अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद, तकनीकी शिक्षा को अगले अकादमिक सत्र से 8 भारतीय भाषाओं में पढ़ाए जाने का अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद के निर्णय को महत्वपूर्ण मानती है तथा इसका अभिनंदन करती है। अभाविप ने 2016 में शिक्षा मंत्री (तत्कालीन मानव संसाधन विकास मंत्री) को दिए ज्ञापन में यह माँग की थी जो आज साकार हो रही है।
अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद का यह निर्णय विशेषतः ग्रामीण तथा जनजातीय क्षेत्रों के युवाओं के लिये महत्वपूर्ण तथा लाभप्रद सिद्ध होगा तथा ग्रामीण और पिछड़े इलाकों के छात्रों के सपनों को साकार करने में सहायक होगा।
तकनीकी शिक्षा की उपलब्धता भारतीय भाषाओं में न होने के कारण पिछड़े, ग्रामीण तथा जनजातीय क्षेत्रों के छात्र इससे वंचित रह जाते थे। तकनीकी शिक्षा की पढ़ाई मुख्यतः अंग्रेजी भाषा में होने के कारण अंग्रेजी में किंचित असहज अनुभव करने वाले छात्र मानसिक दबाव में शिक्षा ग्रहण करते थे तथा इसी असहजता के कारण तकनीकी शिक्षा से दूर हो जाते थे। अखिल भारतीय तकनीकी संस्थान के इस निर्णय से अब लाखों छात्र तकनीकी शिक्षा को ग्रहण कर पाएंगे तथा देश व समाज के विकास में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा पाएंगे।
अभाविप के प्रदेश मंत्री सुमित जागलान जी ने कहा की, “अभाविप की लम्बे समय से माँग कर रही है की मातृ भाषा में शिक्षा मिले। राष्ट्रीय शिक्षा नीति में भी भारतीय भाषाओं में शिक्षा की उपलब्धता पर जोर दिया है। ए.आई.सी.टी.ई. पाठ्यक्रम को जल्द से जल्द सभी भाषाओं में उपलब्ध करवाये, जिससे यह निर्णय जल्द से जल्द लागू हो।”
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/c93f3355-6213-4c4b-a755-be1bbfdadd3b.jpg562527Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-31 13:31:592021-05-31 13:32:54तकनीकी शिक्षा को 8 भारतीय भाषाओं में पढ़ाए जाने का निर्णय महत्वपूर्ण तथा स्वागत योग्य: अभाविप
पिछले साल दिसंबर में लक्षद्वीप का कमान प्रफुल्ल खोड़ा पटेल को दिया गया। इसके बाद उन्होंने लक्षद्वीप पशु संरक्षण विनियमन, लक्षद्वीप असामाजिक गतिविधियों की रोकथाम विनियमन, लक्षद्वीप विकास प्राधिकरण विनियमन और लक्षद्वीप पंचायत कर्मचारी नियमों में संशोधन के मसौदे लेकर आए। इसमें एंटी-गुंडा एक्ट और दो से अधिक बच्चों वालों को पंचायत चुनाव लड़ने से रोकने का भी प्रावधान है।
पंचकुला/केरल :
भारत में कोरोना की दूसरी लहर के बीच तौक्ते तूफान ने बर्बादी मचाई और अब यास तूफान तबाही मचा रहा है। इन सबके बीच केंद्र शासित प्रदेश लक्षद्वीप में विवादों का तूफान सामने आया है। अपनी प्राकृतिक सुंदरता और शांति के लिए जाना जाने वाला लक्षद्वीप इस समय एक राजनीतिक विवाद को लेकर चर्चा में है। केंद्र शासित प्रदेश के प्रशासक प्रफुल्ल खोड़ा पटेल को हटाने की मांग करने वाले #SaveLakshadweep हैशटैग वाले सैकड़ों पोस्ट से सोशल मीडिया भरा पड़ा है। स्थानीय स्तर पर भी राजनीतिक लोगों से लेकर निवासी भी प्रशासन के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं। दरअसल, प्रफुल्ल खोड़ा पटेल को लक्षद्वीप में कोरोना संक्रमण मामलों में आए उछाल के लिए दोषी ठहराया जा रहा है. उन पर भारत के सबसे छोटे केंद्र शासित प्रदेश में सामाजिक तनाव पैदा करने का भी आरोप है।
आइए जानते हैं वो 10 वजहें जिनकी वजह से लक्षद्वीप में ये विवादों का सियासी तूफान आया है।
