पंचांग, 16 दिसम्बर 2021
16 दिसंबर 2021, दिन बृहस्पतिवार, मार्गशीर्ष मास, शुक्ल पक्ष, त्रयोदशी तिथि, भरणी नक्षत्र 7.35 बजे तक फिर चतुर्दशी नक्षत्र रहेगा। चंद्रमा मेष राशि में 14.21 बजे तक फिर वृष में रहेंगे और भगवान सूर्य धनु राशि में विराजमान हैं। अभिजित मुहूर्त का समय होगा 111.56 से 12.37 बजे तक बजे तक।
नोटः आज गुरुवार को व्रत रखा जाएगा और भगवान शिव की विधि विधान से पूजा की जाएगी. प्रदोष व्रत के दिन सायंकाल में पूजा का शुभ मुहूर्त होता है। प्रदोष व्रत करने से व्यक्ति को संतान, सुख, समृद्धि, आरोग्य आदि प्राप्त होता है। हालांकि इस बार प्रदोष व्रत के दिन अनंग त्रयोदशी।
विक्रमी संवत्ः 2078,
शक संवत्ः 1943,
मासः मार्गशीर्ष़,
पक्षः शुक्ल पक्ष,
तिथिः त्रयोदशी
रात्रिः 04.41 तक है,
वारः गुरूवार।
विशेषः आज दक्षिण दिशा की यात्रा न करें। अति आवश्यक होने पर गुरूवार को दही पूरी खाकर और माथे में पीला चंदन केसर के साथ लगाये और इन्हीं वस्तुओं का दान योग्य ब्रह्मण को देकर यात्रा करें।
नक्षत्रः भरणी (की वृद्धि है जो गुरूवार को प्रातः 7.35 तक है।),
योगः सिद्धि की वृद्धि है जो कि शुक्रवार को प्रातः 08.13 तक है,
करणः कौलव,
सूर्य राशिः धनु, चंद्र राशिः मेष,
राहु कालः दोपहर 1.30 से 3.00 बजे तक,
सूर्योदयः 07.10, सूर्यास्तः 05.22 बजे।