महाराष्ट्र की सियासी जंग अपनों में हुई तेज़
शिव सेना के संजय राऊत अपने तीखे तेवरों के लिए जाने जाते हैं, सत्ता सुख भोगते हुए अपने सबसे बड़े घाटक दल भाजपा को आंखे दिखाना और हमेशा यह दर्शना की हमें किसी की परवाह नहीं उनकी आदत में शुमार सा लगता है। विधानसभा चुनावों में 124 में से मात्र 56 सीटें जीतने वाली शिव सेना के संजय राऊत भाजपा की 105 सीटों पर तंज़ कसते हैं और मुख्यमंत्री पद पर शिव सेना द्वारा दावेदारी ठोकते हैं।
चंडीगढ़:
महाराष्ट्र में सरकार गठन और मुख्यमंत्री पद को लेकर शिवसेना पेंच अड़ाए हुए है और उसकी और से लगातार बयानबाजी जारी है. अब शिवसेना नेता संजय राउत ने पार्टी के मुखपत्र सामना के जरिये भाजपा पर निशाना साधा और यहां तक कहा कि अगर इन चुनावों में शिवसेना साथ नहीं होती तो भाजपा को 75 सीटें भी नहीं मिलतीं. उन्होंने आगे कहा कि शिवसेना न तो कोई जल्दबाजी दिखाएगी और ना ही घुटने टेकेगी.
मुखपत्र सामना के जरिए संजय राउत ने निशाना साधते हुए कहा कि बीजेपी दिए गए वचन से विमुख हो गई है. मुख्यमंत्री पद का अमरपट्टा लेकर आया हूं, ऐसा कोई न समझे. अमित शाह का अब तक आगे न आना एक रहस्य है. शिवसेना साथ नहीं होती तो बीजेपी को 75 सीटें भी नहीं मिलती. उन्होंने तो यहां तक लिखा कि देवेंद्र फडणवीस पुलिस, सीबीआई, ईडी और आईटी की मदद से सरकार बनाने में लगे हैं. इंदिरा गांधी को कटघरे में खड़ा करने वालों का खुद वैसा हो जाना हैरानी भरा है.
संजय राउत ने आगे लिखा, शिवसेना न तो कोई जल्दबाजी दिखाएगी और न ही घुटने टेकेगी. गोपीनाथ मुंडे होते तो युति में आज ऐसी कटुता नहीं होती. हम नहीं तो कोई नहीं, इसी अहंकार के कारण सब अटक गया है. राष्ट्रपति शासन लगाकर राज करना बीजेपी की शताब्दी की सबसे बड़ी पराजय होगी.
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