कोरोना का हॉट स्पॉट बना लक्षद्वीप
भारत में कोरोना महामारी की पहली लहर के दौरान लक्षद्वीप कोविड-19 के ग्रीन जोन में था। प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि प्रशासक प्रफुल्ल खोड़ा पटेल द्वारा क्वारंटीन और यात्रा नियमों में ढील की वजह से लक्षद्वीप को कोविड-19 के लिए ‘हाइएस्ट पॉजिटिविटी’ वाली जगह बना दिया है। लक्षद्वीप में कोविड-19 के 7,000 से अधिक मामले हैं। लक्षद्वीप ने इस साल 18 जनवरी को अपने पहले कोविड-19 मामलों की जानकारी दी, जब 14 व्यक्तियों की कोरोना वायरस संक्रमण की रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। 2011 की जनगणना के अनुसार लक्षद्वीप की जनसंख्या 65,000 से भी कम है। लक्षद्वीप में कोरोना का पॉजिटिविटी रेट ज्यादातर 10 से कम रहा है। हालांकि, कभी-कभी यह कुछ दिनों के में 20 फीसदी को पार कर जाता है।
पूर्व प्रशासक दिवंगत दिनेश्वर शर्मा के प्रशासनकाल में क्वारंटीन के नियमों का सख्ती से पालन किया गया था। वहीं, अब यात्रियों को लक्षद्वीप पहुंचने के लिए केवल कोरोना वायरस की निगेटिव रिपोर्ट की जरूरत होती है। इस पर प्रफुल्ल खोड़ा पटेल का कहना है कि लक्षद्वीप की अर्थव्यवस्था के मुख्य आधार पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए यह बदलाव लाए गए थे।
लक्षद्वीप पशु संरक्षण नियम 2021
प्रफुल्ल खोड़ा पटेल ने लक्षद्वीप पशु संरक्षण नियम 2021 प्रावधान प्रस्तावित किया है। जिसके अंतर्गत गाय, सांड और बैल की हत्या पर प्रतिबंध लग जाएगा। इस प्रस्ताव का जमकर विरोध किया जा रहा है और प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि प्रफुल्ल खोड़ा पटेल आरएसएस के बीफ बैन के एजेंडे को लागू कर रहे हैं। हालांकि, भारत में बीफ में ज्यादातर भैंस का मांस होता है।
लक्षद्वीप की आबादी में लगभग 97 फीसदी मुसलमान हैं और इनमें अधिकतर अनुसूचित जनजाति के हैं। लक्षद्वीप की जनजातीय आबादी लगभग 95 फीसदी है। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि बीफ उनके नियमित आहार का हिस्सा है। प्रफुल्ल खोड़ा पटेल का समर्थन करने वाले राज्य को गोहत्या पर प्रतिबंध लगाने वाले संवैधानिक प्रावधान का हवाला देते हैं।
मिड-डे मील से मांसाहार को हटाना
प्रफुल्ल खोड़ा पटेल ने लक्षद्वीप के स्कूलों में मध्याह्न भोजन यानी मिड-डे मील से मांसाहारी भोजन को हटा दिया है। इस निर्णय का भी जमकर विरोध हो रहा है। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि बच्चों के खाने से मांसाहार को नही हटाना चाहिए।
शराब की बिक्री और बार की अनुमति
प्रफुल्ल खोड़ा पटेल ने केंद्र शासित प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा देने के तरीके के तौर पर लक्षद्वीप में बार की अनुमति देने का प्रस्ताव रखा है। गुजरात की तरह ही लक्षद्वीप में भी शराब की बिक्री और खपत पर प्रतिबंध लगाने वाला एक निषेध कानून है। दिलचस्प बात यह है कि संविधान भारत में शराबबंदी का प्रावधान करता है। इस कदम का स्थानीय निवासियों और राजनीतिक नेताओं द्वारा जोरदार विरोध किया जा रहा है। यहां शराब का विरोध चौंकाने वाला है। क्योंकि लक्षद्वीप की अधिकांश आबादी मलयालम भाषी है और देश में सबसे अधिक शराब खपत करने वाले राज्यों में सामिल केरल के साथ गहरे संबंध रखती है।
असामाजिक गतिविधि विनियमन विधेयक
