पार्षद राजबाला के इशारे पर नगर निगम दस्ते की ओल्ड बुक मार्केट पर अनुचित कार्यवाही

 

फोटो राकेश शाह

राकेश शाह

चंडीगढ़ 10 अगस्त, 2018:

आज ओल्ड/न्यू बुक मार्किट विरोध स्वरूप बन्द रही जिसके कारण बहुत से विद्यार्थियों को बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ा। पंजाब विश्वविद्यालय के अंग्रेजी विभाग की छात्रा हरनूर ने डेमोक्रेटिक फ्रण्ट को बताया कि अपने पाठ्यक्रम की किताबों के लिए वह इन्हीं दुकानों पर निर्भर हैं क्योंकि यहाँ उन्हें कम कीमत पर किताबें मिल जाती हैं पर आज दुकाने बन्द देख कर उन्हें बहुत निराशा हुई। संदीप जो कि सेक्टर 11 के राजकीय कालेज के छात्र हैं ने कहा कि वह पिछले दो वर्षों से यहीं से किताबें खरीद रहे हैं। उन्होंने कहा कि किताबों की कीमत बहुत ज़्यादा होने की वजह से सभी विद्यार्थी नई किताबें नहीं खरीद सकते। इनके अलावा बहुत से ऐसे ही विद्यार्थी आज निराश हो कर यहाँ से वापिस गए।

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दुकानें बन्द होने और धरने पर बैठने का कारण पूछने पर सम्बन्धित दुकानदारों ने बताया कि नगर निगम द्वारा उनके काउंटरों को अतिक्रमण बता कर हटा दिया गया। आरोप है कि पूर्व महापौर और वर्तमान पार्षद राज बाला मलिक के इशारे पर निगम कर्मियों द्वारा यह कार्यवाही की गई। उनका आरोप है कि इसी मार्किट के एक व्यक्ति सुनील जो कि बूथ नम्बर 2 में दुकान चलाते हैं के कहने पर पार्षद ने यह काम करवाया है। दुकानदारों का आरोप है कि समय समय पर सुनील जो कि इस मार्किट के प्रधान रहे हैं इस बार हुए चुनावों में मौजूदा प्रधान से काफी ज़्यादा वोटों से हार गए। कहा जाता है कि इसी बात से राजबाला मलिक इस मार्किट से नाराज हैं।
नगर निगम द्वारा कल की गई कार्यवाही में दुकान नम्बर 2 को छोड़ कर सभी काउन्टर हटा दिए गए।
दुसरी और जब डेमोक्रेटिक फ्रण्ट ने सुनील कुमार और पार्षद राजबाला से बात करने के लिए उनके फोन पर सम्पर्क किया परन्तु वह बात करने के लिए उपलब्ध नहीं थे।

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आज धरने के समर्थन में कांग्रेस के नेता प्रदीप छाबड़ा भी पहुंचे और दुकानदारों का साथ देने का  आश्वासन दिया
आपको बता दें कि पार्षद राजबाला मलिक भाजपा में आने से पहले काँग्रेस की ओर से महापौर रही हैँ।

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