Earth Day celebrated at Girls Hostel-6

Koral’Purnoor’ Demokratic Front, Chandigarh April 23, 2022

Boys Hostel 2 & 4, Girls Hostel 3 & 6 and Working Women Hostel collectively celebrated ‘Earth Day’ today in the premises of Girls Hostel No. 6, Mother Teresa Hall, P.U., Chd.,  under the guidance of Prof. Raj Kumar, Vice-Chancellor, P.U., Chd. and supervision of Prof. Jagtar Singh, DSW, Prof. Meena Sharma, DSW(W) and Prof. Ashok Kumar, Associate DSW, P.U., Chd.

Prof. Promila Pathak, Chairperson, Dept. of Botany, P.U., Chd. was the keynote speaker on this occasion.

Abha Bansal, Shivani, Teetikshavi Thakur and Tulsi residents of the hostel spoke on importance of World Earth Day. Teetikshavi introduced  Prof. Promila Pathak to the audience.

Dr. Manisha Sharma, Warden, Women Hostel No. 6 welcomed Prof. Pathak and wardens of other hostels.

Prof. Promila Pathak said that World Earth Day is commemorated every year on April 22 to emphasize the significance of environmental protection. ‘Invest In Our Planet’ is the official theme for 2022, and while the concept may seem difficult, it is simple to give back to the planet. As the father of our nation Mahatma Gandhi said “Earth offers enough to satisfy every man’s need, but not every man’s greed.” She said we can contribute to earth in many ways by efficient use of energy sources and zero emission. We have to develop innovative ideas in agriculture, technology etc. There is a need to increase passion our young generations for our earth. Cleanliness drives in the areas by hostellers should be done and there should be proposal disposal of wastes. She said we should go for afforestation. Economy of countries depends on species of plants. We should not misuse earth resources. She said we should take a pledge to invest in major or minor way.

Dr. Manisha Sharma, thanked Prof. Promila Pathak for motivating our residents. She also thanked wardens of other hostels and the residents. The residents along with Prof. Pathak and wardens took pledge to plant a tree every year on their birthdays.

विश्व बैंक मिशन के हरियाणा दौरे की कड़ी में अटल भूजल योजना की बहु-हितधारक राज्य स्तरीय कार्यशाला का पंचकूला में आयोजन

सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव देवेंदर सिंह ने हरियाणा सरकार द्वारा भूजल स्तर को सुधारने की दिशा में की गई विभिन्न पहलों पर की चर्चा

यह कार्यशाला अटल भूजल और अन्य इनलाइन विभागों के जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं को एक साथ लाने में होगी सहायक – केशनी आनंद अरोड़ा

कोरल ‘पुरनूर’, डेमोक्रेटिक फ्रंट, पंचकूला, 23 अप्रैल:

विश्व बैंक मिशन के हरियाणा दौरे की कड़ी में अटल भूजल योजना की एक बहु-हितधारक राज्य स्तरीय कार्यशाला का आयोजन पंचकूला के सेक्टर 1 स्थित पीडब्ल्यूडी विश्राम गृह में किया गया।
इस कार्यशाला में सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग हरियाणा के अतिरिक्त मुख्य सचिव देवेंदर सिंह, सत्या प्रिया, कंट्री लीड (अटल भूजल योजना) – विश्व बैंक, श्रीमती केशनी आनंद अरोड़ा, अध्यक्ष, हयिाणा जल संसाधन प्राधिकरण ने विशेष रूप से शिरकत की।

इस अवसर पर सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव देवेंदर सिंह ने कार्यशाला को संबोधित करते हुए हरियाणा सरकार द्वारा भूजल स्तर को सुधारने की दिशा में की गई विभिन्न पहलों पर चर्चा की। उन्होंने भूजल प्रबंधन को बढ़ावा देने के लिए समुदाय-आधारित संस्थानों को मजबूत करने के साथ-साथ  जल उपयोग दक्षता में सुधार और भूजल पुनर्भरण को प्रोत्साहित करने पर बल दिया।   उन्होंने कहा कि अटल जल कार्यक्रम न केवल राज्य संस्थानों के निर्माण पर केंद्रित है, बल्कि राजकोषीय विकेंद्रीकरण की दिशा में भारत सरकार के कदम का भी समर्थन करता है। अटल जल योजना के तहत धन केंद्र सरकार से राज्यों को और वहां से उपयुक्त कार्यान्वयन स्तरों (जिलों, ब्लॉकों, ग्राम पंचायतों और लाभार्थियों) तक प्रवाहित किया जाता है।