विवादों के इस तूफान में लक्षद्वीप प्रशासन द्वारा प्रस्तावित असामाजिक गतिविधि विनियमन विधेयक भा अहम है। प्रस्तावित कानून में किसी संदिग्ध को हिरासत में लेने के लिए कोर्ट द्वारा जारी वारंट की जरूरत नही होगी। प्रदर्शनकारियों ने इसे ‘गुंडा एक्ट’ करार दिया और विधेयक का विरोध करते हुए कहा कि लक्षद्वीप में राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के आंकड़ों के अनुसार देश की सबसे कम अपराध दर है। प्रफुल्ल खोड़ा पटेल का तर्क है कि लक्षद्वीप में ड्रग्स से संबंधित अपराधों में बढ़ोत्तरी देखी गई है।
कर्नाटक को कार्गो का डायवर्जन
प्रफुल्ल खोड़ा पटेल के नेतृत्व पर ये भी आरोप लगाए जा रहे हैं कि वह केरल के साथ लक्षद्वीप के संबंधों को बाधित कर रहे हैं। साथ ही भाजपा शासित राज्य कर्नाटक को फायदा पहुंचा रहे हैं। दरअसल, पहले लक्षद्वीप के लिए आने वाले कार्गो को केरल के बेपोर बंदरगाह पर डॉक किया जाता था। केरल के साथ द्वीप के निवासियों के मजबूत सांस्कृतिक संबंध हैं। प्रफुल्ल खोड़ा पटेल पर आरोप है कि उन्होंने भाजपा शासित राज्य को लाभ पहुंचाने और केरल के साथ लक्षद्वीप के संबंधों को बाधित करने के लिए कार्गो को कर्नाटक के मैंगलोर बंदरगाह पर भेजा।
लक्षद्वीप विकास प्राधिकरण
इन सभी मुद्दों में सबसे विवादास्पद लक्षद्वीप विकास प्राधिकरण विनियमन 2021 है, जिसे प्रफुल्ल खोड़ा पटेल द्वारा प्रस्तावित किया गया है। अगर इसे लागू किया जाता है, तो यह प्रशासक के तौर पर सरकार को मजबूत करेगा। दरअसल, इसके अंतर्गत लक्षद्वीप में ‘खराब लेआउट या पुराने’ बुनियादी ढांचे के रूप में पहचाने जाने वाले किसी भी क्षेत्र के विकास के लिए विकास प्राधिकरणों का गठन करने की प्रशासक को शक्ति मिलती है। केवल छावनी क्षेत्रों को ही इस नियम के दायरे से बाहर रखा गया है। प्रदर्शनकारियों द्वारा इस विधेयक का विरोध किया जा रहा है। प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया है कि इस कानून का उद्देश्य ‘रियल इस्टेट हितों’ को साधना और अनुसूचित जनजाति के लोगों की छोटी जमीनों को हड़पना है।
लक्षद्वीप पंचायत कर्मचारी नियम
केंद्र शासित प्रदेश में लक्षद्वीप पंचायत कर्मचारी नियम प्रस्तावित किया गया है। इस नियम के अनुसार, दो से अधिक बच्चों वाले लोगों को पंचायत चुनाव लड़ने का अधिकार नहीं होगा। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि लक्षद्वीप की कुल प्रजनन दर 1.6 है। यह कानून कई प्रमुख नेताओं को अयोग्य घोषित करने के लिए लाया गया है।
संविदा नौकरियों को खत्म करना
प्रदर्शनकारियों का ये भी आरोप है कि लक्षद्वीप में विभिन्न विभागों में संविदा कर्मचारी के तौर पर काम करने वाले लोगों को भी हटाया जा रहा है। प्रफुल्ल खोड़ा पटेल पर आरोप है कि पर्यटन विभाग, आंगनवाड़ी, शिक्षण संस्थानों समेत कई विभागों से लोगों को बड़ी संख्या में बर्खास्त किया जा रहा है।
सड़कों का चौड़ीकरण
प्रफुल्ल खोड़ा पटेल ने लक्षद्वीप में सड़कों के चौड़ीकरण और हाइवे निर्माण के आदेश भी दिए हैं। प्रदर्शनकारी और नेता इसका भी विरोध कर रहे हैं। दरअसल, लक्षद्वीप में सबसे बड़ा बसा हुआ द्वीप एंड्रोथ केवल 4.9 वर्ग किमी में फैला है। जिसका घनत्व 2,312 व्यक्ति प्रति वर्ग किमी है। सबसे कम घने द्वीप बितरा में 271 लोग 0.10 वर्ग किमी क्षेत्र में रहते हैं। प्रदर्शनकारी का कहना है कि इतनी छोटी जमीन पर किस तरह से हाइवे या मेगा इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट बनाए जा सकते हैं?
