पंचकूला के लोगों की पहली पसंद ऑन ग्रिड सोलर पावर प्लांट-मुकुल कुमार।
किसानों को सिंचाई के लिए सौलर टयूबवैल लगाने हेतू दिया जा रहा 75 प्रतिशत अनुदान
पंचकूला 31 दिसम्बर:
हरियाणा सरकार के नवीन एवं नवीनीकरण ऊर्जा विभाग द्वारा सौर ऊर्जा को बढावा देने के लिए कई प्रभावी एंव कारगर योजनाएं क्रियान्वित की जा रही है। इन योजनाओं के तहत विशेषकर किसानों को भारी मात्रा में सबसिडी प्रदान की जा रही है। विभाग की ऑन ग्रिड सोलर पावर प्लांट योजना ने पंचकूला के लोगों पर अमिट प्रभाव छोड़ा है और इसकी मांग निरन्तंर बढ रही है। इस योजना से जिला में एक हजार किलोवाट सौर ऊर्जा से बिजली बनाने का लक्ष्य रखा गया था जिसे पूरा करके विभाग ने 500 किलोवाट सौर ऊर्जा से अतिरिक्त बिजली बनाने कंे लिए भी अलग से डिमांड मांगी है। क्योंकि इस परियोजना में जिला के लोेग बढ चढ कर भाग ले रहे हैं और अपने अपने घरों पर सौर ऊर्जा के प्लांट लगाने के लिए निरन्तर विभाग से तालमेल बनाए हुए है।
यह जानकारी उपायुक्त मुकुल कुमार ने करते हुए बताया कि ऑन ग्रिड सोलर पावर प्लांट योजना के तहत 500 वर्ग गज के मकानों, प्राईवेट शिक्षण संस्थानों, स्कूल, कालेजों, हॉस्टल, टैक्निकल व वोकेशनल संस्थानों, युनिवर्सिटी, सभी प्राईवेट अस्पतालों, नर्सिंग होम, वाणिज्यिक संस्थान, मॉल, होटल, मोटल, वैंक्वेट हाल तथा अतिथि गृहों, हाऊसिंग सोसायटी, हाऊसिंग बोर्ड तथा सभी सरकारी ईमारतों, आफिस, सरकारी कालेज, और सभी शिक्षण संस्थानों में बिजली की खपत का 5 या कम से कम एक किलोवाट लोड का सोलर पावर प्लांट लगाना अनिवार्य किया है। लेकिन कई योजनाएं लोगों के दिलो दिमाग पर ऐसे छा जाती हैं कि लोग अनिवार्यता को ध्यान में न रखकर अपनी आवश्यकताओें को आसानी से पूरा करने की अग्रसर होते है। यह योजना बिना अनिवार्यता के ही लोगों की पहचान व पकड़ में आ गई और लोग इसके लिए सदैव कार्यालय के अधिकारियों से सम्पर्क बनाए हुए है।
इस योजना में अब तक एक करोड़ 50 लाख रुपए की सबसिडी का लाभ पंचकूला के लोगों को मुहैया करवाया गया है। जिला के 137 व्यक्गित घरों की छतों पर तथा 10 प्राईवेट स्कूलांें ने इसका लाभ उठाया है तथा इसके माध्यम से एक लाख 44 हजार से भी ज्यादा प्रति वर्ष प्रति किलोवाट बिजली की पैदावार की जाने लगी है। दिन के समय लोग अपनी आवश्यकताएं पूरी करते है तथा रात के समय शेष बिजली को ग्रिड के माध्यम से बिजली निगम को बेच रहे हैं। इस प्रकार पंचकूला न केवल बिजली के क्षेत्र में आत्मनिर्भर हुआ है बल्कि अन्य जिलों को भी फालतू बिजली भेजने का कार्य कर रहा है। इसके साथ ही जिला के उपभोक्ताओं को 24 घण्टें बिजली सरकार की ओर से आसानी से उपलब्ध करवाई जा रही है। एक किलोवाट का ग्रिड पावर प्लांट 4 युनिट बिजली बनाने का कार्य करता है। इस प्रकार प्रति माह 120 युनिट तथा साल में 1440 बिजली बनाने का कार्य करता है। एक किलोवाट की अनुमानित लागत लगभग 65000 रुपए आती है जिसमें 30 प्रतिशत अनुदान सरकार की ओर से दिया जा रहा है।
उपायुक्त ने बताया कि हरियाणा सरकार किसानों को सिंचाई के लिए सोलर टयूबवैल लगाने की दिशा में 75 प्रतिशत सबसिडी मुहैया करवा रही है। अब तक 25 से अधिक टयूबवैल पंचकूला में लगाए जा चुके है जो लगभग 50 मीटर की गहराई तक आसानी से पानी निकाल रहे हैैं। लगभग 1.5 हॉर्स पावर की क्षमता वाले टयूबवैल की 3 लाख 30 हजार रुपए लागत आती है जिसमें से लाभार्थी किसान को केवल 83 हजार 250 रुपए की राशि ही वहन करनी होती है। सोलर टयूबवैल योजना से रायपुर रानी के 14, बरवाला के 8 तथा मोरनी में एक व ंिपंजौर खण्ड में 2 किसानों अपने खेतों में सिचंाई के लिए सौलर टयूबवैल लगवाए हैं। इस व्यवस्था से लगभग एक लाख 20 लीटर पानी प्रति दिन निकलाने की सक्षता है जिससे दो से तीन एकड भूमि की सिंचाई आसानी से की जा सकती है।
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