अपने स्वागतीय भाषण में श्रीमती केशनी आनंद अरोड़ा, अध्यक्ष हयिाणा जल संसाधन प्राधिकरण ने कहा कि जल प्रबंधन पर यह कार्यशाला अटल भूजल और अन्य इनलाइन विभागों के जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं को एक साथ लाने के लिए आयोजित की गई है, जिनकी नीतियों को अभिसरण के माध्यम से अटल जल योजना में लाया जा सकता है। उन्होंने इस कार्यक्रम से लक्ष्य प्राप्ति के लिए सामुदायिक भागीदारी पर भी बल दिया।

कृषि विभाग के निदेशक हरदीप सिंह ने ‘मेरा पानी मेरी विरासत’ योजना के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि इस योजना के तहत किसानों को धान की फसल की बजाए गैर-धान फसलों को अपनाने पर 7000 रुपये प्रति हेक्टेयर प्रोत्साहन राशि दी जाती है। इस योजना के तहत सरकार फसल विविधीकरण को बढ़ावा देने के लिए अन्य फसलों के लिए एमएसपी भी सुनिश्चित करती है।
डॉ सतबीर सिंह कादियान, ईआईसी-कम-परियोजना निदेशक (अटल भूजल योजना – हरियाणा) – सिंचाई और जल संसाधन विभाग ने कार्यक्रम की उपलब्धियों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि हरियाणा ने 1300 ग्राम पंचायतों की जल सुरक्षा योजना तैयार की है।

सत्य प्रिया, कंट्री लीड (अटल भूजल योजना) –

विश्व बैंक ने अटल जल हरियाणा टीम द्वारा किए गए प्रयासों की सराहना की। उन्होंने हरियाणा में भूजल की कमी को नियंत्रित करने के लिए विश्व बैंक से पूर्ण समर्थन का आश्वासन दिया। उन्होंने फील्ड टीम को बाजरा, तिलहन और दालों जैसी जल-संवेदनशील फसलों के अनुकूलन पर ध्यान केंद्रित करने का भी सुझाव दिया।

कार्यशाला में, अटल भूजल योजना के लिए एक तकनीकी सहायता एजेंसी पीपल्स साइंस इंस्टीट्यूट द्वारा तैयार किए गए कुल 8 मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) मैनुअल का अनावरण गणमान्य व्यक्तियों द्वारा किया गया। तकनीकी सहायता एजेंसी के समन्वयक डॉ अनिल गौतम और टीम लीडर श्री महेंद्र वाधवानी ने कहा कि ये एसओपी कुशल निगरानी और मूल्यांकन दृष्टिकोण को अपनाकर वांछित लक्ष्य प्राप्त करने में राज्य की मदद करेंगे।  

अटल भूजल योजना एक भागीदारी भूजल प्रबंधन योजना है जो केंद्र सरकार और विश्व बैंक द्वारा समर्थित है और हरियाणा सरकार द्वारा लागू की गई है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य हरियाणा में भूजल संसाधनों का हाइड्रोजियोलॉजिकल डेटा नेटवर्क बनाना है। साथ ही, राज्य में भूजल संसाधनों के प्रबंधन के लिए सामुदायिक संस्थानों का निर्माण करना है।

इस अवसर पर कृषि विभाग के निदेशक श्री हरदीप सिंह, ईआईसी सह परियोजना निदेशक (अटल भूजल योजना – हरियाणा) डॉ सतबीर सिंह कादियान, सिंचाई और जल संसाधन विभाग के निदेशक श्री उमेश बालपाण्डे, अटल भूजल योजना सहित राज्य परियोजना प्रबंधन इकाई के तकनीकी विशेषज्ञ, 18 लाइन विभागों के विभागाध्यक्ष, 14 जिला नोडल अधिकारी और अन्य अधिकारी भी उपस्थित थे।

उपायुक्त महावीर कौशिक ने बरवाला खण्ड के गांव रिहोड़ का किया दौरा

  • उपायुक्त ने राज्य सरकार की पंचायत संरक्षण योजना के तहत गोद लिए गांव में ग्रामीणों से बातचीत कर किया समस्याओं का समाधान
  • गांव में स्थित दो आंगनबाड़ियों का किया निरीक्षण, आहार की गुणवत्ता की चैक
  • उपायुक्त ने गांव में कई घरों में जाकर लोगों से की मुलाकात, परिवार पहचान पत्र में दर्ज सालाना आय का किया मिलान

कोरल ‘पुरनूर’, डेमोक्रेटिक फ्रंट पंचकूला, 23 अप्रैल:

उपायुक्त महावीर कौशिक ने आज बरवाला खण्ड के गांव रिहोड़ का दौरा किया और गांव से संबंधित शिकायतें सुनी। उन्होंने मौके पर ही संबंधित विभागों के अधिकारियों को समस्याओं के त्वरित समाधान के लिए दिशा-निर्देश दिये।
ग्राम सचिवालय रिहोड में गांववासियों से बातचीत करते हुये उपायुक्त ने बताया कि हरियाणा सरकार की पंचायत संरक्षक योजना के तहत उन्हें रिहोड़ गांव का संरक्षक नियुक्त किया गया है।
कौशिक ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल के निर्देशानुसार राज्य सरकार द्वारा ग्राम पंचायतों के तहत तीव्र व समग्र विकास का तंत्र विकसित करने के उद्देश्य से हरियाणा पंचायत संरक्षक योजना शुरू की गई है। उन्होंने कहा कि इस योजना का लक्ष्य गांव में सरकार की विभिन्न विकासात्मक योजनाओं की सघन समीक्षा करना और ग्रामीणों के कल्याण से संबंधित मुद्दों की बेहतर समझ विकसित करना है।

उपायुक्त ने गांव में जल भराव की समस्या का समाधान करते हुए जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये कि शमशाान घाट की तरफ जाने वाले नाले का स्तर उंचा उठाया जाए ताकि पानी की निकासी व्यवस्थित तरीके से हो और नाले में ओवरफ्लो की समस्या न रहे। उन्होंने गांववासियों की मांग पर आश्वासन दिया कि संस्कृति मॉडल स्कूल बतौड़ में पढने वाले गांव रिहोड़ के बच्चों की सुविधा के लिए पंचकूला से बतौड़ वाया रिहोड़ बस सुविधा उपलब्ध करवाई जाएगी। उन्होंने बिजली विभाग के अधिकारियों को गांव की गउशाला के उपर से गुज़र रही हाई टैंशन वायर्स को 15 दिन में स्थानांतरित करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि गांव की महिलाओं को स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से स्वरोजगार स्थापित करने की संभावनाओं को तलाशा जाए ताकि वे गांव में ही कार्य करके अपनी आजीविका कमा सकें।

इस अवसर पर महावीर कौशिक ने गांव में स्थित दो आंगनबाड़ियों का निरीक्षण किया और आंगनबाड़ी सुपरवाईजर व वर्कर से आंगनबाड़ियों में बच्चों, गर्भवती महिलाओं और स्तनपान करवाने वाली महिलाओं को दी जा रही सुविधाओं की जानकारी ली। उपायुक्त को अवगत करवाया गया कि आंगनबाड़ियों में बच्चों को प्रतिदिन अलग-अलग पोष्टिक आहार दिया जाता है ताकि बच्चे स्वस्थ व सेहतमंद रहें। उपायुक्त ने स्वयं आगनबाड़ी की रसोई में जाकर वहां पर पकाया गया आहार खा कर गुणवत्ता की जांच की। इसके अलावा उन्होंने आंगनबाड़ी के स्टोर रूम में रखा सूखा राशन जैसे मूंगफली, बड़ियां, दलिया इत्यादि की गुणवत्ता चैक की। उन्होंने आंगनबाड़ियों में स्थित शौचालयों का निरीक्षण भी किया और 15 दिन में शौचालयों में पुरानी सीट्स को बदल कर नई सीट्स लगाने के निर्देश दिये। उन्होंने निर्देश दिये कि गर्मी के मौसम को देखते हुए आंगनबाड़ियों में स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उपायुक्त ने गांव मे स्थित शमशान घाट में जाकर वहां पानी व अन्य व्यवस्थाओं का जायज़ा भी लिया।

इसके उपरांत उपायुक्त ने गांव में कई घरों में जाकर लोगों से मुलाकात की और परिवार पहचान पत्र में दर्ज की गई सालाना आय का मिलान किया। उन्होंने बताया कि 1.80 लाख से कम सालाना आय वाले परिवारों की आय को बढाने के लिए जिला में दो चरण में मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान मेलों का आयोजन किया जा चुका है, जिनमें लोगों को सरकार की विभिन्न योजनाओं के तहत लाभ प्रदान करने के साथ-साथ स्वरोज़गार स्थापित करने के लिए बैंकों के माध्यम से ऋण उपलब्ध करवाया जा रहा है। इसके अलावा अति गरीब परिवारों के बच्चों को उनकी रूचि व योग्यता के अनुसार निजी क्षेत्र में रोज़गार के अवसर भी उपलब्ध करवाए जा रहे हैं।