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/Save-lakshadweep-784563.jpg5751132Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-31 13:15:162021-05-31 13:19:01लक्षद्वीप का राजनैतिक संकट गहराया
Chandigarh Police arrested Surinder Kumar R/o # 734, Milk Colony, Dhanas, Chandigarh while he was playing satta near Kabari market, Dhanas, Chandigarh on 30.05.2021. Total cash Rs. 1120/- was recovered from his possession. In this regard, a case FIR No. 62, U/S 13A-3-67 Gambling Act has been registered in PS-Sarangpur, Chandigarh. Later he was released on bail. Investigation of the case is in progress.
Snatching
Adil R/o Jhuggi near petrol pump, Sector 41, Chandigarh alleged that unknown boy and girl on black pulsar motorcycle Number not confirmed, who sped away after snatched complainant mobile phone along with cash Rs. 8000/- kept in mobile cover near petrol pump, Sector 41, Chandigarh. A case FIR No. 132, U/S 379-A, 34 IPC has been registered in PS-39, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.
MV Theft
Sarvjeet Singh R/o # 3289, Sector-47-A, Chandigarh reported that unknown person stole away complainant’s bullet motorcycle No.CH01BD-4285, near his residence on 21.05.2021. A case FIR No. 24, U/S 379 IPC has been registered in PS-31, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.
Missing
A lady resident of Chandigarh reported that unknown person who missing/abducted his daughter aged 14 years from her residence on 28.05.2021. A case FIR No. 131, U/S 363 IPC has been registered in PS-39, Chandigarh. Investigation of the case is in progress.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.png00Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-31 12:14:142021-05-31 12:14:17Police Files, Chandigarh – 31 May
शुरुआती लक्षण आते ही ई एन टी सर्जन को दिखाएं तभी संभव है म्युकर माइकोसिस को मात देना
फैमिली की सपोर्ट के साथ साथ डॉक्टर में पूर्ण विश्वास भी आवश्यक
Mohali/Chandigarh/Derabassi 31May
केस स्टडी सुखपिंदर जीत कौर
मुक्तसर की सुखपिंदर जीत तीन हफ्ते पहले तालू में कालापन , दाएं तरफ चेहरे पर सूजन व सुन्न होने के लक्षणों के साथ हमारे पास मोहाली इंडस में आई थी तो सबसे हमने नाक की एंडोस्कोपी की तो अंदर पूरा पूरा काला दिखा और व देखने के बाद हमने नाक से एक मास का छोटा सा टुकड़ा लिया व एम आर आई करवाई , पीस से फंगस की पहचान हुई व एम आर आई से हम देख पाए कि चेहरे की आधी हड्डियों व आधा तालु व आंख व ब्रेन के आसपास का हिस्सा ग्रस्त था व ओपन सर्जरी द्वारा चेहरे की आधी हड्डियां व आधा तालू को निकालना पड़ा। उसके बाद तीन हफ्ते एन्टी फंगल इंजेक्शन के कोर्स के बाद एन्टी फंगल दवाओं के साथ डिस्चार्ज किया जा रहा है ।
अगले कुछ महीने हम लगातार जांच करते रहेंगे व सुनिश्चित करेंगे को इंफेक्शन बिल्कुल ठीक होने के बाद ही डेंटिस व प्लास्टिक सर्जन मिलकर इनका तालू व हड्डियों की री कंस्ट्रक्शन सर्जरी करेंगे व मरीज अपनी नॉर्मल लाइफ स्टाइल पर वापिस आ जायेगा ।
