रेहड़ी चोरी हो जाने से गुजर बसर को लेकर था परेशान
चण्डीगढ़ :
हाल ही में गांव दड़वा में रेहड़ी पर सब्जी बेचने वाले राकेश कुमार पांडे की रेहड़ी चोरी हो गई जिससे वह गुजर-बसर को लेकर बेहद परेशान चल रहा था। रेहड़ी ही उनकी रोजी रोटी का सहारा थी। नई रेहड़ी खरीदने के लिए उनके पास धन नहीं था। एनआरआई सुदर्शन गर्ग को जब इस बात का पता चला कि राकेश कुमार पांडे की एकमात्र सहारा रेहड़ी चोरी हो गई है और वह इसे खरीदने में असक्षम है तो उन्होंने उसे रेहड़ी खरीद कर दी ताकि वह अपना गुजर बसर कर सके। राकेश कुमार पांडे ने बताया कि वे पिछले कई वर्षों से सब्जी बेचने का कार्य कर रहे हैं। रेहड़ी चोरी होने के कारण वे बहुत परेशान थे। उनके लिए घर का खर्चा उठाना ही मुश्किल था और ऊपर से रेहड़ी चोरी होने के कारण उनका रोजगार भी छीन लिया। रेहड़ी को ढूंढने के लिए उन्होंने दड़वा गांव की गली -गली छानी मगर रेहड़ी का कोई अता-पता नहीं लगा। दोबारा रोजगार शुरू करने के लिए उन्होंने एनआरआई सुदर्शन गर्ग की दरियादिली के लिए हृदय से आभार व्यक्त किया। सुदर्शन गर्ग सामाजिक कार्यकर्ता भी हैं वे जरूरतमंद लोगों की समय-समय पर सहायता करते रहते हैं। वे 300 के लगभग आर्थिक तौर से कमजोर बच्चों को मुफ्त शिक्षा मुहैया करवाते हैं। इंसानों के साथ साथ वे लावारिस जानवरों का मेडिकल उपचार भी करवाते हैं।