इससे पूर्व उन्होंने सिंचाई, कृषि, लोक निर्माण विभाग (भवन एवं सड़के), यूएचबीवीएन और हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड और जनस्वास्थ्य अभियंत्रिकी विभाग के अधिकारियों से गांव रिहोड में उनके विभागों से संबंधित कार्यों की प्रगति की समीक्षा की।

इस अवसर पर बीडीपीओ बरवाला विशाल पराशर, हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड के एसडीओ नवीन श्योराण, जनस्वास्थ्य अभियंत्रिकी विभाग के एसडीओ धर्मेंद्र कुमार, एनआरएलएम के ब्लाक प्रोग्राम मैनेजर दिनेश कुमार, बिजली विभाग के जेई राजिन्द्र, जनस्वास्थ्य अभियंत्रिकी विभाग बरवाला के ब्लाक रिसोर्स र्कोओडिनेटर नरेन्द्र शर्मा, गांव की सरपंच मधुबाला व गांव के लोग भी उपस्थित थी।

प्रोजैक्टों में घपले करने वाले कितने आदमी थे ?  : चित्रा

  • खुद को गब्बर सिंह के नाम से मशहूर कहलवाने के इच्छुक रहने वाले हरियाणा के गृहमंत्री तथा अम्बाला छावनी के विधायक अनिल विज से भी किये सीधे सवाल
  • हरियाणा सरकार द्वारा एक ही बिल्डिंग निर्माण कंपनी पर उसके निर्माण कार्यों में बार बार अनियमिततांए सामने आने के बावजूद उसी को काम क्यों?

सारिका तिवारी, डेमोक्रैटिक फ्रंट, चंडीगढ़ :

आम आदमी पार्टी ने सरकार द्वारा एक ही बिल्डिंग निर्माण कंपनी पर उसके निर्माण कार्यों में बार बार अनियमितांए सामने आने के बावजूद उसी को काम दिए जाने पर सावाल खड़े किए हैं। पार्टी का कहना है कि कंपनी को ब्लैकलिस्ट करने की बजाये उस पर मेहरबानी की क्या कोई खास वजह है,जबकि उसकी हर एक परियोजना में न सिर्फ उसके द्वारा करवाये जा रहे निर्माण कार्यों को लेकर बल्कि वित्तीय अनियमितताओं की बातें भी पूरी तरह से उजागर हो चुकी हैं। आप नेता चित्रा सरवारा ने सरकार खासतौर पर खुद को गब्बर सिंह के नाम से मशहूर कहलवाने के इच्छुक रहने वाले हरियाणा के गृहमंत्री तथा अम्बाला छावनी के विधायक अनिल विज से भी सीधा सावाल किया है कि आखिर उनके ड्रीम कहे जाने वाले प्रोजैक्टों में घपले करने वाले कितने आदमी थे ? पार्टी का यह भी कहना है कि भ्रष्टाचार मुक्त प्रशासन का दावा करने वाली भाजपा इस मामले में खामोश क्यों है?

उत्तरी हरियाणा जोन के सचिव योगेश्वर शर्मा के साथ आज यहां पत्रकारों से बात करते हुए पार्टी की आम आदमी पार्टी की महिला नेता चित्रा सरवारा ने कहा कि साल 1965 में अम्बाला छावनी में बना वॉर हीरोज मैमोरियल स्टेडियम को बदलाव करने का ख्याल प्रदेश के खेलमंत्री रहे अनिल विज के कार्यकाल में खेल विभाग के मन में आया। विभाग ने यहां फीफा एप्रूव्ड एक अंतरर्राष्ट्रीय स्तर का फुटबाल स्टेडियम बनाने की परियोजना बनाई और साल 2017 में इसका टेंडर किया गया। उस समय टेंडर की कीमत 48.58 करोड़ रुपये का यह टेंडर किया गया। उन्होंने कहा कि जैसा कि यह बात जगजाहिर है कि जींद की एक एजेंसी गर्ग एंड कंपनी ने यह टेंडर 40 करोड़ रुपये में यानि कि लगभग आठ करोड़ रुपये के घाटे में उठाया। टेंडर की शर्तों के अनुसार यह काम साल 2019 में अप्रैल माह तक पुरा होना था।मगर यह काम पूरा नहीं हुआ,बल्कि इसकी लगात 2019 में बढक़र 85.28 करोड रुपये हो गई,मगर काम फिर भी पूरा नहीं हुआ और एक बार फिर इसकी अवधि दो साल बढ़ाकर मार्च 2022 तक कर दी गई। साथ ही इसकी लागत कीमत बढक़र 115.16 करोड़ रुपये हो गई। उन्होंने कहा कि आज भी इसका काम 20 प्रतिशत से ज्यादा बकाया है,मगर रोचक बात यह है कि निर्माण करने वाली कंपनी को इसकी सारी लगभग कीमत पहले ही अदा हो चुकी है। उन्होंने कहा कि जनवरी 2022 में इस बात का खुलासा हुआ कि इसमें भारी अनियमितताएं हैं तो देश के प्रधानमंत्री,गृहमंत्री,प्रदेश के मुख्यमंत्री प्रदेश के गृहमंत्री सबको पत्र लिखकर उच्च स्तरीय जांच करवाने की मांग की गई। उन्होंने बताया कि यह बात सामने आई कि इस परियोजना के निर्माण में जो स्टील इस्तेमाल किया गया है उसपर भी सवालिया निशान खड़े है । उन्होंने कहा कि फरवरी 2022 में इस मामले की जांच के लिए लोकनिर्माण विभाग (भवन एवं सडक़ें) के अधिकारियों की एक छह सदस्यीय कमेटी बनाई गई। मगर उसने क्या जांच की इसका आज तक किसी को नहीं पता।