डॉ क्षितिज व डॉ ईशान ने बताया कि हमने लगभग 6 मरीजों को एंडोस्कोपी सर्जरी के जरिये ही ठीक किया है लेकिन 3 मरीज ऐसे थे जिनकी फैमिली ने कॉर्पोरेट नहीं किया और वह लोग डर के मारे घबरा गए , म्युकर का नाम ही सुनते ही दुनिया खत्म नहीं होती है ,हिम्मत से डट कर मुकाबले की आवश्यकता होती है ,मरीज को शुरुआती लक्षणों के आते ही बिना किसी देरी के मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल में जांच करवानी चाहिए ताकि जल्द से जल्द व कम से कम डिफॉर्मिटी से उनका इलाज हो पाए।
डॉ एस पी एस बेदी क्लिनिकल डायरेक्टर इंडस अस्पताल ने बताया कि म्युकर माइकोसिस किन किन लोगों में अधिक देखने को मिलता है
1.डायबिटीज के मरीजों में
2.स्टेरॉयड का अधिक सेवन करने वालों में
3.ICU में रहने वाले मरीजों में
4.गंभीर बीमारियों का शिकार हो
म्युकर माइकोसिस के लक्षण
1साइनस की परेशानी होना, नाक बंद हो जाना, नाक की हड्डी में दर्द होना
2.नाक से काला तरल पदार्थ या खून बहना
3.आंखों में सूजन, धुंधलापन दिखना, डबल विजन
4. सामने के दांत हिलने लगना व दर्द
5.चेहरे पर सूजन ,सुन्न पन, दर्द
6. आँखों के इर्दगिर्द दर्द या सर दर्द
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/IMG_20210531_112629.jpg630840Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-31 12:03:482021-05-31 12:04:01ब्लैक फंगस यानी म्युकर माइकोसिस को दी मात पी जी आई के ई एन टी सर्जन इंडस अस्पताल की जोड़ी ने
नोटः आज रात्रिः 03.59 से पंचक प्रारम्भ हो रहे हैं, पंचक काल में तृण, काष्ठ, धातु का संचय व भवन निर्माण और नवीन कार्य तथा यात्रा आदि कर्म वर्जित होते हैं।पंचक काल में शव दाह का भी निषेध होता है।चूंकि शव को इतनी लंबी अवधि हेतु रोकना देश काल परिस्थिति के अनुसार मुश्किल हैं, अतः योग्य वैदिक ब्रह्मण की सलाह लेकर पंच पुतलों का दाह और पंचक नक्षत्रों की शांति विधि पूर्वक करानी चाहिए। क्योंकि ऐसा कहा जाता है कि मृतक व्यक्ति के परिवार व संबंधियों में से ही पाॅच व्यक्तियों के अकालमृत्यु होने की आशंका बनी रहती है।
विशेषः आज पूर्व दिशा की यात्रा न करें। अति आवश्यक होने पर सोमवार को दर्पण देखकर, दही,शंख, मोती, चावल, दूध का दान देकर यात्रा करें।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2020/04/panchang-2-5.jpg7761200Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-31 01:29:062021-05-31 01:29:37पंचांग 31 मई 2021
बलाचौर के निकट स्थित एक गांव से दिल दहला देने वाली खबर आई है। शनिवार को औलियापुर गांव में सतलुज दरिया में नहाने गए चार युवकों की डूबने से मौत हो गई। घटना की सूचना पाकर पहुंची पुलिस ने गोताखोरों की मदद लेकर चारों युवकों के शव तलाश कर लिए हैं। तलाशी के दौरान मौके पर सतलुज दरिया किनारे भारी भीड़ जुटी रही। युवकों के स्वजनों का रोकर बुरा हाल था।
