पीसीआर कर्मियों पर कोरोना को हराने के साथ गली-नुक्कड़ व शहर की सुरक्षा का जिम्मा
किरण, कुरुक्षेत्र, 15 मई:
पीसीआर पर तैनात कर्मी अपना फर्ज निभाने के साथ लोगों को कर रहे कोरोना के प्रति आगाह
बेशक शहर के चौक-चौराहों पर पुलिस का 24 घंटे पहरा हो, लेकिन गली-मोहल्ले से लेकर नुक्कड़ व शहर की सुरक्षा में जिम्मा पीसीआर संभाले हुए है। पीसीआर कर्मी न केवल गल्ली-मोहल्ले में गश्त करके लोगों को कोरोना के प्रति आगाह कर रहे हैं। यही नहीं पीसीआर दिन-रात असामाजिक तत्वों पर भी निगरानी रखे हुए है। पीसीआर कर्मी असल में कोरोना की लड़ाई में फ्रंट मोर्चे डटे हुए हैं या यूं कहें कि यह बतौर कोरोना योद्धा आमजन को सुरक्षित रखने में अहम भूमिका निभा रहे हैं।
कोरोना वायरस की लड़ाई को जीतने के लिए पीसीआर कर्मी सबसे आगे हैं। कंट्रोल रूम से मैसेज मिलते ही पीसीआर तुरंत उस गली-मोहल्ले में पहुंच रही हैं, जहां पर लोगों के एकत्रित होने या फिर क्वारंटाइन किए गए लोगों के घर से बाहर निकलने की सूचना मिलती है। लॉकडाउन के प्रथम, द्वितीय व तृतीय चरण में पुलिस की पीसीआर व राइडर टीमें 24 घंटें शहर की गलियों में गश्त कर रही हैं। पीसीआर व राइडर का सायरन बजते ही शहरवासी भी समझ रहे हैं कि घरों में रहकर ही सुरक्षा चक्र को मजबूत किया जा सकता है।
समाज को कोरोना से बचाना है मकसद
सहायक उप निरीक्षक ईश्वर का कहना है कि कोरोना महामारी से समाज को बचाने के मकसद से वे हर समय लोगों को जागरूक कर रहे हैं। गली-मोहल्लों में गश्त के दौरान शहरवासियों को लॉकडाउन की पालना करते हुए घरों में सुरक्षित रहने के प्रति आगाह किया जाता है। पीसीआर कर्मियों का केवल एक ही उद्देश्य है हर व्यक्ति घर में सुरक्षित रहे।
बाजारों में छूट मिलने से बढ़ी पुलिस की जिम्मेदारी
सहायक उपनिरीक्षक शमशेर सिंह का कहना है कि लॉकडाउन-3 में राहत मिलने से बाजारों में भीड़ बढ़ी है। लिहाजा भीड़ बढ़ने से पुलिस की जिम्मेवारी भी बढ़ गई है। बाजार में भीड़ न बढ़े और व्यवस्था बनी रहे, इसी उद्देश्य के चलते दिन में गश्त का रूट ज्यादातर बाजार का रहता है ताकि कहीं भी सोशल डिस्टेसिंग का चक्र न टूटे।
राहगीरों को पढ़ाया जा रहा है नियमों का पाठ
मुख्य सिपाही राजेंद्र का कहना है कि गश्त के दौरान यदि कोई राहगीर नियमों की उल्लंघना करते दिखाई देता है तो उसे नियमों का पाठ भी पढ़ाया जाता है। यही नहीं लॉकडाउन के नियमों के अनुसार यदि कोई बेवजह घर से बाहर मिलता है तो उससे सख्ती से भी पेश आते हैं। कुछ लोग महामारी को नजरअंदाज करते हुए सड़कों पर बेवजह उतर रहे हैं, उनके खिलाफ सख्ती बरती जाती है।
लॉकडाउन में शहरी की प्रॉपटी की सुरक्षा की भी अहम जिम्मेवारी
पीसीआर कर्मी अमरजीत लॉकडाउन में शहरवासियों की सुरक्षा के साथ प्रॉपर्टी की सुरक्षा भी अहम जिम्मेवारी है। संवेदनशील स्थानों को चिह्नित कर वहां गश्त ज्यादा की जा रही है ताकि किसी प्रकार की कोई क्षति न पहुंचे। यही नहीं लोगों को जागरूक करने का काम भी किया जा रहा है ताकि हर व्यक्ति कोरोना बीमारी से सुरक्षित रहे।
महिलाओं को भी किया जा रहा जागरूक
महिला पीसीआर कर्मी बबली का कहना है कि लॉकडाउन में कई महिलाएं बेवजह सड़कों पर घूमती मिल रही हैं। ऐसे में महिलाओं को विशेष तौर पर हिदायत दी जा रही है कि खुद घर में सुरक्षित रहते हुए अपने परिवार भी सुरक्षा करें। कई महिलाओं को नियमों का पाठ पढ़ाते हुए चालान भी किया गया है। इसमें मास्क न पहनना और यातायात नियमों की उल्लंघना शामिल है।
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