फूल रहा है। इसके अलावा डबल एफएआर की वजह से वहां प्रॉपर्टियों के दामों में और भी अधिक कमी हो जाती है जिससे रिहायशी व व्यवसायिक प्रॉपर्टियों के खरीददार उधर ही आकर्षित होतें हैं।
प्रॉपर्टी कंसल्टेंट्स एसोसिएशन ने प्रशासन के अधिकारियों को मोहाली व पंचकूला के मुकाबले कलेक्टोरेट को कम रखे जाने का सुझाव दिया है ताकि बेहतर नतीजे हासिल हो सकें। इस अवसर पर संस्था के  चेयरमैन तरलोचन बिट्टू, महासचिव जतिंदर सिंह, वाईस चेयरमैन सुनील कुमार व वित्त सचिव मनप्रीत सिंह आदि भी शामिल थे।