भीषण गर्मी से बचने के लिए चारों युवक दोपहर करीब 3.30 बजे मोटरसाइकिल पर सवार होकर औलियापुर गांव के पास सतलुज नदी में नहाने गए थे।औलियापुर के समीप सतलुज नदी में नहाने के दौरान बलाचौर के वार्ड नंबर चार निवासी हरदीप कुमार उर्फ मणि, संदीप उर्फ दीपू व हैप्पी के नदी के किनारे से कपड़े और जूते भी बरामद किए गए हैं। पुलिस ने लापता युवकों की तलाश के लिए रोपड़ से गोताखोरों की टीम बुलाई थी। परिवार वालों का रो रोककर बुरा हाल था, पूरा वातावरण चीखों से गूंज रहा था।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/3a0aa8fae7578c45b4226321bf0eb571fbefea65efff2b00ae0ba313920df49d.jpg400623Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-29 16:23:082021-05-29 16:23:29पंजाब में दर्दनाक हादसा, चार युवकों की डूबने से मौत
जालंधर में कमिश्नरेट पुलिस का ही ASI व कांस्टेबल मिलकर हनीट्रैप गैंग चला रहे थे। इसका खुलासा तब हुआ, जब उन्होंने गैंग की लड़की को मदद के बहाने एक व्यक्ति के पास भेजा और फिर फर्जी रेड कर दी। बाद में उसे छेड़छाड़ के केस में फंसाने की धमकी देकर 10 लाख रुपए मांगे। उसे शक हुआ तो सीनियर अफसरों को शिकायत कर दी। जांच के बाद पुलिस ने जंडियाला पुलिस चौकी के ASI कश्मीर लाल, कांस्टेबल परमजीत सिंह समेत 5 लोगों पर साजिश रच फिरौती मांगने, जान से मारने की धमकी व साजिश के आरोप में केस दर्ज कर लिया है। इनमें कांस्टेबल परमजीत सिंह को छोड़ बाकी चार आरोपी अरेस्ट हो चुके हैं।
नकोदर के हरजिंदर सिंह ने बताया कि जब वह जालंधर के बस स्टैंड पर था तो एक लड़की की कॉल आई। उसने कहा कि उसकी मां सख्त बीमार है। रुपए न होने की वजह से वो दवाई का इंतजाम नहीं कर पा रही है। अगर इस वक्त मेरी मदद कर दो तो बड़ी मेहरबानी होगी। हरजिंदर ने कहा कि वो जालंधर बस स्टैंड से नकोदर आ रहा है। लांबड़ा बस स्टैंड पहुंचकर वो मदद कर देगा।
जब वह बस स्टैंड लांबड़ा पहुंचा तो लड़की की कॉल आने पर उसने वहीं अपनी कार रोक ली। लड़की उसकी कार की अगली सीट पर बैठ गई। उसने लड़की को 2 हजार रुपए दे दिए। जैसे ही लड़की नीचे उतरने लगी तो अचानक एक कार (PB07AU-2913) उसकी कार के आगे आकर रुकी। उसमें से दो पुलिस वाले वर्दी में और एक सादे कपड़ों में बाहर निकले। इतनी देर में एक काले रंग की एक्टिवा पर औरत भी वहां आ गई।
इन सबने उसकी कार को घेर लिया। फिर उसे ड्राइवर वाली सीट से जबरन उतारकर अपनी कार में बिठा लिया। उससे कार की चाबी भी छीन ली। उससे 2 हजार रुपए लेने वाली लड़की, एक्टिवा पर आई औरत व सादे कपड़े वाला आदमी भी उसी कार में बैठ गए। सोची-समझी साजिश के तहत वो दोनों का
रों को एक किलोमीटर दूर लुहारा गेट तक ले गए। वहां कारें रोक उसका पर्स व मोबाइल ले लिया। पर्स में करीब 10 हजार रुपए थे। इसके बाद उसे पुलिस वर्दी वाले व्यक्तियों ने धमकाते हुए कहा कि अगर उन्हें 10 लाख रुपए न दिए तो उस पर लड़की से छेड़छाड़ का केस दर्ज कर देंगे। इससे वो बुरी तरह से डर गया। हरजिंदर ने मिन्नतें की कि उसके पास 10 लाख रुपए नहीं हैं। किसी तरह सौदा 2.50 लाख में तय हो गया। रुपए के बदले उन्होंने 1 लाख व डेढ़ लाख के दो चैक ले लिए। इसके बाद उसे कार की चाबी व मोबाइल लौटा दिया। फिर उसे धमकाया कि अगर किसी को इसके बारे में बताया तो उसके खिलाफ केस दर्ज कर देंगे। इसके कुछ समय बाद पुलिस वाले फोन करने लगे कि उन्हें चैक नहीं बल्कि ढ़ाई लाख रुपए कैश चाहिए।
