गुजरात राज्य सभा चुनाव – भाजपा ने जीतीं दोनों सीटें

राज्यसभा चुनाव में कांग्रेस को झटका लगा है। कांग्रेस के हिस्से की एक सीट भी बीजेपी के पास चली गई। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और सोनिया गांधी के खास अहमद पटेल का पिछले साल 25 नवंबर को निधन हो गया था। उनके निधन के बाद ही ये सीट खाली हो गई थी। वे 2017 के चुनाव में राज्यसभा के लिए चुने गए थे। उनका कार्यकाल अगस्त 2023 तक था। वे पांच बार राज्यसभा का प्रतिनिधित्व कर चुके थे। वहीं भाजपा के अभय भारद्वाज का निधन एक दिसंबर को हुआ था। राज्यसभा की अभी की संख्या से बीजेपी बहुमत के आंकड़े के बेहद नजदीक पहुंच चुकी है। अभी राज्यसभा की संख्या 238 और बहुमत का आंकड़ा 120 है। वैसे AIADMK, BJD, TRS और YSR कांग्रेस ने कई मुद्दों पर NDA को समर्थन दिया है।

नयी दिल्ली (ब्यूरो):

गुजरात से राज्यसभा की दोनों सीटों पर भाजपा ने कब्जा जमा लिया है। भाजपा के दिनेशचंद्र जमलभाई अननवदिया और रामभाई हरजीभाई मोकरिया ने जीत हासिल की है। गुजरात की ये दोनों सीटें कॉन्ग्रेस के अहमद पटेल और भाजपा के अभय गणपतराय भारद्वाज के निधन के बाद खाली हो गई थीं।

राज्यसभा सांसद रामभाई मोकारिया मारुति कोरियर्स के संस्थापक सीएमडी हैं और राजकोट में भाजपा के पुराने कार्यकर्ता रहे हैं। रामभाई 1974 से अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के सदस्य थे और बाद में 1978 में जनसंघ में शामिल हो गए। तब से वह भाजपा के साथ हैं। मोकारिया ब्राह्मण समुदाय से हैं।

राज्यसभा चुनाव में कॉन्ग्रेस को झटका लगा है। कॉन्ग्रेस के हिस्से की एक सीट भी बीजेपी के पास चली गई। कॉन्ग्रेस के वरिष्ठ नेता और सोनिया गाँधी के खास अहमद पटेल का पिछले साल 25 नवंबर को निधन हो गया था। उनके निधन के बाद ही ये सीट खाली हो गई थी। वे 2017 के चुनाव में राज्यसभा के लिए चुने गए थे। उनका कार्यकाल अगस्त 2023 तक था। वे पाँच बार राज्यसभा का प्रतिनिधित्व कर चुके थे। वहीं भाजपा के अभय भारद्वाज का निधन एक दिसंबर को हुआ था।

गौरतलब है कि 8 अगस्त 2017, कॉन्ग्रेस ने गुजरात में अपने नेता अहमद पटेल की राज्यसभा सीट को बचाने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया था। राज्य में तीन सीटों पर दोबारा चुनाव होने थे और दावेदार 4 थे। यही वो समय था जब गुजरात 1996 के बाद पहली दफा राज्यसभा चुनावों को देख रहा था क्योंकि इससे पहले हर राज्यसभा चुनाव निर्विरोध होता आ रहा था।

उस साल दो सीटों पर अमित शाह और स्मृति ईरानी की जीत सुनिश्चित थी, लेकिन तीसरी सीट के लिए भाजपा ने गुजरात में कॉन्ग्रेस के अहमद पटेल के सामने कॉन्ग्रेस के ही पूर्व चीफ व्हिप बलवंत सिंह राजपूत को उतार दिया था।

चुनावों के लिए चली गई चाल का ड्रामा मतदान के बाद भी आधी रात तक चला। कॉन्ग्रेस ने अपना सारा पैसा, सारी ताकत एक राज्यसभा सीट को बचाने में लगा दिया। इस चुनाव में अहमद पटेल तो जीत गए लेकिन कॉन्ग्रेस राज्य को हार गई। अब कॉन्ग्रेस के हाथ से वो सीट भी जाती रही।

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