 चित्रा सरवारा ने कहा कि मजेदार बात तो यह है कि इस प्रोजैक्ट को बनाने के लिए जो स्टील खरीदा गया, उसमें भी बड़ी धांधली की गई। उन्होंने बताया कि जो बात सामने आई है, उसके अनुसार अधिकारियों ने जो स्टील खरीदा उसमें 62 रुपये प्रति क्विंटल से लेकर138 रुपये प्रति कविंटल तक का रेट लिया गया । इतना ही नहीं पूरे प्रोजैक्ट के लिए 33 हजार कविंटल स्टील खरीदा जाने का अनुमान था, परंतु खरीदा 13 हजार 500 कविंटल गया और मौके पर 3270 क्विंटल ही लगा पाया गया है। जबकि इस पूरे प्रोजैक्ट में 115 करोड़ रुपये का भुगतान हो चुका है। सबसे ज्यादा भुगतान 2017 से लेकर 2019 के बीच हुआ। उन्होंने सवाल किया कि अनिल विज जोकि तब हरियाणा के खेल मंत्री थे और अब गृहमंत्री है तथा अम्बाला छावनी  के विधायक भी हैं,उनके ध्यान में यह बात और यह घोटाला क्यों नहीं आया। उन्होंने कहा कि सबसे ज्यादा हैरानीजनक बात यह है कि आज भी हरियाणा के 60 प्रतिशत से ज्यादा काम इसी गर्ग एंड कंपनी को दिए जा रहे हैं। जिसमें से 25 प्रतिशत काम तो केवल मुख्यमत्री के गृह जिले करनाल के हैं। उन्होंने सवाल किया कि इतने सारे बड़े बड़े प्रोजैक्ट एक ही कंपनी को ही क्यों? और किसी को क्यों नहीं ? क्या यह सिर्फ अधिकारियों की मेहरबानी रही है या इसमें सत्ता के शीर्ष पर बैठे लोग भी शामिल हैें?

 उन्होंने बताया कि यही कंपनी अंबाला कैंट व सिटी में काम कर रही है। करोड़ो रुपये के घोटाले उजागर होने के बाद कंपनी के इन सभी  परियोजनाओं पर भी सावालिया निशान लगे हुए हैं। उन्होंने बताया कि इस कंपनी द्वारा अंबाला छावनी में बन रहे खेल स्टेडियम में 57 प्रतिशत,होम्योपैथिक डिस्पेन्सरी में भी घोटाला हुआ। 200 बैड के बन रहे सिविल अस्पताल व उनके रहने के लिए बन रहे डाक्टर्स निवास में घोटाला हुआ। और तो और अनिल विज के एक अन्य ड्रीम प्रोजैक्ट आर्य भट्ट विज्ञान केंद्र के लिए जो भवन बना है उसके निर्माण में ही विसंगतियां हैं और इसके गिराने के आदेश जारी हो चुके  हैं। अंबाला छावनी में बन रहे लघु सचिवालय में बन रही दीवारों का सीमेंट हाथ में आ जाता है।

उन्होंने कहा कि इतनी सारी अनियमितताएं एक ही कंपनी की ओर से किये जाने के बावजूद उसे ब्लैक लिस्ट करने की बजाये उसी को बार बार काम देने पर सरकार व इसके अधिकारियों पर सावालिया निशान खड़ा करता है। उन्होंने कहा कि वैसे तो रोजाना भ्रष्टाचार मुक्त करने का दावा करने वाली भाजपा सरकार इस बड़े घोटाले पर खामोश है।

E-Paper Demokraticfront 22-04-2022

E-Paper Demokraticfront 23-04-2022