इसकी जांच हुई तो पता चला कि इस हनीट्रैप गैंग में जंडियाला पुलिस चौकी का ASI कश्मीरी लाल व हवलदार परमजीत सिंह शामिल हैं। सादे कपड़े में आया आरोपी जंडियाला में मोटर मैकेनिक का काम करने वाला रवि नाहर है। कार में बैठने वाली लड़की प्रभजोत कौर है जबकि एक्टिवा पर आई महिला गुरविंदर कौर है।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/13_1622290764.jpg7201280Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-29 16:15:292021-05-29 16:15:45जालंधर में हनीट्रैप : मदद के बहाने लड़की भेज की फर्जी रेड, फिर छेड़छाड़ के केस की धमकी दे 10 लाख फिरौती मांगी, ASI समेत 4 अरेस्ट
पंजाब कांग्रेस में कलह से निपटने के लिए पार्टी हाईकमान ने तीन सदस्यीय कमेटी का गठन कर दिया है। कमेटी में पंजाब प्रभारी हरीश रावत, मल्लिकार्जुन खड़गे और पूर्व सांसद जेपी अग्रवाल को शामिल किया गया है। साथ ही हाईकमान ने शनिवार को नई दिल्ली में कमेटी की पहली बैठक भी बुला ली है। इस बीच, पंजाब के नाराज नेताओं को दिल्ली बुलाए जाने की खबरों पर विराम लगाते हुए विधायक परगट सिंह ने कहा कि प्रदेश के कांग्रेस नेताओं को फिलहाल ऐसा कोई संदेश नहीं मिला है।
दूसरी ओर, पंजाब में कैप्टन खेमा भी सक्रिय हो गया है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और प्रदेश पार्टी प्रधान सुनील जाखड़ ने डैमेज कंट्रोल की कवायद शुरू कर दी है। कमेटी की मीटिंग से पहले पंजाब कांग्रेस द्वारा दोनों पक्षों की बैठक बुलाई जा सकती है। कैप्टन भी नाराज नेताओं से वन टू वन मुलाकात कर सकते हैं। यह सारे प्रयास इसलिए किए जा रहे हैं कि हाईकमान की कमेटी अगले हफ्ते पंजाब का दौरा कर सकती है। इस दौरान चंडीगढ़ में कमेटी नाराज विधायकों और मंत्रियों से मिलेगी।पंजाब प्रभारी हरीश रावत ने कहा कि सभी नेताओं से कहा गया है कि आपसी मतभेद की चर्चा सार्वजनिक मंचों पर न करें।नाराज नेता प्रेस कॉन्फ्रेंस करने वाले थे पर हाईकमान ने रोक दिया था। नवजोत सिद्धू द्वारा गुप्त मीटिंगों का दौर अभी भी दौर जारी है।
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/08/captain-amrinder-singh.jpg498885Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-29 16:01:172021-05-29 16:01:37प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ कमेटी के पंजाब दौरे से पहले ही डैमेज कंट्रोल में जुटे
Chandigarh on 28th May,2021 registered the lowest number of daily count of Covid-19 cases in the last 10 weeks with positivity rate further receding to 7.5%. The city may have seen reduction in the cases, but the night curfew still remains in place until further orders. The decision was taken at the Covid review meeting chaired by UT administrator VP Singh Badnore.
Serious concerns about the spiking number of Covid-19 cases in the city and higher fatality rate were raised with strict guidelines to be followed.
• Curfew timings starting from 10pm on Friday till Monday 5am. • Shops dealing with essential services allowed to operate till 2pm while the non-essential shops continue to remain shut during the curfew. • No curbs on inter-state movement of essential and non-essential goods. • All vaccination centers and testing labs will continue to operate. • Manufacturing units shall be allowed to remain open.
• ATMs, hospitals, veterinary hospitals and all medical related establishments including their distribution centers both public and private are allowed to function.
• Restaurants and eateries will continue delivering food till 9 pm only. • Marriages with prior permission allowed to take place with not more than 20 people.
• Funerals allowed with up to 10 people.
Any person or persons flouting the guidelines will be booked under Section 51 and 60 of the Disaster Management Act and Section 188 of the Indian Penal Code.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/IMG_3266.jpg308548Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-29 15:23:012021-05-29 15:23:04UT’S WEEKEND CURFEW REMAINS IN FORCE
Central Board of Secondary Education is likely to announce the class 12 Board Exam 2021 dates for the awaited exams by 1st June, 2021 . Two possible option were contemplated to hold the board examination, one of them being, to conduct exams for a few major subjects and awarding marks for the rest on the basis of that. Another alternative which was discussed was to hold exams at self-centres, meaning the respective schools with exam pattern changing to objective type of questions. Education Ministry had also asked the states to provide their specific feedbacks on the proposal by 25May. However different states have distinct situations, Most of the states are in favour of conducting the exams in July-August, in a shorter format, only four states including Maharashtra, Delhi, Goa and Andaman & Nicobar are disinclined towards carrying out examination and have exacted to vaccinate students and teachers before holding the exams.
While the public is having equivocal and muddled opinions on this decision. Teachers have hailed the option for objective type of examinations considering the future of the students in view. “Totally advocating the decision of conducting class 12th Board exams, else the equilibrium between the professional lives will be disturbed” Says Mr. Rajneesh Kumar, a teacher of Saupin’s School ,Chandigarh. Students need to buckle up, begin to clarify their doubts and brush up their concepts, “Exams should certainly happen, else it will take a toll on a child’s future” was remarked by Mr. Rajeev Karkra, a commerce teacher.
While most of the teachers acclaim the decision, a few of them having distinct opinions, state that objective type of examination is not worth taking the risk, “Objective type of exams are of little significance, as it neither solves the purpose of evaluating true knowledge of a student, nor establishes the ground for a successful professional career” says Ms. Indu Jaspal, a government English teacher.
Jumbled school of thoughts were observed from the parents too, few are not happy and in favour of the thought for conducting the exams, considering the safety of their children. “Not denying the fact, that 12th board exams are of utmost importance for a student, but also keeping in mind the unforeseeable and unprecedented times we are currently living in, it is very difficult for us as parents to put lives of our children in jeopardy” exclaims Ms. Anita Sharma.
Safety and lives of children and teachers are of paramount importance considering the view of conducting exams in such an unreal situation. “We don’t want to risk lives of our children, the world seems staggering right now, exams can wait” exclaims Ms. Paramjeet Kaur. Pondering on the professional lives of children, few parents extoll the decision, “I am in utter support for the exams being held, keeping in mind the future of my child” says Ms. Jaswinder Kaur.
While the students have different concerns, as many of them commented that before contemplation of board exams, there is a dire need for physical classes to resume for being assessed and doubt solving. “We have not had practical classes in the year- in such a situation, conducting board exams seems superfluous” says Shivom Saini, a medical student.
Class 12th Board Exams are being postponed from quite a while now, few students are now desperate to vent out their learnings, “ My future seems under the cloud and very blurry right now, I’m not sure what the final decision is going to be, but I’m prepared for the exams and in total favour of them” was stated by Arshjot Singh, a commerce student.
Navdeep Chauhan pursuing humanities, takes due account on the present Covid situation and remarks that, “offline exams should not be conducted, because the situation of COVID-19 in our country is worsening. Even objective type of exams will lead to huge gatherings, which can cause a massive spread of the virulent virus”
With different opinions, there is a baffling wave amongst those who may get affected by this decision, however there is no official confirmation from the ministry of education as of yet.
https://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2021/05/q6ibgvfmehqy8by6_1621942912.jpeg433758Demokratic Front Bureauhttps://demokraticfront.com/wp-content/uploads/2018/05/LogoMakr_7bb8CP.pngDemokratic Front Bureau2021-05-29 15:13:232021-05-29 15:13:27Shorter Duration On The Cards For 12th Board Exams
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